RE: Samuhik Chudai अदला बदली
मिनी – राज, मुबारक हो.. तूने आज झंडा गाड़ लिया..
राज – धन्यवाद मम्मी..
मिनी – तू गाण्ड भी मारने को कोशिश कर रहा था..
राज – हाँ मम्मी, पर वो नहीं हो पाया आज.. बहुत टाइट है उसके गाण्ड को छेद..
मिनी – कोई बात नहीं धीरे धीरे हो जाएगा..
राज – मम्मी, और अंकिता आंटी..
मिनी – हाँ बात करी मैंने, शी इस इन..
राज – वाव, मम्मी.. सच
मिनी – हाँ, और तेरे वीडियो और फोटोस ने हेल्प की मेरी अच्छे से उसे कन्विन्स करने में..
राज – वाव मम्मी..
मिनी – प्लान ये है की, तू अंकिता के घर जाएगा और अमन यहाँ आ जाएगा.. तुझे सब पता है, ये बोलने की ज़रूरत नहीं है.. जो भी अंकिता बोले उसे फॉलो करना.. वो पक्का पूछेगी की तूने ऐसे पॉर्न कलेक्शन क्यूँ रखे हैं.. इसलिए ऐसा बिहेव करना की तुझे पता नहीं की क्या होने वाला है..
राज – ओ के .. मम्मी, कब का प्लान है..
मिनी – अंकिता, से कन्फर्म करके बताउंगी..
फिर मैंने अंकिता से इस बारें में बात करी.. अंकिता ने नेक्स्ट डे प्लान बनाया.. कुछ समान लाने के बहाने से वो अमन को मेरे यहाँ भेजने वाली थी.. मैंने भी राज को सब समझा के रेडी कर दिया था..
उस दिन अमन करीब 11 बजे घर आया था.. रंगीला ऑफीस जा चुके थे.. मेरे पास काफ़ी वक़्त था अमन के साथ एंजाय करने के लिए..
अमन – गुड मॉर्निंग आंटी..
मिनी – गुड मॉर्निंग बेटा और कैसे हो ..?..?..
अमन – ठीक हूँ आंटी, मम्मी ने बोला की आप से मिल के, कोई पैकेट है वो लाने के लिए..
मिनी – हाँ आओ ना बैठो..
अमन – धन्यवाद आंटी..
मिनी – और बताओ कैसा चल रहा है ..?..
अमन – सब ठीक आंटी, प्लीज़ आंटी आप मम्मी को कभी नहीं बताना की उस दिन बीच पे मैंने क्या किया था ..?..
मिनी – हाँ वो तो ऑब्वियस है ना, क्यूँ बताउंगी मैं..
अमन धन्यवाद आंटी..
मिनी – वैसे तुमने उस दिन सही बोला था की की हमारे से बेटर गाण्ड और चुचि तुम्हारी मम्मी की है..
अमन – सॉरी आंटी, मुझे पता नहीं था की आप और मम्मी दोस्त हो.. मेरे मुंह से निकाल गया था..
मिनी – अरे नहीं, अब सच ही तो बोला था तुमने.. तो तुम अपनी मम्मी को इमेजिन करके मूठ तो मारते होगे..
अमन – नहीं आंटी.. ऐसा कुछ नहीं है..
मिनी – झूठ मत बोलो, क्यूँ की अंकिता सब जानती है की तुम क्या क्या करते हो.. उसने ही बताया था मुझे..
अमन – सॉरी आंटी, मुझे मालूम है की ग़लत है पर क्या करूँ, मम्मी को जब से नंगा देखा है मैं खुद को रोक नहीं पता और उन्हें इमेजिन करके मूठ मार लेता हूँ..
मिनी – एक बात सच बताओ, तुम बस मूठ मारते हो या अंकिता को चोदना भी चाहते हो.. यदि तुम बोलो तो मैं अंकिता से बात कर के तुम्हें वो भी दिला सकती हूँ..
अमन – नहीं, आंटी.. मैं कभी नहीं सोचता की मैं अपनी मम्मी को चोदूगा.. वो तो बस मूठ मारने के लिए..
मिनी – ओ के .. इट्स गुड.. मम्मी की फ्रेंड्स को भी इमेजिन करके हिलाते हो ..?..
अमन – नहीं आंटी..
मिनी – रियली..?..?..?..
अमन – आंटी, सच बोलूं तो हाँ कभी कभी मम्मी की फ्रेंड्स को भी सोच के मूठ मारता हूँ..
मिनी – पर ऐसा कैसे की कोई तुम्हारे घर आता है, और तुम अपने बेड रूम से उन्हें ताड़ के मूठ मार लेटे हो.. मतलब ऐसा क्या दिख जाता है तुम्हें..
अमन – आंटी, बस अपना इमेजिनेशन इस्तेमाल कर लेता हूँ..
मिनी – देखो तुम भी मेरे बेटे जैसे ही हो इसलिए बता रही हूँ की यदि कहीं से तुम्हें सच में अंकिता को चोदने का मन हो भी तो, उसे कंट्रोल कर लो.. अपनी मा को चोदना अच्छी बात नहीं है.. बहुत सारे कॉंप्लिकेशन है..
अमन – प्रॉमिस आंटी कभी भी अपनी मा को नहीं चोदूगा..
