Antervasna मुझे लगी लगन लंड की
11-05-2020, 12:13 PM,
#12
RE: Antervasna मुझे लगी लगन लंड की
मैंने भी बहुत ही नशीली आवाज में कहा- जानू, ये गांड ही क्या, मैं तो तब भी पूरी तुम्हारी थी और आज भी तुम्हारी हूँ। तुम एक हजार बार मेरी गांड मार लो, मैं उफ भी नहीं करूँगी। बस उदघाटन मेरी चूत से ही करना।

मेरी बात सुनते ही उसने मुझे धीरे से बिस्तर पर सीधा लेटा दिया और मेरी चूची चूसते हुए उसने मेरी नाभि में अपनी जीभ घुसेड़ दी और धीरे धीरे मेरी चूत की तरफ बढ़ने लगा, मेरी चूत को सूँघने लगा और अपनी जीभ मेरी चूत पर लगा दी।

आज पहली बार पता नहीं मुझे क्या हुआ कि मैंने रितेश को अपनी चूत से अलग कर दिया। मैं नहीं चाहती थी कि मेरी पनियाई हुई चूत को वो चाटे। मुझे बड़ा अजीब लग रहा था। लेकिन रितेश को पता नहीं क्या हुआ, उसने मेरे दोनों हाथों को कस कर पकड़ा और अपनी जीभ को मेरी चूत से सटा दिया। मैं छटपटा रही थी पर अपने आपको रितेश से छुड़ा नहीं पा रही थी। वो मेरी चूत को चाटता ही जा रहा था। मैं अपना होश खो रही थी और रितेश के आगे अपने आपको समर्पण करने लगी। अब मेरी टांगें खुद-ब-खुद खुल गई, मेरे हाथ अब रितेश के सिर को पकड़ कर अपनी चूत पर और दबाव दे रहे थे। थोड़ी देर तक वो मेरी चूत चाटता रहा और फिर उठा और एक झटके में उसने बड़ी तेजी के साथ अपने लंड को मेरी चूत की गुफा में प्रवेश करा दिया। अचानक हुए इस हमले से मेरी चीख निकल गई।

तभी रितेश के बहन-बहनोई की आवाज आई सील टूट गई। रितेश मुझे देखकर मुस्कुराने लगा। मैं भी समझ गई थी कि रितेश ने ऐसा क्यों किया। वो जानता था कि उसके जीजा और बहन बाहर खड़े होकर मेरी चीख का बेसबरी से इन्तजार कर रहे होंगे। एक तेज झटका मारने के बाद रितेश मेरे ऊपर लेट गया और

मुझसे बोला- यह तरीका टोनी ने मुझे बताया था।

उसके बाद हम दोनों फिर गुत्थम-गुत्था हो गये और रितेश मुझे तेज धक्के लगाता रहा। धक्के लगाने के बीच में कभी मेरी चूत को चाटता तो कभी मेरे मुँह में लंड डाल देता। मैं बिस्तर पर सीधी लेटी रही और वो मुझे चोदता रहा, मेरी चूचियों को मसलता रहा। अब उसके धक्कों की स्पीड बढ़ती जा रही थी कि अचानक उसका शरीर अकड़ने लगा और फिर निढाल होकर मेरे ऊपर गिर पड़ा। ठीक उसी समय मुझे भी ऐसा महसूस हुआ कि मेरे अन्दर से कुछ बाहर आ रहा है। हालाँकि रितेश के गर्म गर्म माल को भी मैं महसूस कर सकती थी। थोड़ी देर तक मेरे ऊपर लेटे रहने के बाद वो मुझसे अलग होकर मेरे बगल में सीधा लेट गया। उसके मेरे ऊपर से हटते ही मेरा हाथ चूत पर चला गया और मेरी उंगलियों पर चिपचिपा सा लग गया। मैंने चादर से ही अपनी चूत साफ की और रितेश के लंड को शादी वाली साड़ी जो मेरे बगल में पड़ी थी, उससे साफ किया। उसके बाद मैंने अपनी टांग रितेश के ऊपर चढ़ा दी और उसके सीने पर अपना सर रख दिया। वो मेरे बालों को सहलाता रहा, मेरी उंगलियाँ उसकी छाती के बालों को सहला रही थी। हम दोनों के बीच एक खामोशी सी थी।

