RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
वीरू उसके नंगे बदन को देखते हुए बोला: हाँ उस कुत्ते की ख़ूब धुनाई की है मैंने और उसको निकाल दिया है।
मैंने देखा कि उसकी आँखें वासना से भरने लगी थी उसने नितम्बों को देखकर,फिर मैंने देखा उसके पैंट में तंबू तन गया था, अपनी सगी भांजी को वो वासनामय दृष्टि से देख रहा था। फिर मैंने उसकी गाँड़ में क्रीम लगाने लगा।मेरा लंड भी उसकी चिकनी गाँड़ देखकर खड़ा हो गया था। फिर मैंने उसको सीधा लेटने को बोला: वो शर्माते हुए सीधे हो गयी अब उसकी जाँघों पर भी लाल निशान थे, उस कमीने ने यहाँ भी मारा था उस प्यारी सी लड़की को। अब मैंने उसकी जाँघ पर क्रीम लगाई और फिर चूत को देखा, वहाँ भी लाल निशान थे, मैंने उसकी जाँघें फेलाई और उसके चूत में भी क्रीम लगाया और उसकी गुलाबी चूतदेखकर मस्त हो गया जिसपर थोड़े से भूरे से बाल थे।शायद उसने कभी अपने बाल शेव नहीं किया था।मेरा लंड बहुत अकड़ गया था, तभी मैंने देखा कि वीरू अपना लंड मसल रहा था। मैंने मधु से पूछा: बेटी, क्या यहाँ (उसकी चूत को छूकर) भी मारा था उसने?
वो बोली: यहाँ उसने पूरी मुट्ठी में जकड़कर बहुत ज़ोर से दबाया था, बहुत दुखा था,अंकल!
मैंने वीरू की हालत देखी और बोला: देखी वीरू कितना सताया है बच्ची को यहाँ भी उस कमीने ने। वीरू ने भी हाथ बढ़ाया और उसकी चूतपर हाथ फेरकर बोला: आज कमीना, हमारी छोटी सी बच्ची का क्या हाल कर दिया है, और उसकी चूतपर थोड़ा ज़्यादा ही देर हाथ से सहलाया।अब मैंने पूछा: बेटी उसने तुम्हारी छातियों को भी दबाया था?
वो बोली: जी अंकल, बहुत ज़ोर से दबाया था, अब तक दुःख रहा है।
मैंने उसकी टॉप को ऊपर किया तो उसकी छातियाँ जो अनार सी सख़्त थीं को देखा वो भी लाल हो रही थीं।मैंने वहाँ भी क्रीम लगाया और उसकी गोलाइयों को सहलाते हुए पूछा: बेटी अभी भी दुःख रहा है?
वो बोली: जी अंकल बहुत दुःख रहा है।
मैं बोला: देखो वीरू इस कमीने ने कितनी बेरहमी से मसला है इसकी छातियों को! वीरू ने भी उसकी छातियों को हल्के से सहलाया और बोला: हाय मेरी बेटी का तो उसने बुरा हाल कर दिया है।
मैंने पूछा: बेटी कब से वो कमीना तुम्हारे साथ ऐसा कर रहा था? और तुमने अपने मामा को बताया क्यों नहीं?
वो बोली: उसने ये चार दिन पहले से ही चालू किया था और उसने मुझे जान से मारने की भी धमकी दी थी की अगर मैं मामाजी को बताऊँगी तो, मैं डर गयी थी।
उसके मामा ने उसके गाल चूमे और प्यार किया।
फिर मैंने उसका टॉप नीचे किया और उसके स्कर्ट को भी नीचे किया, फिर उसको सोने के लिए बोलकर, हम दोनों अपने लंड को दबाते हुए बाहर हॉल में आकर बैठ गए।
वीरू: यार, अगर हम आज नहीं आते तो वो कमीना पता नहीं इस बेचारी के साथ क्या क्या करता!
