RE: MmsBee कोई तो रोक लो
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मेरी टीम को कोई गाना गाते ना देख, सीरू दीदी लोगों ने गिनती गिनना सुरू कर दिया. जिस से मेरी टीम मे उथल पुथल मच गयी. कुछ ऐसी ही उथल पुथल इस समय मेरे अंदर भी मची हुई थी.
मैने अमि निमी के कहने पर अंताक्षरी खेलने के लिए हां कह दिया था. लेकिन अंदर से मुझे एक गहरी उदासी ने घेरा हुआ था और मैं प्रिया का हाथ अपने हाथ मे थामे बैठा हुआ था.
मुझे ‘म’ से गाना याद होने के बाद भी, मैं खामोशी से अपनी टीम को परेशान होते देखता रहा. अभी सीरू दीदी लोगों की गिनती पाँच (5) तक ही पहुच पाई थी कि, तभी वाणी दीदी ने ‘म’ से गाना गाना सुरू कर दिया.
वाणी दीदी का गाना
“मेरे देश की धरती...
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती,
मेरे देश की धरती…
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती,
मेरे देश की धरती…
बेलो के गले मे जब घुघरू, जीवन का राग सुनाते है,
जीवन का राग सुनाते है…
गम कोसों दूर हो जाता है, खुशियो के कंवल मुस्काते है,
खुशियो के कंवल मुस्काते है…
सुनके राहत की आवाज़े..
सुनके राहत की आवाज़े, यूँ लगे कही शहनाई बजे,
यूँ लगे कही शहनाई बजे..
आते ही मस्त बहारो के दुल्हन की तरह हर खेत सजे,
दुल्हन की तरह हर खेत सजे,
मेरे देश की धरती....
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती,
मेरे देश की धरती.”
वाणी दीदी ने गाने का मुखड़ा गाया और फिर सीरू दीदी की टीम को “टी” अक्षर से गाना गाने के लिए कहा. जिसके जबाब मे सीरू दीदी ने बिना कोई देर लगाए ‘टी’ से गाना गाना सुरू कर दिया.
लेकिन सीरू दीदी के गाना गाना सुरू करते ही, अमि ने गिनती गिनना सुरू कर दिया. अमि की इस हरकत ने सीरू दीदी के साथ साथ हम सबको भी चौका दिया. किसी को समझ मे नही आ रहा था कि, अमि गिनती क्यो गिन रही है.
सबका ध्यान सीरू दीदी के गाने के साथ साथ अमि की गिनती की तरफ भी जा रहा था. सीरू दीदी भी गाना गाते गाते, अमि को गिनती गिनते देख रही थी. लेकिन ना तो सीरू दीदी ने गाना गाना बंद किया और ना ही अमि ने गिनती गिनना बंद किया.
सीरू दीदी का गाना
“तुम्ही दिन चड़े, तुम्ही दिन ढले.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.
दिल की तख़्ती पर हूँ लिखती,
इश्क़ा, इश्क़ान..
जाग क्या जाने, दिल को मेरे
इश्क़ा, किसका
लग यार गले ले, सार मेरी,
मुझे क्या परवाह इस दुनिया की,
तू जीत मेरी, जाग हार मेरी
मैं हूँ ही नही इस दुनिया की.
तुम्ही दिन चढ़े, तुम्ही दिन ढले.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.”
जैसे ही सीरू दीदी ने अपना गाना ख़तम किया, वैसे ही अमि की 10 तक की गिनती गिनना भी पूरा हो गया. अमि की गिनती पूरे होते ही, उसने शोर मचाते हुए कहा.
अमि बोली “दीदी लोग हार गयी. इन ने ग़लत गाना गया है.”
अमि की ये बात सुनते ही, हम सब हैरानी से अमि को देखते रह गये. वही सीरू दीदी ने अमि को आँख दिखाते हुए कहा.
सीरत बोली “मैने क्या ग़लत गया है. वाणी दीदी ने ‘टी’ से गाना दिया था और मैने ‘टी’ से ही गाना गया है.”
सीरू दीदी की इस बात के जबाब मे अमि ने कहा.
अमि बोली “लेकिन दीदी, आपने जो गाना गया है, वो ‘टी’ से है ही नही. असली गाना ऐसे है.”
ये कहते हुए अमि ने गाना गाते हुए कहा.
अमि का गाना
“यारा तेरे सदके, इश्क़ सीखा,
मैं तो आई जाग ताज के, इश्क़ सीखा,
मैं तो यारा तेरे सदके, इश्क़ सीखा,
मैं तो आई जाग ताज के, इश्क़ सीखा,
जब यार करे परवाह मेरी,
मुझे क्या परवाह इस दुनिया की,
जाग मुझ पे लगाए पाबंदी,
मैं हूँ ही नही इस दुनिया की.
