Hindi Porn Kahani अदला बदली
10-21-2018, 11:56 AM,
#51
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
तभी एक बैग गिर गया और रवीना झुककर उसको उठायी और उसकी पीठ राज और श्याम की तरफ़ थी।जैसे ही वो झुकी, उसकी कमर से नीचे बंधी हुई जीन्स में से उसकी चूतरोंके दरार दिखने लगे।राज की आँखें तो जैसे वहाँ ही अटक गईं।उसने अपना लंड अजस्ट किया और तभी वह खड़ी होकर बैग ट्रॉली में वापस रखी और जीन को ऊपर करके चलने लगी।अचानक राज ने श्याम की तरफ़ देखा तो वह झेंप गया क्योंकि श्याम उसको बड़े ध्यान से देख रहा था,और वो एक कुटिल मुस्कराहट दे कर चल पड़ा।राज थोड़ा विचलित था कि उसकी चोरी पकड़ी गई है, पर फिर सामने रवीना के मटकते कुल्हे देखकर फिर सब भूलकर उसकी गाँड़ को देखने लगा। श्याम ने देख लिया था कि राज रवीना की सेक्स अपील से उत्तेजित हो रहा है, और एक तंबू उसकी पैंट के अंदर दिखने लगा था, जिसको फिरसे उसने adjust किया।श्याम के मन मेंअब कुछ योजना बनने लगी थी।
श्याम ने भी शालू के चूतरों को देखा और वो स्कर्ट से ज़्यादा बड़े नहीं लग रहे थे, पर उसकी गदराइ हुई जाँघें जो स्कर्ट से साफ़ नज़र आ रही थीं, और उसकी धड़कने बढ़ गयीं।फिर वो सब कार से घर पहुँचे।
घर में सरिता ने सबका स्वागत किया, आज उसने भी एक सलवार कुर्ता पहना था, जो स्लीव्लेस था और उसकी कुर्ती का गला भी काफ़ी बड़ा था, जिसमें से उसकी बड़ी छातियों और उसका गहरा cleavage यानी छातियोंका जोड़ बहुत मादक लग रहा था। श्याम की आखें बाहर आने लगी सरिता का मादक रूप देखकर। वो उन सबको पानी का ग्लास दी, और उसकी आधी छातियाँ उनको दिखने लगीं। श्याम के बाद राहुल की भी आँखें जैसे उसके बदन से चिपक सी गयीं।जब वो रवीना को पानी देने के लिए मुड़कर झुकी तो उसके बड़े बड़े चूतर श्याम और राहुल के सामने थे, अब दोनों ही अपना लंड अजस्ट करने लगे। राज ने ये सब देखा और सोचने लगा कि साले दोनों बाप बेटा ठरकी हैं।उसे भी लगने लगा की आने वाला समय कुछ मज़े का गुज़रने वाला है।
फिर चाय नाश्ता करके तीनों बच्चे शालू के कमरे मेंचले गए और श्याम और राज इधर उधर की बातें करने लगे।
फिर श्याम बोला: यार ज़रा मुझे मेरा कमरा दिखा दे , मैं नहाना चाहता हूँ।
राज श्याम को एक कमरा दिखाया और बोला कि यहाँ तुम और राहुल सो जाना और रवीना शालू के साथ सो जाएगी। श्याम ने आवाज़ लगायी: राहुल , रवीना चलो आओ अब नहा लो।
उधर से रवीना चिल्लायी: पापा आप हमारे कपड़े निकाल दो, मैं अभी आती हूँ नहाने को।
श्याम बोला: देखो इतने बड़े हो गए हैं और इनके कपड़े मैं या तुम्हारी बहन ही निकलते हैं अभी भी। राज हैरानी से ये सब देख रहा था।फिर वो एक सूट्केस खोला और राहुल के लिए एक टी शर्ट एक हाफ़ पैंट और एक चड्डी निकला। फिर उसने दूसरा सूट्केस खोला और उसने से एक टॉप जो को स्लीव्लेस था और एक स्कर्ट निकाला। फिर उसने एक पैकेट के अंदर से एक ब्रा और पैंटी भी निकाली। फिर आवाज़ लगाया: चलो रवीना अब आओ, और नहा लो।तभी रवीना कमरे मेंआयी और राज को देखकर ठिठक गई, तब राज बोला: अच्छा बेटी तुम नहा लो , मैं बाहर जाता हूँ।
राज बाहर तो आ गया पर उसे अजीब लग रहा था कि जवान बेटी की ब्रा पैंटी उसका बाप निकाल रहा था, उसको कुछ तो गड़बड़ लगा।अब वह चुपचाप बाहर आकर एक साइड वाली खिड़की के पास आकर खड़ा हुआ और धीरे से बहुत थोड़ा सा पर्दा हटाया और अंदर झाँका,उसने जो देखा वो उसके शक को पुख़्ता कर दिया। उसने देखा कि रवीना ने अपनी जीन्सउतार दी थी, और अपने टॉप को भी खोल रही थी,उसका पापा शायद बाथरूम में था,वो बाथरूम से बाहर आते हुए बोला: बेटी तुम्हारे कपड़े मैंने अंदर टाँगदिए हैं और तौलिया भी रखा है, चलो अब नहा लो।तबतक वो ब्रा और पैंटी में आ चुकी थी,राज अपनी भांजी के ब्रा मेंक़ैद बड़े बड़े कबूतरों को देखकर अपना लंड मसलने लगा और पैंटी से साफ़ फूली हुई उसकी चूत का आकार देखकर वो बहुत उत्तेजित हो गया था।तभी रवीना ने अपने पापा की गर्दन में अपनी बाँहें डाल दी और बोली: पापा चलो ना आप हमें नहला दो। श्याम ने उसको अपने से लिपटा लिया और उसके होंठ चूसते हुए बोला: बेटा आज अपने आप नहा लो कल हम नहला देंगे, और ये कहते हुए पैंटी के अंदर हाथ डालकर उसके मोटे चूतरों को दबाने लगा। रवीना की आह्ह्ह्ह्ह्ह निकल गई, और वो श्याम के लंड को पैंट के ऊपर से दबाकर बोली: ठीक है पापा मैं जा रही हूँ नहाने और वो श्याम को चूमकर बाथरूम में घुस गई। राज सन्न रह गया तो ये बाप बेटी भी हमारी तरह ही हैं।फिर श्याम ने अपना लंड मोड़कर adjustकिया पैंट के अंदर और बाहर आने लगा तो मैं भी जल्दी से सोफ़े पर आकर हाल मेंबैठ गया। फिर श्याम शालू के कमरे मेंगया, वहाँ शालू और राहुल बातें कर रहे थे,बिस्तर पर बैठ कर।शालू की स्कर्ट उठी हुई थी, और राहुल को अपनी कज़िन की पैंटी दिख रही थी, और वो मस्त हो रहा था, शालू भी उसके पैंट के तंबू को देखकर अनजान बनने का नाटक कर रही थी।जैसे ही श्याम कमरे मेंआया, उसने एक ही नज़र मेंये सब भाँप लिया और शालू ने अपनी स्कर्ट ठीक की ,अपने फूफा को देखकर।श्याम बोला: रवीना नहा रही है, उसके बाद तुम भी नहा लो, ठीक है?
राहुल: जी पापा, मैं अभी जाता हूँ जैसे ही वो आतीहै बाहर।
फ़र श्याम बोला: शालू बेटा, तुमने नहा लिया?
शालू: जी फूफाजी, मैं तो सुबह ही नहा ली थी।
श्याम: शाबाश गुड गर्ल । फिर वो बाहर राज के पास आ गया, पर उसके दिमाग़ में शालू का उठा स्कर्ट और राहुल का तना लंड घूम रहा था।
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10-21-2018, 11:56 AM,
#52
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
उधर श्याम के शालू के कमरे मेंजाते ही,राज किचन मेंगया और सरिता को श्याम और उसके बेटी के बारे मेंबताया और बोला:जैसे ही अभी राहुल उस कमरे मेंजाएगा तुम ज़रा खिड़की से देखना किअंदर क्या होता है, और फिर जल्दी से श्याम के आने के पहले सोफ़े पर आ कर बैठ गया, तभी श्याम भी शालू के कमरे से आकर राज के पास आ कर बैठ गया और T V देखने लगा।
थोड़ी देर बाद राहुल शालू के कमरे से बाहर आया और दूसरे कमरे मेंगया, सरिता किचन से निकलकर खिड़की के पास आकर खड़ी हो गई, और अंदर झाँकी, वहाँ उसने देखा कि राहुल अपना टी शर्ट खोल चुका था, और उसका जवान जिस्म चमक रहा था, फिर उसने अपनी पैंट खोल दी और उसका खड़ा लंड चड्डी में जैसे समा हो नहीं रहा था,सरिता की चूतमें चिटियाँ चलने लगीं, क्या मर्दाना बदन था, फिर उसने अपनी चड्डी भी खोल दी और उसका बड़ा लंड उत्तेजना से हिल रहा था, उसको शालू की पैंटी से चूत का उभार याद आ रहा था। सरिता की चूत गीली होने लगी, उसका सुंदर गोरा और बड़ा लंड देखकर।तभी रवीना तौलिए मेंबाहर आयी।
रवीना अपने भाई के लंड को देखकर मुस्करा कर बोली: हाय भाई ये क्या खोलकर हिला रहे हो? इसको क्या हो गया?
राहुल: अरे यार वो शालू हरामज़ादि जब से तू वहाँ से हटी है, अपनी पैंटी मुझे दिखा कर मेरी जानले रही है।
रवीना ने उसका लंड मुट्ठी मेंपकड़कर सहलाया और कहा: ओह तो भाई के लंड को अब एक और बहन की चूतभी चाहिए?
राहुल ने उसका तौलिया खींचकर उतार दिया और उसकी ब्रा और पैंटी में ताज़ा बदन देखकर उसने उसके मम्मे के ऊपरी हिस्से को चूमा और बोला: अरे मेरी बहना जब तुम सगी होकर मज़े से चूत देती हो तो वो तो फूफेरि बहन है।और फिर उसने उसकी पैंटी के अंदर हाथ डालके उसकी चूत को सहला दिया।
रवीना उसको धक्का देकर बोली: जाओ नहा लो मैं देखती हूँ, शालू का क्या कर सकती हूँ!
तभी राहुल बोला: अच्छा एक बात बता ये सरिता भी तो मस्त माल है ना, मुझे तो लगता है कि फूफाजी ने उसको अपने मज़े के लिए ही रखा हुआ उसको।
रवीना: हाय अब तेरी नज़र सरिता पर भी है, हे भगवान इसको अक़्ल दो , ताकि ये हर लड़की के पीछे ना पड़े।
वो हँसते हुए बाथरूम में घुस गया और रवीना भी तय्यार होने लगी।
सरिता ने सब देख ही लिया था, उसकी चूत बिलकुल गीली हो चुकी थी, और उसको अच्छा लगा किराहुल उसको भी चोदने के चक्कर में है।
फिर वो बाहर आइ और पापा के पास बैठ गई।शालू पहले से अपने पापा के पास बैठी थी,अब वो दोनों बाप बेटी एक दूसरे के सामने बैठे थे, और उनकी बेटियाँ स्कर्ट मैं से अपनी जवानी के जलवे अपने अंकल लोगों को दिखा रही थीं।सब TV देखते हुए बातें कर रहे थे।
फिर राहुल भी नहा कर आ गया और वो तीनों फिर से शालू के कमरे मेंचले गए। इस बीच श्याम भी नहा कर आया ।बाद में सरिता उन दोनों के लिए चाय लाई। इस बार उसने श्याम को अपनी जवानी का भरपूर दर्शन कराया, ख़ूब झुक कर चाय की ट्रे रखी और झुक कर ही चाय सर्व की, ताकि उसकी छातियों का वो अच्छे से चक्षु चोदन कर ले।फिर अपनी बड़ी गाँड़ भी मटका कर दिखाई जब वो राज को चाय दे रही थी। उसके जाते ही श्याम अपने लंड को दबाकर बोला: यार क्या मस्त माल है साली सरिता, मेरा तो खड़ा कर गई।यार तू तो इसको ठोकता ही होगा?
राज हँसते हुए बोला: हाँ यार मस्त माल है, तू सही सोचा मैं तो इसको चोदता ही रहता हूँ।साली पक्की चुदक्कड है।
श्याम: साली की गाँड़ देखकर लगता है कि गाँड़ भी मज़े से मरवाती होगी?
राज: सही है, इसको गाँड़ मरवाने का भी बहुत शौक़ है।
श्याम: तो यार दिलवा ना इसकी चूत , बहुत मन हो रहा है।
राज: पर अभी तो बच्चे जाग रहे हैं, रात को देखेंगे।
श्याम: अरे बच्चों का क्या, वो तो बातें कर रहे हैं, मैं इसको दूसरे कमरे मेंलेज़ाकर ठोक देता हूँ।
राज: रुको मैं पूछता हूँ, उसको। और वो किचन में जाकर सरिता से बोला: क्या हुआ भाई बहन के बीच? क्या राहुल रवीना के साथ कुछ किया?
सरिता: अरे वो तो भाई बहन नाम के हैं। एक दूसरे के लंड और चूत को पकड़ रहे थे।
अब राज हैरान होकर बोला: इसका मतलब है कि रवीना बाप और भाई दोनों से चूदवा रही है। तभी मैं बोलूँ कि उसकी छातियाँ और पिछवाड़ा इतना बड़ा कैसे हो गया। अब रोज़ घर पर ही डबल डोज़ मिलेगी तो जवानी पर उफान आएगा ही ना?
सरिता: ये तो आपसे भी ज़्यादा आधुनिक लोग हैं। इसका मतलब आपकी बहन भी इसमें शामिल होगी?
राज: क्या पता? अच्छा एक बात जिसके लिए मैं तुम्हारे पास आया हूँ, वो श्याम तुम्हारी लेना चाहता है, दोगी उसको?
सरिता: आप क्या चाहते हो, मैं दूँ उसको या नहीं?
राज: देखो सरिता, मेरी नज़र तो बस अपनी भांजी पर है, मेरा बस चले तो मैं अभी उसको चोद दूँ , क्या रंडि का बदन है, साला बदन मेंआग लग गई है।
सरिता: मेरा सोचना है कि उसको अभी थोड़ा तड़पने दो, फिर बाद में देखते हैं, ऊँट किस करवट बैठता है।
राज ने पीछे से उसको पकड़के चूम लिया और बोला: ठीक है रानी जैसा तुम कहो।
राज वापस आकर श्याम को बोला: वो अभी तय्यार नहीं है, थोड़ा समय चाहती है, और बच्चों का भी सोच रही है कि कहीं बदनामी ना हो जाए।
श्याम निराश होकर बोला: क्या यार बड़ा मूड था अभी।
राज: जिज़ू ये आप जो लड़कियों के पीछे घुमते हो दीदी को पता चलेगा तो कितनी अप्सेट होंगी वो?
श्याम: अरे हम दोनों में अच्छी अंडर्स्टैंडिंग है, इन सब बातों का हम ओर कोई असर नहीं पड़ता।
राज हैरानी का नाटक करके बोला: यार कमाल है, इस सब चक्करों में तो लोगों के तलाक़ तक हो जाते हैं।
श्याम: अरे हम सबको इनसे कोई फ़र्क़ नहीं पड़ता क्योंकि हमारा परिवार खुले विचारों का है।
राज: ओह, ऐसा क्या,मैं समझा नहीं।
श्याम टालते हुए बोला: चलो बाद में बताऊँगा, अभी सबको कहीं घुमा लाते हैं, ये घूमने ही तो आए हैं।
फिर सब लाल क़िला क़ुतुब मीनार वग़ैरह घूमने निकल गए। दोपहर को थक कर वापस आए और सरिता का बनाया खाना खा कर सब सो गए। शाम को चार बजे श्याम उठकर हॉल में आया और TV देखने लगा, तभी सरिता आइ और पूछी कि चाय लाऊँ क्या?
श्याम ने उसको घूरते हुए हाँ कर दिया।
वो चाय लाई और श्याम को देने लगी तो श्याम ने कप को टेबल पर रखा और उसको खींचकर अपनी गोद में बैठाकर उसको चूमने लगा। वो छुड़वाने की कोशिश करने लगी, पर उसने उसके होंठों पर अपने होंठ रख दिए और अपने हाथ उसकी छातियों पर रखकर दबाने लगा।
तभी दरवाज़ा खुला और शालू बाहर आइ। उसने फूफाजी की और सरिता की हाथापाई देख ली और शर्मा कर वापस भाग गई।
अब उसने सरिता को छोड़ दिया और वो भी किचन में चली गई।
फिर शालू थोड़ी देर मेंबाहर आइ और किचन की तरफ़ जाने लगी, तभी श्याम ने कहा: शालू बेटा ज़रा इधर आओ।
शालू झिझकती ही उसके पास आइ और बोली: जी फूफाजी ?
श्याम: बेटा, जो तुमने देखा प्लीज़ किसी को नहीं बताना, असल में ये सरिता है ही इतनी सुंदर किमुझसे रहा नहीं गया और मैंने ये हरकत कर दी, तुम किसी को बताओगी तो नहीं ना?
