RE: Incest Kahani दीदी और बीबी की टक्कर
उससे क्या छुपाना तो मेने आयिल लिया और अपने रूम में आ गया फिर दीदी थोड़ी देर बाद अपने रूम में चली गयी. मेने अपने कपड़े उतारे और अपने लंड पे आयिल लगाना शुरू कर दिया. खूब मालिश की लंड और गोटियाँ दोनो ही आयिल से भीगा ली थी. अब तो में रेडी था कि स्वेता जैसे ही आएगी उसे पकड़ के खूब चोदुन्गा.
करीब आधे घंटे बाद गेट की घंटी बजी और में फन्फनाते हुए लंड के साथ गेट पे गया और गेट खोला. तब तक दीदी भी बाहर हॉल में आ गयी थी. गेट खोला तो देखा कि स्वेता के साथ उसका छोटा भाई भी आया हुआ था. उसे अकेले नही भेजा उसके घर वालों ने. तो में अपने साले को देख के खुश हुआ. उन दोनो को अंदर ले के आया. अभी हम बैठे ही थे कि साले ने साले जैसी हरकत कर दी.
उसने बड़े इतरा के कहा कि दीदी मुझे नींद आ रही है में थक गया हूँ मुझे सोना है. स्वेता ने भी उससे कह दिया कि तू मेरे रूम में जा के सो जा. साला उठा और सीधे मेरे बेड पे चला गया. में और दीदी स्वेता के साथ हॉल में थे यह देख के मेरी झान्टे जल गयीं इसका मतलब यह था कि आज स्वेता की चूत नही मिलेगी स्वेता ने तो इस्पे ध्यान भी नही दिया लेकिन दीदी को सब समझ में आ गया और वो ज़ोर से हंस दी.
वो मेरी हालत पे हंस रही थी, में तो तेल लगा के बैठा और उसपे मेरे साले ने चोट कर दी. कुछ देर बैठने के बाद दीदी अपने रूम में चली गयी मेने हॉल की लाइट बंद की और स्वेता को जकड लिया.
स्वेता-आज नही राजीव अंदर ही है. अच्छा नही लगता.
मे-वो तो सो रहा है.हॉल में सिर्फ़ हम दोनो हैं प्लीज़ एक राउंड चोद लेने दे.में तो मर गया तेरे बिना,
स्वेता-मर तो में भी गयी मेरी भी पूरी गीली है लेकिन आज नही राजीव अंदर सो रहा है प्लीज़ आज नही कल वो चला जाएगा कल चाहे तो पूरी रात मुझे रगड़ के चोद लेना बिना तेल लगाए लेकिन आज नही प्लीज़
मे-मेरा मूड मत खराब कर यार एक राउंड कर लेने दे बाद धीरे से करूँगा.जल्दी कर लूँगा प्लीज़
स्वेता- आपका एक बार अंदर गया तो मेरी चीख निकल ही जाएगी और आप भी इतनी जल्दी तो झडोगे नही. तो प्लीज़ आज मत करो यह सोच लो कि में कल आउन्गि आज की रात और काट लो मेरे बगैर.लेकिन आज नही प्लीज़ स्वेता इतना कह के उठी और बेडरूम की तरफ चल दी. में अभी भी पीछे पीछे आ रहा था उसके कि शायद उसका मूड बन जाए. लेकिन भाई का प्यार और डर मेरे लंड की प्यास से ज़्यादा स्ट्रॉंग थे वो सीधे रूम में गयी.
और उसने कहा कि वो रूम अंदर बंद कर रही है ताकि में रात में आके उसे चोद ना सकूँ.मेने कहा एक चुम्मा तो दे दे. उसने कुछ नही किया.मुझे रूम से बाहर धकेला और रूम अंदर से बंद कर लिया. अब में हॉल में था. अकेला.लाइट बंद और मेरा दिमाग़ भी बंद था. मेरा मन कर रहा था कि अभी गेट तोड़ के जाउ और राजीव के सामने ही उसकी बहन की चूत फाड़ के भोसड़ा बना दूं. लेकिन कुछ नही कर सकता था.मेने गुस्से में मूठ भी नही मारी और सोफे पे आके लेट गया.
लेकिन नींद कहाँ आने वाली थी. करीब 2 घंटे बाद दीदी वाले रूम का गेट खुला. में तो जाग ही रहा था दीदी भी हाल में बाहर आ गयी.मुझे देखा हॉल में ज़ीरो वॉट के तीन बल्ब थे.उसने तीनो चालू कर दिए. काफ़ी रोशनी हो गयी मेने दीदी को देखा.कुछ कहा नही वो तो जानती ही थी कि मेरे दिमाग़ में क्या चल रहा होगा. वो चुपके से गयी और स्वेता वाले रूम को बाहर से भी बंद कर दिया.
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