Incest Kahani दीवानगी
06-28-2019, 02:32 PM,
#31
RE: Incest Kahani दीवानगी
सुजाता : रवि तूने आँखे बंद की हुई है ना
रवि : काँपते होंठो से जी मोम मेरी आँखे बंद है, मेरी बात सुनते ही मोम जैसे ही नीचे बैठने को हुई मुझे ध्यान नही रहा और मैं बिल्कुल उनकी गान्ड के पीछे था और मोम जैसे ही बैठने को झुकी उनकी चूत की फांके खुल कर सीधे मेरे मूह मे से टकराई और मेरे नथुनो मे मोम की गान्ड और चूत की मादक गंध अंदर भर गई, मैं अपनी मोम की मस्त भोस और गान्ड की गंध सूंघते ही पागल हो गया और मोम फिर से खड़ी हो गई और कहने लगी रवि क्या कर रहा है पीछे तो हट अभी तेरे मूह मे मूत जाता तो
मैं जल्दी से पीछे हटा और फिर मोम मंद मंद मुस्कुराते हुए नीचे बैठने लगी, हे क्या मस्त भोसड़ा था और क्या गजब के चौड़े चौड़े और भारी भरकम चूतड़ थे मोम नीचे बैठ गई और मैं उसकी गान्ड और चूत के खुले छेद को देखने लगा, तभी एक सीटी की आवाज़ से मेरा ध्यान भंग हुआ और मोम की चूत से एक मोटी धार निकल कर दूर तक जाने लगी, प्रेसर इतना ज़्यादा था कि मों का भोसड़ा और भी फैल गया था, मोम के पूरे चुतडो को अपनी बाँहो मे भरने के लिए कितने हाथ फैलाने पड़ते, मोम ने जैसे ही मुतना बंद किया और धीरे से अपनी गान्ड उठा कर खड़ी होने लगी वह अभी आधी ही खड़ी हुई थी मैं उसकी फटी चूत को देख रहा था जिसमे से पेशाब टपक रहा था, मैने अपनी मोम की चूत से पेशाब टपकते देखा और मुझसे रहा नही गया और मोम जैसे ही आधी खड़ी हुई मैने अपनी जीभ से मोम की चूत से जो पेशाब टपकने वाला था उसे टपकने से पहले ही चाट लिया, मोम एक दम से सीसीया गई और अभी आधी ही खड़ी हुई थी लेकिन जैसे ही मेरी जीभ उनकी पेशाब टपकती चूत से टकराई वह फिर बैठ गई और कहने लगी हे रवि क्या कर रहा है, जब बैठ रही थी तब भी तू मेरे चुतडो से टकरा गया और अब खड़ी हो रही हू तब भी टकरा रहा है, थोड़ा पीछे हो बेटे मुझे खड़ी होने दे, मैं थोड़ा पीछे हुआ और मोम धीरे से खड़ी हो गई और मेरी तरफ घूम गई उनकी स्कर्ट नीचे हो गई थी लेकिन पैंटी घुटनो तक ही चढ़ि थी, मोम ने मुस्कुरा कर मेरी ओर देखा और मैं वापस चलने को पलटने लगा तो मोम कहने लगी