वो बोली: ठीक है फूफाजी मैं किसी को बताऊँगी नहीं।
श्याम ने उसके हाथ को अपने हाथ मैं लेकर सहलाते हुए कहा: तुम बहुत प्यारी बच्ची हो, और फिर उसके गाल को चूम लिया।तुम मुझे बहुत अच्छी लगती हो बेबी!
शालू अबतक पक्की चुदक्कड बन चुकी थी, वो समझे गई की फूफाजी उसपर भी फ़िदा हैं। ये सोचकर उसके निपल्ज़ भी कड़े हो गए।
वो बोली: जी आप भी अच्छे है पर आप सरिता से ज़बरदस्ती क्यूँ कर रहे थे?
वो बोला: अरे नहीं बेटा वो ज़बरदस्ती नहींथा वो तो प्यार था, वो रात को मेरे कमरे में आने को तय्यार हो गई है।फिर श्याम ने उसके पेट पर हाथ फेरते हुए कहा: देखो तुम्हारा पेट कितना चिकना है, और तुम्हारी नाभि भी कितनी गहरी है, और वो झुक कर उसके पेट को चूमने लगा और नाभि के अंदर जीभ डालकर चाटने लगा। शालू हाय्य्य्य्य कर उठी, और बोली: आइई क्या कर रहे है आप? बहुत गुदगुदी हो रही है।
श्याम: अरे सच, अच्छा बताओ यहाँ भी गुदगुदी हो रही है क्या?उसने उसकी स्कर्ट के नीचे हाथ डालकर उसकी पैंटी के ऊपर से चूतको मुट्ठी में भरकर बोला था।
शालू: हाय्य्य्य्य फूफाजी, आप तो सच में बिलकुल गंदे हो, भला वहाँ भी कोई छुता है क्या, आह्ह्ह्ह्ह हटायिये हाथ वहाँ से।
श्याम हँसते हुए बोला: चलो हटा दिया, पर सच बोलो, मज़ा आया ना?
शालू शर्माकर भाग गई। श्याम सोचने लगा कि जल्दी ही ये भी पट जाएगी, उसे क्या पता था किजिसको वो बच्ची समझ रहा था वो तो खेली खायी है और अब तक पापा का और उसके दोस्तों का लंड निगल चुकी है।
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10-21-2018, 11:56 AM,
#53
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फिर शालू किचन में जाकर सरिता को सब बतायी तो वो हँसते हुए बोली: अरे ये तो सब बदमाश हैं। वो रवीना तो बाप भाई दोनों से ही चूदवा रही है।अब शालू की आँखें फटी रह गयी,फिर सरिता ने उसको सब बात बतायी। वो बोली: इसका मतलब है कि मामी भी इसने शामिल होगी, तो क्या राहुल अपनी माँके साथ भी ये सब करता होगा?
सरिता: लगता तो ऐसा ही है।ये तो सम्भव नहीं है किएक घर में जिसने चार सदस्य हैं, तीन तो एक दूसरे से मज़े ले रहे हैं और चौथे यानी मामी को पता ही नहीं चले? ये कैसे हो सकता है?
शालू: ओह तो इसका मतलब की माँ बेटा भी ?
सरिता: जब बाप बेटी सम्भव है तो माँ बेटा क्यों नहीं हो सकता?
शालू: हाँ आप ठीक बोल रही है,पर फूफाजी तो रंगीन हैं, अभी मेरी चूतभी दबा दिए।
सरिता: सच्ची? साला हरामी है, पर लंड उसका तगड़ा है, जब मुझे गोद मेंबैठाया तो लगा कि लकड़ी का खूँटा सा गड़ गया गाँड़ में।
शालू: मैंने एक बात नोटिस की है कि पापा भी रवीना को ज़रा ज़्यादा ही घूर रहें हैं,तुमने ध्यान दिया?
सरिता हँसकर बोली: अरे तेरे पापा अभी मुझको बोल के गयें हैं कि उनको रवीना की लेनी है।
शालू: हाय सच्ची? मतलब मेरा शक ठीक ही था।
सरिता: शालू, एक बात बोलूँ, जैसे बाक़ियों के साथ तेरे पापा ने अदला बदली की थी इनके साथ भी कर लें? मतलब तेरी और रवीना की अदला बदली।
शालू की चूतमें कीड़े चलने लगे, उसने चूत को खुजाया और बोली: हाय तब तो मज़ा ही आ जाएगा। पर उस राहुल का क्या होगा? तुझे पता आज मैंने उसको अपनी पैंटी दिखाई बड़ी देर तक, उसके पैंट में तंबू तन गया था, और वो खि खि करके हँसने लगी।
सरिता की आँखों मेंउसका लहराता लंड घूम गया और वो बोली: अरे उसको मैं संभाल लूँगी ना, उसकी फ़िक्र ना करो।
अब दोनों हँसने लगीं। फिर शालू बोली: तुम पापा को सुझाव दो ना ये अदला बदली वाला ।
सरिता ने शालू की चूतदबाते हुए कहा: लगता है बहुत खुजा रही है?
शालू: अरे अगर ये लोग नहीं होते तो पापा अब तक एक राउंड की चूदाइ हम दोनों के साथ कर चुके होते।
सरिता: चलो मैं जुगाड़ करती हूँ, मेरी भी चूतखुजा रही है, जब से मैंने राहुल का मर्दाना लंड देखा है, १९ साल की उम्र में इतना तगड़ा लंड, आह्ह्ह्ह्ह्ह मज़ा ही आ जाएगा।
फिर शालू वहाँ से बाहर आइ।
अब राहुल और राज भी हॉल में आ गए और शालू जाकर रवीना को उठाकर ले आयी और सब फिर चाय पीते हुए बातें करने लगे।
श्याम: अरे बच्चों कहीं घूम आओ।
शालू बोली: पापा हम फ़िल्म देख आएँ?
श्याम : हाँ बेटा जाओ फ़िल्म देख आओ।
वो तीनों तय्यार होकर फ़िल्म देखने चले गए। उनके जाते ही राज बोला: मैं तेरी चाल समझ गया कि तुमको सरिता को चोदना है, सही बोला ना?
वो हँसकर बोला: सही हो तुम यार। चल अब दिला दे यार उसकी चूत। वो अपने लंड को मसलते हुए बोला।
राज: जिज़ू मैं तुमको सरिता को दिलवा के अपनी बहन से धोका कैसे करता हूँ?
श्याम: अरे अब मैं तुमको कैसे बताऊँ किहमारे घर में ये सब कोई बड़ी बात नहीं समझी जाती।
राज: इसका मतलब कि मैं अगर अभी दीदी से फ़ोन पर पूछूँ कि तुमको सरिता को चोदने दूँ तो क्या वो इजाज़त दे देगी?
श्याम: वो हँसते हुए इजाज़त दे देगी ।
अब राज का सर घूम गया और वो बोला: मैं सरिता को लेकर आता हूँ।
सरिता उसके बेडरूम में कपड़े प्रेस कर रही थी, राज को देखकर उसने उसको शालू से हुई बातें बता दी और ये भी बताया किउसको शक है कि शायद राहुल भी अपनी माँ को यानी राज की बहन को चोदता ही होगा।
राज बोला: तुम शायद सही बोल रही हो। वो तुमको अभी चोदना चाहता है। मेरा सोचना है कि तुम्हें चूदवा लेना चाहिए। और पता करो कि क्या दीदी भी इस सब में मिली हुई है।
वो हँसते हुए बोली: तो जाऊँ अभी चूदवा लूँ?
राज बोला: चलो मैं ही तुमको लेकर चलता हूँ।
फिर वो दोनों बाहर आए और राज ने श्याम को कहा: लो जिज़ू तुम्हारा माल लेकर आ गया। फिर राज ने सरिता को उसके पास लाके खड़ा कर दिया। श्याम ने उसको पकड़ा और अपनी गोद मेंखींचकर बैठा लिया। अब वो उसके होंठों को चूसते हुए उसकी चुचि दबाने लगा,वो भी मस्ती से उसके होंठ चूसने लगी।फिर उसने राज को देखकर कहा: बेडरूम में चले जाएँ हम?
राज हँसकर बोला: हाँ यही ठीक रहेगा।
श्याम: तुम भी आओगे क्या?
राज: नहीं यार तुम ही मज़ा लो अभी, मैं तो इसको चोदताही रहता हूँ।
श्याम: चलो ठीक है, सरिता आओ चलो ।
फिर सरिता उसके साथ कमरे मेंचली गई।राज चुपचाप खिड़की के पास आया और पर्दा हटा कर अंदर देखने लगा।
उधर श्याम ने सरिता को खड़े खड़े ही अपनी बाहों मेंबाँध रखा था,और उसके होंठ को चूसते हुए उसके बड़े बड़े नितम्बों को दबा रहा था, वो भी उसके खड़े लंड को अपने पेट पर दबता महसूस कर रही थी, और उसने भी अपने हाथ उसकी गर्दन पर डाल दिए थे और उससे लिपटी हुई थी।
अब श्याम बोला: चलो मेरी जान अब कपड़े खोलो, तुम्हारी मस्तानी जवानी का दीदार करना है, और उसने उसकी कुर्ती उठाने लगा।सरिता ने भी अपने हाथ उठा कर उसकी मदद की, कुर्ती हटते ही ब्रा में फँसे हुए उसके मोटे बब्बे देखकर वो उनको चूमने लगा और और उसने अब सलवार के नाड़े को खोलने का काम शुरू किया।सलवार उसके पैरों पर गिरी और वो पूरी नंगी हो गई, पैंटी तो उसको राज पहनने ही नहीं देता था।उसकी मदामाती जवानी ग़ज़ब ढा रही थी, और अब उसने ब्रा भी खोल दिया। सरिता पूरी नंगी खड़ी थी, क्या मस्त कामुक लग रही थी। बड़े बड़े चूचे, पतली कमर, थोड़ा सा भरा हुआ पेट और भरी हुई जाँघें और बहुत बड़े बड़े गोल गोल चूतर और उसके बीच की दरार, जहाँ उसने अपनी मस्त गाँड़ और चूत छिपा रखी थी।
अब सरिता ने भी श्याम के लोअर को खोलकर नीचे गिरा दिया और फिर उसकी टी शर्ट भी उतार दी। अब उसके सीने को चूमते हुए उसने उसके निपल्ज़ चूसने लगी, श्याम मस्ती से अपना लंड उसके पेट मेंरगड़ने लगा, तभी वो बिस्तर पर बैठ गई, और उसकी चड्डी नीचे करके उसका लंड बाहर निकाली और उसको हाथ मेंलेकर सहलाने लगी।उसका लंड राज के लंड के बराबर ही था, पर शायद राज का थोड़ा मोटा था।फिर वो झुकी और उसके सुप्पाड़े को मुँह मेंलेकर चूसने लगी, और वो भी उसकी चूचियाँ दबाने लगा।फिर वो जाके बॉल्ज़ को भी चूसी और फिर पूरा लंड चूसने लगी, उसका सर ऊपर नीचे हो रहा था, और अब श्याम वाह्ह्ह्ह्ह्ह क्या चुउउउउउउससस्स रहीइइइइइइ हो जाऽऽऽन्न्न्न्न, कहकर उसका मुँह चोदनेलगा।फिर सरिता का हाथ उसके चूतरों पर आ गया और वो उनको दबाते हुए लंड चूसती रही। अब उसने अपनी एक ऊँगली उसकी दरार में डालकर उसकी गाँड़ के छेद को सहलाने लगी। श्याम ज़ोर से हाय्यय करके अपना लंड उसके मुँह से निकाला और बोला: अरे ऐसे चूसोगी तो मैं झड़ जाऊँगा, चलो लेटो और वो सरिता को लिटाकर उसके ऊपर आ गया और उसकी चूतमें ऊँगली डालकर उसका गीलापन चेक किया और फिर अपना लंड उसकी चूतमेंडाल दिया। अब वो उसके दूध दबाते हुए उसके होंठ चूसते हुए उसकी चूदाइ मेंलग गया।अब उसके चूतरों को दबाकर उसकी चूतफाड़ने लगा।उधर सरिता भी मज़े से चूदवाती हुई अपने हाथ को उसके चूतरों पर रख कर नीचे दबाने लगी। तभी उसको याद आया कि जब अभी उसकी गाँड़ के छेद में उँगली डाली थी तो वह बहुत उत्तेजित हो गया था।ये सोचकर उसने योजना बनाई और बोली: आऽऽऽऽ बहुउउउउउउत्तत मजाऽऽऽ आऽऽऽ रहा हाइइइइइइ ।
फिर वो कमर उछालते हुए बोली: अच्छा ये बताइए आह्ह्ह्ह्ह्ह की शालू और रवीना की उम्र एक ही, पर रवीना इतनी बड़ी क्यों दिखती है, जबकि शालू अभी भी बच्ची ही लगती है?
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10-21-2018, 11:56 AM,
#54
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
श्याम ने चोदना रोक कर कहा:अरे सब लड़कियों का अपना अपना शरीर होता है।
सरिता: अंकल आप बुरा नहीं मानना पर रवीना को देखकर लगता है कि वो काफ़ी दिनों से चूदवा रही है,तभी तो उसका शरीर क़रीब क़रीब मेरे जैसा ही भर गया है। अंकल माफ़ करना आपकी बेटी के बारे में ऐसा बोल गई। तभी उसको लगा कि श्याम बहुत उत्तेजित हो गया है।अब सरिता उसके लंड को अपनी कमर उछालकर पूरा अंदर कर ली।
श्याम: आह्ह्ह्ह्ह्ह क्या चूदवाती हो तुम! उसने सरिता की बात का जवाब नहीं दिया।
सरिता: एक बात और है, आप ग़ुस्सा मत करिएगा, मुझे तो लगता है किराहुल और रवीना का भी चक्कर है, जिस तरह से वो दोनों चिपकते हैं और वो आपके पास भी जब बैठती है तो जैसे वो आपसे चिपकती है, उसकी चुचि आपके हाथ से छूती है, ये सब देखकर लगता है कि कुछ तो है आप सबके बीच में? सरिता ने उसे वो सब नहीं बताया कि वो उनके बारे में सब जानती है।
श्याम थोड़ा सा परेशान लगा और बोला: आह चलो ना चूदवाओ क्या सवाल पर सवाल किए जा रही हो? और वो फिर से धक्के मारने लगा।
सरिता:आह्ह्ह्ह्ह्ह अंकल आह्ह्ह्ह्ह । अंकल बताओ ना आप रवीना को नंगी देखे हैं ना? हाय्य्य्य्य्य ।
श्याम का लंड फिर झटका मारा और वो बोला: आह्ह्ह्ह्ह्ह हाँ देखा है, साली बिलकुल तेरे जैसी ही मस्त है। वो उत्तेजना में बोल गया और फिर हड़बड़ा गया।
सरिता भी उसको और मस्त करने के लिए उसके चूतरों को दबाते हुए उसकी गाँड़ मैं ऊँगली फेरने लगी। फिर वो उत्तेजित होकर ह्म्म्म्म्म्म्म्म कहकर उसको चोदनेलगा।
सरिता: उसकी सील आप ही तोड़े थे ना या राहुल तोड़ा?
श्याम: आह्ह्ह्ह्ह्ह वो साला राहुल क्या तोड़ता, मैं ही तोड़ा था साली की सील। फिर वो सकपका गया कि उसके मुँह से ये क्या निकल गया उत्तेजना में!
तभी सरिता ने अपनी ऊँगली उसकी गाँड़ मेंअंदर कर दी और बोली: हाऽऽऽऽऽय्यय अंकल जीइइइइइइइ बहुत मज़ा आया होगा आपको ना? आऽऽऽऽऽऽह्ह्ह्ह्ह कभी आप दोनों एक साथ रवीना को चोदे हो? ऐसा बोलते हुए उसने ऊँगली से गाँड़ चूदाइ चालू कर दी।
अब श्याम आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह ह्म्म्म्म्म कहते हुए मस्ती से बोला: आह हन्न्न्न्न्न्न कई बाऽऽऽऽरर्र हम तीनों एक साथ चूदाइ किए हैं ह्म्म्म्म्म्म।
बाहर खड़े राज ने अपने कपड़े उतार दिए थे और सरिता की मन ही मन तारीफ़ कर रहा था कि किस सफ़ाई से उसने सब कुछ श्याम से उगलवा लिया था।
उधर श्याम मस्ती से अपनी गाँड़ मेंऊँगली करवाता हुआ सरिता की चूदाइ मेंलगा हुआ था।
अब सरिता बोली: आप तो शालू को भी चोदने के चक्कर मेंहैं ना? मैंने आपको उसकी चूत दबाते हुए देखा है।
श्याम: अरे प्लीज़ किसी को बोलना नहीं। असल में शालू अभी बच्ची ही लगती है, जैसे रवीना भी लगती थी छोटी सी, जब मैंने उसको चोदना चालू किया था। सच मस्त माल है वो अभी।
अब सरिता ने नीचे से कमर हिलाकर और ऊपर से ऊँगली दबाकर उसको मज़ा देते हुए कहा: मैं शालू को आपसे चूदवा दूँगी बस एक आख़री बात बता दीजिए किक्या राहुल अपनी माँ को भी चोदता है?
