RE: Incest Kahani दीदी और बीबी की टक्कर
दीदी ने चूत को अच्छी तरह से सॉफ किया ऑर दूसरी पैंटी पहनकर बाहर निकल गयी.
मैं भी जल्दी से फ्रेश हुआ रूम मे आकर तैयार हो गया. ड्रॉयिंग रूम मे आया ऑर बेड पर बैठ गया. तभी दीदी किचन मे से आई. ओर अपने रूम मे घुस गयी.
15 मिनिट्स के बाद दीदी भी तैयार हो गयी. दीदी आकर मेरे सामने खड़ी हो गयी उनका चेहरा खिला हुया था ऑर मंद-मंद मुस्कुरा रही थी.
राज- वाह अनिता डार्लिंग क्या बात है तुम तो एकदम बदल गयी हो
दीदी- सब आपका देन है
अच्छा चलिए नाश्ता कर लीजिए हमे ऑफीस भी जाना है.
फिर हम ने नाश्ता किए ऑर ड्यूटी की ओर निकल गये. आज कोई टेन्षन नही था.
शाम को मैं घर लौटा तो दीदी आ गई थी. मैं आकर सोफे पर बैठ गया. दीदी एक ग्लास पानी ले आई ऑर मुझे देते हुए'' पानी पी लीजिए'
मैने पानी पिया और ग्लास को नीचे फर्श पर रख दिया. दीदी आकर मेरे पास बैठ गयी
मेने दीदी को अपनी जाँघो पर बैठाते हुए'' अनिता तुम तो मेरी बीवी हो'
दीदी- हाँ तो इसमे क्या पुछने वाली बात है.
राज- जब तुम मेरी बीवी है तो तुम्हारे कपड़े दूसरे कमरे मे क्यो है चलो जल्दी से मेरे कमरे मे सेट करो.
दीदी- अच्छा ये बात है मैं अपने कपड़ों को आपके रूम मे यानी कि हमारे रूम मे सेट कर चुकी हूँ.
मैने दीदी के गालो को चूमते हुए'' चल ठीक है''
मैं रूम मे आया तो अनिता भी आ गई . अनिता ने अपने हाथो से मेरी शर्ट निकाल कर नीचे फेक दी. फिर नीचे बैठ गयी और जुतो को निकालते हुए एक ओर रख दी. मैने एक टॉवेल लपेट लिया. अनिता भी कपड़े निकालने लगी मैं बाथरूम मे आया ऑर फ्रेश होकर फिर से रूम मे आया तो दीदी एक वाइट कलर की ब्रा-पैंटी मे खड़ी होकर ब्रा का हुक खोल रही थी लेकिन हुक नही खूल रहा था. मैं आगे बढ़ा ऑर ब्रा के हुक को खूल दिया.
दीदी ने एक नाइटी पहनी ऑर किचन की तरफ चली गयी..
मैं सोफे के उपर बैठा ऑर टी.वी. देखने लगा. खाना बनाने के बाद हम ने खाना खाया ऑर मैं जाकर बेड पर लेट गया.
लगभग 30मिनिट्स के बाद दीदी आई उसने दरवाजे को अंदर से बंद किया. मेरे पास आकर लेट गयी. मैं ने दीदी की नाइटी ऑर पैंटी को निकाल कर बेड पर रख दिया ऑर अंडरवेर निकालने के बाद मैं भी नंगा हो गया.
फिर मैने दीदी को तीन बार चोदा ऑर बाहों मे बाहों मे डाले सो गये. हमारा रोज को काम हो गया दिनभर ऑफीस मे ऑर रात को चुदाई ऑर सारा पानी चूत के अंदर.
इस तरह 12 दिन बीत गये.
आज लगभग दीदी को चोदते हुए 12 दिन बीत गये. सुबह का समय था
मैं सोफे पर बैठा टी.वी. पर न्यूज़ देख रहा था कि दीदी को ज़ोर-ज़ोर से उल्टिया होने लगी. मैं दीदी के साथ बाथरूम मे घुस गया. वो उल्टिया करने लगी मैं उनकी पीठ को सहलाते हुए' क्या हुआ अनिता'
दीदी खड़ी हुई मुँह धोया ऑर मेरी आँखो मे देखते हुए' मुझे शर्म आ रही है'
मैने दीदी को अपनी बाहों मे समाते हुए' क्या हुआ है जो मेरी बीवी बताने शर्मा रही है.''
दीदी- आप बाप बनाने वाले है
दीदी की बातो को सुनकर मैं खुशी के मारे पागल हो गया. दीदी के पूरे चेहरे को चूमने लगा.
मैने दीदी को बाहों मे उठाया ऑर बेडरूम पर लाकर लिटा दिया.
मैं दीदी की नाइटी को उपर उठाया ऑर पेट को नंगा कर दिया ऑर दीदी के पूरे पेट को चूमने लगा.
दीदी- ये क्या कर रहे है ...
राज- देखो मैं अपने बचे को प्यार कर रहा हूँ. तुमको इसमे बोलने की कोई ज़रूरत नही है.
मैं दीदी के पेट को चूमते हुए'' हेलो बेटा कब आओगे''
फिर मैं दीदी के पेट पर कान लगाकर सुनने लगा जैसे पेट के अंदर से मेरा बेटा बोल रहा हो. '' हेलो डेडी'' मैं जल्दी आऊंगा.
मैं फिर से दीदी के पेट पर कान सटाकर:' देखो अपनी मम्मी को तंग ना करना नही तो बहुत ही पिटाई लगाउँगा''.
दीदी मेरी बात सुनकर खिलखिलाकर हसने लगी.
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