RE: Indian Sex Kahani चूत लंड की राजनीति
अनिल के सपोर्टर्स को लगा की कुच्छ तो गड़बड़ हैं. 4-5 लड़के अनिल के साथ गये. अनिल जब डॉली के पार्टी ऑफीस मे पहुचा तो देखा की वहाँ डॉली अकेली हैं.
डॉली: “एक अकेली लड़की से इतना डर लगता हैं की अपने साथ इतने लड़के लाने पड़ गये. मैने यहा लड़ाई के लिए नही बुलाया हैं.मैं चाहती हूँ की प्यार से मिलकर कॉलेज के लिए काम करे. हम अकेले मे बात कर सकते हैं?”
अनिल ने अपने साथ आए लड़को से कहा की कोई ख़तरा नही हैं और वो लोग जा सकते हैं. मगर उन सपोर्टर लड़को ने कहा की वो मैनगेट के बाहर थोड़ी दूर इंतेजार करेंगे, ताकि कोई गड़बड़ ना हो.
डॉली: “जाते जाते दरवाजा बंद कर जाना”
सारे लड़के दरवाज़ बंद कर बाहर चले गये और अब पार्टी ऑफीस मे सिर्फ़ डॉली अपनी कुर्सी पर बैठी थी और टेबल के दूसरी तरफ सामने बैठा था अनिल.
डॉली: “मैं चाहती हूँ की आपसी सहमति से बिना इलेक्शन के ही कॉलेज का प्रेसीडेंट चुन लिया जाए”
अनिल: “तो ठीक हैं. तुम अपना नॉमिनेशन वापिस ले लो”
डॉली: “तुम इसके बदले मुझे क्या दे सकते हो?”
अनिल: “मेरे पास देने के लिए कुच्छ हैं भी नही. मैं तुम्हारी तरह अमीर फॅमिली से नही हूँ”
डॉली: “मगर मैं दे सकती हूँ. बोलो कितना पैसा चाहिए”
अनिल: “मुझे पता था तुम यही कहोगी. मगर मैं पैसो मे बिकाऊ नही हूँ. मैं यहा इलेक्शन जीतने आया हूँ”
डॉली अपनी कुर्सी से खड़ी हो गयी और घूम कर टेबल के दूसरी तरफ अनिल की कुर्सी के पास आ गयी. डॉली ने दुपट्टा गले से निकाला और अपनी कुर्सी पर फेंक दिया.
डॉली फिर टेबल पर बैठ गयी और अपना पाव अनिल की चेयर पर रख दिया, अनिल के दोनो घुटनो के बीच मे. अनिल थोड़ा घबराया.
डॉली ने अनिल की एक कलाई पकड़ी और उसकी हथेली को अपने एक बूब्स पर रख कर दबा दिया. अनिल देखता रह गया. फिर डॉली ने अनिल का हाथ छोड़ दिया.
डॉली भी अपनी मा ज्योति की तरह गजब की खूबसूरत थी. गौरा रंग, पतली कमर, भूरे रंगे हुए और कट्रल किए हुए बाल. कई लड़को का दिल उसके लिए धड़कता था.
अनिल: “यह क्या था!”
डॉली: “मैं जिस टेबल पर बैठी हूँ, इसी टेबल पर मैं अपने सारे कपड़े उतार कर लेट सकती हूँ. तुम्हे मेरे साथ जो करना हैं कर लेना. मगर तुम्हे अपना नॉमिनेशन वापिस लेना होगा”
अनिल: “तो तुम अपनी इज़्ज़त का सौदा एक कुर्सी के लिए कर रही हो. तुम्हे क्यू लगता हैं की मैं मान जाउन्गा!”
डॉली: “तुमने अभी मेरे बूब को छुआ, तुम्हे कैसा लगा?”
अनिल: “अच्छा ही लगेगा. उपर से तुम खूबसूरत भी हो”
डॉली: “तो फिर तुम मेरी इस खूब सूरत जवानी को नंगा नही देखना चाहते! एक हसीन लड़की को चोदना नही चाहते?”
अनिल: “तुम्हे नंगा देखना और चोदना हर एक लड़के का सपना हैं. मैं भी चाहता हूँ पर उसके लिए मैं नॉमिनेशन वापिस नही लेना चाहता”
डॉली: “तो और क्या चाहिए!”
अनिल: “एक बार फिर से हाथ लगा कर देखु?”
डॉली: “लगा लो”
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