श्याम: ह्म्म्म्म्म्म्म्म आऽऽऽऽऽहहह कहते हुए बोला: हाऽऽऽनन्नन वो साला मादरचोद है ह्म्म्म्म्म्म्म।
बाहर खड़े राज को झटका लगा कि उसकी बहन अपने बेटे से चूदवाती है!
तभी सरिता ने बम फोड़ा, और बोली: आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह आप लोगों का पूरा परिवार ही ऐसा है, यहाँ भी तो शालू की सील उसके पापा ने ही तोड़ी थी। जैसे आप वैसे ही आपके साले साहब!
अब श्याम की कमर रुक गई और वो हैरानी से बोला: क्या बोली? क्या सच में राज शालू को चोदता है?
तभी राज पूरा नंगा अपना मोटा लंड हिलाते हुए कमरे में आया और बोला:जिज़ूजब तुम अपनी बेटी को चोद सकते हो तो मैं क्यूँ नहीं चोदसकता? पर राहुल दीदी को भी चोदता है ये बात मुझे बहुत गरम कर गई। ऐसा बोलते हुए अपने लंड को सहलाने लगा।
श्याम उसको अचानक कमरे में वो भी नंगा देखकर हैरान था।
तभी राज ने श्याम को कहा कि चलो अब जल्दी से इसकी चूदाइ ख़त्म करो फिर मैं भी इसको ठंडा करूँगा, कहते हुए उसने अपने लंड को दबाया।
फिर दोनों ने ज़बरदस्त चूदाइ चालू किया और झड़ने लगे।
अब वो दोनों सुस्ता रहे थे और राज अपने खड़े लंड को सहला रहा था। अब श्याम बाथरूम गया और सरिता मुस्करा के बोली: आपका काम हो गया ना?’
राज ने उसको चूमते हुए कहा: सच तुम बहुत कमाल की चीज़ हो।
सरिता: एक बात बतानी है आपको कि श्याम जी को गाँड़ मेंऊँगली करवाने का शौक़ है,कहीं ये गाँड़ू तो नहीं।
राज: चलो पता चल ही जाएगा, अच्छा किया जो बता दिया तुमने।
तभी श्याम आया और बिस्तर पर लेट गया , उसका लंड नरम होकर उसकी एक जाँघ पर पड़ा हुआ था।
सरिता भी बाथरूम गई,अब राज अपना लंड सहला रहा था,और श्याम उसके खड़े लंड को देखे जा रहा था। सरिता आइ और श्याम के बग़ल में लेट गई। अब श्याम बीच में लेटा था और सरिता और राज उसके एक एक साइड मेंलेटे थे।
राज अपना खड़ा लंड सहला रहा था और सरिता और श्याम झड़कर सुस्ता रहे थे।
अब सरिता राज को बोली: अंकल जी,अभी अभी श्याम अंकल ने बताया कि उनका पूरा परिवार एक दूसरे की चूदाइ करता है, जैसे आप भी शालू को चोदते हो।ऐसा बोलते हुए वो हाथ बढ़ाकर पहले श्याम के नरम लंड को दबाई और फिर हाथ बढ़ाकर राज के खड़े लंड को सहलाई।श्याम बीच में लेटा था।
राज: यार मैंने सब सुन लिया है, मुझे तो रवीना बेटी की भरी जवानी देखकर ही पता चल गया था कि वो ज़रूर अच्छे से चुदवा रही होगी, पर तुम दोनों बाप बेटे ही उससे लगे हुए हो, ये मैंने नहीं सोचा था।
श्याम: यार मेरे कई दोस्त तो रवीना को शादीशुदा समझते हैं।
राज: साली की बड़ी गाँड़ देखकर ऐसा ही लगता है कि शादीशुदा है और रोज़ लंड की खुराक के रही है।
श्याम: हाहाहा शादी तो नहीं हुई है,पर लंड तो वो रोज़ लेती ही है।बिना चुदाई के उसको नींद ही नहीं आती।
राज:यार बाक़ी तो सब ठीक है। तुम और राहुल रवीना को ठोकते हो, समझ में आता है, पर राहुल अपनी माँको चोदता है ये मुझे थोड़ा हैरान करने वाला है। जब मैं छोटा था तब दीदी की जाँघें भी नहीं देख पाया था बड़ी कोशिशों के बावजूद और अब वही दीदी अपने बेटे के साथ मज़ा कर रही है। ये तो कमाल ही हो गया।
श्याम: भाई मेरे , मैं भी बहुत हैरान हूँ कि शालू जैसी बच्ची दिखने वाली लड़की को देखकर कौन सोचेगा कि वह तेरे से रोज़ चूदवा रही होगी।अब किसके घर में क्या चल रहा है ये किसको पता?
श्याम ने देखा कि सरिता अब राज के बॉल्ज़ को सहला रही थी।
राज बोला: यार तुम्हारी बातों से मैं गरम हो गया हूँ चलो अभी दीदी को फ़ोन लगाओ और स्पीकर मोड में रखो।
राज ने सरिता को इशारा किया और वो उसका लंड चूसने लगी।
श्याम ने फ़ोन लगाया और उधर से रानी की आवाज़ आयी : हैलो
श्याम: कैसी हो जान,?
रानी: अरे अब आपके और राहुल के बिना जैसी हो सकती हूँ, वैसी ही हूँ।
श्याम: क्या बहुत चूदासी हो रही हो?
रानी: सच मेंबहुत खुजा रही है, आप दोनों की बड़ी याद आ रही है।
और वहाँ क्या हाल है? शालू कैसी दिखती है?
राज के इशारा करने पर श्याम बोला: अरे वो मस्त जवान हो गई है, चूचियाँ भी संतरों सी हो गई है, और मुझे पता चला है कि राज भी उसको वैसे ही चोदता है जैसे हम रवीना को चोदते हैं।
रानी: ओह ऐसा क्या? तो क्या तुम्हें भी उसको चोदने का मन है?
श्याम: मस्त लौडिया है, बहुत मन है जान। और तुम्हारा भाई भी रवीना के बड़े बड़े बब्बे और मोटे चूतरों पर फ़िदा है।
रानी: तो भाई को बोलो ना किवो रवीना को चोद ले और तुम शालू को चोदलेना। सबका काम हो जाएगा।
अब बीच में राज कूदा: वाह दीदी क्या सुझाव दिया है आपने? मज़ा आ गया , लव u दीदी।
रानी हैरान होकर: अरे तू यहीं है? श्याम तुमने मुझे बताया नहीं कि राज भी सुन रहा है।
श्याम: अरे अब इसको सब पता चल गया है और अब ये फ़ोन भी मैं इसके कहने पर ही कर रहा हूँ।
राज: दीदी तुम तो छुपी रुस्तम निकली, जब हम छोटे थे तो आपकी चड्डी की झलक देखने को भी तरस जाते थे और यहाँ आप अपने ही बेटे से मज़े ले रही हो?
रानी: तो भाई तू कौन सा कम है, तू भी तो अपनी बेटी चोद रहा है।
अब वो दोनों हँसने लगे।
अब रानी बोली: तुम लोग बेटियाँ बदल कर चोदलो, परेशानी क्या है?
राज: अरे दीदी वो तो आज रात हो ही जाएगा पर मुझे तो अब आपको भी चोदना है, आप यहाँ कल ही आओ ना प्लीज़।
रानी: अरे मुझे छुट्टी नहीं मिली थी ना, चलो फिर से कोशिश करती हूँ यहाँ शुक्रवार की छुट्टी होती है, मैं एक दो दिन में छुट्टी ले कर आ जाऊँगी।अब तो मुझे भी तुमसे चुदाने की इच्छा हो रही है।
राज: ये हुई ना बात, चलो आओ और हम मज़ा लेंगे।
फिर श्याम ने फ़ोन काट दिया।
उधर सरिता राज का लंड चूसे जा रही थी, अब राज बोला: चलो अब रहने दो, अब तो रवीना की ही चुदाई करेंगे इस खड़े लंड से, ठीक है ना, जिज़ू?
श्याम बोला: बिलकुल और मैं शालू गुड़िया की लूँगा और सरिता तुम राहुल को ख़ुश कर देना।
उधर राहुल अपनी दोनों बहनों के साथ सिनमा हाल में जाकर पिच्छे की सीट पर बैठ गया, वो बीच में और उसके दोनों तरफ़ उसकी बहनें। रवीना के बग़ल की सीट ख़ाली थी,जब कि शालू के बग़ल में एक करीब ४५ साल की एक बहुत गोरी और ज़रा मोटी सी औरत थी जिसने बड़े गले की कुर्ती पहने थी, जिसमें से उसकी बड़ी बड़ी चूचियाँ आधी नंगी दिख रही थी, उसके बड़े चूतर पूरी कुर्सी मेंसमाए हुए थे वह एक २० साल के लड़के के साथ बैठी थी जो कि शक्ल से ही हरामी क़िस्म का दिख रहा था।शालू के कान में उनकी बातें पड़ रही थीं। उनकी बातों से पता चला किवो चाची और भतीजा हैं। दोनों एक दूसरे का हाथ पकड़ कर बैठे थे। शालू को जो सुनाई दिया ::::
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10-21-2018, 11:57 AM,
#55
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
चाची: तेरा कॉलेज कैसा चल रहा है?
भतीजा: अरे चाची , कॉलेज तो ठीक ही चल रहा है, बस मेरी पढ़ायी ठीक नहींचल रही है।
चाची: वो क्यों ?
भतीजा: अरे बस हर समय तो आपका ही ध्यान रहता है और कुछ सूझता ही नहीं।
चाची हँसते हुए बोली: कमीना कहीं का, सच बोल ना वो तेरी टीचर कामिनीपर तेरा दिल आया हुआ है।
भतीजा: नहीं चाची, क़सम से अब मैं उसकी तरफ़ देखता ही नहीं, आप जो मिल गए हो मुझे। ऐसा बोलते हुए उसने चाची की जाँघें दबा दी।
चाची:अरे तू इतना हरामी है कि मेरे से भी मज़ा ले लेगा और उस साली कामिनीको भी छोड़ेगा नहीं।
भतीजा हँसते हुए: एक बात बोलूँ , सच मेंवो आपको डूप्लिकेट है, सिर्फ़ चेहरा अलग है, आप दोनों का बदन एकदम एक जैसा ही है।
चाची: मतलब?
भतीजा: आप दोनों गोरी हो, भरे बदन की हो,बब्बे भी बड़े बड़े और चूत भी एकदम पाव रोटी जैसे फूली हुई।
चाची: बदमाश कैसी बातें कर रहा है, चुप हो जा।
तभी पिक्चर चालू हुई,और हाल में अंधेरे छा गया।
शालू ने थोड़ी देर बाद उस औरत की ओर देखा, तो थोड़ी बेचैन हो गई। वो लड़का अपनी चाची के गर्दन में हाथ डालकर उसकी कुर्ती के अंदर हाथ डालकर उसका दूध दबा रहा था।और दोनों के होंठ एक दूसरे से चिपके हुए थे।फिर उस लड़के ने चाची की कुर्ती ऊपर करके उसके नंगे दूध को ब्रा के ऊपर से दबाने लगा और चाची भी लड़के का लंड पैंट के ऊपर से दबा रही थी।तभी उसकी आँखें राहुल पर गयी और वह हैरान रह गयी क्योंकि उधर भी वही सब हो रहा था।रवीना के दूध बाहर थे टॉप उठी हुई थी और राहुल उनको दबा रहा था, रवीना का हाथ राहुल के पैंट की जीप खोल रहे थे, और उसका मस्ताना लंड बाहर निकल आया जिसे रवीना ने अपने हथेली मेंभर लिया और सहलाने लगी।
शालू की पैंटी पूरी गीली हों चुकी थी।
उधर लड़के ने भी अपना लंड बाहर निकाललिया था जिसको चाची ने अपनी मुट्ठी मेंपकड़ लिया।लड़के ने उसकी सलवार खोलकर उसमें हाथ भी अंदर डालकर उसकी चूत रगड़ने लगा।इधर रवीना ने राहुल का लंड चूसना चालू कर दिया था। अब राहुल ने देखा कि शालू उत्तेजित होकर उनको देख रही है तो वह मुस्करा कर उसकी गर्दन को अपनी तरफ़ खींचकर उसके होंठ चूसने लगे।शालू इस हमले के लिए तय्यारनहीं थी।पर वह आनंद से भर गयी, और उसका पूरा साथ देने लगी। अब राहुल के हाथ उसकी छातियों पर आ गए और वो उन्हें सहला कर शालू को गरम कर दिया।फिर रवीना ने अपना मुँह उठाया और राहुल ने अपनी उँगलियाँ उसकी पैंटी के अंदर डाल दी , रवीना भी सिसकारियाँ भरने लग़ी।तभी राहुल ने शालू की गर्दन पकड़कर अपने लंड की ओर खींचा , वो भी उसके लंड को चूमते हुए चाटने लगी, फिर उसने उसको तरीके से चूसने लगी। अब राहुल भी डबल चुसाई से मस्त होकर अपने लंड का पानी शालू के मुँह में छोड़ने लगा जिसको शालू भी मज़े से पी गई।जैसे ही वो सीधी हुई उसने रुमाल से अपना मुँह पोंछा और तभी राहुल ने उसकी स्कर्ट उठाकरउसकी पैंटी मेंहाथ डाल दिया और उसकी चूतमेंऊँगली करने लगा।शालू भी बहुत उत्तेजित हो चुकी थी और उसने राहुल के हाथों मेंझड़ने लगी।रवीना तो पहले ही राहुल का दूसरा हाथ भीगा चुकी थी।अब शालू ने अपने कपड़े ठीक किए और बग़ल मेंदेखा तो वहाँ भी चाची उस लड़के का लंड चूसकर मस्ती से उसका पानी पी रही थी।
राहुल ने रवीना से कहा: चलो घर चलते हैं।और वह तीनों बाहर आए और रवीना बोली: भाई,अब तो आप सुपर बहनचोद बन जाओगे।
राहुल: मतलब?
रवीना: अरे भाई, बहन चोद तो आप पहले से थे,अब तो दूसरी बहन को भी चोदने के बाद आप सुपर बहन चोद हो जाओगे ना ?
राहुल हँसने लगा और वह दोनों भी हँसने लगीं।
रवीना: भाई एक बात है कि पापा की आँखें देखकर लगता है कि वह शालू की चुदाई करना चाहते हैं।
शालू: हाँ दीदी, और मेरे पापा भी आपको चोदना चाहते हैं।
राहुल: अरे मेरा क्या होगा शालू, मुझे भी तुमको चोदना है।
शालू: भाई, मुझे भी आपसे चुदवाना है।
रवीना: अरे तो क्या हुआ घर की ही बात है, दोनों से चुदवा लेना ।
शालू: अरे भाई घर में सरिता भी तो है, वह भी काफ़ी चुदक्कड है।पापा तो उसको बड़े मजे से चोदतें हैं।
राहुल: हाँ यार वह मुझे भी मस्त माल लगी है। चलो आज पहले उसी को चोदतें हैं।
फिर सब घर पहुँचे और कॉलबेल दबाया।
राज,सरिता और श्याम कपड़े पहनकर हॉल में आए थे और बाद में सरिता उनके लिए चाय बना लाई। राज ने चाय लेकर पीना शुरू किया पर श्याम को मस्ती सूझी और उसने सरिता से चाय लेकर मेज़ पर रख दिया और सरिता का हाथ पकड़कर उसको चूम लिया और फिर उसको घुमाकर उलटा करके उसके चूतरों पर हाथ लगाकर उसकी सलवार को खोल दिया और उसके गोरे मोटे चूतरों को पंजों में लेकर सहलाने लगा। फिर उसने सरिता की कुर्ती को ऊपर किया और उसके चूतरों को चूमने लगा। फिर उसने उसकी गोलायीयों को फैलाकर उसकी गाँड़ के भूरे छेद को हसरत भरी नज़रों से देखा और उसके ऊपर ऊँगली फेरने लगा,और उसकी गाँड़ को चूम लिया और छेद को जीभ से कुरेदने लगा।फिर उसकी गाँड़ मैं थूक लगा कर एक ऊँगली डाल दी,और राज से बोला: यार इसकी गाँड़ भी मस्त टाइट है,मरवायी हाँ या नहीं।
सरिता भी अपनी गाँड़ मस्ती का मज़ा ले रही थी।
राज: अरे यार ये तो मस्ती से लंड लेती है गाँड़ में।बहुत मज़ा आता है इसकी गाँड़ मारने में।वैसे इसकी गाँड़ का उद्घाटन इसके बाप ने ही किया था।और इसकी कुँवारी चूत भी उसी ने फाड़ी थी।
सरिता: आपकी बेटी रवीना की भी तो आपने गाँड़ ली है ना, वैसे ही मेरे बाप ने मेरी ली थी।
तभी कॉल बेल बजी और सरिता ने अपनी सलवार ऊपर करके बाँध ली और दरवाज़ा खोलने चली गई।
दरवाज़े से रवीना शालू और राहुल अंदर आए। तीनों आकर सोफ़े पर लद से गए। सरिता सबके लिए पानी लाई।सबने पानी पिया और TV देखने लगे। श्याम और राहुल शालू को और राज रवीना को ताड़ रहा था। दोनों बाप बेटा शालू को घूरे जा रहे थे।
शालू ने पैर ऊपर कर लिए थे और वो सामने बैठे बाप बेटे को अपनी जाँघें दिखा कर उत्तेजित कर रही थी।रवीना भी एक पैर सोफ़े पर ऐसे रखकर बैठी ही किउसका एक गोल चूतर जींस पर से राज को साफ़ दिख रहा था।सरिता किचन में सबके लिए खाना बना रही थी।और वहाँ से ही झाँककर हॉल के दृश्य को देख रही थी।
उसने देखा कि राज और श्याम अपने लंड को हल्के से दबा रहे थे।
राज: तो शालू बेटा, फ़िल्म कैसी थी, मज़ा आया क्या?
