RE: Free Sex Kahani स्पेशल करवाचौथ
रूबी :" अरे मा जी ये तो प्रिया हैं अनूप के ऑफिस में काम करती हैं। मैं कल ऑफिस गई तो मुझे ये अच्छी लगी इसलिए घर आने को बोल दिया था।
शांता:" अच्छा बेटी, प्रिया बेटी तुम्हारे घर में कौन है और ?
प्रिया एक पल के लिए तो बुरी तरह से डर गई क्योंकि उसे शांता से इस तरह के सवाल की उम्मीद नहीं थी लेकिन फिर अपने आपको संभालते हुए बोली:"
" जी मम्मी पापा हैं बस।
प्रिया के इतना बोलते ही शांता की सोच को ब्रेक अपने आप लग गया और बोली:".
" ठीक हैं बेटी, तुम बहुत अच्छी लड़की हो प्रिया, भगवान तुझे हमेशा खुश रखे।
उसके बाद शांता अंदर किचेन में चली गई जबकि तीनो नाश्ता कर चुके थे।
प्रिया:" अच्छा मैडम मैं अब चलती हू , मेरी जॉब का क्या होगा अब ?
रूबी ने जेब से कुछ पैसे निकाले और प्रिया की तरफ बढ़ाते हुए बोली:"
" लो ये रख लो, जल्दी ही मैं तुम्हे एक अच्छी जॉब दिलवा दूंगी।
प्रिया:" अरे नहीं मैडम, मुझे पैसे नहीं चाहिए, मैं बहुत स्वाभिमानी लड़की हूं मुझे बस आप कोई जॉब दिलवा देना जल्दी ही।
रूबी:" ठीक हैं प्रिया, एक दो दिन रुको, मैं करती हूं कुछ।
इतना कहकर रूबी ने वो रुपए जबरदस्ती उसके हाथ में थमा दिए और प्रिया कुछ ना कर सकी और रुपए लेकर घर की तरफ चल पड़ी। दूसरी तरफ लीमा और अनूप प्रिया के घर के सामने खड़े थे और बेल बजाई तो एक औरत बाहर निकल अाई।
औरत:" जी बोलिए क्या काम था ?
लीमा:" जी मुझे प्रिया से मिलना था कुछ जरूरी काम हैं।
औरत:" प्रिया, कौन प्रिया यहां तो कोई प्रिया नहीं रहती हैं
लीमा और अनूप दोनो ये सुनकर परेशान हो उठे और लीमा बोली:"
" जी एड्रेस तो ये ही दिया था मुझे,
औरत:" अरे आपको गलत एड्रेस दिया गया हैं। यहां तो इस पूरी कॉलोनी में कोई प्रिया नाम कि लड़की नहीं रहती हैं।
इतना कहकर उस औरत ने गेट बंद कर लिया।अनूप के मुंह पर 12 बज चुके थे और लीमा को लग रहा था जैसे उसने अपनी आखिरी उम्मीद भी खो दी थी। दोनो के पास अब कोई रास्ता नहीं बचा था इसलिए वापिस ऑफिस की तरफ लौट पड़े।
लीमा बेहद डरी हुई थी क्योंकि वो जानती थी कि उसका राज अब खुल जाएगा और अनूप उसे ज़िंदा नहीं छोड़ेगा इसलिए वो कुछ सोचने लगी और अनूप को बोली:"
" एक मिनट गाड़ी रोकना प्लीज़, मुझे बाथरूम जाना हैं।
अनूप ने गाड़ी रोक दी और लीमा सड़क के पास ही बने एक पब्लिक टॉयलेट में घुस गई। अनूप को समझ नहीं आ रहा था कि उसकी साथ ये सब क्या हो रहा हैं और ज्यादा सोचने की वजह से उसके सिर में दर्द होने लगा तो उसने आंखे बंद कर ली। दूसरी तरफ लीमा तो किसी जंगली बिल्ली की तरह मौके की तलाश में थी और अनूप पर नजर गड़ाए हुए थी। जैसे ही पीछे से एक बस अाई तो लीमा उसमे सवार हो गई।
जब काफी देर के बाद भी लीमा नहीं अाई तो अनूप को लगा कि कहीं उसके साथ कोई गड़बड़ तो नहीं हो गई। इसलिए वो गाड़ी से उतरा और पब्लिक टॉयलेट में घुस गया लेकिन लीमा उसे कहीं नहीं दिखाई दी तो उसने परेशान होकर उसका नंबर मिलाया लेकिन नंबर भी बंद मिला। कहीं ये साली भी तो भाग नहीं गई, उफ्फ ये भगवान ये कहां फस गया मैं। प्रिया ने कैमरा लगा दिया, लीमा भाग गई मेरे साथ आखिर से सब क्या हो रहा हैं। दुखी हताश निराश परेशान अनूप अपने ऑफिस की तरफ लौट पड़ा।
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