RE: Indian Porn Kahani पापा से शादी और हनीमून
मैं लड़खड़ा गई.हाफ लंड चूत के अंदर जा चुका था.पापा ने और ज़ोर का धक्का लगाया और पूरा लंड अंदर डाल दिया. मैने कहा पापा आराम से लेकिन पापा पे असर नही हुआ और वो लंड को अंदर बाहर करने लगे. मेरे बूब्स हवा में झूल रहे थे.पापा पूरी मेहनत और ताक़त से चुदाई कर रहे थे तकरीबन 20 मिनट ऐसे ही चोदने के बाद पापा ने दोनो हाथ से मेरे बूब्स पकड़ लिए और चोदने की स्पीड तेज़ कर दी. चुदाई का ये अंदाज़ मुझे बहुत मज़ा दे रहा था.
कुछ देर पापा बूब्स पकड़ के चोदते रहे. मैं फारिघ् होने वाली थी और मेरी लेग्स और कमर मे झुकने की वजह से पेन होने लगा मैने कहा पापा कमर और लेग्स मे पेन हो रहा है.पापा ने कहा थोड़ी देर और मैं फारिघ् होने वाला हूँ फिर उन के धक्कों की स्पीड और तेज़ हो गई. लंड चूत के अंदर तक टकराता तो मूँह से आह निकल जाती तकरीबन 2 मिनट चोदने के बाद पापा के पानी की धार मुझे अपनी चूत मे गिरती फील हुई. जब पानी निकल गया तब पापा ने लंड बाहर निकाला मैं बुरी तरह थक गई थी और वहीं सोफे पर गिर पड़ी. जब हमारी साँसें बहाल हुई तब पापा मुझे उठा के बाथरूम मे ले गये और मुझे और अपने को साफ किया. हम बेड पर आ गये पापा ने मेरी चूत और मैने उन के लंड पर किस किया और सो गये.
सुबह मेरी आँख खुली तो देखा पापा का लंड खड़ा था जो बहुत प्यारा लग रहा था लंबा मोटा मैने उठ कर लंड पर किस की. जैसे ही किस की पापा उठ गये और मुझे पकड़ कर अपने साथ लिटा लिया.पापा मेरे बूब्स को देखने लगे मैने कहा ऐसे क्या देख रहे हैं क्या दूध पीना है?
पापा ने कहा हाँ पिलाओगी अपना दूध?
मैने कहा वो तो आप रोज़ पीते हैं.
पापा बोले वो तो मैं खुद पीता हूँ लेकिन कभी तुम खुद से पिलाओ.
मैने कहा ये कॉन सी बड़ी बात है और अपने एक बूब को हाथ से पकड़ कर निपल पापा के मूँह से लगा दिया.पापा ने निपल मूँह मे लिया और चूसने लगे. चूसने के साथ साथ दाँतों से काट भी लेते. मज़े से मैं पागल हो रही थी.थोड़ी देर एक बूब्स चुसवा कर मैने निपल पापा के मूँह से निकाल लिया और उठ गई.पापा सवालिया नज़रो से मुझे देखने लगे.मैने पापा को अपनी जगह पर जाने को कहा जब पापा मेरी जगह पर लेट गये तो मैं उन की जगह पर आ गई और लेट गई. फिर मैने दूसरे बूब को पकड़ कर निपल पापा के मूँह से लगाया और कहा ये रह गया था.
पापा ज़ोर से निपल चूसने लगे काफ़ी देर बूब्स चुसते और काटते रहे.मेरे दोनो बूब्स पर काटने से निशान बन गये थे. मैं हॉट हो गई थी और चूत मे गीला पन फील कर रही थी. पापा भी बहुत हॉट हो गये थे उन का लंड झटके खा रहा था. पापा ने मुझे हाथ उपर कर के सीधा लेटने को कहा जब मैं इस पोज़िशन मे लेट गई तो पापा ने मेरी आर्म्पाइट(बगल)को पहले सूँघा और कहा किरण क्या महक है तुम्हारी बगल की फिर मेरी बगल को चाटने लगे और अपनी फिंगर मेरी गीली चूत मे डाल दी.
मैं तो एक लम्हे को मज़े से सिहर उठी पापा ज़ोर से फिंगर करने लगे कुछ देर के बाद दूसरी फिंगर भी डाल दी.फिंगर्स ने मेरी चूत मे आग लगा दी थी मुझे लंड की ज़रूरत फील हो रही थी मैं अपने चूतड़ बेड पर पटकने लगी.पापा मेरी कंडीशन को समझ गये और लेटे लेटे ही मेरी एक लेग उठा कर लंड को गीली चूत मे डाल दिया.लंड के चूत मे आने से मुझे अच्छा लगा और मैं लंड को चूत से भींचने लगी पापा पहले स्लो स्लो लंड पेलते रहे फिर ज़ोर ज़ोर से पेलने लगे. इस पोज़िशन मे मैं 1स्ट टाइम करवा रही थी लेकिन पापा के स्ट्रॉंग और मोटे लंबे लंड ने बहुत मज़ा दिया था. तकरीबन आधा घंटा वो मुझे चोदते रहे इस दोरान मेरे बूब्स को भी दबाते और मसल्ते रहे जिस से मुझे बहुत मज़ा आया.
फिर पापा फारिघ् हो गये मैने उन के पानी को हमेशा की तरह अपनी चूत मे वेलकम कहा.जब पापा ने लंड बाहर निकाला तो मैं ने शरारत से लंड पर हल्के से मारते हुए कहा कि बहुत तंग करता है ये.पापा फॉरन बोले जब इतना मस्त माल देखेगा तो तंग तो करेगा . फिर हम उठे कपड़े पहने और नाश्ता किया.
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