शालू: बकवास फ़िल्म थी और तभी तो हम जल्दी वापस आ गए।
रवीना: अंकल जी सच में बहुत बेकार फ़िल्म थी।
राहुल शालू को आँख मारकर बोला: पर तुम तो एक दूसरी ही फ़िल्म देख रही थी।
शालू शर्माकर: भाई आप भी ना , कुछ भी बोलते रहते हो।
राज: अरे राहुल क्या देख रही थी हमारी बिटिया?
राहुल: अंकल जी,इसकी बग़ल में एक आंटी बैठी थी जो कि अपने बेटे के उम्र के लड़के से मज़ा कर रही थी।
शालू: वो चाची और भतीजा थे।मुझे उनकी बातों से पता चला ।
श्याम हँसते हुए: अरे बेटी बताओ ना वो दोनों क्या कर रहे थे?
शालू: राहुल से पूछिए ना वो ज़्यादा ध्यान से देख रहा था।
राज: अरे भाई और क्या कर रहे होंगे भतीजा चाची को मज़े दे रहा होगा और चाची भी भतीजे को ख़ुश कर रही होगी।
श्याम और राज हँसने लगे।
राहुल ने रवीना और शालू को मतलब भरी दृष्टि से देखा।
फिर सरिता ने सबको खाने के लिए बोला और खाना लगा दिया।
सब खाने लगे
खाने के बाद राहुल श्याम के पास आकर बैठा और शालू राज से सट कर बैठी।रवीना अभी भी डाइनिंग टेबल की कुर्सी पर बैठी थी और सरिता से बातें कर रही थी।
राज धीरे से शालू को फुसफुसाते हुए बोला:क्या वो चाची भतीजा फ़िल्म देखते हुए चुदायी भी किए थे?
शालू फुसफुसायी: नहीं पापा, बस वो छोड़कर सब कुछ किए?
राज: बता ना क्या क्या किए?
शालू: भतीजे ने चाची के दूध दबाए और उनको नंगा कर के बहुत चूसा और फिर उसकी सलवार खोलकर अंदर ऊँगली किया।
राज: और चाची ने क्या किया?
शालू: वो उसका लंड चूसी और पूरा पानी पी गयी।
राज शालू की बातें सुनकर मस्त हो गया और उसकी जाँघे सहलाने लगा और बोला: राहुल ने तुम्हारे साथ मस्ती की?
शालू चौंक गई और फुसफुसा कर बोली: पापा वो भाई बहन बहुत मज़ा किए।बाद में जब चाची भतीजे की मस्ती देखकर मैं भी गरम हो गई तो उसने मुझसे भी मज़ा लिया।
राज का लंड बेटी की बातें सुनकर खड़ा होने लगा और उसने स्कर्ट ऊँचकारके उसकी चड्डी के ऊपर से उसकी चूत को सहलाना चालू किया और बोला:क्या किया उसने तुम्हारे साथ?
शालू अपनी जाँघें चौड़ी कर दी ताकि वह उसको अच्छे से सहला सके और फुसफुसाकर बोली: पापा उसने अपना लंड मेरे हाथ में दिया और मुझसे उसको छुड़वाया भी। पर पापा उसका लंड बहुत प्यारा है एकदम गोरा और लम्बा और बहुत स्वादिष्ट भी है।
राज हँसने लगा और उसकी चूत सहलाता रहा।
उधर सामने वाले सोफ़े पर बाप बेटे भी बातें कर रहे थे।
श्याम फुसफुसाकर बोला: और सिनमा हाल में शालू को गरम किया या नहीं?
राहुल: डैडी, मैं तो रवीना से मज़े के रहा था तभी देखा की शालू अपनी चूत दबा रही थी क्यूँकि चाची भतीजे ने उसको बहुत गरम कर दिया था, तब मैंने उससे भी लंड चूसवाया और उसको अपना पानी पिला दिया।वह अब चुदायी के लिए पूरी गरम है।
श्याम: पर बेटा पहले मैं उसको चोदूंगा फिर तुम्हारा नम्बर आएगा ।
राहुल: तो डैडी मेरे लंड का क्या होगा, मैं रवीना को ही चोद लेता हूँ।
श्याम: नहीं बेटा वो अभी राज से चुदेगी तुम सरिता को चोद लो, मैंने उसे अभी चोदा है, सच मेंमस्त माल है वो भी।
अब राहुल ने सरिता को भरपूर नज़रों से देखा और बोला: हाँ डैडी आप ठीक कह रहे हो, ये भी भरी पूरी मस्त माल है।
श्याम: उसकी चूततो मस्त है ही, गाँड़ भी बहुत टाइट है, चाहो तो तीनों छेदों का मज़ा ले लेना।
तभी उन दोनों की नज़र शालू पर पड़ी जो अब अपनी जाँघें फैलाकर अपने पापा से चड्डी के ऊपर से चूत सहलाने का मज़ा के रही थी।
वाह क्या नज़ारा था, राज की उँगलियाँ उसकी चूत की फ़ाकों पर हरकत कर रही थीं और चड्डी के ऊपर से वो गीली होती हुई नज़र आ रही थीं।ये देखकर दोनों बाप बेटा एकदम से गरम हो गए और अपने अपने लंड दबाने लगे।
तभी सरिता ने भी रवीना को धीरे से कहा: देखो बाप अपनी बेटी को कैसे मज़ा दे रहा है। रवीना ने मुँह घुमाकर देखा और शालू और राज की मस्ती देखकर ख़ुद भी गरम होने लगी।फिर उसने अपने डैडी और भाई को देखा और मुस्कुरा उठी क्योंकि दोनों की आँखें वहीं शालू की चड्डी पर ही जमी हुई थी और उनके पैंट में तंबू तने हुए थे।तभी सरिता ने रवीना के कड़े हो रहे निपल्ज़ को देखा और उसकी चूचियाँ दबा दीं। वो भी मुस्कुरा कर सरिता के दूध दबा दी।
अब श्याम ज़ोर से बोला: यार क्यों हमारी बच्ची को तंग कर रहा है? देख ना बेचारी की चड्डी भी गीली हो गई है।
राज हँसते हुए बोला: अरे मैं इसे तंग थोड़े ही कर रहा हूँ , मैं तो उसको मज़ा दे रहा हूँ और गरम कर रहा हूँ आपके लिए ताकि वो अपने फूफाजी को मस्त कर दे।
अब सब कुछ साफ़ था इसलिए श्याम अपनी जगह से उठकर शालू की जाँघों के बीच आकर बैठ गया ज़मीन में।अब उसके सामने उसकी गोरी चिकनी जाँघों के बीच में गीली चड्डी थी जहाँ राज की उँगलियाँ मचल रही थीं।अब श्याम ने राज की उँगलियों को हटाया और उसकी चड्डी को देखकर मस्त हो गया ।उसकी चड्डी से उसकी फूली हुई चूत की फाँकें और उनके बीच की लकीर साफ़ नज़र आ रही थी।अब वह मस्ती से सरोबार होकर उसकी चड्डी में अपनी नाक घुसेड़कर उसको सूँघने लगा। फिर उसने जीभ से उसके गीले हिस्से को चाटने लगा।
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10-21-2018, 11:57 AM,
#56
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
राहुल अपने बाप की हरकतों से बहुत गरम हो गया और उसने अपना लंड पैंट और चड्डी से बाहर निकाल लिया और मूठियाने लगा। राज ने उसको देखकर सोचा कि शालू सच कहती थी कि इसका लंड बहुत सुंदर है।तभी रवीना ने सरिता को राहुल की तरफ़ देखने को कहा और सरिता तो उसका गोरा लम्बा और मोटा लंड देखकर जैसे पगला गई और बोली: कितना प्यारा लंड है तुम्हारे भाई का, मुझे तो इसे प्यार करने की इच्छा हो रही है।
रवीना: तो जाओ ना जाकर चूस लो, भाई को भी मज़ा आ जाएगा।
तभी राज रवीना से बोला: अरे बेटी, इतनी दूर क्यों बैठी हो ,आओ ना हमारी गोद में बैठो और अपने मामा को प्यार करो, देखो तुम्हारे डैडी कैसे हमारी बेटी की जवानी से खेल रहे हैं। आओ तुम भी अपनी जवानी का मज़ा हमको दो।
रवीना सरिता को देखकर मुस्कुरायी और खड़ी होकर अपने मस्त चूतरों को मटकाते हुए आकर राज के खड़े लंड पर धीरे से बैठ गयी।राज ने अपनी बाहों में उसको दबोच लिया और उसके गाल और होंठ चूसने लगा।
उधर सरिता राहुल के लंड को घूर रही थी। राहुल ने हँसते हुए सरिता से कहा: अरे दीदी दूर से क्या देख रही हो, आओ ना पास से देखो और मज़ा लो इसका।
सरिता भी मुस्कुराइ और अपनी कमर मटकाते हुए आकर राहुल के पास आकर ज़मीन पर उसकी टांगों के बीच बैठ गई और अब उसका तन्नाया हुआ लंड उसकी आँखों के सामने था।
तीन जोड़ियाँ बन चुकी थीं,और हॉल में ज़बरदस्त नज़ारा था क्योंकि अब ज़बरदस्त चुदायी का माहोल बन चुका था।

राज और रवीना के होंठ जैसे चिपक हो गए थे।राज ने महसूस किया कि रवीना काफ़ी अनुभवी है चुम्बन क्रिया में। अब वो उसकी जीभ चूस रही थी।राज के हाथ भी उसकी बड़ी बड़ी चूचियों पर घूमने लगे।
उधर श्याम ने शालू की चड्डी एकतरफ को की और बड़े ग़ौर से उसकी चिकनी चूत को देखने लगा।फूली हुई चूत के बीच मेंएक लकीर सी थी और उसने अपने होंठ उसकी चूत पर रख दिए और अपनी जीभ से उसकी बीच की लकीर को छेड़ने लगा। शालू भी आह्ह्ह्ह्ह फूफा जी कहकर अपनी कमर हिलायी।
उधर सरिता भी ज़मीन में बैठकर राहुल के मस्ताने लंड को सहलायी और चमड़ी खोलकर सुपाडे को नंगा किया और उसको सूँघने लगी।फिर वह उसके सुपाडे को चूम ली और जीभ से चाटने लगी।अब राहुल भी मस्ती मेंआकर उसकी कुर्ती के ऊपर से उसकी बड़ी बड़ी चूचियाँ दबाने लगा।
सरिता बोली: आह इतना प्यारा लंड है तुम्हारा ! जी करता है खा जाऊँ इसको। ऐसा कहते हुए उसने लंड को चूसना शुरू किया। और उसके हाथ उसके बॉल्ज़ को भी सहला रहे थे।
कमरे में अब बहुत ही सेक्सी आवाज़ें आने लगी थीं। कोई आऽऽऽऽह। कोई हाय्य्यय तो कोई ह्ह्म्म्म्म्म कर रहा या रही थी।
अब राज ने रवीना को कहा: बेटी यहाँ सोफ़े मेंचुदायी का मज़ा नहीं आएगा चलो बेडरूम में चलते हैं।
रवीना: जी मामा जी चलिए। और वो खड़ी हो गयी। उसका टॉप ऊपर था और उसकी ब्रा में कसी चूचियाँ साफ़ दिख रही थीं , जिन पर राज का थूक लगा था।राज के पेंट में भी ज़बरदस्त तंबू तना हुआ था जहाँ रवीना बार बार दबा रही थी। दोनों बेडरूम की ओर चल दिए।
राहुल ने सरिता की कुर्ती उतार सी थी और ब्रा का हुक भी खोल दिया था। उसकी बड़ी बड़ी छातियाँ नंगी थी जिनको वो बुरी तरह से दबा रहा था। उसने भी सरिता के सर को अपने लंड से हटाया और बोला: चलो दीदी ( उसने भी सरिता को दीदी बोलना शुरू किया था ,वैसे भी वह उम्र में उससे कम से कम १० साल बड़ी ही थी )दूसरे कमरे में चलते हैं , अब मुझे आपको ज़बरदस्त चोदना है।दोनों दूसरे कमरे की तरफ़ चले गए।
अब श्याम और शालू ही हॉल में बचे थे। अब शालू की स्कर्ट और पैंटी उतर गई थी और टॉप ऊपर था जिसमें से उसके छोटी चूचियाँ बड़ी ही मादक दिख रही थी।श्याम ने उसकी टॉप एर ब्रा भी खोलकर उसको पूरा नंगा कर दिया और उसके जवान होते शरीर को मस्ती से देखने लगा। वाह क्या चिकना बदन था, कहीं एक बाल नहीं था।शायद साले साहब ने ख़ुद ही बालसाफ़ कियें है अपनी रानी बेटी के, श्याम ने सोचा। अब वो अपने कपड़े भी खोलकर नंगा हो गया । शालू के सामने उसका बड़ा सा लंड ऊपर नीचे हो रहा था।श्याम के विशाल बालों से भरे परिपक्व बदन के सामने वह एक मासूम बच्ची सी लग रही थी।दुबला शरीर छोटी गठिली छातियाँ निपल्ज़ के नाम पर अभी ताजी बनी हुई घूँडियां, पतली कमर , सपाट पेट और ग़दारायी हुई जाँघें और उनके बीच मस्त छोटी सी चूत जैसे क़यामत ढा रही थी। उसने उसको घुमाकर उसके पिछवाड़े का नज़ारा देख। उसने सोचा कि वाह क्या चिकनी पीठ है और पतली कमर के बाद दो गोल गोल छोटे मगर बहुत ही चिकने चूतर कितने प्यारे लग रहे थे।उसके लंड ने प्रीकम छोड़ दिया, जिसे शालू ने देख लिया और वो झुकी और उसके सुपाडे को चाट कर प्रीकम को चाट ली।
अब श्याम को भी अपनी भतीजी पर बहुत प्यार आया और बोला: लो बेटी, हमने तो तुम्हारी चूत चाट कर मज़ा ले लिया अब तुम मज़ा लो और सोफ़े पर बैठ गया। वो ज़मीन पर बैठकर उसके लंड को चूसने लगी।फिर थोड़ी देर बाद उसने बॉल्ज़ को चूसना और चाटना शुरू किया। श्याम मस्त हो रहा था और उसके संतरों को दबा रहा था।अब शालू ने वही किया जो अपने पापा के साथ करती थी। उसने श्याम की जाँघें उठायी और अपना मुँह नीचे की तरफ़ डाल दिया। अब उसकी जीभ बॉल्ज़ से नीचे जाकर उसकी गाँड़ के छेद को सहला रही थी।श्याम आऽऽहहहह ह्म्म्म्म्म्म करके चिल्लाया। अब वो इस मासूम सी लड़की से अपनी गाँड़ चटवाने का सुख प्राप्त करने लगा।अब वो काफ़ी गरम हो चुका था इसलिए बोला: बेटी अब रहा नहीं जा रहा, चलो चुदायी करते हैं, ठीक है ना?