मैं: हाँ यार वो हरामज़ादा इसकी नाज़ुक गाँड़ तो फाड़ ही देता।
वीरू: यार एक बात की मुझे शर्म आ रही है कि उस प्यारी सी बच्ची को इस हालत मेंदेखकर भी मेरा लंड खड़ा हो गया।
मैं: देख भाई लंड तो मेरा भी खड़ा है।हालात ही कुछ ऐसे हो गए हैं।इसमें हमारा कोई दोष नहीं है।जवान होती लड़की को नंगी देखकर कोई भी पागल हो जाएगा।
वो बोला: हाँ यार, लेकिन अब राजू को तो निकाल दिया अब इस बेबी का कौन ध्यान रखेगा? मेरी बीवी तो बस पार्टी ही करती रहती है।
मैं बोला: यार मैं अभी इंतज़ाम करता हूँ। फिर मैंने एक दोस्त को बोलकर एक एजेन्सी से एक नौकरानी का इंतज़ाम कर दिया जो कल से आ जाएगी।
वो ख़ुश हो गया और बोला:चलो ये अच्छा हो गया।मेरी चिंता दूर हो गई।लेकिन सच में मैं शर्मिंदा हीं कि अपनी भांजी के लिए मेरे मन में गंदे विचार आए।
मैं बोला: अरे क्या बार बार शर्मिंदा हो रहे हो, इस जैसी जवान सुंदर लड़की को देखकर तो मुर्दे का लंड भी खड़ा हो जाएगा।अब मैं तुमको क्या बताऊँ मेरी बहु --- चलो जाने दो।
वो बोला: क्या बोल रहे थे अपनी बहू के बारे में? बोलो ना।
मैं: अब क्या बोलूँ, वो भी सुंदर है जवान है,और मेरा बेटा अमेरिका मेंरहता है। और उसको मैंने नंगी अपनी चूतमें ऊँगली करते देखा है।
उसकी आँखें बाहर आने लगी, वो बोला: फिर तुमने क्या किया?
मैं बोला: मैं क्या कर सकता था?
वो बोला: नहीं मैं नहीं मानता, बता ना फिर क्या हुआ?
मैं बोला: यार तू किसी को बोलेगा तो नहीं ना? उसने ना बोला। फिर मैं बोला: हाँ अब वो मेरी बीवी की तरह रहती है मेरे साथ।
उसकी आँखें फट गयी और बोला: ओह, इसीलिए आजकल तू लड़कियों को चोदने से मतलब नहीं रह गया क्योंकि घर में ही मस्त माल मिल गया था।
मैं बोला: हाँ यार इसीलिए अब मैं बाहर लड़की नहीं ढूँढता।
वीरू: यार पहले तो तू हर माल मेरे साथ बाटता था, इस बार क्या हो गया?
मैं: यार वो मेरी बहू है, थोड़ा सोचना पड़ेगा।पर एक बात हो सकती है कि तुम मधु को नूरी के साथ रहने दो, तो वो इसका ध्यान भी रख लेगी और अगर तू चाहेगा तो उसको तेरे लिए तय्यार भी कर देगी।
वो बोला: क्या मतलब? मैं समझा नहीं!
मैं: भाई मेरे, अब जब तेरा लंड अपनी भांजी पर आ ही गया है, तो उसको नूरी मानसिक रूप से तय्यार करके उसकी चूत दिलवा देगी।
वो बोला: ओह पर ऐसा करना क्या ठीक होगा? वो अभी बच्ची है!
मैं बोला:अरे कोई बच्ची नहीं है, क्या मस्त दूध हैं और चूत भी जवान हो गईं है। मज़े से चूदवा लेगी।
वीरू अपना लंड मसलते हुए बोला: आह सच कह रहा है तू , वो जवान हो गईंहै, उसको चोदे बिना अब नहीं रहा जाएगा।
मैं बोला: तो फिर कल से उसको बोल देते हैं कि स्कूल के बाद वो सीधे नूरी के पास चली जाए, बाक़ी का नूरी देख लेगी।
वो बोला: ये ठीक रहेगा। चलो उसका हाल देख लेते हैं।
अब हम मधु के कमरे मेंगए, वो सो रही थी, हमारी आवाज़ से वो उठ गयी, और हमको देखने लगी।वीरू ने उसके गालों को चूमते हुए बोला: बेटी,अब दर्द कम हुआ?
