XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा
02-11-2021, 12:53 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा
जेठालाल तारक की तरफ....और तारक जेठालाल की तरफ...देखने लगी..मानो एक
दूसरे से इसका जवाब माँग रहे हों...इतने में ये लोग सोचते कि क्या बोलना है..अईयर
भाई साहब बोल पड़े...

अईयर :- देखिए अंजलि भाभी...हम मानते हैं..कि वो सब बहुत ग़लत किया हम लोगों
ने....हमे ऐसा नही करना चाहिए था...लेकिन क्या करते ... वो नशे में पता ही
नही चला....

बबीता :- तो इतना नशा करने को किसने कहा था....आप लोग नही जानते क्या क्या किया
है आप लोगों ने कल रात को.....

रोशन :- वैसे भी इन्हे पता ही होगा..क्या किया है इन सब ने रात में...सुबह हमारी
हालत देख के समझ गये होंगे...क्यूँ...

माधवी :- हाँ बिल्कुल.....इन सब ने जो किया उसका पता तो होगा ही इन्हे....

तारक :- देखिए हम लोगों को कुछ याद नही है..कि हमने क्या किया रात को...सुबह
आप लोगों को देख के तो हम सब खुद हैरान है..कि ये सब कैसे हुआ...

दया :- हाँ तो बराबर है ना...कैसे याद रहेगा...पी जो इतनी रखी थी कल.

बबीता :- इट्स जस्ट ऑफुल यू ऑल गाइस....इतनी भी कोई पीता है..कि दूसरों की वाइफ्स के
साथ...छी....

इस लाइन के बोलने के बाद.....सभी गान्ड फट चुकी थी....क्यूँ कि सबको लग रहा था
कि अब उनका बचना मुश्किल ही नही है....बल्कि नामुमकिन है...

लेकिन तभी जेठालाल के दिमाग़ की बत्ती जल गई......उसने सोच लिया कि इस पीने वाली
बात पर से कैसे छुटकारा पाया जाए....

जेठालाल :- इतना पीने की भी एक बहुत बड़ी वजह है...

तारक और सभी उसकी तरफ देखने लगी...

दया :- क्या...

जेठालाल :- हाँ...और वो..

दया :- क्या है...बोलिए ..बोलिए....बोलते क्यूँ नही...बोलिए नाआ...

जेठालाल :- हाँ भाई....तू शांत रहेगी तो बोलूँगा ना...शांत रह ..

दया :- ओह्ह सॉरी....!!

जेठालाल :- हाँ तो हमारी इतनी पीने की वजह है....ये पोपटलाल ....

पोपटलाल अपना नाम सुन के हिल जाता है...और वो जेठालाल की तरफ देखने लगता
है.....

पोपटलाल :- भाई पोपटलाल ...में...मेने क्या किया..पी तो आप लोगों ने खुद थी.

जेठालाल :- बताता हूँ...भाई..
वो हुआ यूँ...कि जब हम लोग वो म्यूजिक पे डॅन्स कर रहे थे..तो ये पोपट महाशय..
अपने छाते के साथ डॅन्स कर रहे थे....और उस छाते से उन्होने..... बगल में
कयि औरतों को परेशान कर दिया....जिससे उन लेडीज़ ने पोलीस को फोन करने की बात
करी...बड़ी मुश्किल से समझाया उन्हे...

और इसी वजह से करीब 2 घंटा हमरा बर्बाद हुआ....और सारा मूड ऑफ हो गया..
और फिर इसी पोपटलाल ने बोला कि मूड ऑफ नही करो भाई लोगों..चलो में बोलता हूँ
कि एक एक पॅक लगा लो..बहुत ज़िद्द करने लगा....तो फिर हमने भी सोचा चलो इतना
बोल रहा है...तो लगा लेते हैं....लेकिन फिर वो एक के बाद एक पॅक कब लग गये
पता ही नही चला.....और हम इसी वजह से इतने नशे में आ गये...

पोपटलाल :- ये क्या बोल रहे हो जेठालाल......मेने कब..

तारक :- हाँ हाँ...सही बोल रहा है जेठालाल....तेरी ही वजह से हुआ था ये सब..
और अंजलि मेरा विश्वास करो..हमने एंट्री करने से पहले ही फ़ैसला किया था कि
हम सब ड्रिंक नही करेंगे...बस थोड़ी मौज़ मस्ती करेंगे...

भिड़े :- हाँ माधवी...ये पोपटलाल ही है जिसकी वजह से ये हुआ...

रीता :- ये पोपटलाल ....है ही ऐसा....कॅन्सल नाम का दुम सही है इसका...कॅन्सल
कर देना चाहिए इसे.....

पोपटलाल :- देखिए बही लोगों...आप अपने आप को..

सोढी :- ऊओ पोपु...ये सब ठीक बोल रहे हैं....वो तो हम लोग इतनी देर से चुप
इसलिए थे..कि सब ठीक हो जाएगा...लेकिन आप पानी सर के उपर चला गया है..
इसलिए सच बताना पड़ा....

