RE: Sexbaba Hindi Kahani अमरबेल एक प्रेमकहानी
दोस्तों से ही बातों बातों में उसने जानकारी की कि ऐसी कोई जगह जहाँ किसी आदमी को ढूढना मुश्किल हो. लोगो में अधिकतर का मत था दिल्ली या बम्बई. अब राज बम्बई तो जा नही सकता था. दिल्ली उसके पास ही पड़ती थी. उसने दिल्ली चलने का प्लान बना लिया.
उसने फटाफट कोमल को चिट्ठी लिख दी. रात भर प्लान बनाता रहा. उधर कोमल भी रात भर सोचती रही. नींद तो दोनों की ही उड़ चुकी थी. दोनों को अपने अपने घरों परिवारों को छोड़ कर जाना था. जिन्होंने पालापोसा, जिनके साथ खेले कूदे उन सब का साथ छूटना था. लेकिन नींद बड़ी सौतन थी. कितना बचे लेकिन फिर भी आ गयी. दोनों सो चुके थे.
दूसरी सुबह फिर वही सब हुआ जो पहले होता था, सब लोग सामान्य थे लेकिन कोमल और राज के दिलों में तूफ़ान आया हुआ था. इन दोनों को छोड़ कोई नही जानता था कि क्या ऐसा होने वाला है जिससे सूरतेहाल इतने बदल जायेगे जिसका अंदाज़ा भी लगाना मुश्किल है?
कोमल अपनी बहन के साथ अपने कॉलेज पहुंची. पीछे पीछे राज भी गेट पर जाकर खड़ा हो गया. कुछ देर बाद कोमल निकल कर आई. नाटा लड़का उसे चिट्ठी दे आया. आज दोनों में से कोई नही मुस्कुराया. दोनों प्रेमियों के मुख पर चिंता की हजारों लकीरें खिची हुई थीं.
राज की चिट्ठी ले कोमल उसे पढने चली गयी. आज सब्र ही कहाँ था कि थोड़ी देर भी रुका जाय? राज भी घर चला आया क्योंकि उसे बहुत से बाकी काम भी करने थे. इधर कोमल ने चिट्ठी पढनी शुरू की, “मेरी प्यारी कोमल. तुम्हारे खत ने मुझे बहुत रुलाया. सच में एक लड़की होना अपने आप में बहुत बड़ी बात है. मुझे ये भी पता है कि ये जो कदम हम लोग उठाने जा रहे है वो तुम्हारे लिए कितना मुश्किल है. तुम भी तो जानती होगी कि ये सब में हमारी भलाई के लिए ही कर रहा हूँ. यहाँ से चलने की योजना कल की है.
कल तुम इसी तरह कॉलेज आना. चाहों तो घर वालों के नाम एक चिट्ठी भी लिख देना जो तुम्हारे जाने के बाद उन लोगों को पढ़ने को मिल जाए. आखिर वो भी तुम्हारे माँ बाप है उन्हें भी तो खबर होनी चाहिए कि तुम क्या करने जा रही हो? में भी अपने घर वालों को एक चिट्ठी लिख कर छोड़ जाऊँगा. तुम्हारे इंटरवल होने के बाद हम लोग यहाँ से निकल लेंगे. पहले हम उस आम के पेड़ के नीचे रहेंगे क्योंकि दिन दहाड़े जाते हुए हमे कोई भी देख सकता है. फिर शाम होते ही यहाँ से दिल्ली के लिए रवाना हो जायेगे. दिल को ताकत देती रहना एक भी कमजोरी बहुत बड़ी मुसीबत का कारण बन सकती है. कल यहाँ आकर जब में इशारा करूं तो तुम तुरंत भागी चली आना. बाकी की बातें कल मिलने पर, तुम्हारा अपना राज."
कोमल का दिल खत पढ़कर धकधका उठा. उसे पता था कि तूफ़ान आने में बस कुछ ही समय शेष है. इस आने वाले तूफ़ान की तीव्रता का अंदाज़ा भी वो लगा रही थी. लेकिन तूफान को कोई रोक नही सकता ये जान कर दिल को तसल्ली दिए जा रही थी. आज आज का ही दिन था उसके पास कुछ भी करने के लिए. अगले दिन चिड़िया अपने घोसले से उड़ जायेगी.
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