01-17-2019, 02:28 AM,
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RE: behen sex kahani मेरी तीन मस्त पटाखा बहनें
लेकिन मैं कुछ नहीं बोला तो दीदी ने दरवाजा खोला और बाहर निकल गई और वापस जोर से दरवाजा बंद कर दिया लेकिन ये मैंने गलत समझा था क्योंकि उस वक्त हुआ कुछ और ही था।
दरवाजा बंद होने के बाद मैंने आँखे खोली और अपने आप से बाते करने लगा।।।।।।
'दीदी मैं आपसे बहुत प्यार करता हूँ सच्चे दिल से और मैं आपके बगैर नहीं रह सकता हूँ आप मुझे इस तरह छोड़ कर चली गई ये आपने ठीक नहीं किया लेकिन दीदी आई लव यू सो मच।।।'
'दीदी मुझे आपके जिस्म ने पागल कर दिया है और आपके होठो ने मेरा चेन छीन लिया है दीदी जब मैं आपकी गांड पर अपना लंड रगड रहा था तब मुझे बहुत अच्छा फील हो रहा था दीदी मैं आपके बिना नहीं रह सकता सच दीदी कल मैं आपसे माफ़ी मांगूंगा आप बेशक मुझे कुछ ना करने दे ये मेरे लिए मुश्किल तो है लेकिन आपके लिए मैं बर्दाश्त कर लूंगा बिकॉज़ आई लव यू सो मच, आई लव यू दीदी आई लव यू ।।।।।।आई लव यू।।।आई लव यू।।।।।'
'दीदी मैं आपके साथ प्यार करना चाहता हूँ उफ़ मैं क्या करू कहाँ जाउ।।।।। देखो दीदी मेरा लंड आपका नाम लेते ही खड़ा हो गया है पता नहीं अब मेरा क्या होगा आप भी तो मेरा साथ नहीं देती है उफ।।।।। दीदी मेरा लंड हाथ में लो' कह कर मैंने अपना लंड पकड़ा और आँखे बंद करके दीदी को इमेजिन करके उफ्फ्।।।। आह्ह्ह्ह।।। की आवाज़ें निकालते हुए अपने लंड को मसलने लगा और बोलने लगा 'यः दीदी मुझे बहुत मजा आरहा है प्लीज दीदी मेरे लंड पर गृप मजबूत करो एस्।।।येस।।।।'
अचानक मुझे झटका लगा जब मेरे हाथ पर किसी का हाथ आया मैं झट से उठा तो क्या देखता हूँ की दीदी मेरे बेड के पास जमीन पर बैठी हुई है और मैंने अपना हाथ लंड से अलग कर लिया और मेरा हाथ हटते ही दीदी ने मेरा लंड पकड़ लिया और उसे अपने नरम हाथो से हिलाने लगी ऊऊफफफफ मुझसे तो बर्दाश्त नहीं हो रहा था दीदी मेरे लंड को पकड़ कर हिला रही थी।
"भाई आई ऍम सो सॉरी तुम मुझसे इतना प्यार करते हो और मैं ने, पता नहीं क्यों मना कर दिया तुम्हे भाई सच मुझे बहुत मजा आया था कल रात और मैं और भी मजे लेना चाहती हूँ, मुझे भी सेक्स का कोई एक्सपीरियंस नहीं है लेकिन मैं तुम्हारे साथ मजे लेना चाहती हूँ, भाई तुम्हारा लंड बहुत अच्छा है भाई आई लव योर डिक ओह्ह उफ़ कितना होट कितना मोटा और लम्बा है, इस छोटी सी उमर में भी क्या लंड पाल रखा है तुमने"
"दीदी आई लव यू सो मच, दीदी प्लीज बेड पर मेरे साथ सो जाओ ना।।।।।।आई लव यू दीदी" मैं बोला।
