RE: Hindi Porn Stories कंचन -बेटी बहन से बहू तक का सफ़र
एक दिन मैं रात को विकी के कमरे में जा के बोली,
“ विकी, मेरे बाथरूम में पानी नहीं आ रहा, मैं तेरे बाथरूम में नहा लूँ?”
“ ज़रूर दीदी, इसमे पूछने की क्या बात है. नहा लीजिए.”
मैने विकी के बाथरूम में नाहया और जान बूझ कर अपनी उतरी हुई पॅंटी को विकी के बाथरूम के दरवाज़े के पीछे छोड़ आई. अपने कमरे में आ के मैने लाइट बंद कर ली और दरवाज़े के छेद में फँसे लकड़ी के गुटके को निकाल के विकी के कमरे में झाँकने लगी. विकी अपने बाथरूम में गया. जब वो बाहर निकला तो उसके हाथ में मेरी पॅंटी थी. वो मेरी पॅंटी को सूंघ रहा था और उसके चेहरे पर उत्तेजना थी. उसने अपने कपड़े उतार दिए. जैसे ही उसने अपनी पॅंट उतारी मैं तो बेहोश होते होते बची. उसका लॉडा बुरी तरह से फंफना रहा था. इतना मोटा और लंबा था की मैने आज तक किसी ब्लू फिल्म में भी इतना बड़ा लंड नहीं देखा था. अब मेरी समझ में आया कि क्यों मम्मी भी इस भयानक लॉड को देख के घबरा गयी थी. लॉडा कहाँ था, ये तो वाकाई बिजली का खंबा था! अपनी आँखों पे विश्वास नहीं हो रहा था कि किसी आदमी का लंड इतना बड़ा भी हो सकता है. मैं सोचने लगी की इस राक्षस को झेल भी पाउन्गि की नहीं. ये तो सुचमुच मेरी चूत फाड़ देगा. ये बिजली का खमबा तो मेरी चूत को किसी और के लायक छोड़ेगा ही नहीं. इतने में विकी ने मेरी पॅंटी को उस जगह चूमना शुरू कर दिया जहाँ मेरी चूत पॅंटी पे रगड़ती थी. फिर उसने पंटी को अपने लंड के सुपरे पे रख लिया और अपने लंड को हाथ से आगे पीछे करने लगा. उसके लंड पे तंगी मेरी छ्होटी सी पॅंटी ऐसी लग रही थी जैसे किसी नारियल के पेड पर तंगी हुई हो. थोरी देर मूठ मारने के बाद विकी झार गया और सारा वीर्य मेरी पॅंटी पर उंड़ेल दिया. पॅंटी से अपने लंड को सॉफ करके उसने मेरी पॅंटी वापस अपने बाथरूम में रख दी.
जल्दी ही वो मोका भी हाथ लग गया जिसका मुझे बेसब्री से इंतज़ार था. मम्मी पापा को किसी शादी में दो दिन के लिए जाना था. जिस दिन मम्मी पापा गये उसी रात का प्लान मैने बनाया. रात को नहा के मैने वो गाउन पहन लिया जो मेरे पति ने मुझे हनिमून के दौरान दिया था. ये गाउन सिल्क का था और मेरे घुटनों से 6 इंच ऊपर रहता था. गाउन के नीचे मैने ब्रा और पॅंटी नहीं पहनी. अब तो मैं उस छ्होटे से गाउन के नीचे बिल्कुल नंगी थी. मैने लकड़ी का गुटका निकाल के विकी के कमरे में झाँका. विकी के बदन पे सिर्फ़ एक लूँगी थी ओर वो बिस्तेर पे लेटा हुआ कोई नॉवेल पढ़ रहा था. उसका एक हाथ लंड को सहला रहा था.
क्रमशः.........
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