शालू: जी फूफाजी, अब मेरी भी बहुत खुजा रही है, अब डाल ही दीजिए अंदर अपना मस्त लंड।
श्याम ने उसको खींचकर अपने गोद मेंबिठाया और उसकी चूतमें बैठे हुए ही अपना लंड अंदर करने को कहा। शालू ने श्याम के लंड को पकड़ा और धीरे से उस पर अपनी चूत का छेद खोलकर अपनी कमर नीचे दबाकर लंड को निगलने लगी।श्याम हैरानी से देखा रहा था कि छोटी सी दिखने वाली ये लौंडिया किसी रंडि की तरह चूत मेंलंड ले रही थी। अब आधा लंड अंदर जा चुका था, और श्याम को लग रहा था जैसे उसका लंड किसी टाइट जगह पर फँस सा गया है।
अब उसने नीचे से एक धक्का मारा और पूरा लंड अंदर घुस गया।शालू की आऽऽह्ह्ह्ह्ह निकल गई।श्याम तो मज़े से भर उठा,बोला: आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह बेटी क्या टाइट चूत है तुम्हारी।
शालू: फूफा जी आपका लंड भी बहुत अच्छा है।
श्याम: बेटी अब ऊपर नीचे करो ना तभी तो मज़ा आएगा। ऐसा बोलते हुए उसने उसकी छातियाँ चूसने लगा। और दोनों हाथ उसके चूतरों के नीचे ले जाकर उसकी कमर की उछाल को सहारा देने लगा। अब शालू उछल रही थी लंड के ऊपर और श्याम नीचे से उसके चूतरों को ऊपर की तरफ़ दबाकर लंड को जड़ तक ठूँस रहा था। शालू चिल्लाने लगी: हाऽऽय्य्य्य्य फुउउउउउउउफ़्फ़ाऽऽजीइइइइइ बहुत मजाऽऽऽऽऽऽ आऽऽऽ रहाऽऽऽ हाइइइइइ। और चोओओओओओओओड़द्ददोओओओओओ ।
श्याम भी ह्म्म्म्म्म्म्म ह्म्म्म्म्म कर लंड उछालने लगा।
अचानक ही शालू ने श्याम को रुकने का इशारा किया और वो लंड निकालकर उठ गयी। उसकी चूत से पानी निकलकर उसकी जाँघों को भीगो रहा था, और श्याम का लंड भी कामरस से चमक रहा था।
अब वो सोफ़े के एक किनारे में जाकर घोड़ी बन गयी और पेट के बल लेटकर अपने चूतरों को हवा में उठा दी और बोली: फूफाजी अब आप चोदो।
श्याम तो मस्ती में आकर उसके पीछे खड़ा हुआ और उसके नितम्बों को दबाने लगा। फिर गोलाइयों को फैलाकर उसकी दरार में ऊँगली फेरा और उसकी भरी चिकनी गाँड़ के छेद को देखकर उसी में डालने की सोचा।फिर उसने उसकी गाँड़ को चाटा और फिर बाद में अपनी उँगलियाँ नीचे जाकर उसकी चूत में घुसा दिया ।वह पूरी पनियायी हुई चूत थी, उसने अपने लंड का सुपाड़ा उसके छेद में फ़िट किया और एक धक्के मेंही लंड अंदर पेल दिया। शालू हाऽऽऽय्यय कर उठी। उसके बाद तो श्याम जैसे पागल ही हो गया और उसने चूत फाड़ू चुदायी चालू की। पूरा कमरा फ़चफ़च और थप्प थप्प की आवाज़ों से और शालू की चीख़ों से जैसे-- हाऽऽयय्यय और जोओओओओओर्र्र्र्र से फूफ़ाज़ीइइइइइइइइ हाय्य्य्य्य फाऽऽऽऽऽड़ दोओओओओओ मर गइइइइइइइइइइइइ जीइइइइइइइइइ ।चोदो आहचोदो।
श्याम भी ह्ह्ह्ह्ह्म्म्म्म करके ज़बरदस्त चुदायी कर रहा था। अब उसके हाथ उसकी चूचियों को मसल रहे थे। वह भी मस्त होकर अब पीछे कमर हिलाकर उसका पूरा लंड अंदर निगल रही थी। अब शालू चिल्लाने लगी: हाऽऽय्यय फूफ़ाज़ीइइइइ मैं तो गइइइइइइइइइ और वो ज़ोर ज़ोर से कमर हिलाकर अपनी जाँघों को भींच ली और श्याम को लगा किउसका लंड किसी टाइट जगह मेंफँस गया है। और वो भी कमर हिलाकर झड़ने लगा।
थोड़ी देर बाद दोनों शांत हो गए।
उधर राज रवीना के साथ बेडरूम मेंपहुँचा और बोला: बेटी चलो अब कपड़े उतारो और अपनी जवानी दिखाओ हमें।
रवीना: जी मामा जी आप भी उतार दो ना अपने कपड़े । रवीना ने अपनी टॉप उतार दी और फिर जींस भी खोलकर नीचे गिरायी। पैंटी ब्रा मेंबहुत ही मादक दिख रही थी। राज ने उसको घूमने को कहा , वो हँसती हुई घूम कर अपने चूतरों को दिखाने लगी । पैंटी के ऊपर से उसके बड़े बड़े नितम्ब किसी हिजड़े का भी लंड खड़ा कर सकते थे। अब तक राज भी चड्डी मेंआ चुका था एर उसका लंड उससे आधा बाहर झाँक रहा था।और फिर वो दोनों नंगे हो गए।
राज: आह बेटी क्या जवानी है तुम्हारी, पूरी उफनती हुई। ये बड़ी बड़ी चूचियाँ , ये भरा हुआ बदन,ये गदराई हुई जवानी ये तुम्हारी भरी हुई जाँघें और ये तुम्हारी फूली हुई चूत और फिर पीछे से ये तुम्हारे बड़े बड़े गोल चूतर।सच बेटी तुम तो कामदेवी हो ।
रवीना: मामाजी आप भी ना,इतनी तारीफ़ ना करो आप। बस अब आप इस लंड का मज़ा दे दो। ये कहते हुए उसने राज का लंड पकड़ लिया ।



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10-21-2018, 11:57 AM,
#57
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
रवीना ने राज को बिस्तर पर लिटा दिया,और उसके लंड को मुँह में लेकर चूसने लगी।थोड़ी देर बाद राज ने उसको रोका और उसको लिटाकर उसके ऊपर आ कर उसकी चूचियाँ चूसने लगा। फिर उसके पेट को चूमते हुए उसने उसकी नाभि मेंजीभ घुसाके चाटा और नीचे जाकर उसकी चूत को चूमने और चाटने लगा। अब वो उसके छेद को खोला और गुलाबी पंखुड़ियों को देख कर मस्ती से उसमें जीभ डालकर उसे चाटने लगा।रवीना भी सीइइइइइइ सीइइइइइ करने लगी। अब उसने उसकी कमर को उठाया और उसकी गाँड़ के छेद को भी चाटने लगा। अब रवीना बोली: हाऽऽय्यय मामा जी अब डालिए ना अंदर आह्ह्ह्ह्ह्ह चूत मेंआग लगी है। हाय्य्यय प्यास बुझाइए ना।
राज ने उसकी जाँघे फैलाकर अपने कंधों पर रखा और उसकी चूत मेंअपना मोटा लम्बा लंड डालने लगा। पूरी पनियायी हुई चूत मेंसुपाड़ा आराम से चला गया। पर जब राज ने पीछे का मोटा वाला हिस्सा डाला तब रवीना के मुँह से हाय्य्य्य्य्य निकल गयी।अब राज ने थोड़ा और ज़ोर का धक्का लगाया और अपना लंड उसकी चूत में जड़ तक डाल दिया।
अब राज ने उसकी चुदायी शुरू की और रवीना भी जल्दी ही मस्ती से कमर उछालकर मरवाने लगी। जल्द ही राज ने उसके होंठों पर अपने होंठ रखकर चूसना चालू किया एर उसकी दोनों छातियाँ मुट्ठियों में भरकर ज़बरदस्त धक्के लगाने लगा। उसके चूतर ऊपर नीचे हो रहे थे जैसे किसी इंजन का पिसटन हो। अब फ़च फ़चकी आवाज़ और रवीना की मस्ती भरी आह्ह्ह्ह्ह्गइइइइइइइइइचोओओओओओओओओओदददददओओओओओओओ
हाऽऽयय्यय मैं झाड़ीइइइइइइइइइइइइ कहते हुए झड़ गई। राज भी और ५/६ धक्के मारकर ह्म्म्म्म्म्म्म कहते हुए झड़ गया।
अब आइए राहुल और सरिता की तरफ़ चलें जो किएक कमरे में पहुँचकर एक दूसरे से लिपट जाते हैं।राहुल का लंड बाहर ही है।जिसको सरिता दबा रही है।अब राहुल उसकी नंगी छातियों को चूसने लगता है। अब राहुल बोलता है चलो नंगे होकर मज़ा करते हैं।
फिर सरिता उसको पलंग पर लिटा देती है और उसके कपड़े निकाल देती है और ख़ुद भी नंगी होकर बिस्तर पर आ जाती है।
राहुल उसकी छातियाँ दबाकर बोला: दीदी ६९ पसंद करती हो?
सरिता: हाँ क्यों नहीं। यह कहकर वह उसपर ६९ की अवस्था में आ जाती है।वह अपनी चूतराहुल के मुँह पर रखती है और ख़ुद उसके लंड को मुँह मेंलेकर चूसने लगती है।
उधर राहुल सरिता के चूतरों को फैलाकर उसकी दरार में अपना मुँह डालकर उसकी गाँड़ को चाटने लगा और फिर अपने मुँह को हटाकर उसकी चूत पर ले गया और उसकी चूतको चूमने लगा। जब उसने जीभ से चूत की चुदायी करने लगा। अब सरिता हाय्य्य्य्य करने लगी और ज़ोर ज़ोर से उसके लंड को चूसने लगी। अब सरिता को लगा की वह झड़ जाएगी तो उसने लंड से मुँह हटाया और बोली: अब चोदो ना राहुल, नहीं तो झड़ ही जाऊँगी।
राहुल बोला: तो किसने रोका है दीदी आओ मेरे लंड पर बैठ जाओ और चुदायी का मज़ा लो।
सरिता उठकर उसके लंड पर आकर बैठी और उसके लंड को अपनी गीली चूतके छेद पर रखकर धीरे से बैठी और उसके सुपाडे को अपनी छेद पर हल्के से रगड़ने लगी।अब वो बहुत चुदासि हो चुकी थी इसलिए उसने अब लंड को अंदर करना शुरू किया।और जल्द ही पूरा लंड उसमें समा गया। अब राहुल उसकी छातियाँ मसलने लगा। सरिता ने उसके लंड के ऊपर होकर उछल कर चुदायी चालू की।थोड़ी देर बाद सरिता की कमर जल्दी जल्दी ऊपर नीचे होने लगी।अब राहुल ने अपने दोनों हाथ उसके चूतरों पर रख कर उनको ऊपर नीचे करने लगा और उन गोलाइयों का मज़ा भी लेने लगा। अब सरिता की आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह निकलने लगी।
अब राहुल बोला: मैं ऊपर आकर चोदूं क्या?
सरिता: हाँ आओ ना, कब तक ऐसे मस्ती से लेटे रहोगे? आओ और ज़ोर से चोदो ।
अब वह नीचे आ गई और राहुल उसके ऊपर आकर उसकी जाँघों को फैलाया और उसकी टांगों को उठाकर उसकी छातियों तक उठाकर अपने लंड को उसके छेद में घुसा दिया।फिर उसने सरिता की ज़बरदस्त चुदायी शुरू कर दिया।अब सरिता भी गाँड़ उछालकर उसके धक्कों का जवाब देने लगी। सरिता की चीख़ें निकलने लगीं।वो आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह चोओओओओओओओओदोओओओओओ करके चिल्ला रही थी।राहुल भी ह्म्म्म्म्म आह्ह्ह्ह्ह साऽऽऽऽऽऽलीइइइइइ रंडिइइइइइइइइ ले ले और ले कहते हुए ज़ोर की चुदायी करने लगा।
सरिता चिल्लायी: हाय्य्य्य्य्य मैं अब गइइइइइइइइइइइ और वो झड़ने लगी। अब राहुल ने भी जल्दी जल्दी अपने धक्कों की गति बढ़ायी और झड़ने लगा।
फिर दोनों झड़कर शांत हो गए।

बाथरूम से फ़्रेश होकर बाहर आकर सरिता को चूमते हुए राहुल बोला:चलो देखते हैं, डैडी और शालू की चुदायीहो गई या अभी चल रही है?
सरिता: साफ़ साफ़ बोलो ना कितुम्हें शालू को चोदना है।
राहुल: ये भी कोई पूछने की बात है, साली मस्त माल है,उसे कौन नहीं चोदना चाहेगा।अभी तो वो जवान हो ही रही है।
सरिता: हाँ मगर पूरा मज़ा लेती है, मस्ती से चुदवाती है।
राहुल: चलो ना देखते हैं क्या हो रहा है वहाँ?
सरिता ने कपड़ों की तरफ़ हाथ बढ़ाया पर राहुल बोला: अरे कपड़े पहनने की तो सोचो ही मत, आज तो रात भर नंगा रहना है और चुदायी के कई दौर चलेंगे।फिर दोनों नंगे ही शालू के कमरे की तरफ़ चल पड़े।
उधर हॉल में रवीना और राज भी बाथरूम से फ़्रेश होकर आकर सोफ़े पर बैठे थे।रवीना राज के नरम लंड से खेल रही थी और राज के हाथ भी उसके चिकने शरीर पर घूम रहे थे।
राज बोला: चलो देखें तुम्हारे डैडी ने शालू की ठुकाई कर ली है या अभी भी चालू है चुदायी ?
रवीना हँसते हुए बोली: मामा जी जब आपने उनकी बेटी को नहीं छोड़ा तो वो आपकी बेटी को क्यों छोड़ेंगे?
फिर दोनों शालू के कमरे की ओर चल पड़े।
उधर शालू और श्याम भी फ़्रेश होकर लेट जाते हैं और श्याम शालू को अपने ऊपर लिटाकर उसके होंठ चूसता है और फिर अपनी एक उँगली उसके मुँह मेंडाल देता है, शालू समझनहीं पाती पर उसको चूसने लगती है। अब थूक से सनी उँगली श्याम शालू की गाँड़ में डालता है और अंदर बाहर करने लगता है।
शालू: आह फूफाजी ये क्या कर रहे हैं जलन हो रही है ना। कुछ lub लगाइए ना वरना जलता है।
श्याम उसके चूतरोंको सहलाते हुए बोला: बेटी lub कहाँ रखा है?
शालू ने हाथ बढ़ाकर उसको क्रीम दे दिया। अब श्याम ने क्रीम उँगली मेंलेकर उसकी गाँड़ में उँगली डाली। अब शालू भी मज़े से हाय्य्य्य्य कर उठी।
श्याम: बेटी मुझे तुम्हारी गाँड़ का भी मज़ा लेना है, दोगी ना?
शालू शर्माते हुए : जी फूफाजी ले लीजिए ना, मैं कहाँ मना कर रही हूँ।
अब जब श्याम शालू को अपने ऊपर लिटाकर उसके चूतरोंको दबाए हुए उसकी गाँड़ में उँगली कर रहा था तभी राज और रवीना अंदर कमरे में आए। और उनको मस्ती करते हुए देख कर मुस्कुरा दिए।
तभी सरिता और राहुल भी अंदर आ गए और अंदर का दृश्य देखकर मस्त हो गए।
राज: वाह,चूत मार ली पर दिल नहीं भरा अब भतीजी की गाँड़ भी मारोगे लगता है?
श्याम शालू को चूमते हुए: यार तेरी बेटी है ही इतनी मस्त , देख क्या तंग छेद है गाँड़ का।मेरी तो उँगली ही फँस रही है,आह्ह्ह्ह्ह लंड डालूँगा तो कितना मज़ा आएगा।
रवीना: डैडी चूत तंग नहीं थी क्या?
श्याम: अरे बेटी,चूततो बस पूछो नहीं इतनी मस्तानी है की बता ही नहीं सकता।साक्षात काम का द्वार है।
तभी राहुल और सरिता अंदर आए और राहुल बोला: क्या डैडी कहाँ है काम का द्वार? आप तो आज बहुत ही कठिन हिंदी बोल रहे हो।
राज: अरे ये शालू की चूत के बारे में बात कर रहा है।
राहुल: डैडी आप तारीफ़ तो चूत की कर रहे हो और गाँड़ में उँगली डाल कर बैठे हो।
श्याम: अरे बेटा इसकी गाँड़ भी बहुत मस्त है, चाहो तो ऊँगली डालकर देख लो।
राहुल: आप उँगली निकालो तभी तो मैं डाल कर देखूँगा की कैसी है गाँड़।
राज हँसते हुए बोला: जीजा जी अब अपने बेटे को भी उसकी बहन की गाँड़ का मज़ा के लेने दो।
रवीना अब उत्तेजित सी हो रही थी और उसने मामा का लंड पकड़ लिया और उस आधे खड़े लंड को सहलाने लगी। उसको देख कर श्याम बोला: रवीना की भी गाँड़ बहुत मस्त है, उसे मरवाने में भी बहुत मज़ा आता है।
अब राज का हाथउसके चूत्तरों पर आ गया और उसकी गाँड़ के छेद को खोजने लगा। फिर उसने उस छेद में एक उँगली डाल कर उसका मज़ा लेने लगा।
श्याम ने अपनी उँगली शालू की गाँड़ से निकाल लिया और राहुल को बोला: ले जाँच ले मैं सच बोला रहा हूँ की नहीं।
राहुल नीचे झुक कर उसकी चूतऔर गाँड़ को पास से देखा और शालू को बोला: ज़रा अपनी कमर ऊपर उठाओ ना शालू ।
शालू ने अपने चूतरों को हवा मेंउठा दिया। अब राहुल उसकी चूतऔर गाँड़ का मुआयना करने लगा।फिर उसने अपना मुँह उसकी दरार मेंडाल दिया और चूतको चाटने लगा और गाँड़ मेंभी जीभ फेरने लगा।
श्याम अब शालू की चूचियाँ दबा रहा था।शालू इस डबल हमले से बहुत उत्तेजित होने लगी।
राज भी खड़े खड़े ही रवीना की गाँड़ में उँगली अंदर बाहर कर रहा था और रवीना अब राज के खड़े लंड को मूठिया रही थी। सरिता ये सब देखकर मुस्कुरा उठी और वहाँ से जाकर सबके लिए केसर वाला दूध
बनाने लगी।
राज बोला: लगता है कि बाप बेटा दोनों मेरी प्यारी सी बेटी की एक और चुदायी के लिए तय्यार हैं। शालू बेटी और चुदवाना है ना या नहीं? तुम्हारे साथ कोई ज़बरदस्ती नहीं है बेटी?