वो बोली:जी मामा जी, अब थोड़ा आराम है।
वीरू बोला: एक बार और क्रीम लगा देते हैं, फिर पूरा आराम मिल जाएगा।फिर वो मुझे बोला: लाओ क्रीम ला दो, मैं लगा देता हूँ।
मैंने उसको क्रीम दिया और सोचने लगा की अबकि वो ही मज़ा लेगा।
इसके बाद वो मधु के कुछ कहने के पहले ही उसने उसका टॉप ऊपर कर दिया। अब उसकी छातियाँ कम लाल थीं। फिर उसने वहाँ पर क्रीम लगाया और क्रीम लगते हुए उसकी छातियाँ सहला दिया। और दबाके पूछा: अब भी दर्द हो रहा है?
वो बोली: आह आह अब बहुत कम हो गया है। ऐसा लग रहा था किवो भी गरम हो रही थी।फिर वीरू ने उसका टॉप वापस अपनी जगह पर कर दिया।फिर उसने मधु का स्कर्ट उठाया और उसके चूतऔर जाँघों मेंभी क्रीम लगाया। हम दोनों ने देखा कि उसकी चूतभी गीली हो रही थी।बाद में उसको पलटकर उसके चूतरों और गाँड़ में क्रीम लगाया। फिर उसने उसकी स्कर्ट नीचे किया।
अब हम दोनों का लंड पूरा खड़ा था।
फिर हमने उसको नूरी के बारे में बताया और कहा कि वो तुम्हारा पूरा ध्यान रखेगी।वो ख़ुश हो गयी बोली: मैं तो अकेले बोर हो जाती हूँ और उस कमीने राजू से भी मुक्ति मिल गईं।ये बहुत अच्छा रहेगा।
फिर मैं अपने घर के लिए निकल गया।
घर आकर मैंने नूरी को सब बताया तो वो बोली: उधर उस लड़की के साथ इतना कुछ हो गया और आप उसका मामा उसके लिए अपना खड़ा करके बैठ गए। छी मर्द आख़िर मर्द ही होते हैं। और ये बताइए आपको अपने दोस्त को हमारे सम्बन्धों के बारे मेंबताने की क्या ज़रूरत थी?
मैं उसके हमले से बचाव करते हुए बोला: अरे वो उसका जवान बदन देख कर हमारे मुँह मेंपानी आ गया।और वो हमारे सम्बन्धों के बारे में उसको इसलिए बताया क्योंकि मैं तुम्हारी ज़िंदगी मेंकुछ नयापन लाना चाहता हूँ।
वो बोली: क्या मतलब?
मैं बोला: देखो, हम इतने दिनों से मियाँ और बीवी जैसे रहते हैं और रोज़ कई बार चूदाइ भी करते हैं, पर कुछ नयापन लाने के लिए मैंने सोचा कितुम वीरू के साथ थोड़ी मस्ती कर लो।
वो बोली: कैसी मस्ती? मैं कुछ समझी नहीं।
मैं बोला: अरे मेरी भोली बेबी, तुम चाहो तो वीरू से चूदवा सकती हो।वो एक बार तुमको देखेगा तो पागल हो जाएगा?
वो चौक कर बोली: डैडी छि आप ऐसा कैसे बोल रहे हैं।आपकी बात और है, पर क्या मैं अब आपके दोस्तों से भी करवाऊँगी?
