RE: Antarvasna फुद्दि सिर्फ़ लंड मांगती है
दिन 10 मिनट के करीब अबू और मेरी बहने भी आ गई
अपी ने आते ही मुझसे पूछा नसीर अब कैसी तबीयत है तुम्हारी
तो मैने कहा कि अपी अभी तो ठीक हूँ आप सुनाओ फुफो के घर कैसी गुज़री
अपी ने कहा भाई सच मे बड़ा मज़ा आया आप भी होते तो ज़ियादा मज़ा आता
मैने कहा हां ये तो है लेकिन मेरी तबीयत भी तो ठीक नही थी ना इतने मे अम्मी ने अपी को आवाज़ दी तो वो बाहर चली गई
बाकी का सारा दिन इसी तरहा गुज़र गया रात को खाना खाने के बाद मैने अम्मी को इशारे से पूछा कि क्या वो आएँगी लेकिन अम्मी ने कोई जबाब नही दिया
लेकिन मैं रात देर तक अम्मी का वेट करता रहा लेकिन अम्मी नही आई इंतज़ार करते हो 1 बज चुका था और मैं उठा वॉशरूम के लिए लेकिन जैसे ही अपने रूम से बाहर निकला तो सामने वॉशरूम का दरवाज़ा खुला था और ज़ीरो वाट के बल्ब की रोशनी मे अपी वॉशरूम के फर्श पे बैठी थी
अपी की क़मर क्योकि वॉशरूम के डोर की तरफ थी और शॉकिंग बात ये थी कि अपी ने अपनी शलवार उतारी हुई थी और ज़ोर से हिल रही थी
मुझे कुछ समझ नही आ रही थी कि अपी इस वक़्त ये सब क्यो कर रही है अपी अपने राइट हॅंड को रानों के बीच मे बड़े ज़ोर से रगड़ रही थी और सिसकियाँ ले रही थी अहह उंह इष्ह ओफफफफफफफफ्फ़ की हल्की आवाज़े आ रही थी अपी की
और मैं वहीं बुत बना खड़ा था और अपी को ये सब करते हो देख रहा था
फिर मैं वहाँ से अपने रूम को वापिस आ गया और आ के सोचने लगा कि इतनी रात हो गई है और अपी इतनी गरम क्यो हो रही थी
कोई 30 मिंट के बाद मेरे रूम का डोर आहिस्ता से खुला और अम्मी आ गई
अम्मी को देखते ही मेरा लंड सलामी देने लगा अम्मी ने कहा क्या बात है मेरा राजा बेटा तो बहुत उछल रहा है
मैने कहा अम्मी आप ने इतनी देर क्यो लगा दी आने मे
अम्मी ने कहा तुम्हारे बाप को भी तो ठंडा कर के आई हूँ ना
अम्मी की बात सुन के अचानक मेरे मुँह से निकला ओह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह इसी लिए अपी इतनी गरम हो रही थी
मेरी बात सुन के अम्मी बोखला गई और कहने लगी क्या मतलब
मैने अम्मी को सब कुछ बता दिया और कहा कि अम्मी मुझे लगता है आप को पता था कि अपी आप को और अबू को देख रही है
अम्मी पहले तो नही मानी लेकिन मेरे ज़ोर देने पेर मान ही लिया कि उन्हे अपी का पता था कि वो देख रही हैं और असल बात का तो मुझे बाद मे अपी से पता चला कि अम्मी ने खुद अपी को देखने और एंजाय करने के लिए कहा था
फिर मैं और अम्मी बेड पे लेट गये और हम ने किस शुरू कर दी मैं अम्मी को किस भी करता रहा और उन के बूब्स बी दबा रहा था
थोड़ी देर के बाद मैं उठा और अम्मी के और अपने कपड़े उतार दिए और अम्मी को सीधा लिटा दिया अम्मी की दोनो टाँगों को खोल के अपना मुँह अम्मी की मोटी और फूली होई फुद्दि पे रख दिया
अम्मी को फुद्दि चुसवाने मे बड़ा मज़ा आता था इस लिए मैने अम्मी की फुद्दि मे अपनी ज़ुबान से चुदाई करने की कोशिश शुरू कर दी
मैं जैसे ही अपनी ज़ुबान को अम्मी की फुद्दि के सुराख मे घुसाता अम्मी तो जैसे तड़प जाती और अहह नसीर नैईईईईईईईईईईईईई
की आवाज़ करने लगती कुछ देर के बाद मैं उठा और अम्मी की टाँगों को अपने कंधों पे रख के एक ही झटके मे अपना लंड अम्मी की फुद्दि मे पूरा उतार दिया
लेकिन अम्मी ने अपने होंठो को बड़ी मज़बूती से बंद कर रखा था ताकि कोई आवाज़ ना निकल सके
और मैं पूरी ताक़त से अम्मी की फुद्दि मे अपने लंड को इन आउट करने लगा
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