RE: Chudai Story मा की मस्ती
फिर रमण ने आरती के पूरे शरीर पे चुंबनो की बौछार कर दी,तब तक आरती भी बहुत गरम हो गयी थी और अब वो गर्मी उसकी बर्दाश्त से बाहर हो रही थी,उसकी चूत मे इस टाइम खलबली मची हुई थी,और इसको सिर्फ़ रमण का लंड ही शांत कर सकता था,इसलिए अब उसने अपना हाथ नीचे ले जा कर अंडरवेर के उपर ही रमण के लंड पर रख दिया,आरती का हाथ जैसे ही रमण के लंड के उपर टच हुआ,एकदम से रमण के लंड ने फूँकार सी मारी,और उसमे बहुत कडपन आ गया,तब रमण ने भी अपना एक हाथ नीचे ले जा कर अपनी अंडरवेर को थोड़ा सा नीचे किया और अपने तने हुए लंड को उसके बंधन से आज़ाद कर दिया,और आरती के हाथ को अपने लंड पे ले जा कर रख दिया,आरती को ऐसा लगा कि जैसे कोई बहुत गरम चीज़ उसके हाथ मे आ गयी है,पर उसने फिर भी लंड को नही छोड़ा,और उधर रमण के लंड को जैसे ही आरती के मुलायम हाथों का स्पर्श मिला वो और ज़्यादा भड़क उठा.
अब आरती से बिल्कुल बर्दाश्त नही हो रहा था,तो उसने रमण से कहा कि रमण अब कुछ करो मेरी चूत मे आग जैसी लग रही है,इसको कैसे भी करके शांत करो,रमण बोला भाभी जी ये तो अब मेरे साँप के आपके बिल मे जाने से ही शांत होगी.
आरती -तुम कुछ भी करो पर अब मुझ से मेरी चूत की खुजली सही नही जा रही,इसको ख़तम कर दो.
रमण-फिर तो आपको मेरा ये मूसल अपनी चूत मे लेना होगा,और वो यहाँ सोफे पर मुश्किल है.
आरती-तो चलो फिर बेडरूम मे चलते हैं.
रमण-ठीक है,और उसने पहले अपनी पॅंट को अपने से अलग किया ,और अपना अंडरवेर ठीक किया ,फिर आगे बढ़ कर आरती को अपनी बाहों मे उठा लिया,आरती ने सिर्फ़ स्कर्ट डाली हुई थी,बाकी के कपड़े वहीं पर बिखरे पड़े थे.
रमण-अब कहाँ को चलें,आरती ने उसको अपने बेडरूम की तरफ चलने का इशारा किया,तो वो उधर ही चल दिया.
इधर बाहर से मनु ये सब देख रहा था,और सुन भी रहा था कि अब उसकी मा को बहुत गर्मी चढ़ गयी है और अब वो अपनी चूत मरवाना चाहती है,वो ये सोच कर बहुत एक्शिटेड हो गया कि अब माँ की लाइव चुदाई देखने को मिलेगी,ये सोच कर तो उसके हाथ पैर काँपने लगे की अब आगे तो बहुत ही शानदार सीन आने वाला है,उसने जब देखा कि रमण ने आरती को अपनी बाहों मे उठा लिया है और वो उसके बेडरूम की तरफ जा रहा है,तो उसने अपनी अंडरवेर बिल्कुल ही निकाल दी और वो नीचे से बिल्कुल नंगा हो गया.
तब तक रमण आरती को ले कर उसके बेडरूम मे जा चुका था.
इसलिए मनु जल्दी से ड्रॉयिंग रूम मे आया और वहाँ से सबसे पहले आपनी मा की कच्छि उठाई,फिर उसने उसको अपनी नाक पर लगाया,और सूंघने लगा,उसकी खुसबू तो उसको भी मदहोश कर रही थी,फिर उसने अपनी जीभ बाहर निकाली और जहाँ से उसकी माँ चूस रही थी वहाँ पर ही अपनी जीभ लगाई,जैसे ही जीभ वहाँ टच हुई एक करेंट सा उसके शरीर मे दौड़ गया,वहाँ से उसको एक नमकीन स्वाद चूसने को मिला,अब तो मनु का लंड फिर से उस-से बग़ावत करने लगा था,और अब वो फिर से अककड़ गया था.
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