अईयर :- बिल्कुल ठीक बोल रहे हो सोढी तुम....ये पोपटलाल की वजह से सब गड़बड़ हो
गया.....
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02-11-2021, 12:53 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

टककककक....निशाना के दम सही जाके लगा..जेठालाल का.....अब लॅडीस लोगों के मन में डाउट होने लगा था....और ये सब उसँके फेस एक्सप्रेशन पे देखा जा सकता था.
थोड़ी देर पहले जो एक्सप्रेशन गुस्से के थे...अब बदल रहे थे.....

दया :- अच्छा...इसका मतलब है..आपकी ग़लती नही है....तो फिर..

अंजलि :- देखिए दया भाभी...ये लोग जो बोल रहे हैं वो सही है..लेकिन फिर भी
ग़लती तो इन सब से हुई है...तो हम कैसे माफ़ कर सकते हैं..

माधवी :- हन्न्न बिल्कुल ठीक बोला अंजलि भाभी आपने..

जेठालाल :- ओफूऊऊ...मेहता साहब..अंजलि भाभी..तो मानने को तैयार नही है...
समझते क्यूँ नही हो इन्हे..

तारक :- रूको जेठालाल में कॉसिश करता हूँ..तुम शांत रहो...

और फिर...तारक वो करता है जिसकी उम्मीद किसी को नही थी...

वो अपने घुटनो के बल बैठ जाता है...और अंजलि से माफी माँगने के लिए हाथ जोड़
लेता है.....

अंजलि ये देख के हैरान हो जाती है....

तारक को ऐसा बैठा देख...भिड़े अईयर और सोढी भी बैठ जाते हैं....
तो फिर हमारा पोपटलाल और जेठालाल कहाँ पीछे रहने वालों में से थे....वो दोनो
भी ऐसे ही बैठ जाते हैं....

तारक :- अंजलि हम तहे दिल से तुमसे माफी माँगते हैं...जो हमने किया वो सब ग़लत
था...ये हमने कबूल कर लिया है...लेकिन क्या तुम हमे इस ग़लती के लिए माफ़ नही
कर सकती....सिर्फ़ एक बार...

अंजलि कन्फ्यूज़ थी कि क्या करे....लेकिन वो तारक का इतना प्यार देख के पिघल ही
गई आख़िर कार....और कर दिया माफ़ उसने....

अंजलि :- ठीक है..तारक..में आपको माफ़ कर देती हूँ....लेकिन आख़िरी बार...

तारक :- खुश होते हुए...आइ लव यू अंजलि..

अंजलि :- आइ लव यू टू तारक...

एक कपल की तो सुलह हो गई...
इसे देख कर बाकी सब में भी जान आ गई...और वो भी लग गये .....

सोढी :- रोशन आगर तू मुझे माफ़ नही करेगी तो में ज़िंदगी भर..यहीं ऐसे ही
बैठा रहूँगा.....तेरे प्यार का इंतेज़ार करते हुए...

रोशन भी मान जाती है...कोई और चारा भी नही था....वो उसे माफ़ कर देती है.
सोढी जाके रोशन के गले मिल जाता है...

अईयर :- बबीता आइ आम रियली वेरी सॉरी....देखो में अपनी ग़लती मानता हूँ..लेकिन
में तुमसे और तुमसे ही सिर्फ़ सच्चा प्यार करता हूँ....प्लीज़ फर्गिव मी...एक चान्स
तो दे दो प्लीज़..

बबीता :- ओकेकक....बट दिस ईज़ युवर लास्ट चान्स...आयन्दा ऐसा करोगे..तो कभी माफ़
नही करूँगी...

अईयर भाई भी खुश होके उठ जाते हैं....
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02-11-2021, 12:53 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

भिड़े :- माधवी....मुझे मेरे बाल ना होने पर भी इतना दुख नही हुआ आज तक...जितना
आज हो रहा है..में तुम्हे कभी परेशान नही देख सकता....में तुमसे बहुत प्यार..
करता हूँ...प्लीज़ मुझे माफ़ कर दो......

माधवी जब भिड़े के चेहरे को देखती है...तो उसका गुस्सा चला जाता है...वो उसे
भी माफ़ कर देती है.....

पोपटलाल :- रीता....तुम जो बोलोगि में वो करूँगा...लेकिन प्लीज़ मुझे माफ़ कर दूं
मुझे होश ही नही था ..कि में क्या कर रहा हूँ...मुझसे बहुत बड़ी ग़लती हो गई
प्लीज़ मुझे माफ़ कर दो....

रीता कुछ देर सोचती है...वो माफ़ करना तो नही चाहती थी..लेकिन जब उसने देखा कि
सब माफ़ कर रहे हैं..तो वो बोल देती है..

रीता :- ओके..इस बार कर दिया माफ़..अगली बार कुछ ऐसा किया..तो सीधा कॅन्सल
कर दूँगी तुम्हे...