दीदी उठ कर मेरे साइड पर लेट गई लेकिन मेरा लंड नहीं छोड़ा था और मुझे किसिंग करने लगी मैंने भी दीदी को पकड़ रखा था और मजे से किसिंग करने लगा दीदी की साँसे तेज थी और धड़कने बढ़ गई थी उफ्फ्फ्फफ्।। ।।।दीदी का गरम जिस्म मुझे बहुत मजे दे रहा था।
दीदी ने मेरा लंड और जोर से पकड़ लिया और मेरी मुठ मारने लगी मैं तो जैसे हवा में उड़ रहा था मैंने जल्दी से दीदी की कुर्ती ऊपर को और दीदी के बूब्स पकड़ लिए जो दीदी की ब्लैक ब्रा में क़ैद थे और उन्हें मसलने लगा और उनके साथ खेलने लगा।
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RE: behen sex kahani मेरी तीन मस्त पटाखा बहनें
कल दिन जब मैं स्कूल से वापस आया तो सीधे दीदी के रूम में गया लेकिन वो बाथरूम में थी।
"दीदीइइइइइइ।।।" मैंने उसे पुकारा।
"क्या बात है राज, क्यों बुला रहे हो" दीदी ने पूछा।
"दीदी जल्दी से दरवाजा खोलो मुझे आपसे काम है" मैं बोला।
"थोडी देर रुको मैं बस आती ही हूँ" दीदी बोली।
"नही दीदी जल्दी दरवाजा खोलो प्लीज" मैं बेसब्री से बोला।
मेरी इतनी बेसब्री से दीदी घबरा गई की मुझे कुछ हुआ तो नहीं है और बोली "दरवाजा खुला है अंदर आ जाओ"।
जैसे ही मैं अंदर गया सामने का नजारा देख कर मेरे होश उड़ गए सामने दीदी सुसु कर रही थी लेकिन मेरे आने की वजह से उसने अपनी कुर्ती का सामने वाला हिस्सा नीचे कर लिया था जिससे मुझे कुछ दिखाई नहीं दे रहा था।
मैन दीदी के पास गया और उसके सामने बैठ गया।
"क्या बात है इतने घबराये हुए क्यों थे तुम्" दीदी ने पूछा।
"दीदी ओ।।।।व।।।।।" कहते हुए मैंने दीदी की कुर्ती का सामने वाला हिस्सा जो उसकी चूत को छुपाये हुए था की उठा दिया और दीदी की चूत को देख कर बोला "में ये देखने आया था"।
"शर्म कर मेरे भाई, चल अब बाहर निकल कहीं कोई आ न जाए" दीदी हँस कर बोली।
मै उठा और बाहर आने लगा तो देखा की रूम में मेरी छोटी बहन रानी खड़ी थी तो मैं जल्दी से वापस बाथरूम में आया और दीदी को इशारा किया की वो चुप रहै।
दीदी समझ गई और इशारे से कहा देखा जिसका डर था वही हुआ खैर दीदी उठि और सलवार पहन ली की तभी रानी ने आवाज दी।
"दीदी आप कहाँ हो" रानी बोली।
"मैं बाथरूम में नहा रही हूँ अभी आती हूँ" दीदी बोली।
"ओके मैं वेट कर रही हूँ आप जल्दी आओ" रानी बोली।
"बस अब तो हो गया काम वो वहीँ बैठ गई है अब क्या करे" रीमा दीदी बोली वो बहुत घबरा गई थी।
"दीदी आप जाओ मैं यहीं रुकता हूँ" मैं भी घबराते हुए बोला।
"नही पागल अगर वो कहीं यहाँ आगई तो।।।।।" दीदी बोली।
"हाँ ऐसा तो हो सकता है, अच्छा उसे वेट करने दो हो सकता है वैसे ही चली जाए" मैं बोला।
"तु भी न जरा भी सबर नहीं हुआ तुझसे, रात को देख लेता जो देखना था।।।।आ गया यहीं मुँह उठा कर हे भगवान अब क्या करूँ में" दीदी थरथराते हुए बोली।
