RE: Incest परिवार में हवस और कामना की कामशक्ति
और लाइफ के पूरे मजे करं। और इसे अपने जिम में ऐसा लपेटू की साला फिर कहीं और जा ही नहीं सके। और अब तो खुद इसने इतना मस्त आफर दिया है तो हाथ से कैसे जाने दूं?"
मैं क्या सोच रही हो यार, हाँ या ना?
रेण- ओके में तैयार हूँ पर जाएंगे कहा, जहां हम ये सब कर सकें।
मैं मन में- "अब आएगा मजा... जवान सील पैक माल जो मिल रहा है। मेरा लण्ड तो साला अभी से टनटनाना शुरू कर दिया है।
मैं- "अब आज तो नहीं हो पाएगा। कल करते हैं तुम्हारे घर में। क्योंकी वहां तो वैसे भी कोई नहीं होता है, तुम क्या बोलती हो?"
रेण- हाँ, ये ठीक रहेगा। पर कितने बजे?
में कल 12:00 बजे ठीक रहेगा, ओके अब मैं चलता है अपने घर।
रेण- क्यों अभी तो और क्लासेस बाकी हैं, उन्हें नहीं लेना क्या?
मैं मन में. "अब इसे क्या बोले की में पढ़ने नहीं, बस चूत के लिए आता हैं। मुझे तो बक देखें ही पता नहीं कितना टाइम हो गया..."
मैं- नहीं, वो मुझे कुछ काम है यार। ओके बाड़।
रेण- ओंके बाड़।
मैं भी घर चल देता हैं। क्योंकी अब तो वैसे भी बोर ही होना है। मैंने तो सोचा था की मेंडम आएंगी तो उनकी मारोंगा। लेकिन साली पता नहीं कहां मरा रही है की आई ही नहीं।
मैंने घर आकर बेल नहीं बजाई सीधा दरवाजा खोलकर अंदर चल दिया अपने रूम की तरफ। लेकिन मुझे घर में जाते हुए किसी ने नहीं देख, यानी क्या कोई घर पर नहीं है? पर अभी मैंने ज्यादा ध्यान न देते ए अपने रूम में आकर अपने कपड़े चेंज कर के फ्रेश हुआ और कुछ खाने के लिए नीचे चल दिया। जब में नीचे आ रहा था तभी मोम किचेन से अपने रूम में जा रही थी।
मैं नीचे आकर देखा तो वहां कोई नहीं है। शायद झुमरी अब तक आराम कर रही है। फिर मैंने किचेन से पानी पिया, तो एक बार मोम के रूम में झोंक कर देखने की काम इच्छा हई तो मैं जाकर मोम के गम का दरवाजा धीरे-धीरे से खोलने लगा।
जब दरवाजा मेरा सिर अंदर घुस जाए, इतना खुल गया तो मैंने सिर अंदर डालकर देख तो जो देखा उसे देखकर मैं इतना मस्त हो गया की लण्ड झट से तनकर ऐसा कड़क हो गया की साला दर्द करने लगा था लोवर में, और आगे से टेंट की तरह बन गया था। पर मैं तो मेरे सामनें चल रहे उस मस्त और हाट सीन को देखकर अपनी वासना में खाता ही जा रहा था, मस्ती बढ़ रही थी, लण्ड अपना पानी छोड़ने के लिए फड़फड़ा रहा था।
अभी 12:00 बजे वाले थे तो शायद माम नहाने जाने के लिए आई थी। शायद घर का काम कर रही थी, आज झुमरी जो नहीं थी। इसलिए वो अभी नहाने जा रही थी और उन्होंने अपने सुबह वाले कपड़े पहने हुए थे, जिन्हें बा उतार रही थी।
जब मैं सीन देख रहा था। जिसमें माम मेरी तरफ पीठ किए थी और मोम ऊपर से शर्ट तो निकाल चुकी थी सिर्फ पिंक ब्रा में थी। आज दिन के उजाले में उनका जिम क्या मस्त लग रहा था, एकदम पटाका, कंचा माल और वो अभी अपनी जीन्स उतार रही थी, और अभी शुरु ही की थी, जिसमें उनकी पिक पैटी भी दिख रही थी। ये मेरे लिए सबसे मस्त सीन था। क्योंकी मुझे गाण्ड फाड़ने में मजा आता था, क्योंकी गाण्ड टाइट जो होती श्री तो लण्ड दबाकर घुसता था। वैसे भी मैं मोम की मोटी मस्त गाण्ड नहीं मार पाया था तो उसके लिए मुझे उसे मारने का एक अलग ही नशा चढ़ चुका था।
मोम ने अब अपनी जीन्स को अपने घुटने तक उतार लिया था। पर मुझे उनकी माटी गाण्ड पिक मस्त पैटी में क्या मस्त दिख रही थी। साला मेरा लण्ड तो फटने को हो गया था। कुछ समझ ही नहीं आ रहा था। ये सब देखने के बाद सिर्फ एक ही चीज दिमाग में घूम रही थी की इस मस्त माटी गाण्ड का जमकर चोदा जाए मेरे लण्ड से।
मैं मोम को ऐसे देखकर जल्दी से बिना आवाज किए रूम के अंदर आ गया और अपना लण्ड बाहर निकालकर उसे हिलाने लगा। क्या मजा था यार, मैं तो मस्ती में मस्त हये जा रहा था की मोम सामने के शीशे में मुझे अपने रूम में खुद को देखते हुए लण्ड हिलाता देख चकित हो गई। और लण्ड का साइज देखकर फिर झटका लगा। पर कुछ ही देर में उन्हें भी इतने दिन से देखकर जिस लण्ड से चुदने के लिए मचल रही थी तो उन्होंने सोचा इससे अच्छा मौका फिर नहीं मिलेगा।
मोम अचानक पलटते हुए. "अवी, तू यहां और वो भी ऐसी हालत में? और ये तुम क्या कर रहे हो कमीने?" और ये बोलकर वो एक पतली सी नाइटी पहन लेती हैं। पर उसका पहनना ना पहनना एक जैसा ही था, क्योंकी उसमें से सब दिख रहा था।
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