RE: Hindi Sex Kahani सियासत और साजिश
दूसरी तरफ राज के लिए आज का दिन बहुत ही ख़ुसी से भरा हुआ था, उसने अपनी हवेली मे खेतो मे काम करने वाले कुछ मजदूरों को बुलवा लिया था, और हवेली की सॉफ सफाई ज़ोर शॉरों पर चालू हो चुकी थी…..
राज : (हरिया को) काका देखो आज मेरी हवेली को दुल्हन की तरह सज़ा दो….कोई भी कमी नही रहनी चाहिए…हवेली की चकाचोंध आस पास के सभी गाँवो मे फैल जानी चाहिए…..जो भी देखे बस देखता ही रह जाए….पूरी हवेली की अच्छी से सफाई करो….और पैंट भी…..मुझे कोई भी कमी नज़र नही आनी चाहिए…..
हरिया: ठीक है बाबू जी…..बस आप देखते जाओ….
तभी दूसरी तरफ से विशाल राज की तरफ आता हुआ नज़र आया….
विशाल: (राज की और बढ़ते हुए ख़ुसी से चिल्लाते हुए) राज ओ मेरे यार…क्या खबर सुनाई है तूने, दिल ख़ुसी के मारे नाच रहा है…..कसम से सबसे पहले तेरे पास ही चला आ रहा हूँ……….
ये कहते हुए, विशाल राज के पास आया, और उसके गले से लग गया. राज भी विशाल को देख कर और खुस हो गया….
राज : चल आ अंदर चल कर बैठते हैं…..
विशाल: नही यार मुझ बहुत ज़रूरी काम है अभी जाना पड़ेगा….शाम को बैठते है…. और महफ़िल जमाते हैं….
राज : हां यार क्यों नही….चल ठीक है, मे तेरा शाम को इंतजार करूँगा….
विशाल के जाने के बाद राज हवेली के अंदर आ गया, और सीधा किचिन मे चला गया, जहाँ रोमा काम कर रही थी….रोमा का चेहरा राज की शादी की बात सुन कर उतरा हुआ था.
राज : (पीछे से रोमा को अपनी बाहों मे भरते हुए) क्या हुआ तुम नाराज़ हो मुझसे…ऐसे क्यों मुँह फूला कर बैठी हो.
रोमा: हटिए बाबू जी….आप ने तो शादी करने का सोच लिया…..अब आप इस ग़रीब को तो भूल ही जाओगे….
राज : अर्रे ऐसे कैसे भूल जाउन्गा….तू तो मेरी जान है…..
रोमा: हटिए मे सब जानती हूँ…..
रोमा जानती थी कि, राज और उसकी कोई बराबरी नही है, और रोमा और राज के बीच मे जो था, वो दुनिया की नज़रों से दूर रहे यही रोमा के लिए अच्छा था….
राज ने रोमा को छोड़ दिया, और किचिन से बाहर आ गया, हवेली मे चारो तरफ सफाई का काम चल रहा था…..
अगली सुबह डॉली साहिल और रवि के साथ गाँव पहुँच गये…..राज किसी काम से बाहर गया हुआ था…..जब राज वापिस आया तब तक, डॉली साहिल और रवि दोपहर का खाना खा चुके थे……जैसे ही राज हाल के अंदर आया, तो साहिल उसकी तरफ दौड़ता हुआ गया. और राज ने साहिल को अपनी बाहों मे उठा लिया….
साहिल: मामा जी मामा जी आप मेरे लिए नयी मम्मी ला रहे हैं ?
राज : (मुस्कुराते हुए) नही तो तुमसे किसने कहा ?
साहिल: मम्मा ने कहा….
राज : झूट बोल रही है तुम्हारी मम्मा.
साहिल: (चिल्लाते हुए) मम्मा मम्मा देखो ना मामा जी कह रहे हैं कि, आप झूट बोल रही हैं….
डॉली: राज की तरफ आते हुए) नही बेटा जी….मे नही झूठ तो तुम्हारे मामा बोल रहे हैं…..अब उन्हे शरम आ रही है ना……
डॉली राज के गले लग गयी…..
साहिल: नही मामा जी झूट बोल रहे हैं ना.
राज : हां यार मे ही झूट बोल रहा था, बोल कल चलेगा अपनी मम्मी से मिलने के लिए…..
साहिल: हां आप के साथ?
राज : नही यार मे नही जा रहा….तुम अपनी मम्मी के साथ जाओगे ?
