Horror Sex Kahani अगिया बेताल
10-26-2020, 12:55 PM,
#67
RE: Horror Sex Kahani अगिया बेताल
मेरा भाई गढ़ी के उस धन का पता लगा रहा था जो कहीं दबा था... वह इस रजवाड़े का ऐसा खजाना था, जो पूर्वकाल से ही कहीं रख दिया गया था, सिर्फ उस रजवाड़े के वंशज के पास नक्शा रहता था। मेरे भाई ने यह भेद प्राप्त करके नक्शा चुरा लिया, जो न जाने कैसी सांकेतिक भाषा में था। नक्शा पाने के बाद वह सिर्फ चंद बातें ही मालूम कर पाया, पर उसे प्राप्त न कर सका।

उसके बाद उसने किसी तांत्रिक की मदद ली और खोज-बीन में लग गया। यही बात दुश्मनी की जड़ थी, जिसने न जाने कितनी जाने ली। यहाँ तक कि तांत्रिक भी मर गया और मेरा भाई चल बसा, पर धन किसी को नहीं मिला। उसने मुझे यह सारी बातें बताई थी... बाद में मुझे पता चला कि वह तांत्रिक तुम्हारा बाप साधुनाथ था। बस यह कहानी इतनी ही है।”

“तुम्हारे भाई का नाम लखनपाल था।”

“हाँ... क्या तुम जानते हो?”

“थोड़ा बहुत... इसका मतलब हम दोनों का उद्देश्य बहुत कुछ समानता लिये है। तुम भी शायद ठाकुर से अपने भाई की मौत का बदला लेना चाहते हो।”

“जहाँ तक ठाकुर को मारने का सवाल है, यह काम तो मैं कभी का कर चुका होता, जब मैंने तुम्हारे बारे में अफवाहें सुनी तो ऐसा लगा जैसे तुमने उसका अंत करने के लिये कमर कस रखी है और तुम कुछ गुप्त शक्तियों के स्वामी भी हो – तो मेरी हार्दिक इच्छा हुई कि तुमसे भेंट करूँ...आखिर मैं अपनी कोशिश में सफल रहा।”

“तो तुम क्या चाहते हो मैं उसे न मारूं।”

“नहीं! पर उसे खाली मारने से क्या लाभ, मेरा मतलब यह है कि जिस काम को मेरा भाई न पूरा कर सका उसे हम दोनों पूरा कर सकते है। मेरे भाई ने इस बारे में जो डायरी लिखी वह तुम पढोगे तो आश्चर्य में पड़ जाओगे। इस वक़्त सारे तुरुप के पत्ते हमारे हाथ में है।”

“तुम्हारा मतलब उस खजाने से है।”

“हाँ...।”

“मैं उसकी सत्यता का प्रमाण जानना चाहता हूं।”

“मैं वह कागजात तुम्हारे हवाले कर देता हु तुम्हें खुद आभास होगा की उसमें सत्यता है।”

कुछ देर बाद अर्जुनदेव एक पोटली ले आया और सबसे पहले उसने कपडे में लिपटा एक ऐसा कागज निकला जो देखने में बदामी रंग का कागज लगता था परन्तु वास्तव में वह तांबे की पतली चादर थी। इसमें विभिन्न किस्म की आडी-तिरछी रंग-बिरंगी रेखायें पड़ी थी। कुछ जगह अंक भी लिखे थे।

मैं काफी देर तक उस पर माथा पच्ची करता रहा पर मेरी समझ में नहीं आया।

“तुम्हें आश्चर्य होगा कि यह किसी तांत्रिक का बनाया हुआ है इसलिये यह जो कुछ नजर आता है, वह है नहीं। इसकी वास्तविक रूप रेखा किसी गुप्त शक्ति से ही ज्ञात हो सकती है। मेरे भाई ने साधुनाथ की सहायता से जो नोट्स तैयार किये उनमे आधा नक्शा तो हल हो गया लगता है – शेष रह गया है। अब यह देखो इस नक़्शे के नोट्स।”