इस बात को सुन के पोपटलाल भी खड़ा हो जाता है..और खुशी के मारे नाचने लगता
है.......

अब बचता है एक कपल.....जी हाँ जेठालाल और दया....

जेठालाल घुटनो के बल बैठ के सिर्फ़ दया की आँखों में देके जा रहा था....
और दया भी जेठालाल की आँखों में देख रही थी...उन दोनो को किसी और का कोई
होश नही था...

शायद इन दोनो को एक दूसरे से बोलने की ज़रूरत ही नही थी..दोनो की आँखें ही एक
दूसरे से सब कुछ बोल रही थी.....

कुछ मिनट बाद...दया ने अपने हाथ जेठालाल के हाथ पे रख दिया..जिससे जेठालाल को ये
अंदाज़ा हो गया..कि दया ने उसे माफ़ कर दिया...

जेठालाल खड़ा हो जाता है....

जेठालाल :- थॅंक यू दया...थॅंक यू वेरी मच..

दया :- इसमे थॅंक यू क्या टप्पू के पापा...वो बापूजी कहते हैं ना..कि माफ़ करने वाला
इंसान सज़ा देने वाले से ज़्यादा बड़ा होता है.....

जेठालाल की आँखों में नमी आ जाती है..दया का इतना प्यार देख के...और वो उसे अपने
गले लगा लेते हैं...

पास में खड़े सभी उन्हे देख रहे थे...और तभी तारक एक सीठी बजा देता है..

तारक :- भाई...वाहह...जेठालाल..इसे कहते हैं प्यारर..
सच में..हमारी पत्नियों से अच्छा कोई और है ही नही...

अंजलि :- बस बस...अब मक्खन लगाना बंद कीजिए.....

तारक :- अरे नही अंजलि .. ये तो सच बात है...

सोढी :- देखो आप सब ने हमे माफ़ कर दिया..उसके लिए बहुत बड़ा थॅंक यू..
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02-11-2021, 12:53 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

अईयर :- हाँ ये बात तो है...लेकिन मेरे दिमाग़ में अभी भी एक बात चल रही है.

जेठालाल :- हाँ बोलो अईयर भाई... बिंदास होके...

अईयर :- हम कल रात एक दूसरे के घरों में गये थे...लेकिन हमने ऐसा क्या किया
जो आप सब सुबह उस हालत में थी...

भिड़े और तारक अपने माथे पे हाथ मार देते हैं...

जेठालाल :- अरे ये...अईयर भाई..आप अपने मुँह पे टेप लगा लो...अच्छी भली आग
भुज चुकी थी...आप क्यूँ उसमे दुबारा पेट्रोल छिड़क रहे हो...अकल है आप मे..अकल
नॉनसेन्स कहीं के.....

तारक :- अईयरर्र्र्ररर......तेरा दिमाग़ तो ठीक है...

भिड़े :- ये बेसिश्ट मौश.....अईयर..तुझे क्या ज़रूरत थी ये बोलने की....देव
सदभुधी दे इसे....

सभी अईयर पे चढ़ जाते हैं....

लेकिन जब वो लॅडीस की तरफ देखते हैं तो वो सारे के सारे हैरान रह
जाते हैं..........

ऐसा क्या देख लिया इन्होंने......
वो तो जानने के लिए आपको अगला अपडेट पढ़ना पड़ेगा....
तो मिलेंगे मेरे साथ अगले अपडेट में...

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02-11-2021, 12:54 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

बॅक टू लाइव सिचुयेशन......!!!

तारक :- ओह्ह्ह तो ये बात थी....हम तो डर ही गये थे...

जेठालाल :- हाशह...

दया :- लेकिन आप लोगों ने किया बहुत ग़लत...

अंजलि :- हाँ सही बात है..

तारक :- उसके लिए सॉरी बोल तो दिया टप्पू के पापा...

अंजलि :- आप को पता है..कि हमने आपको माफ़ क्यूँ किया है...

तारक :- क्यूँ कि ह्म आपसे प्यार करते हैं..और अभी हमने आप सब से माफी माँगी है.

माधवी :- नही मेहता साहब..इसलिए नही..

भिड़े :- तो फिर क्यूँ??

बबीता :- उसके पीछे भी एक राज़ है भिड़े भाई...

अईयर :- राज़..कैसा राज़ बबीता...

दया :- वो भी बताते हैं...

जेठालाल :- हाँ तो बताओ..

सोढी :- हाँ तो रोशन बता क्यूँ किया माफ़ हमे...

रोशन :- वो तो तुझे दया भाभी बताएँगी..

सोढी :- दया भाभी क्यूँ?

रोशन :- क्यूँ कि तू कल उनके पास था ना.

सोढी :- ओह्ह हाँ...
तो दया भाभी तुस्सी दसो..

दया :- वो इसलिए सोढी भाई..कि जब आप सो रहे थे तो आप बस एक चीज़ बार बार
बोल रहे थे... रोशन मेरी जान..में तुझे बहुत प्यार करता हूँ...