सुजाता : अरे रवि मेरी पैंटी उपर कौन चढ़ाएगा, इतना सुनना था कि मैं वापस मोम के सामने घुटने टेक कर बैठ गया और पैंटी को उपर चढ़ाने के लिए जैसे ही मैने मोम के स्कर्ट को उपर किया हाई मैं तो मोम की मस्त फूली हुई चूत देख कर मस्त हो गया मोम की चूत बहुत बड़ी और बहुत फूल हुई नज़र आ रही थी, एक पल तो मैं अपनी मोम की मस्त भोसड़ी देख कर गन्गना उठा फिर मोम ने कहा जल्दी कर ना बेटे तब मैने उनकी पैंटी पकड़ कर जब उपर चढ़ाने की कोशिश की तब मैने मोम की फूली हुई गुदाज चूत को भी अपनी हथेली से दबा दिया और मोम की फूली चूत पर पैंटी के उपर से हाथ फेरते हुए स्कर्ट छोड़ दिया, अब मोम मुझे देख कर मुस्कुराते हुए अपनी भारी मस्तानी गान्ड मटकाते हुए वापस कुर्सी पर जाकर बैठ गई और स्टूल पर अपने दोनो पेर टाँग कर बैठ गई, जब मैं उसके सामने पहुचा तो उसने मुझसे कहा आ बेटे बैठ जा और मोम स्टूल से पेट हटाने लगी मैं स्टूल के पास मे बैठ गया और कहने लगा नही मोम मैं आपके सामने ही बैठ जाता हू आप अपना पाँव स्टूल पर ही रखे और एक पाँव मैने अपनी गोद मे रख लिया, मोम ने मेरी नज़रो को देखा जो उनकी मोटी मोटी मखमली जाँघो की जड़ो मे ही देख रही थी, तभी मोम ने अपनी जाँघो को थोड़ा और फैलाकर अपनी चूत को उपर से मसल्ते हुए कहा, बेटे आज अगर तू टाइम पर मुझे मुताने ना ले जाता तो आज तो पैंटी मे ही मेरा मूत निकल गया होता, पर क्या बात है तू बहुत चुप चुप है,
रवि : नही मा ऐसी बात नही है, इतना कह कर मैं मोम की गोरी गोरी पिंदलियो को सहलाने लगा,

सुजाता : मंद मंद मुस्कुराते हुए कहने लगी, अच्छा रवि जब मैं मूत रही थी तब तूने आँखे तो बंद कर ली थी ना
रवि : मुस्कुरा कर हाँ मों मैने आँखे बंद कर ली थी, पर तुम्हारी सीटी की आवाज़ सुन कर मैं चौंक गया था,
सुजाता : सवालिया निगाहो से मुझे देख कर, सीटी मतलब
रवि : वही मोम जब तुम मूतने लगी तो एक सीटी जैसी आवाज़ के साथ तुमने मुतना शुरू किया था
सुजाता : मुस्कुराते हुए, अरे पागल ऐसी सीटी की आवाज़ तो हर औरत के मूतने पर आती है
रवि : पर मोम रिया दी के मूतने पर तो इतनी ज़्यादा आवाज़ नही आती है
सुजाता : अरे पगले मैं कितनी बड़ी भी तो हू, जब लड़किया बड़ी हो जाती है तो उनकी इसमे से सीटी की आवाज़ तेज आने लगती है और पेशाब की धार भी मोटी हो जाती है,
रवि : मुस्कुराते हुए, पर मा मुझे तो तुम्हारी सीटी की आवाज़ बहुत अच्छी लगी
सुजाता : चल बदमाश तुझे अपनी मोम का मुतना अच्छा लगता है
रवि : नही मोम मुतते हुए सीटी की आवाज़ सुनना पसंद है

सुजाता :रवि आज तो तू अपनी मोम को अपने हाथ की चाइ बना कर पिला दे,
रवि : क्यो नही मोम आप बैठो आराम से मैं चाइ बना कर लाता हू
सुजाता : और सुन नीचे से शांपू भी लेते आना चाइ पीने के बाद मैं यही छत की धूप मे नहा भी लूँगी
रवि : और मोम आपके कपड़े
सुजाता : हाँ मेरे बेड पर मेरे कपड़े निकाल कर रख कर आई थी वह भी उठा लाना,
मैं वहाँ से नीचे चला गया और चाइ बनाने लगा. तभी प्रिया का फोन आ गया
प्रिया : रवि आज रात को आ जाओ ना बहुत चुदने का मन कर रहा है
रवि : क्यो नही रानी रात को 9 बजे तक मैं पहुच जाउन्गा,
प्रिया : ओके जान मैं पूरी नंगी होकर तुम्हारा वेट करूँगी. आ जाओ और खूब कस कर मुझे चोदो.
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RE: Incest Kahani दीवानगी - by sexstories - 06-28-2019, 02:32 PM

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