RE: xxx indian stories आखिरी शिकार
राज ने देखा एकाएक जान फ्रेडरिक का चेहरा विकत हो उठा और उसकी सांस तेज हो गई थी | शायद उसकी आंखों के सामने टार्चर के दृश्य घूमने लगे थे।
राज उसके दोबारा बोलने की प्रतीक्षा करने लगा।
"मेरी एक बांह कन्धे से उखाड़ चुकने के बाद" - जान फ्रेडरिक फिर बोला - "और छुरे की तेज नोक से मेरी एक आंख अपनी कटोरी से निकाल चुकने के बाद भी चीनी एजेन्ट जब मुझसे ज्योति विश्वास का पता जान पाने में कामयाब नहीं हए
तो उन्होंने मुझसे हार मान ली । उन्होंने मुझे छोड़ दिया । वैसे भी मैं उनके टॉर्चर द्वारा मौत के इतने करीब पहुंच चुका था कि मैं किसी भी क्षण दम तोड़ सकता था । इसलिये उन्होंने मुझे छोड़ दियाऔर वे रोशनी की जुबान खुलवाने के प्रयत्नों में लग गये । रोशनी पर उन्होंने यातनाओं के कौन से तरीके आजमाये, यह मैं अपनी आंखों से नहीं देख सका । पीड़ा के आधिक्य से मैं अपनी चेतना खो बैठा । बाद में मुझे रोशनी ने बताया कि क्या हआ था और जो कुछ उसने मुझे बताया उस पर मैं फौरन विश्वास नहीं कर सका ।"
"जार्ज टेलर ने हमें धोखा दिया था । मैंने और रोशनी ने नारकीय यातनायें सहकर भी अपनी जुबान बन्द रखी, लेकिन जार्ज टेलर ने एक क्षण में हमारे किये-धरे पर पानी फेर दिया । रोशनी ने मुझे बताया कि उसकी जुबान खुलवाने में भी असफल रहने के बाद जब चीनी एजेन्टों ने जार्ज टेलर पर हाथ डाला तो जार्ज ने फौरन अपनी जबान खोल दी । इससे पहले की चीनी उसे जरा भी टार्चर कर पाते, उसने उन्हें ज्योति विश्वास और हमारे अन्य साथियों का पता बता दिया । जब मुझे होश आया तो मैंने अपने आपको, रोशनी और जार्ज टेलर के साथ एक ही कमरे में बन्द पाया । मैं शारीरिक रूप से इतना छिन्न-भिन्न हो चुका था कि उसके बाद कई दिन तक मुझे होश नहीं आया था । रोशनी पर भी चीनियों ने बहुत जुल्म ढाया था । उसके शरीर के कई भागों से खून बह रहा था लेकिन जार्ज टेलर के शरीर पर एक खरोंच भी नहीं आई थी । जाहिर था कि हमारी हालत देखकर ही उसके हौसले पस्त हो गये थे, वह इतना भयभीत हो गया था कि टार्चर की नौबत आने से पहले ही उसने अपनी जुबान खोल दी थी । उसके बाद मुझे तभी पूरी तरह होश आया, जब हमें चीनी एजेन्टों के चंगुल से निकल भागने का अवसर मिला ।"
"कैसे?"
"न जाने कैसे जिस इमारत में हम गिरफ्तार थे, उसमें भीषण आग लग गई । हमें इमारत के साथ जलने से बचाने के लिये हमारे कमरे का दरवाजा भी खोला गया । उस वक्त जार्ज टेलर ने गजब की फुर्ती का परिचय दिया । उसने दरवाजा खोलने आये एक गार्ड को दबोच लिया और उसी की संगीन से उसका काम तमाम कर दिया। दूसरे गार्ड को उसने पहले गार्ड से हाथापाई में छीनी बन्दूक की गोली से उड़ा दिया । आग की वजह से इमारत में काफी हलचल मची हुई थी इसलिये हमें वहां से निकल भागने का अवसर मिल गया । जार्ज टेलर मेरे और रोशनी के लगभग मुर्दा शरीरों को घसीटता हुआ इमारत से बाहर ले आया वहां से हम एक अंधेरी गली में घुस गये । उसके बाद जार्ज टेलर हमसे अलग हो गया था । क्योंकि वह पूरी तरह स्वस्थ था इसलिये ज्यादा सहूलियत से खतरे से दूर हो गया था । हमारा तो वहां से निकल भागना एक करिश्मा ही था । हमारी इतनी बुरी हालत थी कि हमसे एक कदम आगे नहीं उठता था । हर क्षण हमें ऐसा लगता था जैसे हमारे प्राण निकल जायेंगे । लेकिन जीवित रहने की तीव्र इच्छा के कारण हमारे में कुछ ऐसी दैवी शक्ति आ गई थी कि हम किसी प्रकार अपने शरीरों को घसीट घसीट कर अपने एक गुप्त अड्डे तक पहुंच पाने में सफल हो ही गये।"
जान फ्रेडरिक एक क्षण रुका और फिर बोला - "बाद में हमें मालूम हुआ था कि चीनी सीक्रेट सर्विस ने ज्योति विश्वास का पता मिलते ही उस अड्डे पर छापा मारा था जहां ज्योति विश्वास अन्य साथियों के साथ रह रहा था । संयोगवश उस समय अड़े पर ज्योति विश्वास के साथ केवल लैला और ली ता नान ही मौजूद थे । लैला और ली ता नान सीक्रेट सर्विस के लोगों से लड़ते हुए वहीं मारे गये लेकिन ज्योति विश्वास को वे जीवित पकड़ने में सफल हो गये थे । ज्योति विश्वास ने चीनी सीक्रेट पुलिस के टार्चर चेम्बर में एड़ियां रगड़-रगड़ कर जान दे दी लेकिन उसने यह नहीं बताया कि उसके बाकी साथी कहां हैं। दस दिन बाद जब चीनी एजेन्टों के सब्र का प्याला भर गया था तो उन्होंने ज्योति विश्वास को शूट कर दिया था ।"
"तौफीक इस्माइल, जे सिंहाकुल, अनिल साहनी और तांग पेई उनकी पकड़ में नहीं आये?"
"नहीं । सौभाग्यवश वे उस समय अड्डे की ओर लौट रहे थे जब हमारे फंसे हुए साथियों में और चीनी एजेन्टों में जंग छिड़ी हुई थी । वे चुपचाप वहां से खिसक गये थे और उस गुप्त अड्डे पर पहुंच गये थे जहां मैं और रोशनी छुपे हुये थे ।"
"फिर?"
"फिर हम लोग तब तक उस गुप्त अड्डे पर छुपे रहे जब तक कि उखड़ी हुई बांह में मेरे कन्धे पर पैदा हुआ जख्म और मेरी आंख के खाली स्थान का जख्म भर नहीं गया और जब तक रोशनी भी
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