शालू: अपने चूतरोंको हिलाकर राहुल के मुँह पर दबाकर बोली: हाय पापा ऐसा क्यों बोल रहे हैं? मुझे तो बहुत मज़ा आ रहा है? फूफाजी कह रहे हैं कि वो अब मेरी गाँड़ मारेंगें। हाय्य्य्य्य राहुल भाइइइइइइइ क्या कर रहे हो आह्ह्ह्ह्ह मज़ा आ रहा है।
राहुल बोला: अरे बहना अब मुझे भी तुम्हारी चूतलेनी है।आह देखो कैसी गीली हो गयी है तुम्हारी चूत। ऐसा कहते हुए उसने दो उँगली डालकर उसकी चूत से गीला पानी निकाल कर उसके पापा को दिखाया और राज ने उसको चाट लिया।
राज: सच बेटी तुम तो बहुत गरम हो गयी हो, चलो राहुल अब तुम अपनी बहना को चोद लो। चलो जिज़ू अब शालू को छोड़ो और उसे राहुल से चुदवा लेने दो। वैसे भी आजतक ये किसी नौजवान से चुदीं नहीं है। बस मेरी उम्र के लोगों ने ही इसको चोदा है।
शालू के नीचे से श्याम बोला:अरे राज मैंने कहा ना किमुझे शालू बिटिया की गाँड़ मारनी है।तुम चिंता मत करो यार मैं और राहुल मिलकर उसके दोनों छेदों का मज़ा लेंगें जैसे हम रवीना बेटी का लेते हैं। और राज क्या तुम्हारा हाथ रवीना की गाँड़ में चिपक गया है? क्या कर रहे हो मेरी रानी बिटिया के साथ?
राज हँसते हुए बोला: सच कमाल की चिकनी और मस्त टाइट गाँड़ है रवीना बिटिया की, बस अब जो तुमको करना हो करो शालू के साथ, मैं तो चला रवीना की गाँड़ ठोकने।
अब राज रवीना को लेकर दूसरे कमरे में चला गया ।
उधर श्याम ने शालू को अपने ऊपर से उठने को कहा और ख़ुद भी उठ गया। अब वो सब बिस्तर से नीचे आकर खड़े थे।अब राहुल ने शालू को अपने सीने से चिपका लिया और उसके होंठों को चूसने लगा। उसका खड़ा लंड उसके पेट से टकरा रहा था और उसने उसकी चूचियाँ चूसने लगा। तभी श्याम भी उसके पीछे आकर खड़ा हुआ और अपना लंड उसके चूतरों पर दबाने लगा।
राहुल बोला: डैडी चलें चुदायी शुरू करें?
श्याम: हाँ बेटा चलो , मुझसे भी अब रुका नहीं जा रहा है।आह क्या चिकने चूतर हैं बच्ची के।पर एक बार लंड नहीं चूसवाना बच्चीसे?
राहुल हँसते हुए बोला: हाँ डैडी इसने मेरा लंड तो अभी चूसा ही नहीं।
श्याम: चलो बेटी नीचे बैठो और हम दोनों के लंड चूसो।
शालू नीचे बैठकर दोनों के लंड को हाथ से पकड़ ली। श्याम का लंड थोड़ा काला सा था और पीछे से बहुत मोटा था, जबकि राहुल का लंड बहुत गोरा और सामान्य मोटा पर अपने डैडी से ज़्यादा लम्बा था।
दोनों लंड के ऊपर प्रीकम लगा था। शालू ने अपनी जीभ से दोनों के प्रीकम को चाट ली। राहुल का रस तो वह पहले भी पी चुकी थी, फूफाजी का भी रस अच्छा लगा उसको।
अब वो एक लंड को चूसती थी और दूसरे को हाथ से हिलाती थी।फिर लंड बदल कर मुँह मेंले लेती थी। क़रीब दस मिनट तक उसने लंड बदल बदल कर चूसा और चाटा।फिर बोली: आह मेरा मुँह दुःख रहा है फूफाजी।
श्याम ने उसको उठाया और दोनों बाप बेटा उसकी एक एक चुचि मुँह में लेकर चूसने लगे। शालू हाय्य्य्य्य्य करके दोनों के सर को अपनी छातियों पर दबाने लगी।
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10-21-2018, 11:57 AM,
#58
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
सरिता ने आकर अंदर झाँका और सोची कि क्या मस्त नज़ारा था बाप बेटा दोनों एक मासूम सी दिखने वाली बच्ची का दूध चूस रहे थे।उसे अपना समय याद आ गया जब उसके बाबूजी और तायाजी ने ऐसे ही उसकी चूचियाँ चूसी थीं, उस समय वो भी शालू की उम्र की ही रही होगी।सरिता की चूत गीली होने लगी। अब वो दूसरे कमरे मेंराज और रवीना को देखने गयी।
इधर शालू बहुत ज़्यादा गरम हो गयी थी और वो बोली: हाय्य्य्य्य फूफाजी और मत तड़पाओ अब मुझे चोदो ना प्लीज़ नहीं तो में मर जाऊँगी।
श्याम: चलो राहुल तुम नीचे लेट जाओ और शालू को अपने ऊपर ले कर उसकी चूत चोदो।मैं पीछे से गाँड़ मारूँगा।
राहुल जाकर बिस्तर पर लेट गया और उसका लंड उत्तेजना से बुरी तरह हिल रहा था। शालू उसके ऊपर उसकी जाँघों पर बैठ गई और उसका लंड अपने हाथ से पकड़कर अपनी गीली चूत में डालने लगी और कमर दबाकर धीरे से उसका जवान लंड अंदर कर ली और फिर नीचे दबाकर पूरा लंड निगल गई अपनी चूतमें।अब राहुल ने उसकी छातियों को मसलना शुरू किया और नीचे से धक्के मारने लगा और शालू भी अपनी गाँड़ उछालकर चुदायी का मज़ा लेते हुए हाऽऽऽऽऽय्यय भाइइइइइइइ चिल्लायी। उधर श्याम उनकी चुदायी का आनंद लेते हुए उसकी चूतरोंको खोल कर उसकी गाँड़ में क्रीम लगाकर एक उँगली डाल दिया। अब जब एक उँगली आराम से अंदर बाहर कर रहे थे।फिर उसने दो उँगलियाँ उसकी गाँड़ मेंडाला और अब वो ये भी अंदर ले पा रही थी। अब उसने अपने लंड में भी क्रीम लगाया और उसके हिलते चूतरों को दबाकर रोका और उसके गाँड़ की छेद में अपना लंड धीरे से डालने लगा। राहुल ने भी धक्का मारना बंद कर दिया था। श्याम का आधा लंड पहले ही धक्के मेंआधा घुस गया। अब शालू भी हाऽऽय्य्य्य्य कहकर चिल्लायी। तभी उसने एक धक्का मारा और उसका लंड पूरा गाँड़ मेंसमा गया।
अब श्याम बोला: चलो बेटा अब चुदायी चालू करो , मेरा लंड तो इसकी गाँड़ मेंजैसे फँस ही गया है।
राहुल बोला: हाँ मुझे भी आपके लंड से मेरा लंड रगड़ता हुआ महसूस हो रहा है। ऐसा बोलते हुए उसने नीचे से धक्के मारना चालू किया। अब शालू भी अपनी कमर उछाल कर दोनों छेदों में लंडों का मज़ा लेने लगी। जब वो नीचे बैठती तो राहुल का लंड उसकी चूतमें घुस जाता और जब वो ऊपर को होती तो श्याम का लंड उसकी गाँड़ की अंदर तक समा जाता। शालू के लिए एक ज़बरदस्त अहसास था।वह अब बहुत उत्तेजित हो कर उछलकर चुदायी का मज़ा ले रही थी।अब राहुल उसकी चूचियाँ चूसने लगा और उसके धक्कों की गति भी अब बहुत तेज़ हो गयी थी, उधर श्याम भी शालू की बहुत तंग गाँड़ मेंपूरी ताक़त से धक्के लगा रह था। अब शालू चिल्लाने लगी: हाऽऽयय्यय भाअअअअअइइइइ चोओओओओओओओदोओओओओओ आऽऽहहहह फाऽऽड़ दोओओओओओओ नाऽऽऽ आऽऽऽऽऽऽहहहह मेरीइइइइइइ गाँड़ भी फ़ॉआऽऽऽऽऽऽऽऽड़ दो ना प्लीज़।
अब तो श्याम भी आऽऽहहहह और ह्म्म्म्म्म्म करके झड़ने लगा और उधर शालू भी मैं तो गाइइइइइइइइइइइइ कहकर झड़ने लगी। अब राहुल ने नीचे से ज़ोर के धक्के लगाए और वो भी झड़ गया।
श्याम ने अपने नरम हो रहे लंड को शालू की गाँड़ से निकाला और वहीं बिस्तर पर बैठ गया। तभी उसकी नज़र राहुल के लंड पर पड़ी जो तेज़ी से धक्के मारते हुए झड़ रहा था फिर उसने देखा कि उसका लंड भी पानी छोड़कर बाहर आ गया था। अब शालू के दोनों छेद पूरे खुले हुए दिख रहे थे और उनमें से वीर्य बाहर की ओर बह रहा था।श्याम ये सब देख कर मस्ती से भर गया।उधर राहुल अपनी फूफेरि बहन के होंठ चूस रहा था।अब श्याम उठकर बाथरूम गया और राहुल ने शालू को उठने को कहा और बाद में वो भी फ़्रेश हो गए।
उधर रवीना और राज भी कमरे मेंआकर एक दूसरे को चूमने लगे।
फिर राज ने उसको पेट के बल लिटाकर उसके चूतरों को उठाकर उसकी गाँड़ चाटने लगा और जीभ से छेद को कुरेदने लगा। अब क्रीम लगाकर उसकी गाँड़ में उँगली डाला और समझ गया कि हे छेद कई बार लंड खा चुका है। फिर उसने अपने लंड पर क्रीम लगाकर उसने उसकी गाँड़ में अपना सुपाड़ा पेल दिया। रवीना भी आह्ह्ह्ह्ह्ह करके अपनी मस्ती जतायी और अपना पिछवाड़ा उसकी ओर दबाया।
अब वह और ज़ोर से धक्का लगाकर अपना लंड उसके अंदर कर दिया। फिर वह रवीना की गाँड़ की ज़बरदस्त चुदायी करने लगा।
अब रवीना भी आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह माऽऽऽऽऽरो ना हाऽऽऽय्यय और माऽऽऽऽऽऽरो ।फिर राज ने अपना हाथ उसकी लटकी हुई बड़ी बड़ी चूचियाँ पर रखा और उनको दबाने लगा , फिर एक हाथ उसने उसकी चूत पर रखा और उसके दाने को छेड़ने लगा। अब रवीना की हाऽऽऽय्यय सीइइइइइइ करके झड़ने लगी और राज भी उसकी गाँड़ मेंझड़ने लगा।
तभी सरिता उसके कमरे में आकर झाँकी और उनको झड़ते हुए देखकर अंदर आयी और तभी सरिता को देखकर राज ने अपना लंड चूसने का इशारा किया और वो राज के लंड को मुँह मैं लेकर चूसने लगी और उससे निकलता हुआ वीर्य पी लिया।
अब सरिता बोली: रवीना मज़ा आया ?
रवीना: अरे दीदी इस काम में तो मज़ा आता ही है।
अब वो दोनों हँसने लगीं।
थोड़ी देर बाद सब हॉल मेंनंगे ही आ गए और सरिता ने सबको केसर वाला दूध दिया। सब बातें करते हुए दूध पीने लगे।

अगले दो दिनों तक सब पार्ट्नर बदल बदल कर मज़े ले रहे थे।शालू सबकी ज़्यादा ही चहेती थी तीनों मर्दों की।राज भी उसके लिए तड़प उठा था जब उसकी बेटी एक दिन उसको चोदने को नहीं मिली क्योंकि बाप बेटा दोनों उसके ही पीछे पड़े थे।सरिता और रवीना की भी लगातार चुदायी होती ही रही। फिर दो दिन बाद राज की रानी बहना का फ़ोन आया कि वो दुबई से १० बजे सुबह पहुँच रही है।उसे लेने ऐयरपोर्ट राज और श्याम पहुँचे।
जब रानी ऐयरपोर्ट से बाहर आयी तो राज तो अपनी बहन को देखते ही रह गया।लगभग ४१ साल की भरपूर औरत जो किसी का भी लंड खड़ा कर दे।बहुत गोरी और ५-५ इंच लम्बी महिला जिसके बड़े बड़े दूध जो की टॉप के ऊपर से मचल रहे थे,और उसकी जींस में कसा शरीर उसके उभारों को मस्ती से उजागर कर रहा था।राज ने अपना लंड अजस्ट किया जिसको देखकर श्याम हँसते हुए बोला: क्या यार बहन को देखकर लंड खड़ा हो गया क्या?
राज: अरे देख ना यार क्या माल लग रही है हमारी बहना।
रानी ने अपने चेहरे पर धूप का काला चश्मा लगाया हुआ था और वह किसी हेरोइन की तरह ख़ूबसूरत लग रही थी।जब वह पास आयी तो राज ने उसके नंगे गोरे थोड़े से उभार लिए पेट को देखा और जिसमें से उसकी नाभि भी साफ़ दिख रही थी।वह आकर श्याम से लिपट गई और उन्होंने गाल पर चुम्बन लिया। अब वो राज के पास आकर उससे भी लिपट गई और उसके भी गाल चूम लिए। राज तो उसके भरे बदन के स्पर्श से ही उत्तेजित हो गया और उसको अपने से सटा कर बोला: बहना क्या मस्त दिख रही हो। जिज़ू सचमुच क़िस्मत वाला है।
रानी हँसते हुए बोली: अरे भाई अब तो तुम भी क़िस्मत वाले हो जाओगे क्योंकि तुम भी तो बहनचोद बनने के लिए मरे जा रहे हो। ऐसा बोलते हुए रानी ने उसके पैंट के उभार को हल्के से सहलाया जो कि श्याम भी नहीं देख पाया।
राज उसकी बोल्ड्नेस से सकपका गया की वह सबके सामने ऐसा ख़तरा उठा सकती है। फिर वो तीनों बाहर कार की ओर चल पड़े। राज उसके पीछे से जींस में फँसे उसके बड़े बड़े चूतरों के देख कर मस्त हो रहा था। उसके लंड ने तो अब बवाल ही मचा रखा था पैंट के अंदर।
बाहर आकर वो कार में बैठे, श्याम कार चला रहा था और भाई बहन पीछे एक साथ बैठे थे।राज ने रानी की जाँघ पर हाथ रखा और बोला: तो रानी सफ़र बढ़िया रहा? कोई परेशानी तो नहीं हुई?
रानी हँसते हुए बोली: मुझे तो नहीं हुई पर मेरे साथ बैठे हुए आदमी को बहुत परेशानी हुई।
श्याम बोला: तो फिर तुमने शरारत की हमेशा की तरह? इस बार कौन बेचारा फ़ंसा तुम्हारे चक्कर में?
रानी: मेरा क्या दोष है इसमें, वो हरामी ६५ साल का बुढ्ढा ही मेरे पीछे पड़ा था।
श्याम: क्या किया उस ग़रीब ने तुम्हारे साथ?
रानी: और क्या करता, पहले मेरी जाँघ सहलाया जैसे किमेरा भाई अभी सहला रहा है, फिर उसने मेरी छाती पर हाथ रखा। तब मैं उसको बोली कि अंकल अब आपने खेल शुरू किया है तो ख़त्म भी करना पड़ेगा।
राज उसकी जाँघ को दबाते हुए बोला: फिर क्या हुआ?
रानी: वह बोला किक्या मतलब? मैंने एक कम्बल मँगाया और उसको अपने और उसके ऊपर डाल ली,उस समय मैं खिड़की की सीट पर थी और उसके बग़ल की सीट ख़ाली थी।
श्याम: ओह मतलब मैदान साफ़ था?
रानी हँसते हुए बोली: हाँ बिलकुल, अब मैंने अपना टॉप ऊपर कर दिया और ब्रा के भी स्ट्रैप खोल दिया। और उसका हाथ पकड़कर अपनी छातियों पर रख दिया।वह भी मस्ती से दबाने लगा और मैंने हाथ डालकर उसका लंड चेक किया। हाय ये तो छुहारे जैसा था, मेरी क़िस्मत। मैंने कहा कि हरामी जब लंड में जान ही नहीं तो क्यों तंग कर रहा है?
श्याम: क्या बिलकुल छोटा सा लंड था?