सोढी ये सुन के बहुत खुश हो जाता है...वो रोशन की तरफ देखता है...रोशन भी
खुश थी..

सोढी :- थॅंक यू रोशन....में तुझसे सच में प्यार करता हूँ...
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02-11-2021, 12:54 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा


तारक :- अंजलि तुम हंस क्यूँ रही हूँ....

जेठालाल :- हाँ बबीता जी....क्या हो गया अचानक....क्यूँ इतना हंस रहे हो..

अईयर :- जेठालाल...बबीता से में पूछूँगा...तुम दया भाभी से पूछो...

जेठालाल :- हाँ भाई..हाँ....तुम शांति रखो...अभी इतनी ठुकाई हुई है..ज़्यादा
बोलोगे...तो एक दो फटके और पड़ जाएँगे...

अईयर :- जेठालाल.........चिल्लाते हुए...

भिड़े :- अरे तुम लोग शांत रहोगे...तभी तो वो सब बातएँगी की आख़िर क्यूँ हंस
रही हैं.....बोलो माधवी....

माधवी :- हाँ बाबा...बताते हैं...पहले थोड़ा और हंस तो लें....

और सारी लॅडीस फिर से हँसने लगती हैं....

जेठालाल :- अरे दया ...अब प्लीज़ बता दे....क्यूँ हंस रहे हो इतना आप लोग..

तारक :- हाँ अंजलि बताओ अब...

अंजलि :- हँसी को रोकते हुई....हाँ तारक बताते हैं...
तो क्यूँ बहनो बता दे...

दया :- हाँ हाँ अंजलि भाभी....अब बता दीजिए इन सब को...

अंजलि :- तो तारक......आप सब..को ...लग ... रहा ... है....कि .... कल....
रात....आपने.....कुछ.....ग़लत.....किया......है.......

तारक :- हाँ...क्यूँ कि सुबह का नज़ारा देख के तो में खुद हिल चुका हूँ...

अंजलि :- हाँ तो फिर घबराइये मत.....कल रात ऐसा कुछ नही हुआ...जैसा आप
सब सोच रहे हैं...

सबके मुँह से क्य्ाआआआआआआआआआ........

पोपटलाल :- रीता क्या ये मेरे लिए भी है...

रीता :- नही....

पोपटलाल की दुनिया जैसे हिल गई हो....

रीता पोपटलाल को देख के हँसने लगती है....

रीता :- अरे हाँ तुमने भी कुछ नही किया......हाहः...शक़्ल देखो अपनी कैसी हो
गई है....

और सब हँसने लगते हैं......

तारक :- लेकिन अंजलि फिर सुबह तुम लोगों ने वो सब क्यूँ किया???

अंजलि :- अगर हम ऐसा ना करते...तो आप लोगों को ग़लती का अहसास कैसे होता..

दया :- हाँ ... आपको सबको अहसास दिलाने के लिए हमने ये नाटक किया..

जेठालाल :- लेकिन आप लोगों ने ये प्लान कब किया....

दया :- वो हुआ हूँ..कि ..

जेठालाल :- तू रहने दे दया....बबीता जी आप समझाइये...अगर ये समझाने
बैठी तो कल तक समझ नही आएगा....

दया :- क्या आप भी...ऐसा क्यूँ??

जेठालाल :- जेठालाल मुँह बनाते हुए...वो क्या है ना दया..बबीता जी अच्छे से
समझायेन्गी....उनको इंग्लीश भी आता है ना....

दया :- ओह...हाँ..फिर ठीक है...

जेठालाल :- हाँ तो बताइए बबीता जी..

बबीता :- आक्च्युयली जेठा जी..में सबको बता तो देती..लेकिन में चाहती हूँ..कि
अंजलि भाभी बताएँ...

तारक :- अंजलि तुम बताओ...नही तो ये सब किसी को बताने नही देंगी..

अंजलि :- अच्छा ठीक है.....तो उस रात हुआ यूँ था.........................

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02-11-2021, 12:54 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

क्या बोलते है दोस्तों....चले उस रात की फ्लॅशबॅक में....
जानता हूँ...फ्लॅशबॅक से आप सब बोर हो गये हैं...लेकिन फिर भी...हमे चलना तो
पड़ेगा ही...तभी तो सारी बात क्लियर होगी...क्यूँ है ना...
तो चलिए चलते हैं फिर.......

फ्लॅशबॅक........!!!!!!

उस रात जब सभी जेंट्स दूसरों की बीवियो के पास पहुँचे तो....

सबसे पहले चलते हैं अईयर भाई साहब के पास...जब अईयर भाई...अंजलि के घर पे
पहुँचे.....तो अंजलि ने खूब मना किया..लेकिन फिर भी वो अंदर घुस गये..

और चलते चलते सोफे के दूसरी साइड पे चले गये....और जब वो अंजलि की तरफ बढ़
रहे थे....तो उनका पैर सेंटर टेबल से टकरा गया..और वो नीचे गिर गये..इसे
देख अंजलि के मुँह से चीख निकल गई थी.......