तुम्ही दिन चढ़े, तुम्ही दिन ढले.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.
तुम्ही हो बंधु, सखा तुम्ही.”
अमि का गाना सुनते ही, मेरी सारी उदासी भाग गयी और मुझे इतनी ज़ोर से हँसी आई कि, मुझे अपनी हँसी रोकने के लिए अपने मूह पर हाथ रखना पड़ गया. ऐसा ही कुछ हाल मेरी बाकी की टीम का भी था.
मेरी टीम के सभी लोगों के चेहरो पर मुस्कुराहट आ गयी थी. मगर इस बात की सबसे ज़्यादा खुशी निमी के चेहरे पर दिख रही थी. अमि का ये गाना पूरा होते ही, निमी ने खुशी से उछल्ना और शोर मचाना सुरू कर दिया.
निमी को शोर मचाते और उच्छल कूद करते देख, छोटी माँ ने उसे डाँट कर, चुप कराया और हम लोगों को भी ज़्यादा शोर करने से मना किया. जिसके बाद शोर शराबा बंद हो गया और सब धीमे से बात करने लगे.
हमारी 8 किलो की बॉल ने सामने वाली 8 लोगों की टीम को पहली ही बॉल पर क्लीन बोल्ड कर दिया था. अमि का गाना सुनकर, सीरू दीदी की बोलती बंद हो गयी थी और खा जाने वाली नज़रों से अमि को घूर रही थी.
अमि ने जब सीरू दीदी को घूरते देखा तो, वो धीरे से बरखा दीदी के पास आकर खड़ी हो गयी. अमि निमी जबसे मुंबई आई थी, तब से बरखा दीदी ही अमि निमी का ख़याल रख रही थी.
अभी भी अमि के बरखा दीदी के पास आते ही, बरखा दीदी ने फ़ौरन अमि के गले मे अपनी दोनो बाहें डाल दी और सीरू दीदी को उल्टा आँख दिखाते हुए कहा.
बरखा दीदी बोली “हे, अमि को आँख दिखाना बंद करो. तुम लोगों की टीम हार गयी है. अब तुम्हारी टीम के किसी सदस्य को गाना गाना पड़ेगा.”
बरखा दीदी की बात सुनकर, सीरू दीदी ने अमि को घूर्ना बंद किया और अपनी टीम के साथ ख़ुसर फुसर करने लगी. कुछ देर अपनी टीम से बात करने के बाद, सीरू दीदी ने कहा कि, कीर्ति और निक्की एक गाना गाएगी.
सीरू दीदी की ये बात सुनकर, मेरी उत्सुकता बढ़ गयी और मैं गौर से कीर्ति की तरफ देखने लगा. कीर्ति ने मुस्कुरा कर मेरी तरफ देखा और अपना गाना सुरू कर दिया.
कीर्ति का गाना
“ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना रे
दे दूँगी जान जुदा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना.
(कीर्ति के गाने के बोल सुनते ही मैं समझ गया कि, वो गाने के ज़रिए मुझे मनाने की कोसिस कर रही है.)
ओ मेरी बाँहों से निकलके
तू अगर मेरे रास्ते से हट जाएगा
तो लहराके, हो बलखाके
मेरा साया तेरे तन से लिपट जाएगा
तुम छुडाओ लाख दामन
छोड़ते हैं कब ये अरमान
कि मैं भी साथ रहूंगी रहोगे जहाँ.
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना रे
दे दूँगी जान जुदा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना
ओ मियाँ हमसे ना छिपाओ
वो बनावट की सारी अदाएं लिए
कि तुम इसपे हो इतराते
कि मैं पीछे हूँ सौ इल्तिज़ाएं लिए
जी मैं खुश हूँ मेरे सोना
झूठ है क्या, सच कहो ना
कि मैं भी साथ रहूंगी रहोगे जहाँ
(कीर्ति के गाने के ये बोल सुनकर,
मेरा सारा गुस्सा गायब हो गया और
मेरे चेहरे पर मुस्कुराहट आ गयी.)
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना रे
दे दूँगी जान जुदा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना.”
निक्की के बोल
“ओ फिर हमसे ना उलझाना
नहीं लत और उलझन में पड़ जाएगी
ओ पछताओगी कुच्छ ऐसे
कि ये सुरखी लबों की उतर जाएगी
ये सज़ा तुम भूल ना जाना
प्यार को ठोकर मत लगाना
कि चला ज़ाउन्गा फिर मैं ना जाने कहाँ.”
