RE: Desi Porn Stories अलफांसे की शादी
रात के तीन बजे थे!
फेरे बस खत्म ही होने वाले थे—अब गार्डनर की कोठी पर भीड़ अपेक्षाकृत काफी कम थी—उसके ज्यादातर मेहमान जा चुके थे और अलफांसे के भी अधिकांश मेहमान वहां से जाकर होटल एलिजाबेथ के अपने-अपने कमरों में सो चुके थे। फेरों पर चन्द ही लोग रह गए थे। और वे चन्द लोग थे—विजय, विकास, रैना, हैरी, जूलिया और बागारोफ—गार्डनर की तरफ से बाण्ड अभी तक वहीं नजर आ रहा था।
फेरे समाप्त हुए, इर्विन और अलफांसे फेरों से अभी उठे ही थे कि!
“ख...खून...खून!” एक वेटर हलक फाड़कर चिल्लाता हुआ वहां आया।
सभी चौंक पड़े, गार्डनर ने पूछा—“क्या हुआ, क्यों चीख रहे हो?”
“शा...शाब खून—किसी ने खून कर दिया है!”
“क...क्या बकते हो?” बाण्ड गुर्रा उठा—“कहां खून हो गया है?”
“शाब...शाब—वहां कनातों के पीछे—एक अंधेरे कोने में किसी की लाश पड़ी है!”
बागारोफ चीख पड़ा— “अबे ठीक से बताता क्यों नहीं है। हुड़कचुल्लू—किसकी लाश है?”
“म...मुझे नहीं मालूम शाब!”
“चलो, हमें दिखाओ लाश!” बाण्ड ने कहा और फिर वे सब वेटर के पीछे-पीछे चल दिए, इर्विन हक्की-बक्की-सी वहीं खड़ी रह गई थी, जबकि अलफांसे भी गार्डनर आदि के साथ ही वेटर के पीछे चल दिया था—वेटर कनात और शामियानों से बने हॉलों की बैक साइड से गुजरता हुआ उन्हें लॉन के पिछले हिस्से के एक कोने में ले गया।
इस कोने में प्रकाश की कोई व्यवस्था नहीं थी, किन्तु ऐसा अंधेरा भी नहीं था कि हाथ को हाथ सुझाई न दे—दूर रोशन बल्बों और ट्यूब्स का बहुत ही धुंधला प्रकाश यहां था।
“व...वो देखिए शाब, वो रही लाश!” सचमुच, लॉन की घास पर एक इंसानी जिस्म चित्त अवस्था में पड़ा था, उसके सीने में धंसे चाकू की मूठ भी नजर आ रही थी, परन्तु प्रकाश कम होने की वजह से शक्ल पहचान में नहीं आ रही थी।
“किसी के पास टॉर्च है?” विजय ने पूछा।
सभी चुप रहे, मतलब साफ था कि टार्च किसी के पास नहीं थी, गार्डनर ने ऊंची अवाज में कहा— “किसी फोकस वाले तेज वॉट के बल्ब की रोशनी इधर घुमवाओ!”
“अभी करता हूं।” कहकर एक व्यक्ति तेजी से वापस भाग गया। काफी देर तक अंधेरे में वे सभी गुमसुम-से खड़े रहे जैसे कहने के लिए किसी को कुछ सूझ ही न रहा हो, अचानक ही बाण्ड को इस समय का सदुपयोग करने की बात सूझी और उसने एकदम डपटकर वेटर से पूछा— “तुम्हें कैसे पता लगा कि इधर कोई लाश पड़ी है?”
“शा....शाब, मैं यहां पेशाब करने आया था!”
“पेशाब करने तुम यहां क्यों आए थे, लॉन में कई जगह टॉयलेट बनाए गए हैं!”
“श...शाब, मैं वहीं—उस हॉल में क्रॉकरी संभाल रहा था!” वेटर ने शामियाने से बने सबसे नजदीक वाले हॉल की तरफ इशारा करके कहा—“मुझे पेशाब आया, टॉयलेट हॉल से काफी दूर था—भीड़ भी कम थी और इधर अंधेरा भी था— मैंने सोचा कि यहीं...।”
“यहां आकर तुमने क्या देखा?”
“श...शाब, यहां पहुंचने के बाद मैं पतलून के बटन खोलने लगा, अभी मुश्किल से एक ही बटन खोल पाया था कि मेरी नजर इस जिस्म और सीने में गड़े खंजर पर पड़ी—बिजली की तरह मेरे दिमाग में यह बात कौंध गई कि किसी ने किसी का खून कर दिया है—यह बात दिमाग में आते ही मेरे पैरों तले से जमीन खिसक गई शाब, मेरे होश उड़ गए और मैं खून-खून चिल्लाता हुआ यहां से भागा!”
वेटर के शब्द पूरे होने तक किसी ने दूर लगे फोकस का रुख इधर घुमा दिया था।
अंधेरे में डूबा सारा बाग एकदम प्रकाश से नहा गया और यही वह क्षण था जब गार्डनर के कंठ से चीख–सी निकल पड़ी—“अरे, यह तो ग्राडवे है!”