"अच्छा चलो अब कुछ नहीं होता आप इधर आजाओ" कहते हुए मैंने दीदी को दीवार से चिपका दिया और खुद उसके साथ चिपक गया।
दीदी से चिपकते ही मैं उसे किस्स करने लगा लेकिन वो डरी हुई थी लेकिन धीरे धीरे उसे भी मजा आने लगा तो उसने मुझे कस कर पकड़ लिया और किसिंग में मेरा साथ देने लगी।
मैने अपने पैंट की ज़िप खोली और अपना लंड बाहर निकाल लिया और दीदी से बोला "दीदी प्लीज इसे अपने हाथ में पकड़ो ना"।
मेरी बात सुनकर दीदी ने मेरा लंड अपने नरम हाथ में पकड़ लिया जो आधा खड़ा था और दीदी के हाथ लगते ही फुल हार्ड हो गया था।
"दीदी प्लीज आप मेरी तरफ बैक कर लो मैं आपकी गांड पर अपना लंड रगडना चाहता हूँ" मैं बोला।
दीदी भी फुल मजे में थी वो झट से घूम गई और उसकी मस्त गांड मेरे सामने आगई।
मैने जल्दी से दीदी की इलास्टिक वाली सलवार दीदी के घुटनो तक नीचे कर दी। अंदर दीदी ने चड्ढी तो पहनी नहीं थी जिससे उसके गोल गोल चूतड़ मेरी आँखों के सामने नंगे थे।
मेरे ऐसा करते हो दीदी ने झट से पलट कर मुझे देखा और बोली "पागल हो गए हो क्या, अभी नहीं फिर कभी कर लेंगे प्लीज अभी मौका नहीं है तुम भी ना।।।।।।"।
"दीदी लंड अंदर थोड़े ही ना डाल रहा हूँ बस ऊपर ऊपर से रगडना है चोदना थोड़े ही है" मैं बोला।
"अच्छा ठीक है लेकिन धीरे धीरे बगैर आवाज किये समझे" दीदी बोली वो मेरी बात समझ गई और वापस घूम गई।
मैने लंड पकड़ कर दीदी की गांड की दरार में रखा और धीरे धीरे मूव करने लगा दीदी को लंड टच हुआ तो बहुत अच्छा फील हुआ और उसने अपनी गांड सिकोड़ ली।
" दीदी प्लीज अपनी गांड टाइट मत करो लाइन में तो जाने दो वहीँ मजा आएगा" मैं बोला।
"मैं कहाँ कर रही हूँ वो खुद ही हो रही है क्योंकि तुम्हारा लंड गरम है ना, चलो ट्राय करती हूँ की अब ना हो" दीदी मजे से बोली।
दीदी फिर वैसे ही खड़ी हो गई तो मैंने लंड पर थूक लगाया और थोड़ी थूक दीदी की गांड की दरार पर भी लगा दी।
"अब ये क्या कर रहे हो? उफ्फ्फफ्फ्फ्।।।।।।तुम भी ना।।।।रोज नए नए तरीके क्या होगा मेरा" दीदी बोली।
"दीदी बस स्लिप होगा थूक से इसलिए लगाया है अब प्लीज चुप करके खड़ी रहो मजा ख़राब मत करो" कह कर मैंने लंड दीदी की क्रैक में रखा और हिलने लगा मुझे बहुत अच्छा लगने लगा।
"दीदी अब कैसा लग रहा है" मैंने पूछा।
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RE: behen sex kahani मेरी तीन मस्त पटाखा बहनें
इस तरह करते हुए धीरे धीरे मेरा आधा लंड दीदी की गांड में घुस गया था और मैंने दीदी के बूब्स पकड़ लिए और दबाने लगा अब दीदी भी थोड़ी शांत हो गई थी और वो मेरे लंड के अंदर बाहर होने के साथ अपनी गांड हिला रही थी।