रानी: और क्या, मैंने तो इतना छोटा लंड देखा ही नहीं कभी। ख़ैर अब मैंने अपनी पैंट भी खोल दी और उसको चड्डी समेत नीचे करके उसका हाथ अपनी चूत पर रख दिया और टाँगे उपरकर के फैला दीं। अब उसने मेरी चूतमें ऊँगली चलानी चालू की।ऊपर कंबल होने के कारण किसी को शक नहीं हो रहा था। अब मैं उत्तेजित हो गई थी सो मैंने उसका सर पकड़कर अपनी चूत पर दबा दिया। वो हरामी भी मज़े मेरी चूत चाटने लगा।
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10-21-2018, 11:57 AM,
#59
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
अब राज ने भी अपनी हथेली उसकी चूत पर जमा दी थी और उसको दबाके रानी को गरम कर रहा था।
श्याम ने कार चलाते हुए पीछे के शीशे मेंराज के हाथ को रानी की चूत पर देखा तो मुस्करा के बोला: फिर क्या हुआ?
रानी: बस वो साला मेरी छातियाँ दबाते हुए मेरी चूत चूस कर मुझे झड़ा दिया।मैं उसके बाद आराम से सो गई।
अब राज ने उसके दूध पर भी हाथ रखा और दबाने लगा।रानी ने भी पैंट के ऊपर से उसका लंड पकड़ लिया और बोली: हाय मेरे भाई का तो लंड तुमसे भी थोड़ा बड़ा ही होगा।
श्याम: आख़िर भाई किसका है।
और वह तीनों हँसने लगे।
रानी: मेरे राहुल बेटे का आप लोगों ने ख़याल रखा किनहीं?
श्याम: अरे वो तो शालू के पीछे लट्टु हो गया है, उसका बस चले तो वो उसके तीनों छेदों से लंड बाहर ही नहीं निकाले।
रानी हँसते हुए: वो भी अपने मामा की तरह बहन की चुदायी में विश्वास करता है।
श्याम: वैसे उसकी ग़लती नहीं है शालू बेटी है ही इतनी प्यारी बच्ची कि किसी का भी मन डोलजाए उसपर।
रानी: और भाई रवीना ने ठीक से चुदावाया ना तुमसे?
राज: अरे मत पूछो बहुत अच्छे से चुदावाया और जिज़ूऔर राहुल ने उसको पक्की चुदक्कड बना दिया है। क्या बदन है उसका , बिलकुल तुम्हारे ही जैसे बदन है उसका।
तभी वो सब घर पहुँच गए।
अंदर पहुँचते ही रवीना अपनी माँ से लिपटकर प्यार किया। फिर शालू भी उसके गले मिली। सरिता भी आयी पानी लेकर और उसको नमस्ते की। रानी ने उसे भी गले लगाकर प्यार किया।
अब रानी ने पूछा: राहुल कहाँ है? दिखायी नहीं दे रहा है।
सरिता: जी वह नहा रहा है, आता ही होगा।
रानी: चलो मुझे उसके पास ले चलो।
सरिता उसको लेकर उस कमरे में ले कर गयी जहाँ बाथरूम में राहुल नहा रहा था।
सरिता ने दरवाज़ा खटखटाया और बोली: राहुल नहा लिए क्या? चलो बाहर आओ देखो कौन आया है?
राहुल: अरे दीदी अंदर आ जाओ ना दरवाज़ा खुला हुआ है।और माँ आ गयी क्या?
अचानक राहुल ने दरवाज़ा खोल दिया और वो पूरा गीला था और उसका बलिष्ठ शरीर पानी से गीला बहुत ही आकर्षक लग रहा था।उसका बड़ा लंड नीचे की तरफ़ लटका हुआ था और उसके भारी बॉल्ज़ भी नीचे झूल रहे थे। सरिता को देखकर वो बोला: आओ ना दीदी साथ में नहा लो ना।
तभी उसकी नज़र अपनी माँ के ऊपर पड़ी और वह ख़ुशी से चिल्लाया: अरे माँ आप कब आयीं? और दौड़ कर अपनी माँ से चिपक गया। वह भूल गया कि वह पूरा गीला था और उसे भी गीला कर रहा था।उसका गीला सीना रानी के टॉप को गीला कर गया और उसका लंड उसके नरम पेट से टकराया और जब उसने अपनी माँ के गाल और फिर होंठ चूसने शुरू किए तो गीला लंड सर उठाने लगा और जल्दी ही उसकी नाभि को छूने लगा। सरिता हँसते हुए बाहर चली गयी। उधर राहुल के हाथ अपनी माँके मोटे जींस में कसे चूतरों पर कस गाए और वो उनको भींचने लगा।फिर उसने उसके ब्लाउस के ऊपर से ही दूध दबाने शुरू किया और उसके टॉप के ऊपर से आधे नंगे दूध को चूमने लगा।अब रानी भी मस्ती से अपने बेटे के लंड को पकड़ कर दबाने लगी।
राहुल: हाय माँ कितने दिनों के बाद मिली हो चलो जल्दी से दूध पिलाओ। और ये कहते हुए उसके टॉप को खोलने लगा।
रानी ने भी उसके लंड को सहलाते हुए कहा: मैं भी तेरे इस मस्ताने लंड को बहुत याद कर रही थी और तड़प रही थी।
तभी कमरे में श्याम घुसा और बोला: अरे हराम जादी क्यों झूठ बोलती है, अभी प्लेन में एक बूढ़े का लंड मसल कर आइ है। क़ुतिया तुझे कोई लंडों की कमी है। साली रंडि कहीं की।
रानी हँसते हुए बोली: हाँ सो तो है मैं अभी भी इतनी मस्त दिखती हूँ कि साले हिजड़ों का भी लंड खड़ा कर दूँ, क्यों बेटा ठीक बोल रहीं हूँ ना!
राहुल अब तक टॉप और ब्रा खोल चुका था।
अब श्याम भी आगे बढ़ाऔर उसने एक चुचि पकड़ ली और दबाने लगा और राहुल भी दूसरी चुचि पर टूट पड़ा। थोड़ी देर बार दोनों एक एक दूध मुँह में लेकर चूस रहे थे।
रानी ने उनके सिर को दबाते हुए कहा: हाय्य्य्य्य कमीनों यही तो miss कर रही थीं। आऽऽँहहह कितना मज़ा आता है जब तुम दोनों बाप बेटा ऐसे मेरा दूध पीते हो।आऽऽऽऽऽऽहहहह।
राहुल ने उसकी जींस खोल दी और और उसकी चड्डी को नीचे खिसका कर उसकी चूत पर हथेली रखा और उसको मसलने लगा। और उसने एक उँगली चूतमें डाल दी। श्याम भी कहाँ पीछे रहनेवाला था, उसने भी नंगे चूतरोंको दबाते हुए उसकी गाँड़ में अपना थूक लगा के उँगली डाल दी।
रानी चिल्लायी: अरे मादर चोद हाऽऽऽऽऽह्य्यय इतनी जल्दी उँगली करने लगा।आऽऽह्ह्ह्ह्ह्ह और तुम भी गाँड़ मेंउँगली डाल दिए आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह । दोनों ही कमीने हो हाय्य्य्य्य। मैं तो सोची थी किपहले अपने भाई से चुदवाऊँगी पर तुम दोनों कुत्तों के आगे मेरी कभी नहीं चलती आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह ।
श्याम: चल क़ुतिया कमिनी रंडि की औलाद चल लेट जा अपने बेटे के ऊपर और उससे चूतचुदवा और में तेरी गाँड़ फाडूंगा।
राहुल हँसते हुए बिस्तर पर लेट गया और वो उसकी जाँघों के बीच बैठ कर उसका लंड अपनी चूतके अंदर डाल ली और तभी उसके चूतरोंकी फाँकें फैलाकर उसकी गाँड़ के छेद में श्याम ने अपना लंड घुसा दिया।
तभी दरवाज़ा खुला और राज बोलते हुए घुसा: अरे मेरी बहना कहाँ रह गयी और फिर सामने चुदायी का दृश्य देखकर हैरानी से बोला: अरे इसको थोड़ा आराम तो करने देते , तुम दोनों ही इसकी जान के पीछे पड़ गए।
राहुल बोला: मामा जी अभी माँका तीसरा छेद ख़ाली है आप उसे भर दो।
अब राहुल और श्यामने उसकी चुदायी चालू की और वो भी अपनी कमर उछालकर डबल लंड का मज़ा ले रही थी और आऽऽहहहह हाय्य्यय कर रही थी।
राज ने अपनी पैंट और चड्डी उतारी और अपनी बहन के मुँह के पास अपना खड़ा लंड के आया। रानी ने उसको लपक कर मुँह मेंले लिया। और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी और मुँह हटा कर बोली: भाई क्या मस्त लंड है आपका, श्याम से भी बड़ा है और फिर सुपाडे मेंजीभ फिरायी और अच्छे से चाटीऔर चूसने लगी।
रानी की बड़ी बड़ी चूचियाँ उछलनेसे ज़ोर ज़ोर से ऊपर नीचे हो रही थीं।राज और राहुल उसकी चूचियाँ दबाने लगे। रानी मस्त होकर गुन्न्न्न्न्न्न्न्न्न ह्म्म्म्म्म्म्म कर रही थी, लंड मुँह में फ़ँसा होने से वो चिल्ला नहीं पा रही थी। तीन तीन लंडों का स्पर्श और रगड़ने से वो मस्त होकर और ज़ोर ज़ोर से उछल कर चुदवा रही थी।तीनों मर्दों ने अपना अपना लंड अंदर तक दबाना शुरू किया और अब रानी की गुन्न्न्न्न्न्न्न्न्न्न्न म्म्म्म्म्म्म्म आऽऽऽऽननन जैसी आवाज़ें निकल रही थी।रानी अब झड़ने के क़रीब थी।उसने राज का लंड मुँह से निकाला और ज़ोर ज़ोर से उछलने लगी और राज के लंड को मुठी मेंलेकर हिलाने लगी।अब वो हाय्य्य्य्य्य्य मैन्न्न्न्न्न्न गइइइइइइइइइ कहकर झड़ने लगी।और वो राहुल के ऊपर बैठ सी गयी।राहुल ने उसकी चूत से लंड निकाला और उसको हाथ से मूठ मारने लगा,अब राज ने अपना लंड उसके हाथ से छुड़ाकर अपने हाथ से ही मूठमारने लगा, उधर श्याम भी अपना लंड उसकी गाँड़ से निकाल कर उसके मुँह के पास आया और मूठ मारने लगा।
रानी समझ गयी के ये सब उसके बदन पर ही अपना वीर्य गिराएँगे।उधर राहुल बिस्तर पर साइड में बैठा और रानी को बिस्तर ओर लिटा दिया। अब तीनों अपना लंड हिला रहे थे, श्याम ने आह्ह्ह्ह्ह करके अपना वीर्य उसके मुँह पर गिराना चालू किया जिसको वो मुँह खोलकर गटकने लगी।श्याम चिल्लाया: ले साली रंडि ले मेरा रस ले और के और पी जा ।
अब राहुल का भी निकलने लगा और वह भी हाय्य्य्य्य्य माँ लो मेरा पाऽऽनिइइइइइइइ पीइइइइइ जाअअअओओओओओ। और वह अपनी माँ के ऊपर पानी छोड़ा, पहले उसकी छातियों पर और बाद में उसके मुँह पर जिसे उसने जीभ से चाट लिया। आख़री में राज भी झड़ने लगा उसके मुँह पर और वह उसका रस भी पीने लगी।
राज ने सोचा किसाली बिलकुल ही ब्लू फ़िल्म की रंडि लग रही थी, उसके पूरी छाती और गला और मुँह तीनों के वीर्य से भर गया था। उसने अपने उँगलियों से उसको साफ़ किया और मुँह मेंलेकर चाटने लगी।
तभी शालू और रवीना अंदर आयीं और वहाँ का दृश्य देखकर हतप्रभ रह गयीं। तीनों मर्द अपने लंड को अभी भी उसकी तरफ़ करके आख़री बूँद भी उसकी तरफ़ गिराने की फ़िराक़ में थे और वी तीनों के वीर्य से सनी हुई थी।अब रानी ने अपना मुँह एक एक करके तीनों के लंड तक लायी और अपनी जीभ से सबके सुपाडेको चाट लीं।
लड़कियोंके लिए एक नयी ट्रेनिंग थी शायद यह सब ।

अगले दो दिन राज ने अपनी बहन को अच्छी तरह से चोद के मज़ा लिया और फिर श्याम अपने परिवार के साथ दुबई लौट गया।
अगले कुछ दिन शांति रही और शालू भी कॉलेज जाने लगी।कॉलेज में वह रोज़ निलू और नेहा से मिलती थीं।नेहा अपनी छुट्टी से वापस आ गयी थी।नेहा ने उनको अपनी छूट्टियों की कहानी सुनायी जिसने उसके पापा और पापा के बॉस ने उसकी ज़बरदस्त चुदायी की थी।
नेहा को वापस आए हुए एक हफ़्ता होने वाला था, सो वह अब फिर से चुदासि हो रही थी, हालाँकि उसके पापा रोज़ उसकी चुदायी करती थे पर वह अब कुछ अलग चाहती थी।
तभी निलू को अपने पापा के साथ एक शादी में जाना पड़ा और अब नेहा और शालू ही कॉलेज में मिलती थीं । नेहा और शालू घर में अपने पापा से चुदाती भी थीं और कॉलेज में इसके बारे में बातें भी करतीं थीं।
नेहा: और कल तेरे पापा ने कितने बार किया?
शालू: बस एक बार, असल में वो एक बार सरिता को भी चोद लेते हैं।तू कल कितनी बार चुदीं तुम?
नेहा: बस एक बार, पापा कह रहे थे अब कोई नया मज़ा लेने का प्लान बनाओ! बोल रहे थे कि शालू को बोलो कि अपने पापा से बात करे कि अदला बदली का कार्यक्रम बनाए।
शालू: सच! मैं बात करूँ पापा से, वो भी कह रहे थे किकुछ नया मज़ा लिया जाए।
नेहा: अरे बात कर ना अभी फ़ोन पर और आज का ही कार्यक्रम बनाते हैं।( कहते हुए उसके अपनी जींस के ऊपर से ही अपनी चूत सहला दी।) सच बहुत खुजा रही है नए लंड के लिए।
शालू हँसते हुए बोली: मेरे पापा इसकी खुजली अच्छे से मिटा देंगे।और उसने अपने पापा को फ़ोन करना शुरू किया।
राज: हेलो हाँ शालू बोलो?
शालू: पापा कैसे हो?
राज: ठीक हूँ बेटा, बोलो क्या बात है?
शालू: पापा वो नेहा के पापा आपसे बात करना चाहते हैं ।
राज: अच्छा, किस सिलसिले में?
शालू हँसते हुए: आप ख़ुद ही पूछ लो ना!
राज: मतलब, क्या अदला बदली के बारे में।( राज जानता था नेहा और उसके पापा राजेश के बारे में।)
शालू: जी हाँ और क्या!
राज: चलो तुम राजेश का नम्बर दो मैं अभी बात करता हूँ।
शालू ने नेहा से लेकर राजेश का नम्बर उसको sms कर दिया।
उधर राज ने राजेश को फ़ोन लगाया और राजेश बोला: हैलो ।
राज: राजेश जी मैं राज बोल रहा हूँ आपकी बेटी नेहा की सहेली शालू का पापा।
राजेश: हाँ जी बड़ा अच्छा लगा किआपने फ़ोन किया। कभी मिलिए ना फिर एक दूसरे को जानेग़ें और पहचानेंगे।
राज : हाँ हाँ क्यों नहीं। बोलिए कब और कहाँ मिलेंगे।
फिर दोनों ने दोपहर को लंच पर मिलने का कार्यक्रम बनाया।
दोपहर को एक रेस्तराँ में दोनों मिले। दोनों बड़े तपाक़ से मिले।
फिर अपने काम की बातें करने लगे। दोनों ने एक एक बीयर भी पी ली थी, और अब दूसरी बोतल भी चालू हो गयी थी।
सुरुर मेंआने के बाद राज बोला: यार हम लोग बड़े किस्मतवाले हैं जो हमें इतनी प्यारी बेटियाँ मिली हैं जो किहमको इतना प्यार करती हैं।
राजेश: सही बोले यार, मेरी नेहा तो मेरी ज़िन्दगी है। उसने मुझे कभी बीवी की कमी महसूस नहीं होने दी।
राज: सही है यार, पहले मैं रॉयल होटेल में हर हफ़्ते जाता था,लौड़ियाँ चोदने ,पर अब घर में ही मस्त माल है तो बाहर जाने की क्या ज़रूरत है।
राजेश: अच्छा तुम भी रॉयल होटेल जाते थे? अरे मेरा भी वही पसंदीदा होटेल था , कमसिन लौंडियाँ दिलवाता था साला, बहुत मज़ा आता था। अब तो घर में भी माल है तो बाहर जाने के क्या ज़रूरतहै।
और वी दोनों नशे मेंआकर हँसने लगे।
राज बोला: यार, तुमने कैसे पटाया नेहा बिटिया को चुदायी के लिए?