“ग...ग्राडवे?” विजय उछल पड़ा— “क...कौन ग्राडवे?”
“ओह माई गॉड!” कहने के साथ ही मिस्टर गार्डनर किसी फिरकनी के समान बड़ी तेजी से घूमे और बिना किसी से एक लफ्ज भी कहे लगभग भागते हुए वहां से चले गए। उनकी इस हरकत पर वहां खड़े अन्य सभी हक्के-बक्के से खड़े रह गए।
“ये आखिर साला चक्कर क्या है, वह चोट्टी का यहां से क्यों भाग गया?” बागारोफ गरजा।
विकास वेटर के सामने पहुंचकर झुका, बहुत ध्यान से उसने वेटर की पतलून के बटन देखे और अगले ही पल सीधा खड़ा होता हुआ बोला—“सबसे निचला बटन खुला है, बाकी सब बन्द!”
“इसका मतलब वेटर सच बोल रहा है।” अलफांसे बुदबुदाया। विजय के चेहरे पर अजीब-से चिह्न थे, ग्राडवे की लाश को अपलक घूरे जा रहा था वह, जबकि बाण्ड बड़ी बारीकी से लाश और उसके आसपास की स्थिति का निरीक्षण करता हुआ लाश की तरफ बढ़ा।
“पता नहीं ये कौन है और इसकी हत्या किसने, किस मकसद से की है?” रैना बुदबुदाई।
“हम चपरकनाती साले जहां भी जाते हैं, वहीं ये चक्कर शुरू हो जाते हैं—अच्छा-खासा खुशी का माहौल था कि इस लाश ने सारा गुड़गोबर कर दिया, अब पता लगाते रहो कि किस पान के इक्के ने इस हुक्म के गुलाम को इस अंधेरे में खींचकर चाकू मार दिया?”
“इसे चाकू यहां नहीं मारा गया है चचा!” लाश का निरीक्षण करते हुए बाण्ड ने कहा।
“क्या बकता है अंग्रेजी दुमछल्ले?” बागारोफ गुर्रा उठा—“अबे चाकू अगर कहीं और मारा गया था तो लाश क्या उड़कर यहां आ गिरी?”
“उड़कर नहीं चाचा, हत्यारा अपने कन्धे पर लादकर लाश को यहां तक लाया!”
“बात समझ में नहीं आई बाण्ड भइया!” जूलिया बोली।
बाण्ड के साथ ही लाश का निरीक्षण करते हुए हैरी ने कहा—
“बाण्ड अंकल ठीक कह रहे हैं, घास पर जख्म से निकले खून का कोई निशान नहीं है, मतलब साफ है कि जब तक लाश यहां पहुंची, तब तक जख्म से खून बहना बन्द हो चुका था—और इस बात से दो नतीजे निकलते हैं, पहला ये कि हत्यारे ने खून आसपास ही कहीं किया और लाश खून करने के काफी देर बाद लाकर यहां डाली या जहां खून किया गया है वह जगह ही यहां से इतनी दूर है कि लाश के यहां पहुंचने तक जख्म से खून बहना बन्द हो गया।”
“पैरों कै निशान बहुत स्पष्ट तो नहीं हैं, मगर जहां-जहां हत्यारे के पैर पड़े हैं, वहां की घास दबकर टूट जरूर गई हा-निशान केवल एक ही व्यक्ति के पैर के हैं—मकतूल के जूतों का यहां कोई निशान नहीं आया—जो पदचिह्न हैं, वे बताते हैं कि हत्यारा लॉन की ये दीवार फांदकर यहां आया, लाश को यहां डालकर वापस उसी रास्ते से लौट गया।”
“लेकिन बाण्ड भइया, क्या कोई व्यक्ति लाश को कन्धे पर डाले लॉन की दीवार फांदकर इधर आ सकता है?”
“कैसी बच्चों जैसी बातें कर रही हो रैना बहन, ये बात अगर तुमने साधारण स्थिति में कही होती तो निश्चय ही वजनदार थी, क्योंकि वाकई किसी साधारण व्यक्ति के लिए लाश को कन्धे पर डालकर ये दीवार फांदना कठिन काम है, परन्तु आज—कम-से-कम आज की रात यह बात कोई मायने नहीं रखती, क्योंकि...।”
“क्योंकि?”
“सारी दुनिया के चुने हुए अपराधी और जासूस यहां हैं, उनमें से अधिकांश ऐसे हैं जिनके लिए लाश कन्धे पर लादकर दीवार को फांद लेना हंसी-खेल है।”
“उनमें से भला कोई इस अपरिचित की हत्या क्यों करेगा?”
जेम्स बाण्ड के होंठों पर फीकी-सी मुस्कान दौड़ गई, बोला—
“अनजाने में तुम मुझसे इस कत्ल की वजह पूछ रही हो रैना बहन और मैं कोई जादूगर नहीं हूं, जो बिना किसी सबूत के वजह बता दूं—अगर इनवेस्टिगेटर को हत्या की वजह पता लग जाए तो फिर हत्यारा उससे बहुत ज्यादा दूर नहीं रह जाता, मगर जब तक वजह पता नहीं लगती तब तक इनवेस्टिगेटर को अपने इर्द-गिर्द का हर आदमी हत्यारा ही नजर आता है।”
“अगर ये सच है बाण्ड प्यारे कि हत्यारे ने कत्ल कहीं और करके लाश यहां पहुंचाई है तो निश्चय ही इस हरकत के पीछे उसका कोई मकसद होगा, मकसद भी कोई बहुत ही महत्वपूर्ण!” विजय ने पूछा।
अलफांसे ने सवाल किया—“महत्वपूर्ण क्यों?”
