RE: Nangi Sex Kahani सौतेली माँ से बदला
वसीम का लण्ड इतना बड़ा था की सलमा के गले तक घुस जाता था।
फिर मजबूरी में सलमा ने, उसके लण्ड को चूसना शुरू कर दिया..
करीब 15 मिनट के बाद, जब वसीम झड़ने वाला था तो सलमा ने उसकी लण्ड को मुँह से निकालने की कोशिश की.. मगर, वसीम ने उसके मुँह को ही पकड़ लिया और ढेर सारा मूठ उसके मुँह में छोड़ दिया।
वसीम का मूठ, इतना निकला की सलमा को उल्टी आने लगी.. तो वसीम ने उसके मुँह और नाक को, अपने दोनों हाथों से बंद कर दिया।
जैसे तैसे, सलमा ने सारा माल गटक लिया.. मगर, उसे अब भी उल्टी हो गई..
वसीम ने फिर उसे उठा के बेड पर फेंक दिया।
अब वो, उसकी दोनों चुचियों को ज़ोर ज़ोर से मसलने लगा तो सलमा को दर्द होने लगा..
उसने उसकी दोनों निप्पल को, इतना ज़ोर से दो उंगलियों से दबाया के वो चीखने लगी।
वसीम ने उसकी दोनों चुचियों और निप्पल को रगड़ रगड़ के लाल कर दिया।
सलमा दर्द के मारे, छटपटा रही थी।
अब वसीम उसकी दोनों टांगें फैला के, चूत के दाने को रगड़ने लगा..
उसने देखा की सलमा को थोड़ी मस्ती चढ़ने लगी, तो उसने चूत के दोनों होंठों को खोल के, एक साथ अपनी चार उंगलियों को ज़ोर से, एक झटके में, अंदर घुसेड दिया..
सलमा ऐसी चीखी के मानो, उसकी चूत में किसी ने “जलता हुआ एसिड” डाल दिया..
वसीम उसकी चूत में जितना हो सके, अपना हाथ घुसाता चला गया और वो चीखती रही – नहीं ही ही ही ही ही… निकाल ल ल ल ल ल… आह ह ह ह ह ह… माँ न न न न न… प्लीज़… आआआआआआआआहह…।
लेकिन वसीम उसकी चीख को इग्नोर करते हुए, अपने हाथ को ज़ोर ज़ोर से अंदर बाहर करने लगा।
दूसरे हाथ की उंगली को वो, सलमा की गाण्ड के छेद में डालने लगा..
सलमा की गाण्ड का छेद, थोड़ा कसा था।
मगर, वसीम पर वासना से कहीं ज़्यादा हैवान हावी था..
बिना कुछ सोचे, उसने ज़बरदस्ती एक उंगली सलमा की गाण्ड में घुसा दी।
थोड़ा उसे अंदर बाहर करने के बाद, उसने अपनी बाकी तीन उंगलियों को भी अंदर घुसा दिया।
इधर सलमा चिल्लाती रही – माररररररररररर गईईईईईईईईईई माआआआआआअराआआअ गाआआआआइईईई… छोड़ दे मुझे, प्लीज़… आह हहहहहहह… माफ़ कर देदे…
पर वसीम बेदर्दी से उसकी गाण्ड और चूत अपनी उंगलियों से चोद्ता रहा!!!
कुछ 5-7 मिनट के बाद, वसीम उठा और किचन में गया..
इधर, सलमा को दर्द इतना था की वो उठ नहीं पा रही थी..
इसीलिए, वो कहीं भाग नहीं सकती थी और वैसे ही बेड पर तड़पति हुई बेसाहरों की तरहा पड़ी रही..
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