उधर सब भिड़े रोशन के घर पे पहुँच गया था......और जब वो रोशन के हॉल
......में पहुँच जाता है....रोशन उसे जाने के लिए कहती है..लेकिन वो नशे में
था ... इसलिए वो नही सुनता...और सोफे की तरफ बढ़ता है..लेकिन लड़खड़ाने के कारण
उसके पैर..नीचे कालीन पे फिसल जाते हैं...वो सोफे पे धडाम से गिर जाता है....और
रोशन के मुँह से चीखने की आवाज़ निकल जाती है....

तारक भी माधवी के घर पहुँच जाता है.....माधवी उसे इतनी देर रात देख के थोड़ा
घबरा जाती है....लेकिन वो मेहता साहब को अंदर बुलाती है...तारक उससे पानी माँगता
है....और माधवी उसके लिए पानी लाने चली जाती है...और पानी का ग्लास लेके आती है
तारक उससे पानी का ग्लास लेके खड़ा हो जाता है....वो नशे में काफ़ी लड़खड़ा रहा था
उसने थोड़ा पानी पिया..और ग्लास जैसे ही रखने वाला था..कि उसके हाथ से ग्लास
फिसल गया और फर्श पर पानी पानी हो गया.....
तारक एक कदम आगे बढ़ते ही..तारक फिसल जाता है..और पीछे पड़े सोफे पे गिर जाता है
माधवी ये देख के एक दम से चीख उठती है....

उधर सोढी दया के घर पहुँचता है...दया उसे अंदर आने देती है...सोढी वहाँ पड़े
सोफे पे बैठ जाता है....और दया से पानी लाने को कहता है...दया को अजीब तो लग
रहा था कि सोढी भाई..इतनी रात को क्यूँ आए..लेकिन फिर भी दया पड़ोसी होने के नाते
चली जाती है..किचेन में पानी लानी..लेकिन जब वो बाहर आती है...तो देखती है
कि सोढी तो सोफे पे ही सो गया था.....

बबीता जब गेट खोलती है..तो वो चौंक जाती है...क्यूँ कि अईयर की जगह जेठालाल
खड़ा था...बबीता चौंकते हुए जेठालाल से पूछती है...लेकिन जेठालाल बबीता
की ना सुनते हुए अंदर आ जाता है....लेकिन बबीता उसके आगे आते हुई...उसके सामने
खड़ी हो जाती है....

जेठालाल उससे कुछ बोलना चाहता था..और आगे बढ़ना चाहता था...बबीता को घबराहट हो रही
थी...लेकिन जैसे ही जेठालाल आगे बढ़ा....वो नशे के कारण बेहोश हो गया...और
बबीता के उपर ही गिर गया.......

तभी दया सोचती है...कि बाहर जाके सबको बुलाना चाहिए...

दया बाहर निकलती है...तो देखती है...कि बाहर अंजलि पहले से खड़ी थी..और वो
बबीता को आवाज़ लगा रही थी...

दया :- अंजलि भाभी..आप बबीता जी को क्यूँ आवाज़ लगा रहे हो...

अंजलि :- वो अंजलि भाभी क्या है..कि अईयर भाई मेरे घर आ गये हैं..नशे में..
पॅक्का ये लोग पार्टी कर के आए हैं...

दया :- हेयी माँ माताजी......मेरे घर पे सोढी भाई आए हैं..

तभी बबीता भी बाहर आ जाती है..

बबीता :- अंजलि भाभी..
बस वो इतना देखती है..कि उसको दया दिख जाती है..
ओह्ह्ह दया भाभी...जेठा जी मेरे घर हैं...

दया :- हेयययययी माआ माताजी....टप्पू के पापा आप के घर पे..

दया की आवाज़ सुन के..माधवी बाहर आ जाती है..

माधवी :- दया भाभी क्या हुआ...
अरे अंजलि भाभी...मेहता साहब...मेरे घर पे हैं...

अंजलि :- चौंकते हुए...क्या.....
और बबीता की तरफ देखते हुई...अईयर भाई मेरे घर पे हैं....

बबीता :- हववव....ये सब क्या हो रहा है...

माधवी :- नक्की...ये सब पार्टी कर के आए हैं..और नशे में एक दूसरे के घर
पे आ गये हैं....

दया :- हाँ ठीक बोल रहे हैं..भिड़े बहेन...रोशन भाभी..रोशन भाभी...

तब रोशन बाहर निकलती है...

रोशन :- समझ जाती है....भिड़े भाई मेरे घर पे हैं....

माधवी भी चौंक जाती है..

अंजलि :- इन लोगों ने तो आज हद ही कर दी....
तो ठीक है हम इन्हे मज़ा चखाएँगे....तभी इनको अकल आएगी....
और अपना सारा प्लान बता देती है.........
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02-11-2021, 12:55 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

तारक :- तो अंजलि ने माधवी भाभी से पूछा क्या.??

