RE: XXX Hindi Kahani अलफांसे की शादी
टॉर्चर चेयर पर बैठी आशा को अपना सिर बुरी तरह से भभकता हुआ महसूस हो रहा था, हजार वॉट वाले बल्ब की तीखी रोशनी उसकी आंखों में सुई के समान चुभ रही थी— सारे बल्बों के फोकस आशा के चेहरे और सिर पर फिक्स थे—उसे नींद आ रही थी—टॉर्चर चेयर पर बैठे-बैठे उसे चालीस घणटे के करीब हो गए थे।
इस बीच एक मिनट के लिए भी उसे सोने नहीं दिया गया था।
आंखें जलती हुई-सी महसूस हो रही थीं।
न चाहते हुए भी उसकी आंखें बन्द होती चली गईं और अभी पूरी तरह बन्द हुई भी नहीं थीं कि ठीक सामने खड़े जेम्स बॉण्ड ने एक गिलास पानी झटके से उसके चेहरे पर फेंका।
'छपाक्' की आवाज के साथ ही आशा चौंक-सी पड़ी, एक कराह निकली उसके होंठों से—विनती करती हुई-सी बोली—“मुझे सोने दो—प्लीज....मुझे नींद आ रही है।”
“कहो कि तुम आशा हो।” बॉण्ड गुर्राया।
“न...नहीं।”
“मैं तुम्हें नहीं सोने दूंगा, नींद से बहुत प्यार है न तुम्हें—सोना चाहती हो तो एक ही रास्ता है—बोलो कि तुम आशा हो—तुम आशा....।” बॉण्ड का वाक्य बीच में ही रह गया।
उसकी तर्जनी में पड़ी चौड़े नगवाली अंगूठी स्पार्क कर रही थी—बॉण्ड बड़ी तेजी से गिलास एक तरफ फेंककर पीछे हटा, अगले ही पल उसने अंगूठी में मौजूद ट्रांसमीटर ऑन कर दिया—दूसरी तरफ से आवाज आई, “एजेण्ट डबल एन नाइन स्पीकिंग ओवर!”
“हां रिपोर्ट दो—ओवर!”
“ये लोग मुझे आशा समझकर अपने साथ ले आए हैं ओवर!”
“वैरी गुड!” जेम्स बॉण्ड की आंखें हीरों की तरह चमक उठीं—“इस वक्त तुम कहां से बोल रही हो ओवर?”
“पीटर हाउस से, इन लोगों ने यहीं डेरा जमा रखा है—इस वक्त वे चारों यहीं हैं और कम-से-कम तीन घण्टे तक यहीं रहेंगे, बड़ा अच्छा मौका है, पीटर हाउस को सशस्त्र फोर्स से घिरवा दो।”
“ओ.के.—मैं ऐसा ही करता हूं, तुम सतर्क रहना—ओवर एण्ड ऑल!” कहने के तुरन्त बाद बॉण्ड ने जल्दी से ट्रांसमीटर ऑफ किया और टॉर्चर रूम से बाहर निकलने के लिए दरवाजे की तरफ लपका।
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