कीर्ति के बोल
“ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना रे
दे दूँगी जान जुदा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
मैने तुझे ज़रा देर में जाना
हुआ कूसूुर खफा मत होना रे
ओ मेरे सोना रे सोना रे सोना.”
कीर्ति का गाना ख़तम हुआ और मेरे चेहरे पर मुस्कुराहट देख कर, उसकी मुस्कुराहट और भी ज़्यादा गहरी हो गयी. अपना गाना ख़तम करते ही कीर्ति ने हमारी टीम को “न” अक्षर गाने के लिए दे दिया.
जिसे सुनकर एक बार फिर हमारी टीम एक दूसरे का मूह तकने लगी. लेकिन तभी निमी ने शोर मचाते हुए कहा.
निमी बोली “मैं गाउन्गी, मैं गाउन्गी. मुझे “न” से गाना आता है.”
निमी की बात सुनकर, वाणी दीदी उसे चुप करने की कोसिस करने लगी. मगर वाणी दीदी इस बात को नही जानती थी कि, यदि अमि कोई काम करती है तो, फिर निमी उस से एक कदम आगे बढ़ कर, उस काम को ज़रूर करेगी.
ऐसा ही कुछ अभी भी हुआ. वाणी दीदी के मना करने के बाद भी, निमी ने उनकी बात को अनसुना करते हुए, गाना गाना सुरू कर दिया. वाणी दीदी ने जब निमी को सही गाना गाते देखा तो, वो खुद ही चुप होकर, उसका गाना सुनने लगी.
निमी का गाना
“नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.
नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.
ख़ाके पीके मोटे होके,
चोर बैठे रेल में.
चोरो वाला डिब्बा कट कर,
पहुँचा सीधे जेल में.
ख़ाके पीके मोटे होके,
चोर बैठे रेल में.
चोरो वाला डिब्बा कट कर,
पहुँचा सीधे जेल में.
नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.”
(निमी के गाने का मुखड़ा पूरा होते ही,
वाणी दीदी ने निमी को रुकने को कहा.
लेकिन निमी ने अपना गाना गाना चालू ही रखा.)
“उन चोरो की खूब खबर ली,
मोटे थानेदार ने.
मोरो को भी खूब नचाया,
जंगल की सरकार ने.
उन चोरो की खूब खबर ली,
मोटे थानेदार ने.
मोरो को भी खूब नचाया,
जंगल की सरकार ने.
नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.
अच्छी नानी प्यारी नानी,
रुसा रूसी छोड़ दे.
जल्दी से एक पैसा दे दे,
तू कंजूसी छोड़ दे.
अच्छी नानी प्यारी नानी,
रुसा रूसी छोड़ दे.
जल्दी से एक पैसा दे दे,
तू कंजूसी छोड़ दे.
नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.
नानी तेरी मोरनी को मोर ले गये,
बाकी जो बचा था काले चोर ले गये.”
जब तक निमी का गाना पूरा नही हो गया. उसने साँस नही ली और गाना पूरे होते ही उसने ठंडी सी साँस ली. उसके चुप होते ही बरखा दीदी ने उसकी पीठ थपथपाई और सीरू दीदी लोगों को “य” अक्षर से गाना गाने के लिए दे दिया.
इस बार सीरू दीदी लोगों ने गाना गाने मे कोई जल्दबाज़ी नही दिखाई.उनकी टीम से रिया ने “य” अक्षर से गाना गाया.
रिया का गाना
“ये समा, समा है ये प्यार का,
किसी के इंतज़ार का,
दिल ना चुराले कही मेरा,
मौसम बहार का.
ये समा, समा है ये प्यार का,
किसी के इंतज़ार का,
दिल ना चुराले कही मेरा,
मौसम बहार का.”
रिया ने अपने गाने का मुखड़ा गा कर हमारी टीम को “क” अक्षर से गाने के लिए दे दिया. जब हमारी टीम से गाने के लिए कोई आगे नही आया तो एक बार फिर से वाणी दीदी ने ही गाना गाया.
वाणी दीदी का गाना
“कर चले हम फिदा जान ओ तन साथियो
अब तुम्हारे हवाले वतन साथियो
कर चले हम फिदा जान ओ तन साथियो
अब तुम्हारे हवाले वतन साथियो
साँस थमती गयी नब्ज़ जमती गयी
फिर भी बढ़ते कदम को ना रुकने दिया
कट गये सर हमारे तो कुच्छ गम नहीं
सर हिमालय का हमने ना झुकने दिया
मरते मरते रहा बान्क्पन साथियो
अब तुम्हारे हवाले वतन साथियो
कर चले हम फिदा जान ओ तन साथियो
अब तुम्हारे हवाले वतन साथियो”
वाणी दीदी ने गाने का मुखड़ा पूरा करके एक बार फिर से सीरू दीदी लोगों को “य” से गाना गाने के लिए दे दिया.सीरू दीदी की टीम से इस बार सेलू दीदी ने गाना गाया.