अंजलि :- नही में ही बता देती हूँ...
आप जब माधवी भाभी के पास थे..तो आप भी यही बोल रहे थे...अंजलि मैं तुमसे
बहुत प्यार करता हूँ..आइ लव यू सो मच..

तारक शरमा जाता है..हाहहहः...अजीब लगता है..उसका शरमाना...

जेठालाल :- तो फिर तो में भी....यही बोला होगा..बबीता जी को..

बबीता :- क्याअ..

अईयर :- क्या बोल रहे हो जेठालाल...

जेठालाल :- हड़बड़ाता हुआ..अईयर भाई मेरा मतलब है..कि में भी यही बोल रहा होउन्गा
बबीता जी के सामने..

दया :- हाँ यही बोला था आपने बबीता जी. से...

भिड़े :- माधवी कल रात तो मेने नशे में बोला होगा...लेकिन में अभी फिर से
बोलता हूँ...आइ लव यू...

माधवी शरमा जाती है..

तारक :- अंत भला तो सब भला..

पोपटलाल :- लेकिन अभी अंत कहाँ हुआ है..मेहता साहब..मेरा तो रह ही गया है..
रीता तुम बाहर नही आई थी कल..

रीता :- मुझे ज़रूरत ही नही पड़ी..

पोपटलाल :- क्यूँ??

रीता :- तुमने अपना शरीर देखा है...

पोपट लाल :- क्या मतलब् है तुम्हारा..

रीता :- मेरा मतलब है..कल रात जब तुम मेरे गेट के अंदर घुसे...मेने बस तुम्हे
रोकने के लिए तुम्हारा छाता क्या खिचा...तुम खुद ही ढेर हो गये..वहाँ पर...

पोपटलाल :- लेकिन फिर में वहाँ उस हालत में कैसे आया...

रीता :- वो हुआ यूँ..मुझे सुबह अंजलि भाभी..मिली...तो इन्होने सारी कहानी बताई..
और मेने तुम्हारे बारे मे बताया.....तब उन्होने मुझे वो आइडिया दिया..

पोपटलाल :- ओह्ह्ह....अच्छा.....
हाँ अब बोलो अंत भला तो सब भला.....

अंजलि :- लेकिन फिर भी तारक...आप लोगों ने ये अच्छा नही किया था....ऐसा कोई
करता है..

दया :- हाँ ये तो है...

सभी जेंट्स के पास अब कुछ नही बचा था इस बारे में बोलने को...वो सिर्फ़
सॉरी बोल सकते थे...उसके अलावा उनके पास कुछ नही था....

लेकिन एक बार फिर जेठालाल के दिमाग़ की बत्ती जल गई..

जेठालाल :- अगर आप लोग बुरा ना माने..तो में एक बात कहूँ..

दया :- हाँ बोलिए ना टप्पू पापा...

जेठालाल :- क्यूँ ना हम सब बाहर गाओं..कुछ दिनो के लिए घूमने चलें....

सभी लॅडीस ये बात सुन के बहुत खुश हो जाती है...

तारक :- वाहह जेठालाल..तुम तो आज छा गये हो...ये आइडिया सही है..

भिड़े :- जेठालाल खर्चा करने की क्या ज़रूरत है..

सोढी :- ऊओ भिड़ू...अभी खर्चा देखेगा..तो पछताएगा

तारक :- हाँ सोढी सही बोल रहा है..

भिड़े :- हकलाता हुआ..हां..शा.याद ठीक बोल रहे हैं..आप लोग..

माधवी :- क्या बातें कर रहे हैं..

जेठालाल :- वो कुछ नही..बस ये सोच रहे थे कि कहाँ जाए...

रोशन :- अच्छा..फिर ठीक है..हम भी सोचते हैं..

तभी जेठालाल एक जगह का नाम लेता है...जिसे सुन कर सार काफ़ी खुश हो जाते
हैं..सिवाय दो के...

हाँ हमारे भिड़े भाई साहब....और पोपटलाल ...खर्चा करना पड़ेगा ना..लेकिन
फोपट तो वो वहाँ कुछ नही बोले..

बबीता :- वाऊ..मुझे वो जगह जाने की कब्से इच्छा थी..लेकिन कभी टाइम नही मिला

माधवी :- हाँ सही कहा अपने..हम तो कितने सालों से कहीं गये ही नही...

दया :- तो अब चलेंगे ना मज़ा आएगा........

सभी जेंट्स एक साथ....हाँ बहुत मज़ा आएगा.........

तो इसी तरह ये एक बड़ी मुसीबत सुलझ गई..गोकुलधाम से.....

जी हाँ अब जेंट्स शांति की साँस लेंगे....वैसे एक बात तो है...पीना सच में ग़लत
बात है...लेकिन जो लोग पीते हैं...उन्हे ये ध्यान होना चाहिए कि उससे किसी और को
परेशानी ना हो..जैसे कि यहाँ हो सकती थी...
अरे आप लोग बोल रहे होंगे...कहाँ में फिलोष्फी गिरी कर रहा हूँ...

जी हाँ अब नही करूँगा....