मैं बोला: मेरी रानी बेटी, इसने बुरा क्या है, कुछ तुमको भी बदलाव का मज़ा भी मिलेगा।और ये बात गुप्त भी रहेगी, वो किसी से कहेगा थोड़े ही। और एक बात वो एक तगड़ा मर्द है, तुमको चोद कर मस्त कर देगा।
अब उसका भी विरोध कमहो रहा था, वो बोली:डैडी, आप अच्छे से सोच लो,कहीं कोई प्रॉब्लम ना हो जाए।
मैं बोला: कोई प्रॉब्लम नहीं होगी, क्योंकि वो अपनी भांजी को चोदनेका मन बना लिया है, और मैं भी उसको चोदूँगा ही।इस तरह हम एक दूसरे के भेद को किसी को थोड़े बताएँगे।
वो बोली: ओह तो ये बात है। आपका मन उनकी भांजी पर आ गया है,इसलिए मुझे आप उनको सौंप रहे हो, ताकि बदले में आप उनकी भांजी को कर सको।
मैंने उसको बाहोंमेंलेकर कहा: चलो यही समझ लो, इसने बुरा क्या है? फिर उसको चूमते हुए बोला: बेबी, कल से स्कूल से सीधे मधु यहीं आएगी और २- ५ बजे तक तुम्हारे पास रहेगी। उसको जल्दी से तय्यार कर दो ताकि उसका मामा उसकी चूत का उद्घाटन कर दे और बाद मेंमैं भी उसको चोदूँगा।पहले भी मैं और वीरू लौंडियों को मिल कर चोदते थे।
वो हँसने लगी और बोली: ठीक है डैडी, ये भी कर दूँगी आपके इस लंड के लिए, और ऐसा बोलते हुए मेरा लंड दबाने लगी, वी अब पूरा खड़ा हो गया था। मैंने उसको बिस्तर पर लिटाकर नंगा किया और चोदनेलगा। वो भी मस्ती से चूदवाते हुए बोली: डैडी, वीरू अंकल कैसे चोदते हैं? उनका लंड कैसा है?
मैं बोला: वो मस्त चूदक्कड़ है, और उसका लंड मेरे सो थोड़ा बड़ा ही होगा। तुमको बहुत मज़ा आएगा।हम दोनों कभी तुमको साथ मेंभी चोदेंगे। जैसे ब्लू फ़िल्म मेंहोता है, एक लंड चूतमें और एक गाँड़ में।
वो ये सोचकर ही गरम हो गयी और बोली: आह्ह्ह्ह्ह तब तो मजाऽऽऽऽ ही आऽऽ जायेगाऽऽऽऽऽऽऽ। हाऽऽय्यय और ज़ोर से चोदो आऽऽऽऽहहह फाऽऽदड़द्द दो मेरीइइइइ चूत । और फिर हम दोनों झड़ गए।
अगले दिन का क़िस्सा मुझे नूरी ने बताया।
मधु दोपहर को स्कूल से नूरी के पास आइ और नूरी और वो बहुत जल्दी ही घुल मिल गयी। फिर खाना खाने के बाद वो दोनों आराम करने बेडरूम में आ गयीं।वहाँ पर नूरी बोली:बेबी तुम्हारी चोटों का क्या हाल है?
वो बोली:कल से बहुत आराम है, पर अभी भी बैठने से दुखता है।
नूरी: ओह चलो दिखाओ, मैं चेक कर लेती हूँ।
वो शर्माकर बोली: ठीक हो जाएगा अपने आप, रहने दो ना आप परेशान ना होएँ।
नूरी: अरे डैडी ने कहा है किमैं तुमको दवाई लगा दूँ, नहीं लगाया तो ग़ुस्सा करेंगे।
फिर नूरी ने उसको उलटा लेटाया और उसकी स्कर्ट ऊपर करके उसकी जाँघों पर लाल निशान देखकर हैरान हो जाती है, फिर वो उसकी पैंटी नीचे करती है, और उसके चूतरों की गोलायीयों को लाल देखकर कहती है: बहुत मारा है उस कमीने ने तुमको ।
वो बोली: दीदी छेद में बहुत दुखता है, मैं टॉयलेट करती हूँ तब भी दुखता है।
नूरी: उसके चूतरों को फैलाकर उसकी गाँड़ के छेद को देखती है, और बोली: हाय तेरी तो गाँड़ उसने फाड़ ही दी है, क्या डाला था उसने?
मधु: दीदी उसने एकदम से ऊँगली डालदी थी और बहुत देर तक उसको रगड़ते रहा अंदर बाहर, बहुत दुखाथा वहाँ।
नूरी उसके लिए ऐंटिसेप्टिक क्रीम लायी और उसके छेद में थोड़ी सी ऊँगली डालकर लगाई। वो आह कर उठी। फिर उसने सब लाल निशानों पर भी क्रीम लगाई। फिर उसको पलटकर सीधा लेटाया, अब उसकी चूत उसके सामने थी।उसने जाँघों और चूतपर क्रीम लगाया।
फिर उसकी चूतके बालोंको देखकर बोली: ये बाल क्यों बढ़ाकर रखी हो?