सेलिना का गाना
“यह तो सच है कि भगवान है,
है मगर फिर भी अंजान है.
यह तो सच है कि भगवान है,
है मगर फिर भी अंजान है.
धरती पे रूप माँ बाप का,
उस विधाता की पहचान है.
यह तो सच है कि भगवान है.”
सेलू दीदी ने गाने का मुखड़ा पूरा करके, हमे “ह” से गाना गाने के लिए दे दिया. लेकिन इस बार भी हमारी टीम मे से किसी ने गाना गाने की पहल नही की और आख़िरी मे वाणी दीदी ने ही “ह” से गाना गया.
वाणी दीदी का गाना
“होंठों पे सच्चाई रहती है.
जहाँ दिल मे सफाई रहती है.
हम उस देश के वासी है.
जिस देश मे गंगा बहती है.
मेहमान जो हमारा होता है.
वो जान से प्यारा होता है.
ज़्यादा का नही लालच हम को.
थोड़े मे गुज़रा होता है.
बच्चो के लिए जो धरती माँ.
सदियों से सभी कुछ सहती है.
हम उस देश के वासी है.
जिस देश मे गंगा बहती है.”
वाणी दीदी ने गाने का मुखड़ा पूरा करके, सीरू दीदी लोगों को “ह” से गाना गाने के लिए दे दिया. मगर वाणी दीदी का गाना सुनकर, मेरे चेहरे पर ये सोच कर मुस्कुराहट आ गयी कि, उनको देश भक्ति के अलावा कोई गाना नही आता है.
वो इन गानो के सहारे आख़िर कब तक हमारी टीम की डूबती नैया को बचा पाएगी. मगर अगले ही पल मुझे उनके गाए गानो मे उनके अंदर छुपा देश भक्ति का जज़्बा नज़र आया और उनके नौकरी छोड़ देने वाली बात याद आ गयी.
अपनी जिस नौकरी को वो अपना पेशा नही, बल्कि देश की सेवा करने का एक ज़रिया माना करती थी. उसी नौकरी को उन ने मेरे और प्रिया के लिए एक पल मे हंसते हंसते छोड़ दिया था और अपने चेहरे पर एक शिकन तक नही आने दी थी.
ये बात दिमाग़ मे आते ही मेरे चेहरे की हँसी गायब हो गयी और मैं इसी बात मे खो कर रह गया. मुझे होश ही नही रहा कि, अंताक्षरी मे कौन क्या गा रहा है. मैं बहुत देर तक बस इसी बात मे उलझा रहा.
मुझे अंताक्षरी का होश तब आया. जब निमी ने मेरा हाथ पकड़ कर हिलाते हुए कहा.
निमी बोली “भैया जल्दी से “त” से कोई गाना गाइए, वरना हमारी टीम हार जाएगी.”
निमी की बात सुनकर, मैने यहाँ वहाँ देखा तो, मेरी टीम के सभी लोग मेरी तरफ ही देख रहे थे और सीरू दीदी गिनती गिनने मे लगी थी. सीरू दीदी की गिनती सात (7) तक पहुच चुकी थी.
मगर इस वक्त मेरा दिमाग़ प्रिया और वाणी दीदी मे उलझा हुआ था. मुझे कुछ भी सूझ नही रहा था. इसलिए मैने निमी से गाना गाने से इनकार करते हुए कहा.
मैं बोला “छोटी, मुझे कोई गाना याद नही है. मैं गाना नही गा सकता.”
लेकिन मेरे इनकार करने के बाद भी, निमी गाना गाने के लिए मेरे पिछे पड़ी रही. निमी को ज़िद करते देख कर, अमि भी मेरे पास आ गयी और गाना गाने के लिए कहने लगी. वही दूसरी तरफ सीरू दीदी की गिनती भी सात (7) पर ही अटक कर रह गयी थी.
मैने सीरू दीदी को देखा तो, कीर्ति उनका हाथ पकड़ी थी और उन दोनो की नज़र प्रिया के चेहरे पर ही टिकी थी. मैने भी उनकी नज़रों का पिछा करते हुए प्रिया की तरफ देखा तो, मेरे दिल की धड़कने बढ़ गयी.
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