मैने अपना एक हाथ दीदी के बूब पर और दुसरा हाथ उसकी चूत पर रखा और बूब को मसलते हुए चूत को रब करने लगा जिससे दीदी फिर गरम हो गई और कुछ ही देर में झड़ गई और वहीँ जमीन पर डॉगी स्टाइल में हो गई।
वह क्या नजारा था दीदी अभी होश में नहीं थी तो मैंने लंड को पहले से ज्यादा जोर से अंदर बाहर करना शुरू कर दिया और ५ - ७ धक्को में ही दीदी की गांड में झड गया।
मेरी कम को अपनी गांड में गिरती हुई महसूस करके दीदी ने मेरी तरफ देखा और हँस कर बोली "गंदे कहीं के इतना दर्द दिया और तुरंत ही उतना मजा भी दे दिया सच में बहुत पहूँची हुई चीज हो तुम्, सच आई लव यू सो मच् राज यू आर ग्रेट योर लंड इज आल्सो ग्रेट बहुत अच्छा लग रहा था जबकि मेरे अंदर गरम गरम पानी गिर रहा था उफ़ इतना मजा दिया तुमने और दर्द भी की पूछो मत, बस अब आराम से बाहर निकाल लो ये ना हो की फिर खड़ा हो जाये और मेरी गांड फट जाए"।
इत्ना कह कर दीदी हॅसने लगी और मैंने धीरे धीरे अपना लंड बाहर निकालना शुरू कर दिया तो दीदी ने आँखे बंद कर ली और गांड हिलने लगी जिससे मेरा लंड जल्दी ही बाहर आगया।
तभी अचानक ही रानी ने फिर आवाज दी "दीदी मैं जारही हूँ आप भी नहा कर नीचे आजा जाना"।
रानी नीचे जा चुकी थी और हम दोनों भाई बहन हँसते हुए उठे मैं अपने पैंट की ज़िप लगा कर बाहर निकल गया और दीदी नहा कर जल्दी से बाहर आगई।
लेकिन उनकी गांड में सूजन थी तो वो टांगे फैला कर धीरे धीरे चल रही थी मैंने जब देखा तो मुझे उस पर बहुत तरस आया लेकिन दीदी के चेहरे पर नॉटी साइड स्माइल देख कर मैं भी हँस दिया। ।।।।।।।।।।।।।
रात को मैं दीदी का वेट कर रहा था लेकिन बहुत देर होने के बाद भी वो नहीं आई तो मैं उठ कर उसके रूम में चला गया तो देखा की दीदी के साथ मेरी छोटी बहन राखी सो रही थी।
"दीदी आज का क्या प्रोग्राम है?" मैंने धीरे से पूछा।
"अभी तो राखी मेरे पास सो रही है इसलिए आज मुश्किल है कल देखते है" दीदी बोली।
"दीदी मुझे नींद नहीं आरही है और न ही आएगी, प्लीज दीदी कुछ तो करो.... अच्छा आप मेरे रूम में आ जाना कुछ देर बाद" मैं उसे मनाते हुए बोला।
"राज... कहा ना नहीं, अभी मैं भी जग रही हूँ लेकिन कहीं ये उठ गई और मुझे ना देख कर ढूँढ़ने लगी तो, पागल आज रात भर सबर कर लो कहा न कल देखते है" दीदी बोली।
दीदी की बात सुनकर मैंने बुरा सा मुँह बना लिया जिसे देख कर दीदी हॅसने लगी।
"अच्छा बाबा ठीक है मैं आती हूँ तुम्हारे रूम में लेकिन ज्यादा टाइम नहीं रहूँगी जो करना है जल्दी करना, और हाँ अपनी शकल ठीक कर लो नौटंकी कहीं के...." दीदी हँसते हुए बोली.
दीदी की बात सुनकर मैं खुश होकर अपने रूम में आगया और कोई १५ मिनट बाद दीदी भी मेरे रूम में आगई।
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