मगर देखने वाली बात ये है...कि जेठालाल ने कहाँ जाने का प्रोग्राम बनाया जो सब
लोग इतने खुश हो गये....
में तो सोच ही रहा हूँ....आप सब भी सोचिए.......

पर दोस्तो इस सोसाइटी में समस्याएँ कभी ख़तम नही होती . देखते हैं आगे क्या होता है
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02-11-2021, 12:55 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

आख़िर कार पार्टी वाली प्राब्लम सॉल्व हो गई....और अब जेंट्स ने कहीं बाहर घूमने जाने
का प्रोग्राम बनाया है अब आगे....!!!

सभी लोग क्लब हाउस से बाहर आ जाते हैं.....

अंजलि :- अच्छा तो में घर जा रही हूँ...आप आ जाइए...ऑफीस के लिए लेट हो
रहा है आपको..

तारक :- तुम चलो में आता हूँ 5 मिनट में...

माधवी , रोशन , दया और बबीता भी यही बोलती हैं....और उन्हे भी सेम आन्सर
मिलता है.....

तो सारी लॅडीस अपने अपने घर चली जाती है .....रीता ये बोल के चली जाती है कि
उससे ऑफीस जाना है......बचते हैं सिर्फ़ जेंट्स....

तारक :- भाई जेठालाल तुमने गोआ जाने के बारे में बोल के....कमाल कर दिया दोस्त.

जेठालाल :- थॅंक यू मेहता साहब...

भिड़े :- क्या थॅंक यू जेठालाल.....तुम्हारी वजह से बेकार में इतना खर्चा हो जाएगा
मेरा....उसका क्या...

जेठालाल :- आई भाई....देखा मेहता साहब इसे....इसे सिर्फ़ सारा टाइम खर्चे की
लगी रहती है....सोच ज़रा भिड़े अगर में ये बात नही बोलता...तो क्या सारी लेडीज़
लोग का मूड ठीक होता...बात करता है..

सोढी :- हाँ भिड़े...तू क्या सिर्फ़ खर्चा खर्चा करता है...

पोपटलाल :- कॅन्सल......कॅन्सल.....कॅन्सल....

अईयर :- क्या कॅन्सल पोपटलाल ....

पोपटलाल :- देखो..मेने अंदर कुछ नही बोला मुझे लगा...कि वहाँ बोलना ठीक नही
होगा..लेकिन अब में बोलूँगा....

तारक :- हाँ भाई बोल...क्या बोलना है तुझे...

पोपटलाल :- भाई मेहता साहब...में इतना खर्चा नही कर सकता....में नही आ सकता
और अभी तो मेरी शादी भी नही हुई है...में क्यूँ जाउ..

भिड़े :- हाँ में भी तो यही बोल रहा हूँ...कि इतना खर्चा क्यूँ करने का..

जेठालाल :- एक काम कर भाई...तू घर जा... और माधवी भाभी..को बोल...कि हम नही
जाएँगे....और फिर जब वो...तुझे खुद के आचार और पापड फेंक के मारेगी ना तब
समझ आएगा तुझे...

सभी जेठालाल की इश्स बात पे हँसने लगते हैं...

तारक :- भाई भिड़े....तू कहाँ पोपटलाल की बात पे हाँ में हाँ मिला रहा है...
उसकी तो शादी नही हुई है....उसे वैसे भी कौन बुला रहा है....उसे तो हम
पूछने भी वाले नही थे...

ये बात सुन के एक बार फिर से सब हँसने लगते हैं....

तारक :- एक काम करते हैं भिड़े...आज शाम को हम सब...क्लब हाउस में बैठ के
ट्रिप के बारे में सारा प्लान कर लेंगे...ठीक है अब तो..

भिड़े :- ठीक है मेहता साहब....

सभी लोग रात को टाइम पे आने का बोल के निकल जाते हैं....अपने घर को...

तभी पीछे से आवाज़ आती है...

आई जेठियाआ.....ऊओ जेठियाआ..

जेठालाल पीछे मुड़ता है...और देख के चौंक जाता है.....

क्यूँ कि पीछे बापूजी ऑटो में आ रहे थे.....
Reply
02-11-2021, 12:55 PM,
RE: XXX Kahani Fantasy तारक मेहता का नंगा चश्मा

ऑटो कॉंपाउंड में आके रुकता है..बापूजी निकल के पैसे देते हैं....
जेठालाल बापूजी के पास आके उनके पैर छूता है..

जेठालाल :- बापूजी आप जल्दी कैसे वापिस आ गये....

बापूजी :- आए जल्दी वल्दी...तू तो ऐसे बोल रहा है..जैसे तुझे खुशी नही हो रही

जेठालाल :- नही बापूजी ऐसी बात नही है...वो तो बॅस में ऐसे ही पूछ रहा था..

बापूजी :- हाँ वो नाका की तबीयत खराब हो गई...तो जल्दी आ गये...

जेठालाल :- अच्छा चलिए घर पे चलते हैं.....

