RE: Antervasna मुझे लगी लगन लंड की
इधर सभी के कमेन्ट बदसतूर जारी थे।
इस बार अमित बोला- वाह साले साहब, तुमको देखकर जोश आ रहा है कि अभी ही हम लोग शुरू हो जायें। रितेश ने सुहाना को सीधी खड़ी किया और उसे गोदी में उठाकर पास में ही पड़े हुए बेड पर लेटा दिया और उसकी टांग को खीचकर बेड के बाहर कर दिया और फिर सुहाना की दोनों टांगों को फैलाकर अपने लंड को उसकी चूत में पेल दिया और फिर जोर जोर से धक्के लगाने लगा। दो तीन मिनट तक दोनों के द्वंद की आवाज फच-फच के रूप में हम सभी को सुनाई देती रहीं। उसके बाद रितेश ने अपना लंड सुहाना की चूत से निकाल लिया और अब सुहाना के डायरेक्शन को उसने चेंज कर दिया अब सुहाना की गर्दन पलंग के बाहर लटकी थी और उसके पैर बिस्तर पर थे। रितेश सुहाना के सर को अपनी जांघों के बीच लेकर उसके मुंह के अपने लंड को ले जाकर अपने लंड को फेटने लगा। बीच बीच में वो अपना लंड सुहाना के मुंह के अन्दर भी डाल देता।
रितेश के इस तरह करने का मतलब था कि वो अब झड़ने वाला है। कोई एक ही मिनट के बाद रितेश का गाढ़ा वीर्य सुहाना के खुले मुंह के अन्दर था जिसे सुहाना पूरा पी गई और रितेश के लंड पर लगा हुआ वीर्य भी उसने चाट कर साफ कर दिया। उसके बाद दोनों एक दूसरे से चिपक कर खड़े हो गये। सभी ने जोर दार तालियां उनके लिये बजाई और फिर अमित ने सुहाना से पूछा कि उसे कैसा लगा।
सुहाना अश्वनी की तरफ देखते हुए बोली- बहुत मजा आया!
सुहाना फिर बोली- मैं अश्वनी से उम्मीद करती हूँ कि वो आकांक्षा को भी इतना ही मजा दे।
टोनी ने पूछा कि वो अभी और चुदना चाहती है या थक गई है तो,
सुहाना मुस्कुराते हुए बोली- टोनी साहब मेरा तो मन नहीं भरा है, मैं चाहती हूँ कि एक बार मैं चूदूं पर अभी दूसरों की भी बारी आनी है। अगर मैं दुबारा चुदने लगी तो आप सभी ही हमें गाली देना शुरू कर देंगे।
अब अश्वनी की बारी थी,
अश्वनी बोला- सुहाना इस चुदाई में तुम्हें किस बात की कमी खली?
सुहाना बोली- हाँ, एक कमी तो थी ही!
अश्वनी ने पूछा- 'क्या?'
सुहाना बोली- मैं सोच रही थी कि रितेश मेरी गांड को भी अच्छे से चाटेगा और उसकी भी चुदाई करेगा।
रितेश तुरन्त ही बोला- सॉरी सुहाना जी, पर दो पूरी रात और दिन पड़ा है और अबकी मौका लगेगा तो यह बन्दा आपके गांड की सेवा भी पूरी तरह करेगा!
कहने के साथ ही सुहाना और रितेश हमारी तरफ आये, रितेश ने मुझे चूमा और सुहाना अश्वनी से लिपट गई। अश्वनी भी सुहाना को जम कर चूमने लगा और
अश्वनी बोला- सुहाना, तुम्हारा शुक्रिया कैसे अदा करूँ कि इतनी जानदार पार्टी में तुम मुझे लेकर आई हो। जहाँ तुम्हारी भी सब इच्छा पूरी होगी और मेरी भी।
उसके बाद रितेश और सुहाना दोनों बारी-बारी सभी से गले मिले और फिर अलग अलग जाकर बैठ गये।
अब बारी आई नमिता और टोनी की...
टोनी ने नमिता को गोद में उठाया और उसको बेड पर ले जाकर लेटा दिया। टोनी नमिता के बगल में लेट कर उसके बालों से खेलते हुए उसकी पेशानी को चूमता हुआ नमिता के होंठों पर अपनी उंगली फेर रहा था। धीरे धीरे वो नमिता की आँखों को चूमने लगा, उसके बाद उसके दोनों के गालों को बारी बारी चूमता हुआ नमिता के अधर पर अपने होंठ टिका दिए और उनको चूमने लगा। नमिता टोनी के बालों को सहलाते हुए उसका साथ उसके होंठ चूमने में देने लगी। टोनी ने थोड़ी देर तक नमिता के होंठों को चूमा और फिर वो नमिता के पैरों के पास आ गया और उसके पैरों के अंगूठे को चूमने लगा। जब टोनी इस तरह कर रहा था कि
अमित बोल उठा- वाह भाई टोनी, तुमने तो मेरी सुहागरात याद दिला दी। उस दिन मेरी पत्नी को मैं इसी तरह प्यार कर रहा था और नमिता खूब शर्मा रही थी।
टोनी बोला- भाई जो चुदक्कड़ होती है वो नहीं शर्माती, पर जो लड़कियाँ पहली बार सुहागरात की सेज पर बैठती हैं, उनकी तो ऐसे ही गांड फटी रहती है कि क्या होगा उनकी चूत का!
इतना कहने के साथ ही टोनी ने एक बार फिर नमिता के पैरों को चूमना शुरू कर दिया और चूमते चूमते उसकी जांघों के बीच आ गया और जांघें चूमते हुए टोनी ने जब नमिता की फूली हुई चूत पर चुम्बन लेना चाहा तो नमिता अपने दोनों हाथों से उस जगह को छिपाने लगी। टोनी ने उसका हाथ हटाया और फिर जैसे ही चूमने गया, वैसे ही नमिता ने अपनी दोनों टांगों को सिकोड़ लिया। टोनी बड़े आश्चर्य में था कि हो क्या रहा है, फिर भी उसने नमिता का हाथ छोड़ा और उसके पैरों को फैलाया और फिर जैसे ही चूमने के लिये अपने होंठों को उसकी चूत के ऊपर ले ही जा रहा था कि नमिता ने फिर अपने दोनों हाथों से अपनी चूत को ढक लिया। इस तरह से थोड़ी देर तक टोनी नमिता की चूत को चूमने जाता तो नमिता किसी न किसी तरीके से अपनी चूत को छिपा लेती!
हम जितने लोग भी वहां बैठे थे सभी बड़ी उत्सुकता से देख रहे थे कि टोनी फेल हो रहा था। अन्त में वो गुस्से में आ गया और,
टोनी बोला- मुझे ऐसी लड़की के साथ मजा नहीं चाहिए जो थोड़ा भी कॉपरेट नहीं कर रही हो।
टोनी के गुस्से को देखते हुए खुद,
नमिता बोली- टोनी जी, आपके किस्से तो मैंने बहुत सुने थे कि आप औरतों से हार नहीं मानते और यह क्या?
कह कर चुप हो गई। सभी नमिता को देख रहे थे,
नमिता फिर बोली- मैं तो टोनी को सुहागरात का मजा दे रही थी कि जब पहली बार औरत सुहागरात मनाती है तो वो कैसे झिझकती है।
टोनी सुनकर बोला- ओह सॉरी डार्लिंग!
कहते हुए एक बार फिर टोनी नमिता के बगल में बैठ कर उसकी चूत को सहलाने लगा और उसके निप्पल को चूसने लगा। अब नमिता टोनी को जो चाह रहा था करने दे रही थी।
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