मधु: मैंने कभी साफ़ नहीं किया।
नूरी: पगली इसको साफ़ रखना चाहिए, डैडी बोल रहे थे की उनको और तुम्हारे मामा को भी चिकनी चूतअच्छी लगेगी है ।
वो शर्मा कर बोली: दीदी ये आप कैसे शब्द बोल रही हैं? अच्छा नहीं लगता मुझको।
नूरी: अरे चूतको चूतही बोलूँगी ना, और क्या बोलूँ,वैसे हमारी ज़बान मेंइसको फुद्दी भी बोलते हैं। अच्छा चलो मैं तुम्हारे बाल अभी साफ़ करूँगी। तुम्हारे दूध भी उसने दबाके लाल कर दिए थे ना? ज़रा दिखाओ? फिर नूरी ने उसका टॉप उतार दिया और उसकी बहुत छोटी सी ब्रा मेंफँसे उसके दूध देखकर वो बोली: अरे बेबी तुम ईंतनी छोटी ब्रा क्यों पहनती हो, तुम्हारे दूध अब बड़े हो गए हैं। चलो कोई बात नहीं मैं तुम्हें सही ब्रा दिलवाऊँगी।
फिर उसकी चुचिदबाके उसने पूछा: मधु दुखता है क्या?
मधु: जी हाँ थोड़ा सा, उसने बहुत मसला था इनको।
नूरी ने उसकी चूचियों को क्रीम लगाया और फिर उसके दूध दबाने लगी। नूरी की हरकतों से मधु आह्ह्ह्ह्ह करने लगी।फिर वो झुककर उसकी चुचि चूसने लगी, अब हैरान होकर मधु चिल्लायी हाय्य्य्य्य दीदी आऽऽऽह क्या कर रही हो?
नूरी: अच्छा नहीं लग रहा क्या?
मधु: अच्छा तो बहुत लग रहा है, पर आप ऐसा क्यों कर रहे हो?
मधु बोली: तुमको मज़ा देने के लिए,फिर एक ऊँगली उसकी चूतमें डालके उसके गिलापन का अहसास किया। फिर वो उठकर एक पुराना अख़बार लाई और उसके चूतरोंके नीचे लगा दिया।अब उसने मधु के घुटने मोड़कर उसकी टांगों को फैलाया और उसके बालोंपर बाल साफ़ करने वाली क्रीम लगाई और सब तरफ़ चूतके चारों ओर अच्छी तरह से लगा दी। फिर हाथ धोकर आइ और उसकी चूचियाँ दबाने और चूसने लगीं। मधु मस्त होकर उसका सर अपनी छातियोंपर दबाने लगी, और सिसकारियाँ भरने लगी।फिर क़रीब दस मिनट के बाद नूरी उठकर नीचे आइ, अब उसने रुई की मदद से उसकी बालोंकी सफ़ाई की, जब पूरे बालसाफ़ हो गए तो मधु को बाथरूम जाने को बोल वो अख़बार को बालों के साथ समेटकर कचरे मेंडाल आइऔर बाथरूममेंपहुँची जहाँ मधु अपनी चूत की जाँच कर रही थी। नूरी ने मुस्करा कर उसकी चूतको हैंडशॉवर से धोया और साबुन से अच्छे से धोकर साफ़ किया।फिर उसकी चूतपर हाथ फेर कर बोली: देखो कितनी चिकनी हो गई है। अब तो डैडी और तुम्हारे माना भी बहुत मस्त हो जाएँगे।
वो बोली: दीदी, आप बार बार अपने डैडी ओर मामाजी का नाम क्यों लेती हो?
नूरी बोली: इसलिए कि वो तेरी बालोंवाली चूत देख चुके हैं अब जब इस चिकनी चूत को देखेंगे तो मस्त हो जाएँगे।
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