बापूजी:- एक मिनट....तू आज इतनी सुबह नीचे कॉंपाउंड मे क्या कर रहा है....

जेठालाल की गान्ड फट जाती है....कि वो क्या बोले बापूजी से...

जेठालाल :- वो बापूजी...वो....ओ...हाँ वो...

बापूजी :- क्या वो वो कर रहा है..

जेठालाल :- हाँ वो...मेहता साहब से काम था....

बापूजी :- अच्छा चल ठीक है चल घर पे चलते हैं अब...

जेठालाल बापूजी के पीछे पीछे चलता है..और सोचता है...ये क्या मुसीबत आ गई
अब बापूजी को क्या बोलेंगे कि क्यूँ बाहर जाना है घूमने के लिई....अब इस आग को
सिर्फ़ मेहता साहब ही भुजा सकते हैं....

और जेठालाल घर पे पहुँच जाता है....
उसे इस बात का डर था...कि दया कुछ बोल ना दे...

लेकिन जब बापूजी और दया ने ठीक से बात की...और बापूजी को कोई शक़ नही हुआ....
तो शांति मिली जेठालाल को....

फिर जेठालाल तैयार हो के...मेहता साहब के घर जाने लगता है...

उधर तारक को अंजलि पे बहुत प्यार आ रहा था...इसलिए दोनो लैला मजनू लगे हुए थे...
वो क्या है तारक ऑफीस जाने के लिए शर्ट पहन रहा था..तो उसने अंजलि को देखा
जो नीचे झुक के कुछ उठा रही थी..जिसकी वजह से उसके चुचों के दर्शन हो गये
तारक को....इसलिए वो लग गया अंजलि के होंठो पर.....और जबरदस्त चुम्मा चाटी
चल रही होती है....अंजलि के हाथ मेहता की चेस्ट पे चल रहे थे...और तारक के
हाथ अंजलि के चुचो पे चल रहे थे...चल क्या रहे थे साहब...मसले जा रहे
थे.....

उधर जेठालाल.....तारक के दरवाजे पे आ चुका था....उसने दरवाजे को धक्का मारा
तो खुल गया .... वो सीधा अंदर घुस गया.....जब उसने देखा कि तारक हॉल में नही
है तो वो चिल्लाने लगा...

जेठालाल :- मेहता साहब....ऊओ मेहता साहब...घर पे ही हो ना....

अंदर तारक अंजलि को छोड़ ही नही रहा था...लेकिन अंजलि ने उसे धक्का मारते हुए
कहा...

अंजलि :- हान्फते हुए....बाहर जाइए..जेठा भाई..बुला रहे हैं..

तारक :- ये जेठालाल भी हमेशा ग़लत वक़्त पे आ जाता है...

और तारक हॉल की तरफ चल देता है.....

जेठालाल तारक को देखते हुए..

जेठालाल :- ये क्या मेहता साहब....आपने शर्ट क्यूँ उतार रखी है...और ये
और ये....आपके होंठो पे और उसके आस पास...ये लाल चीज़ कैसी है...

तारक :- बिना ध्यान देते हुए बोलता है....वो अंजलि की लिपस्टिक है..

जेठालाल :- क्याअ......ओफूओ...मेहता साहब.....यहाँ आग लगी हुई है...

और अप यहाँ रंगरेलियों... में लगे हुए हैं...इतना बड़ा कांड हो के चुका है
अभी....

तारक ये बोल के अपने आप को कोस्ता है...लेकिन फिर वो बात को सम्भालते हुए...

तारक :- ये सब छोड़ो...ये बताओ...कहाँ आग लगी है...

जेठालाल :- हम सब की ज़िंदगी में..

तारक :- भाई ... ये तुम से हम कहाँ आ गया..

जेठालाल :- हम यानी कि ... सभी जेंट्स की...

तारक :- क्यूँ भाई.?

जेठालाल :- बापूजी आ गये हैं..

तारक :- अच्छा......क्य्ाआआअ.......

जेठालाल :- हाँ....और अब आप ये बताइए...कि बापूजी को कैसे बताएँगे...कि हम
सब क्यूँ घूमने जा रहे हैं...

तारक :- लेकिन वो इतनी जल्दी कैसे आ गये..

जेठालाल :- हे भगवान...अरे मेहता साहब..आपको क्या हो गया है....चलिए आप खुद
जाके बापूजी से पूछ लीजिए..

तारक :- अरे नही भाई..में तो ऐसे ही बोल रहा हूँ...

जेठालाल :- अरे कोई रास्ता निकालिए..

तारक :- तुम चिंता मत करो...दुकान जाओ आराम से...
हम रात को क्लब हाउस में आ रहे हैं..ना....में वहाँ संभाल लूँगा..

जेठालाल :- पक्का...

तारक :- हाँ भाई पक्का....अब तुम जाओ...मुझे भी लेट हो रहा है..

जेठालाल :- तो साथ ही चलते हैं ना..

तारक :- हाँ ये भी ठीक है...

और फिर दोनो निकल जाते हैं......

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