RE: Mastram Kahani काले जादू की दुनिया
“भैया झाड़ियो के पीछे से किसी के गुर्राने की आवाज़ आ रही है...” गुर्राने की स्पष्ट आवाज़ सुनकर काजल के हाथ पावं फूल गये. यह सोच सोच कर ही कॉन सा जंगली जानवर ऐसे गुर्राता है उसकी रूह काँप गयी.
“ठहर मैं देखता हू....” करण बोला और झाड़िया हटा के देखने लगा. जब उसने आगे देखा वो उसको हिला देने के लिए भी काफ़ी था. ख़ौफ्फ की एक तेज़ लहर उसके पूरे जिस्म मे समा गयी.
सामने एक बड़ा सा भेड़िया सीधे उसी की ओर घूर रहा था. चक्केदार दार खाल, बड़ा डील डोल वाला शरीर, ताक़तवर पंजो मे तेज़ नाख़ून और भयानक जबड़ा जिसमे बड़े लंबे लंबे ख़तरनाक दाँत थे.
“काजल भाग.....!!!” बस इतना कहते ही करण मुड़ा और काजल का हाथ पकड़ के अर्जुन के बनाए पगडंडी के उलट दूसरी दिशा मे भागने लगा.
पर उस घने जंगल मे जब कोई तेज़ चल नही सकता तो आख़िर तेज़ दौड़ेगा कैसे. थोड़ी दूर भागने के बाद ही उनको भेड़िए की गुर्राहट दोबारा सुनाई दी.
जब तक वो दोनो कुछ समझ पाते पीछे से भेड़िए एक लंबी छलान्ग मार कर करण पर कूद गया.
“आआहह...........” भेड़िए के तेज़ नाख़ून करण की पीठ पर अंदर तक गढ़ गये. करण की यह दर्दनाक चीख पूरे जंगल के डरावने वातावरण मे गूँज गयी.
अर्जुन ने जब यह चीख सुनी तो वो समझ गया कि करण मुसीबत मे है लेकिन जब वो पीछे मुड़ा तो देखा कि करण और काजल दोनो गायब है, क्यूकी वो दोनो पीछे रह गये थे. बेचारे अर्जुन ने चारो तरफ देखा, पूरा जंगल एक जैसा ही लग रहा था, सही दिशा का पता लगाना नामुमकिन था. ऐसे घने जंगल मे कोई भी आसानी से गुम हो सकता था.
इधर करण पर भेड़िए का हमला देख काजल बहुत घबरा गयी. भेड़िए ने कारण को छोड़ दिया और शारीरिक रूप से कमज़ोर काजल की तरफ बढ़ने लगा. भेड़िया समझ गया था कि एक लड़की उसके लिए एक आसान शिकार हो सकती है.
भेड़िए को अपनी ओर आता देख काजल का सर घूमने लगा. उसका दिमाग़ कह रहा था कि वहाँ से भाग निकले लेकिन उसके पैर उसका साथ नही दे रहे थे. डर के मारे उसके पैर वही जड़ हो गये. करण ने जब देखा कि भेड़िया उसकी बहन की ओर बढ़ रहा है तो उसने चिल्ला के काजल को भाग जाने को कहा. पर ऐसा लग रहा था कि काजल के पैरो मे जान बची ही नही थी. वो पत्थर की मूरत बन कर वही खड़ी रही और अपने मौत को अपनी ओर आता देख अपनी आँखे बंद कर ली.
जब करण को लगा की उसकी बहन की जान ख़तरे मे है तब वो अपनी पूरी हिम्मत जुटा के उठने की कोशिश करने लगा. उसका पीठ भेड़िए के नाख़ून से पूरी छल्नी हो गयी थी जिस से खून बह रहा था. उसकी सफेद टीशर्ट पर खून के बड़े बड़े लाल धब्बे देखे जा सकते थे.
भेड़िया अपने सामने आसान शिकार देख कर काजल की ओर छलान्ग लगाया. काजल को अपनी मौत अपने सामने दिख रही थी पर कोई था जिसने उसे मौत के मूह से बचा लिया. उसने आँख खोल के देखा तो करण ने भेड़िए को बीच मे रोक लिया था.
अपने हाथ आए शिकार को छिन जाता देख भेड़िया गुस्से मे ज़ोर ज़ोर से गुर्राने लगा. अब बस वो था और उसके सामने करण था. भेड़िए ने मौका देख करण पे छलान्ग लगाई पर करण फुर्ती से एक तरफ झुक कर उसके पंजो से बच गया.
कसरती बदन, जिम की ट्रैनिंग और मार्षल आर्ट्स आज करण के काम आ रहा था.
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