इस समय रितेश में बिल्कुल भी हरकत नहीं थी, वो निढाल सा पड़ा हुआ था। मैं ही उसके सीने के बालों से खेल रही थी और बीच में उसके निप्पल को काट लेती थी। वो चिहुँक उठता और मुझे हल्की सी चपत लगा देता। थोड़ी देर ऐसा करते रहने के बाद रितेश अब मेरी तरफ मुड़ा और मेरी टांग़ को अपने कमर के उपर रख दिया और अपने होंठों को मेरे होंठो से सटा दिया। अपने हाथों का इस्तेमाल वो बड़ी अच्छी तरीके से कर रहा था, मेरे चूतड़ सहलाता, मेरी गांड के छेद को कुरेदता, चूत में उंगली करता और पुतिया को मसल देता, जिसके कारण हल्की सी चीख निकल जाती थी। थोड़ी देर तक तो ऐसे ही चलता रहा। फिर हम दोनों 69 की पोज में आ गये, वो मेरी चूत और गांड चाटता रहा और मैं उसके लंड को लॉलीपॉप समझ कर चूसती रही और उसके अंडों से खेलती रही। उसने मेरी गांड चाट-चाट कर काफी गीली कर दी और उसमे उंगली कर दी। उंगली करते करते रितेश बोला- अब असली सुहागरात होने वाली है, अब तुम्हारी गांड का उदघाटन करूंगा। मैं भी उसके हौंसले को बढ़ाते हुई

बोली- मेरी जान, मैं भी कब से चाह रही हूँ... मेरी गांड में अपना लंड डालो।

तभी उसने मुझे अपने से अलग किया। मैं भी पलंग से उतर कर अपने हाथों को पलंग पर इस तरह से सेट करके झुक कर खड़ी हो गई कि मेरी गांड हल्की सी खुल जाये। इसी बीच रितेश ने ढेर सारी क्रीम मेरे गांड में मल दी और लंड को एक झटके से डाल दिया। पहली बार की तरह इस बार उसका लंड अपने जगह से नहीं भटका। मुझे अहसास हुआ की उसके लंड का कुछ हिस्सा मेरी गांड में धंस चुका है। मेरे मुँह से चीख निकलने वाली थी लेकिन अपने आपको संयम में रखते हुए अपने होंठो को मैंने भींच लिया ताकि आवाज बाहर न जा सके। मुझे अहसास भी था कि जिस तरह जब पहली बार मेरी चूत चुदी तो मुझे कितना दर्द हुआ था, लेकिन बाद मैं चुदाई का बहुत मजा आने लगा, इसलिये इस दर्द को भी मैं बर्दाश्त कर रही थी। इधर रितेश को भी मालूम था कि कैसे गांड में लंड डालना है। इसलिये वो जब भी मेरे मुंह से हल्की भी आवाज सुनता तो रूक जाता और फिर मेरी पीठ को चाटता और मेरी चूची को मसलता। इस तरह करीब तीन बार करने से उसका लंड पूरी तरह से मेरी गांड में चला गया था। अब धीरे-धीरे उसके लंड की स्पीड बढ़ती जा रही थी और मेरे गांड का छेद भी खुलता जा रहा था। कोई चार से पांच मिनट तक रितेश धक्के लगाता रहा और फिर उसका गर्म गर्म माल मेरी गांड के अन्दर गिरने लगा। मुझे दर्द तो बहुत हो रहा था पर मजा भी बहुत आया। आज की चुदाई की खास बात यह थी कि न तो रितेश और न ही मैंने एक दूसरे के माल को चखा।
Reply


Messages In This Thread
RE: Antervasna मुझे लगी लगन लंड की - by desiaks - 11-05-2020, 12:13 PM

Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,484,687 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 542,594 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,225,321 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 926,711 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,644,587 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,072,700 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 2,937,530 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana
Star Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम sexstories 932 14,012,487 10-14-2023, 04:20 PM
Last Post: Gandkadeewana
Lightbulb Vasna Sex Kahani घरेलू चुते और मोटे लंड desiaks 112 4,015,136 10-14-2023, 04:03 PM
Last Post: Gandkadeewana
  पड़ोस वाले अंकल ने मेरे सामने मेरी कुवारी desiaks 7 283,285 10-14-2023, 03:59 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 5 Guest(s)