RE: Sex kahani द मैजिक मिरर (Tell Of Tilism)
तभी टू टू की मैसेज की आवाज आती है ये मैसेज प्रीति, रानी, सोनिया और सबके पास आता है। जो भी उस मैसेज को देख रही थी सब वावsssss अमेज़िंग यार करके बातें कर रही थी।वेकिन रानी और सोनिया अभी केक का रही थी। उन्होंने अभी तक मैसेज भी नही देखा। फिर राज रानी और सोनिया का हाथ पकड़ कर घर चलने को बोलता है और खींचते हुए कार की तरफ ले जाता है।
रानी और सोनिया दोनों राज के साथ कार में बैठ कर घर आने के लिए निकलने लगती है उसी वक़्त बाकी फ्रेंड्स और सीनियर लडकिया दोनो को बाय सी यू बोलकर विदा कर देती है।
रानी सोनिया और राज तीनो 4 बजे तक घर पहुंच जाते है। घर पहुंचत ही रानी और सोनिया कपड़े बदलने के लिए अपने कमरे में चली जाती है और वहीं राज अपने कमरे में चला जाता है।
अपने कमरे में आकर राज अभी तक उस शर्मिंदगी को नहीं भुला पा रहा था जो रानी और सोनिया की सीनियर्स ने उसे शर्मिंदा किया।
राज में ही मन विचार कर रहा था कि " ये लड़कियां खुद को समझती क्या है? एक रानी और सोनिया दि, दोनो मुझे ज़बरदस्ती अपने कॉलेज ले के गए। ऊपर से उनकी सीनियर्स ने मेरे साथ। जैसे लड़कियों के कपड़े उनकी इज्जत होतें है वैसे ही हम लड़कों के कपड़े भी हमारी इज्जत होते है। नंगे बदन लड़की हो या लड़का नंगा तो नंगा ही होता है।"
राज ये सब सोचते हुए रोने लगा था। राज की आंखों में आंसू छलक आये थे। राज किसी भी तरह से अब उन लड़कियों को सबक सिखाना चाहता था। राज का एक मन तो बोलता था कि माफ कर दे लेकिन दूसरा मन बोलता था तेरे में हिम्मत नहीं है राज इस लिए माफ करने का बहाना बना लेना ताकि अपना दिल बहला सके। और अगर हिम्मत है तो बदला ले अपने अपमान का।
करीब 45 मिनट तक राज अपने कमरे में रोता रहा और जब राज के आंसू सुख चले तब राज ने एक निर्णय लिया। बदला ! जैसे का तैसा, जैसे मेरे कपड़े सबके सामने उतरवाए ना वो भी उन लोगों के सामने जिन्हें में जानता तक नहीं , अब उन सबके कपड़े सूत समेत उतारूंगा वो भी ऐसी जगह जहां सब होंगे जानकार भी और अजनबी भी। राज आंसू पोछ कर अपने काम मे लग जाता है।
वहीं दूसरी और रानी और सोनिया कपड़े बदल कर बैड पर लेट जाती है। और अपने डालने मोबाइल में कोई मैसेज देखती है। सभी मैसेज देखने के बाद रानी वो मैसेज खोलती है जो चंचल ने सबको सेंड किया था।
चंचल: ही रानी , चंचल हिअर, मैं तुम दोनों को कुछ दिखाना चाहती हूं। जैसे ही तुम दोनों घर पहुंच जाओ मुझे कॉल करना । मैं तुम्हारे घर के पास वाले हॉस्पिटल में ही जाऊंगी। लौटते वक्त तुम दोनों को कुछ दिखाउंगी। ताकि तुम दोनों अपना अपना वादा पूरा कर सको। और सुनो हमारे ग्रुप की बात मालूम है ना, कुछ भी करना पड़े लेकिन हमारी जुबान पूरी हो। वरना एक जुबान तो तुम तोड़ोगी। और दूसरी जुबान मुझे मजबूरी में तोड़नी पड़ेगी। इसलिए उम्मीद करती हूं मुझे ऐसा ना करना पड़े।
रानी वो मैसेज पढ़ने के बाद पूरी कंफ्यूज हो जाती है। रानी मैन ही मन सोचती है। अब मैंने कौन-सी जुबान पूरी नही की कहीं सोनिया ने तो कोई और जुबान नही दी होगी। नहीं नहीं वो तो हर वक़्त मेरे ही साथ रहती है। फिर..... ओह गॉड सोनिया से ही पूछ लेती है।
रानी: सोनी, ओ सोनिया सुन ना यार....
सोनिया: ह्म्म्मssss, क्या है यार क्यों परेशान कर रही हो।
रानी: सोनिया क्या तुमने कोई वादा किया था चंचल से?
सोनिया: क्या?? मैं? नो वे, मैं उस से कोई वादा क्यों करूँगी।
रानी: तो फिर तुम्हारे पास चंचल का मैसेज आया?
|