साहिल: ये हां मामा जी मे भी जाउन्गा….मम्मी को देखने…..
राज ने साहिल को नीचे उतार दिया….और साहिल खेल मे लग गया….डॉली राज का हाथ पकड़ कर उसे सोफे के पास ले आई….और दोनो सोफे पर बैठ गये….
डॉली: हां तो भैया अब बताइए….भाभी को कहाँ मिली थी…..
राज : (शरमाते हुए) पार्टी मे मिला था…..
डॉली: कैसी है मेरी नयी भाभी सुन्दर है ?
राज : (झेपते हुए) तुम कल खुद ही देख लेना…मुझ नही पता…..
राज उठ कर अपने रूम मे आ गया…..डॉली वहीं सोफे पर बैठ कर मुस्कुराने लगी….और मन मे सोचने लगी….कि उसका भाई कितना शर्मिला है….वो तो एक दम मासूम सा है अभी भी वैसे ही है…..जैसे अपने कॉलेज के दिनो मे था….पर डॉली आज के राज की सच्चाई से अंजान थी…..
अगली सुबह हवेली मे जोरों शॉरो से तैयारी चल रही थी….सब इधर उधर तेज़ी से भागते हुए काम कर रहे थे…..डॉली और साहिल और साथ मे रवि सुमन के घर शगुन लेकर जाने के तैयारी कर रहे थे…..डॉली शगुन का समान पॅक कर रही थी. राज उसके पास आकर बैठ गया…
राज : डॉली
डॉली : जी भैया……
राज : मे तुम्हारे साथ पंडित जी को भी भेज रहा हूँ…..वहाँ जाकर शादी की डेट भी फिक्स कर लेना….
डॉली: (मुस्कुराते हुए) ऊह हो अब जनाब से रहा भी नही जा रहा क्यों इतनी जल्दी क्या है शादी करने की…
राज : अर्रे यार तुम तो पीछे ही पड़ जाती हो….मे तो वैसे ही कह रहा था….
डॉली: अच्छा-2 ठीक है….मे जो भी अच्छी डेट निकलेगी…उसे फिक्स कर दूँगी….
डॉली साहिल और रवि के साथ सुमन के घर के लिए निकल गयी….राज के दिल मे ख़ुसी की उमंगे उठ रही थी….अब सुमन उसकी होने वाली थी….ये सोचते हुए वो मस्ती मे हवेली के अंदर चला गया……राज सुबह से नाहया नही था…. उसने अंदर आकर देखा तो, रोमा उसके रूम की सफाई कर रही थी……
राज ने अपने रूम को अंदर से लॉक किया, और बिना किसी आहट के पीछे जाकर रोमा को अपनी बाहों मे भर लिया….रोमा एक दम से घबरा गयी….
रोमा: (पीछे मूड कर राज की ओर देखते हुए) उफ़फ्फ़ हटिए बाबू जी क्या कर रहे हैं…कोई देख लेगा…..
राज : (रोमा राज की बाहों मे छटपटा रही थी) साली रांड़ मे देख रहा हूँ कि तू आज कल कुछ ज़्यादा ही नखरे करने लगी है…..
ये कहते हुए, राज ने रोमा को बेड पर पटक दिया, और उसकी टाँगों को पकड़ कर थोड़ा सा अपनी तरफ घसीटा….राज बेड के किनारे खड़ा था….जैसे ही रोमा खिसकती हुई बेड के किनारे आई…राज ने उसकी साड़ी और पेटिकोट को एक साथ ऊपेर उठा दिया….और रोमा की टाँगों को मोड़ कर ऊपर उठा कर दोनो ओर फैला दिया… रोमा की झान्टो से भरी चूत देख कर राज का लंड उसके पाजामा मे झटके खाने लगा.
राज : चाल साली अपने हाथों से अपनी चूत को फैला कर रखा….दिखा तेरी चूत मेरा लंड लेने के लिए तैयार है कि नही…..
रोमा राज की तरफ हैरानी से देखते हुए, अपने हाथों को अपनी चूत पर ले आई, और अपनी झान्टो से भरी चूत की फांकों को दोनो हाथों की उंगलियों से फैला लिया…. राज की आँखों मे रोमा की चूत का गुलाबी छेद देख कर चमक आ गयी. उसने जल्दी से अपनी पाजामा और कुर्ता उतार कर फैंक दिया…..और फिर अपने अंडरवेर को भी उतार कर फैंक दिया…….
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