मिनी – और बताओ कोई गर्ल फ्रेंड है..?..
अमन – नहीं आंटी अभी तक तो नहीं..
मिनी – इसलिए तुम अभी तक हाथ इस्तेमाल कर रहे हो..
अमन – हाँ आंटी..
मिनी – बेटर, जल्दी से एक गर्ल फ्रेंड बनाओ और उसके साथ सेक्स एंजाय करो..
अमन – एक लड़की है, मैं ट्राइ कर रहा हूँ आंटी उसे अपनी गर्ल फ्रेंड बनाने का..
मिनी – गुड, शी इस फ़्रेंड..?..?..
अमन – हाँ आंटी.. पर डर लगता है की कैसे बोलूं उसे..
मिनी – कुछ मत बोलो..
अमन – फिर..?..
मिनी – कुछ नहीं, उसे एक नाइस डिनर पे ले के जाओ..
अमन – हमने तो साथ मैं डिनर किया है..
मिनी – बस वो और तुम..
अमन – नहीं आंटी 4 का ग्रूप था..
मिनी – 4 के साथ डिनर काउंट नहीं होता बेटा.. ओन्ली हर आउट.. फिर ड्रॉप हर होम.. ड्रॉप करते वक़्त गिव हर किस ऑन लिप्स.. इफ़ शी इस इंटरेसटेड , वो प्रोटेस्ट नहीं करेगी.. और सब कुछ पास हुआ तो अस्क हर आउट अगेन, टेल हेर की तुमने उसके साथ प्राइवेट टाइम कितना एंजाय किया.. मेक हर फील स्पेशल.. फिर स्लोली तुम आगे बढ़ सकते हो..
अमन – नाइस टिप आंटी.. मैं ज़रूर उसे डिनर के लिए पूछूँगा..
मिनी – ओ के .. एनी वे अमन मैं बहुत दुखी हूँ..
अमन – क्यूँ आंटी ..?..
मिनी – तुमने कभी मुझे इमेजिन करके मूठ नहीं मारा ना..
अमन – नहीं आंटी, जब अकेला होता हूँ तो आपको ही इमेजिन करके मूठ मारता हूँ.. वो बीच वाली बात याद करके मेरा लंड वैसे भी टाइट हो जाता है..
मिनी – मुझे भी याद आता है बीच वाली वो वारदात.. मुझे बहुत अच्छा लगा था की तुम मुझे देख के मूठ मार रहे हो..
अमन – आंटी आपको देख के तो मेरा लंड अभी भी टाइट हो गया है..
मिनी – तो मारो ना मूठ.. मुझे देखना है..
अमन – मूठ मार के आपको फिर से ब्रा में अपना रस दूँ ..?..
मिनी – पहले अपना लंड तो निकालो..
फिर अमन ने अपनी ज़िप खोली और उसमे से टाइट लम्बा सा लंड निकाल के हाथ में ले के खड़ा हो गया..
मिनी – वाव, तुम्हारा लंड तो पहले से ही टाइट है..
अमन – हाँ आंटी, आपकी याद में ये सलामी दे रहा है..
मिनी – दिखाओ कैसे मूठ मारते हो मुझे याद करके..
अमन फिर सोफे पे अपना लंड हाथ में लिए बैठ गया.. और आँखें बंद के मिनी आंटी मिनी आंटी करके अपना लंड मुठियाने लगा..
मिनी – रूको अमन, आँखें बंद क्यूँ कर रहे हो, मिनी आंटी तो तुम्हारे सामने है..
अमन – आंटी आप भी कुछ हेल्प करो ना..
मिनी – कैसा हेल्प चाहिए ..?..
अमन – आंटी अपना ब्रा निकाल के दो ना मुझे, मैं उसे सूंघते हुए अपना लंड हिलना चाहता हूँ..
मिनी – फ्रेश ब्रा, या जो अभी पहना हुआ है वो ..?..
अमन – फ्रेश नहीं आंटी, यही वाला.. इसमे आपकी चुचि की गर्मी होगी अभी तक..
मिनी – ओ के .. तुम लंड हिलना कंटिन्यू रखो, मैं तुम्हें गरम करने के लिए कुछ दिखती हूँ..
अमन ने फिर मेरी तरफ नज़र गाड़ा के लंड को हिलना शुरू किया.. मैंने अपना टॉप निकाला.. फिर अपना स्कर्ट भी निकाल दिया.. ब्रा और पैंटी में अमन के लिए थोड़ा शो दिखाया.. मैंने दोनों हाथों से अपनी चुचियों के दबा के अमन को टीज़ करना शुरू किया.. फिर राइट वाली चुचि को ब्रा से निकाल के अमन को उसका दर्शन कराया और अपनी लेफ्ट हाथ मैंने पानी पैंटी में डाल के खेलने लगी..
अमन इतने में ही गरम होने लगा था और ज़ोर ज़ोर से अपना लंड हिलाने लगा..
मिनी – बेटा, कहीं जाना है क्या.. आराम आराम से हिलाओ.. और याद रखना जब भी लगे पानी निकलन वाला है लंड को फ्री छोड़ देना, ताकि पानी जल्दी से ना निकले..
फिर मैंने अपनी ब्रा खोल के अमन के तरफ फेंक दी..
उसने दूसरे हाथ से मेरे ब्रा पकड़ा और उसे सूंघने लगा..
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