राजेश: अरे भाई लम्बी कहानी है, समय लगेगा बताने में!
राज: अरे यहाँ रेस्तराँ में हम एक कोने में बैठे हैं और पूरा ख़ाली है, बता ना कैसे पटाया घरेलू माल?
राजेश ने कहना शुरू किया अपनी और नेहा की कहानी----
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Reply
10-21-2018, 11:57 AM,
#60
RE: Hindi Porn Kahani अदला बदली
क़रीब दो साल पहले मेरी बीवी की प्लेन क्रैश में मृत्य हो गयी। ये बहुत बड़ा धक्का था मेरे और हमारी इकलौती बेटी नेहा के लिए।
मैं पहले काम में इतना व्यस्त रहता था कि कब नेहा बच्ची से जवान हो गयी मैंने इसका ध्यान ही नहीं दिया। अब मैंने नेहा का ख़ास ख़याल रखना शुरू किया ताकि उसे अपनी माँकी कमी ना खले। सब कुछ बढ़िया चलने लगा शुरुआती धक्के के बाद, और मैं थोड़ा जल्दी घर आ जाता ताकि नेहा को अकेलापन ना लगे।
मेरे दिल मेंकभी भी नेहा के बारे मेंकोई सेक्सी ख़याल नहीं आया और मैं रॉयल होटेल मेंएक या दो बार आकर अपनी प्यास मस्त जवानियों के साथ बुझा लेता था।
मैंने नेहा को इशारों में समझाया था कि उसे अपनी जवानी का ख़याल रखना होगा क्योंकि कई नौजवान लड़के कुँवारी लड़कियों को फँसाकर उनकी जवानी बरबाद कर देते हैं।
वो समझदार लड़की थी, उसने मुझे आश्वासन दिया किऐसा उसके साथ नहीं होगा।
एक बार तो मैंने यहाँ तक कह दिया था कि बिना कॉंडम के उसे किसी लड़के के साथ सेक्स नहीं करना है।वो शर्माकर भाग गयी थी। मुझे लगा कि मैंने अपनी बेटी को सही राह दिखायी है।
नेहा कपड़े भी काफ़ी सामान्य पहनती थी जैसे जींस टॉप या स्कर्ट और घर में तो वो सलवार कुर्ता भी पहनती थी।
वो कई बार ख़ुशी के पलों में मेरे गले भी लगती थी और दुःख के पलों मेंमेरी गोद में बैठकर रोती भी थी, पर मेरे मन में कभी ग़लत ख़याल नहीं आया।
उस दिन होली थी,मैंने उसे पहले से बता दिया था कि अपने आसपास की सोसायटी में ही होली खेले और दूर ना जाए और लड़कों से दूर रहे क्योंकि ऐसे समय मेंलड़के जवान लड़कियों का फ़ायदा उठाते हैं।
उसने हाँ मेंसर हिलाया और होली खेलने चली गई।
थोड़ी देर बाद मेरे कुछ दोस्त आए और हमने होली खेली और सबने बीयर पी और फिर वो चले गए।मैंने भी दो बोतल चढ़ा रखी थी और बालकनी से नीचे झाँकने लगा। मैंने देखा कि नीचे कई लड़कियाँ होली खेल रही थीं। मैं उनमें से नेहा को पहचान ही नहीं पा रहा था।सबके चेहरे ऐसे रंगे हुए थे। सब लड़कियाँ बड़े उत्साह से होली खेल रही थीं।
तभी मैंने देखा कि दूसरी तरफ़ से लड़कों का एक झुंड जिसने ५/६ लड़के थे, इनकी तरफ़ आने लगा, जबतक लड़कियाँ सम्भल पाती वो इन तक पहुँच चुके थे। अब लड़कियों ने भागने की कोशिश की पर लड़कों ने उन्हें पकड़कर रंग लगाना शुरू कर दिया। मैंने साफ़ साफ़ देखा कि वो रंग लगाते हुए उनकी चूचियाँ दबा रहे थे और जो लड़कियाँ स्कर्ट पहने थींउनकी स्कर्ट उठाकर उनके नीचे के हिस्से को भी सहला रहे थे। सभी लड़कियों के पिछवाड़े को भी रंग लगाने के बहाने से उन्होंने बहुत दबाया। कुछ लड़कियाँ तो मज़े ले रही थीं और लड़कों के भी गाल और उनकी छाती ओर भी रंग लगा रही थी, और कुछ बचने के कोशिश कर रहीं थीं।इतने ऊपर से मैं साफ़ साफ़ नहीं समझ पाया कि नेहा उन्में से कौन है!लड़कों की मस्ती देखकर मेरा लंड खड़ा हो गया था, कुछ बीयर की भी मस्ती थी।
तभी कुछ आदमी वहाँ आ गए और उन्होंने लड़कों को डाँटकर भगाया और लड़कियाँ वहाँ से भाग गयीं।
क़रीब पाँच मिनट के बाद नेहा अंदर आयी और उसकी साँस फूल रही थी और उसकी छातियाँ उसके टॉप मेंऊपर नीचे हो रही थीं।तभी मैंने देखा कि नेहा ने स्कर्ट ही पहनी हुई थी।इसका मतलब था किउसके निचले हिस्से में भी हमला किया था उन लड़कों ने। पता नहीं मेरा लंड और भी कड़ा हो गया ये सोचकर किनेहा के साथ ये सब हुआ।
नेहा नर्वस सी होकर अपने कमरे में जाने लगी तो मैंने उसे टोकते हुए पूछा: क्या बात है बेटी, इतनी घबरायी हुई क्यों हो?
नेहा: कककुछ नहीं पापा, बस थक गयी हूँ।
मैं: बेटी तुम्हारी साँस क्यों फूल रही है?
नेहा ने अपने हाथ खुजाते हुए कहा: बस ऐसे ही पापा, कोई ख़ास बात नहीं। फिर वो अपना दूसरा हाथ भी खुजाने लगी।
मैं: बेटी, लड़कों ने तंग तो नहीं किया?
वो चौंकते हुए: पापा कुछ आए थे ज़बरदस्ती होली खेलने पर अंकल लोग आ गए और हम बच गए।
वो आधा सच और आधा झूठ बोल गयी। और अब वो अपना पेट भी खुजाने लगी। अब उसके हाथ नीचे झुके और अपने घुटने के नीचे के पैर खुजाने लगी।
मैं: क्या बात है बेटा। क्या हुआ? ऐसे खुजा क्यों रही हो?
नेहा: पता नहीं पापा, पूरे शरीर में खुजली हो रही है।
मैं परेशान हो कर उसका हाथ देखा तो वहाँ लाल लाल से चकत्ते या मोटे दाने सरीखे बन गए थे।फिर मैंने उसके पैर और पेट का हिस्सा देखा तो वहाँ भी वैसे ही लाल निशान थे।
मैं: बेटा तुमको ज़बरदस्त एलर्जी हो गयी है किसी रंग की क्योंकि उसने रसायन होते हैं।
अब वो अपनी जाँघें भी खुजाने लगी और अपनी छातियों के निचले हिस्से को भी खुजा रही थी।
मैंने अपने डॉक्टर दोस्त को फ़ोन लगाया और नेहा की अलर्जी के बारे में बताया तो उसने कहा कि मेरे घर से दवाई ले जाओ। उसका घर पास ही के ब्लाक में था, मैं भागकर गया और गोली और मलहम में आया।
सबसे पहले मैंने उसे गोली खिलायी और फिर उसको कहा की चलो मलहम लगा लो।
वो खुजा खुजा कर बहुत लस्त हो चुकी थी और रोने लगी थी। मैंने उसे प्यार किया और उसके हाथ में जहाँ जहाँ दाने से थे वहाँ मलहम लगाया।
वो बोली: आह पापा अच्छा लग रहा है, मलहम से आराम आ रहा है।
मैंने हाथ मेंलगाने के बाद देखा किवो पीठ खुजा रही थी और उसका हाथ भी नहीं जा पा रहा था। और उसकी छातियाँ भी बाहर की ओर तन गयीं थीं। मेरे लंड ने फिर झटका मारा। मुझे अपने ऊपर शर्म आयी किमेरी बेटी इतनी परेशान है और यहाँ मेरे मन में कुविचार आ रहे हैं।
मैं: बेटा क्या पीठ मेंज़्यादा खुजा रहा है? कहते हुए मैंने भी उसकी पीठ खुजा दी।
नेहा: हाँ पापा अच्छा लग रहा है और खुजाओ।
मैं: बेटा खुजाने से फिर लाल दाने हो जाएँगे तुम मलहम लगवा लो।
नेहा: जी पापा लगा दीजिए।
मैं: बेटा थोड़ा टॉप उठाओ ना, तभी तो मलहम लगा पाउँगा।
नेहा ने टॉप उठाया और मेरे सामने उसकी ब्रा की स्ट्रैप थी।
मैंने उसके पीठ पर लाल दानों पर मलहम लगाया और फिर ब्रा के स्ट्रैप को उठाकर उसके नीचे के जगह मेंभी दवाई लगाया।
नेहा: हाय पापा सच बहुत आराम मिल रहा है।
तभी वो जाँघें और कमर खुजाने लगी।
मैंने उसको लेट जाने को बोला ताकि मैं सब जगह अच्छी तरह से दवाई लगा सकूँ। वह जल्दी से इधर उधर खुजाते हुए लेट गयी। बेचारी बहुत परेशान थी।
अब मैंने उसका टॉप उठाया और पूरा पेट नंगा करके दानोंपर दवाई लगाया। उसकी ब्रा दिख रही थी और मुझे अच्छा सा लग रहा था।
अब मैंने उसके पैरों मेंदवाई लगाई और फिर वो जाँघ खुजाने लगी तो मैंने उसका स्कर्ट ऊपर किया और उसकी पैंटी तक दिखने लगी। उसकी गदरायी और मुलायम जाँघों पर दवाई लगाते हुए मेरी नज़र उसकी पैंटी पर पड़ी।
मैंने देखा किउसकी पैंटी भी रंगी हुई है, और जाँघों का ऊपरी हिस्सा जोकि पैंटी में समा रहा था भी रंगा हुआ था।
इसका मतलब साफ़ था कि लड़कों ने उसकी पैंटी और उसके चूतपर भी रंग डाला है। अब मेरा लंड खड़ा हो गया।
मैंने पूछा: अरे बेटी, ये क्या? तुम्हारी पैंटी भी रंगी हुई है! यहाँ किसने रंग लगा दिया?
नेहा सकपका कर बोली: पापा वो वो ऐसे ही लग गया होगा और उसने स्कर्ट नीचे करने की कोशिश की।
अब मैंने उसको उलटा होने को बोला और वो पलट गयी।
अब मैंने उसका टॉप उठाया और पीठ पर जहाँ बचा हुआ था, वहाँ भी दवाई लगा दी। फिर उसकी चिकनी कमर और फिर उसकी जाँघों पर भी दवाई लगाया। अब मैंने उसके स्कर्ट को ऊपर उठाया और उसके गोल गिल नितम्बों के देखकर मेरा लंड झटके मारने लगा।
मैंने कहा: बेटा, तुम्हारी पैंटी बहुत बड़ी है, मैं इसको नीचे खिसकाकर दवाई लगा देता हूँ, वरना कुछ जगह छूट जाएगी।
उसने कहा: जी पापा मेरे बम में भी खुजा रहा है।
मैंने उसकी पैंटी नीचे की और वो भी कमर उठाकर मेरा साथ दी।
अब उसके गोल मोटे नितम्ब मेरे सामने पूरे नंगे थे। मैं तो उनकी सुंदरता ही देखते रह गया।अब मैंने अपने लंड को अजस्ट किया और उसके मस्त चिकने चूतरों पर दवाई लगाने लगा। फिर मैंने उत्तेजित होकर उसके चूतरों को अलग किया और उसकी भूरि गाँड़ को देखकर मस्त ही गया और उसकी दरार में कहीं कहीं ऐसे ही दवाई लगाने के बहाने सहलाना जारी रखा और फिर उसकी गाँड़ के छेद पर भी उँगलियाँ फेरकर मस्त हो गया । आह क्या चिकना हिस्सा था, बस थोड़े से बाल यहाँ वहाँ दिख रहे थे। जैसे ही मैंने अपनी उँगलियाँ गाँड़ पर फेरी वह आह पापा कर उठी।
अब मैं पूरी तरह से वासना से बात गया था,मैंने उसको पलटा और कहा: बेटी यहाँ भी खुजा रहा है क्या? मेरा इशारा उसकी छातियों की ओर था।
नेहा: जी पापा बहुत खुजा रहा है। और उसने अपनी छातियों के आसपास खुजाया।
मैं: चलो बेटा, टॉप उतार दो तो मैं वहाँ भी लगा दूँ।
नेहा बोली: पापा मुझे शर्म आएगी।
मैं: बेटा, इसने शर्म की क्या बात है, चलो टॉप उतारो। ऐसा कहते हुए मैंने उसका टॉप उतारने का प्रयास किया और वो उठके इसमें मेरी मदद की। जैसे ही टॉप उतरा उसका ब्रा में क़ैद दूधिया बदन जैसे बिजली गिराने लगा। अब मैंने उसके गले, कंधों और छाती के ऊपर से दवाई लगाने लगा। वह अब थोड़ी उत्तेजित सी दिख रही थी।
मैं बोला: बेटा ये तुम्हारी ब्रा खोल दो ताकि यहाँ भी दवाई लग जाए।
वो अपनी आँख झुका के उठ गयी और मैंने उसकी ब्रा का स्ट्रैप खोल दिया।वो फिर लेट गयी। मैंने उसके ब्रा को एक तरफ़ किया और मेरा लंड टूटनेकी कगार पर आ गया। आह क्या मस्त गोल गोल छातियाँ थीं जो बिलकुल सख़्त अनार जैसे दिख रही थीं।उसके निपल्ज़ अभी पूरे बने नहीं थे। मैंने अपने हाथ मेंदवाई ली और उसके छातियों पर लगाने के बहाने उनको हल्के से दबाने लगा। नेहा की आह आह निकल रही थी।अब मैंने कुछ ज़्यादा ही देर उसकी छातियाँ दबायीं। वो भी मज़े से और शर्म से आँखें बन्दकरके मज़ा के रही थी।अब मैंने उसकी घुण्डियों में दवाई लगाने के बहाने उनको मसलना शुरू किया तो वो अपनी जाँघें भींचकर आह हाय करते हुए मज़े से मस्त हो गयी। फिर मैंने कहा: बेटा,अब और कहीं तो नहीं खुजा रहा?
वो बोली: पापा बहुत आराम है।
मैं: बेटा यहाँ दवाई नहीं लगवाओगी? मैंने उसकी चूत की तरफ़ इशारा करके कहा।
नेहा: पापा वहाँ मुझे शर्म आएगी। मगर खुजा तो वहाँ भी रहा है।
मैं: बेटा, शर्माने का क्या है इसमें, मैंने तो तुमको कई बार नंगी देखा है।
नेहा: पापा तब मैं बच्ची थी।
मैं:अरे अब भी तुम मेरी बच्ची ही हो।
फिर मैंने उसका स्कर्ट ऊपर किया और देखा कि इतनी देर में मेरी छेड़खानी से वो उसकी पैंटी गीली हो गयी थी। मैंने उसकी पैंटी नीचे की और उसने भी कमर उठाकर मेरी मदद की।
अब मैंने उसकी चूतको देखा और पाया किवहाँ भी रंग लगा था।
मैं: अरे लगता है कि लड़कों ने तुम्हारी पैंटी मेंहाथ डालकर तुम्हारी चूत में भी रंग लगा दिया।
वो हैरानी से बोली: छी पापा आप कैसे शब्द बोल रहे हैं?
मैंने उसकी चूतपर हाथ फेरा और बोला: बेटी, चूत को चूतही बोलेंगे ना, यही इसका नाम है। हाँ तुम सच बोली कितुम अब बच्ची नहीं रही, देखो कितने नरम नरम से बाल उग गए हैं यहाँ पर।
मेरे द्वारा चूतसहलाने के बाद वो अब बहुत गरम हो गयी थी और कमर हिलाके हाय्य्य्य्य्य हाय्य्य्य्य कर रही थी।
मैंने भी अब अपना असली रूप दिखाया और उसकी चूतके दाने को मसलते हुए उसकी चुचिदबाने लगा और वो अपनी चूतउछालकर मेरी उँगलियो पर उसको रगड़ने लगी और हाय्य्य्य्य्यू पाऽऽऽऽऽऽप्प्प्प्पा मुझे कुछ्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह होओओओओओओ राह्ह्ह्ह्ह्ह्हा है हाय्य्य्य्य्य कहते हुए मेरी हाथ मेंझड़ने लगी। बहुत ही तगड़ा ऑर्गैज़म था उसका।
इस तरह अपनी बेटी को मैंने जवानी का पहला पाठ पढ़ाया।
राज का लंड राजेश की बातों से खड़ा हो गया था। फिर दोनों खाना खाने लगे।

खाना खाने के बाद राज ने कहा: यार आगे का भी बताओ ना किकैसे चोदा उसको पहली बार?
राजेश फिर से बताने लगा::::
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