“शादी का घर है, माना कि यह कोना सुनसान और अंधेरे में डूबा पड़ा था, किन्तु इस बात की बहुत ज्यादा सम्भावना थी कि वेटर की तरह इधर जाने कब कौन निकल आए और हत्यारा भी यह बात अच्छी तरह जानता होगा यानी वह समझता होगा कि उसे लाश यहां लाते या लाश को छोड़कर जाते कोई भी देख सकता है—फिर भी लाश को यहां पहुंचाने के लिए उसने यह जबरदस्त रिस्क लिया—स्पष्ट है कि लाश को यहां पहुंचाने के पीछे उसका कोई अत्यंत ही महत्वपूर्ण उद्देश्य रहा होगा।”
“हत्यारे का वह महत्वपूर्ण उद्देश्य क्या हो सकता है?”
“यह तो हत्यारा ही बता सकता है।”
अभी उनमें से कोई कुछ कह नहीं पाया था कि लगभग भागते हुए ही मिस्टर गार्डनर वहां आ गए और आते ही हांफते हुए बोले—“मैंने पुलिस को सूचना दी है, फोटोग्राफर और फिंगरप्रिंट्स एक्सपर्ट्स को लेकर वह यहां पहुंचने ही वाली होगी।”
“सर, क्या आप मकतूल को जानते हैं?” बाण्ड ने पूछा।
“बहुत अच्छी तरह, इसका नाम ग्राडवे था।” गार्डनर ने बताया।
“आपसे इसका क्या सम्बन्ध था?” झोंक में बाण्ड ऐसे लहजे में पूछ बैठा था जैसा अक्सर जासूस मकतूल के किसी परिचित के सामने अपनाते हैं, परन्तु अगले ही पल उसने स्वयं को संभाल लिया और बात को संभालता हुआ बोला— “मेरा मतलब, आपसे यह किस तरह सम्बन्ध था?”
“हमारे अच्छे दोस्तों में से एक था यह।”
“आप इसे पहचानते ही यानी यह जानते ही कि मकतूल ग्राडवे है, यहां से चले क्यों गए थे—क्या मैं जान सकता हूं कि इतनी तेजी से आप गए कहां थे?”
“पुलिस को कत्ल की सूचना देने!”
गार्डनर के इस जवाब से वहां मौजूद एक भी व्यक्ति संतुष्ट नहीं हुआ, लगभग बिल्कुल स्पष्ट ही था कि मिस्टर गार्डनर कुछ छुपा रहे हैं, चाहकर भी बाण्ड ने अगला सवाल नहीं किया, जबकि आगे बढ़कर विजय ने जरूर कहा—“आप कुछ छुपा रहे हैं मिस्टर गार्डनर!”
“हम कुछ नहीं छिपा रहे हैं।” गार्डनर का लहजा निर्णयात्मक-सा था।
“खैर!” विजय ने इस सवाल को टालते हुए कहा—“आप मकतूल को जानते हैं—क्या आप अपना ‘गेस’ प्रस्तुत कर सकते हैं यानी आपके ख्याल से क्या मकतूल की जिन्दगी में कोई ऐसी बात थी जो उसके कत्ल की वजह बन सके?”
“हमें इस बारे में कोई इल्म नहीं है।” मिस्टर गार्डनर ने जब ऐसा कहा तब उनके चेहरे पर जो भाव थे, उन्हें पढ़कर विजय दावे के साथ कह सकता था कि वो झूठ बोल रहे हैं, अगर वे इस कत्ल की वजह ठीक-ठीक नहीं भी जानते हैं तो किसी वजह पर शक जरूर कर रहे हैं।
विजय को लगा कि इस बारे में कम-से-कम गार्डनर से अधिक सवाल करना उसके हित में नहीं होगा, इसलिए वह चुप ही रह गया— इस कत्ल की सूचना कोठी में मौजूद प्रत्येक व्यक्ति तक पहुंच चुकी थी और इस लाश ने शादी के अच्छे-खासे हंसते हुए माहौल में सनसनी व्याप्त कर दी थी।
कुछ ही देर बाद वहां फोटोग्राफर और फिंगरप्रिंट्स विभाग के एक्सपर्ट के साथ पुलिस पहुंच गई—रटे-रटाए ढंग से उन्होंने अपना काम शुरू कर दियाùबाण्ड ने उन्हें कई स्थान विशेषों से चिह्न लेने के लिए कहा, मिस्टर गार्डनर इस वक्त चिंतित जरूर नजर आ रहे थे, परन्तु उतने नहीं जितने इस लाश को पहचानते ही अचानक हो उठे थे।
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