उसने मेरे सामने एक डायरी रख दी।

मैंने उसे पढ़ना शुरू किया।
(1) “दो काली रेखाएं जो समान्तर नजर आती है, वह समान्तर नहीं है... यह दो रेखायें सारे खजाने की सीमा रेखाएं है परन्तु तंत्र विद्या से इन्हें देखा जाए तो इसका स्वरुप पहाड़ जैसा दिखाई पड़ता है। काली रेखा का आशय काला पहाड़ है। अर्थात यह गुप्त धन काले पहाड़ में है।
(2)
दूसरा नोट था-
(2) जिस तांत्रिक ने इसे बनाया वह कई विद्यायें जानता था उसने बड़ी सूक्ष्म बातें उसमें अंकित की है, जो नजर नहीं आती। इसके पीछे तांत्रिक का एक लेख भी है। यह व्यवस्था इसलिये की गई है ताकि इस नक़्शे को पाने के बाद भी हर कोई वहां तक न पहुँच पाए। तांत्रिक का नाम कृपाल भवानी था , जो इस रजवाड़े के खजाने की रक्षा करता था। खजाने में जाने के लिये राजा को तांत्रिक की सहायता लेनी पड़ती थी। कृपाल भवानी के घराने का ही कोई तांत्रिक आगे चल कर इसका रहस्य जान सकता था, दूसरा कोई नहीं... या ऐसा कोई व्यक्ति जो कृपाल भवानी के बराबर महत्त्व रखता हो। इसके अलावा जो कोई व्यक्ति इसे पाने को प्रयास करेगा वह अपने प्राण गंवायेगा।

(3) काले पहाड़ में काले जादू का प्रभाव बड़ी तेजी से होता है। रजवाड़े ने यह जगह तांत्रिकों के लिये खाली कर दी थी। उसी के पास मंगोल घाटी है... जो बेतालों की धरती मानी जाती है और बेताल काले पहाड़ तक किसी को अपने मार्ग से नहीं जाने देते और न काले पहाड़ से किसी को अपनी सीमा में आने देते हैं। काले पहाड़ की गुप्त शक्तियों ने उनसे समझौता कर रखा है और वे इसका उल्लंघन नहीं करते।

(4) काला पहाड़ प्रारंभ से ही रहस्यमय प्रदेश रहा है – यहाँ सिर्फ राजवंश के लोगों के आने-जाने का एकाधिकार है, जिस पर गुप्त शक्तियां हमलावर नहीं होती।

(5) नक़्शे के मध्य लाल रंग के चार घेरे है – वस्तु स्थिति में यह चार घेरे नहीं मीनार है– जिसका रंग सुर्ख है और ये मीनारें अधिक ऊँची भी नहीं है इसकी ऊं चाई नीचे लिखे अंकों से प्रकट होती है। ये अंक बड़े हिसाब से लिखे गये है.... पता चलता है कि पांच गुना चार का अर्थ पचास गुना चार है... शून्य अदृश्य नंबर है। इसका अर्थ यह निकलता है कि मीनारों की लम्बाई पचास हाथ लम्बी है। खजाने की कुंजी ये चारो मीनार है।

(6) पांच गुना चार से ही दूसरा संकेत मिलता है। एक मीनार की बीस सीढियाँ है दूसरे में चौवन तीसरे में पैंतालिस और चौथे में चालीस...शून्य चार में दूसरी सीढ़ी पर अदृश्य है। इन सीढियों का सम्बन्ध खजाने से जुड़ा है।

(7) सीढ़ियों के हिसाब से मीनारों को क्रमबद्ध रखो या कम से अधिक या अधिक से कम.... इस बात का संकेत चार अजनबी पांव है जो सीढ़ी पर टिके है और ये पांव छोटे-बड़े के हिसाब से क्रमबद्ध रखे है।

इतनी बातें काफी खोज के बाद तांत्रिक साधुनाथ ने हल की। और आगे का नक्शा वह नहीं पढ़ पाया, इस शेष भाग में वहां तक जाने का मार्ग... सुरक्षा का रास्ता और खजाने की ठीक सही कुंजी दर्ज है। साथ ही उसका ब्योरा सबसे बड़ी समस्या काला जादू है, जो वहां किसी पर भी असर कर सकता है, राज घराने के लोगो को छोड़कर।
Reply


Messages In This Thread
RE: Horror Sex Kahani अगिया बेताल - by desiaks - 10-26-2020, 12:55 PM

Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,474,069 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 541,439 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,221,308 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 923,339 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,638,478 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,067,997 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 2,929,557 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana
Star Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम sexstories 932 13,986,177 10-14-2023, 04:20 PM
Last Post: Gandkadeewana
Lightbulb Vasna Sex Kahani घरेलू चुते और मोटे लंड desiaks 112 4,004,846 10-14-2023, 04:03 PM
Last Post: Gandkadeewana
  पड़ोस वाले अंकल ने मेरे सामने मेरी कुवारी desiaks 7 282,351 10-14-2023, 03:59 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 2 Guest(s)