RE: Hindi Sex Kahani नशे की सज़ा
नेहा अभी तक उल्टी होकर सीलिंग फॅन से लटकी हुई थी और वो हम दोनो की सारी बातचीत सुन रही थी.उसे लग रहा था की शायद खाना खाने के लिए ही सही, उसे सीलिंग फन से उतारकर सीधा करके बिठाया जाएगा-मैने सलोनी की तरफ देखा और उससे कहा-“ मेरा ख़याल है,हमे नेहा को कुछ देर का ब्रेक देना चाहिए ताकि यह कुछ रिलॅक्स होकर हमारे लिए और ज़्यादा मुस्तैदी से सेक्स स्लेव की सर्वीसज़ प्रवाइड कर सके.”
यह कहने के बाद हम दोनो ने मिलकर नेहा की रस्सी को सीलिंग फन के कुंडे से खोल दिया और उसकी टाँगो को भी आज़ाद करते हुए उससे कहा-“ ठीक है…….अब तक तुमने जो सहयोग किया है, उसके इनाम के रूप मे तुम्हे एक लार्ज साइज़ पिज़्ज़ा,एक कोल्ड ड्रिंक और एक पेस्ट्री मिलेगी और जब तक यूँ यह खाती रहोगी-तुम्हे कोई तंग नही करेगा-इस सब काम को करने के लिए तुम्हारे पास 30 मिनिट्स का समय है.इस समय रात के 11 बजे हैं.11.30 बजे तुम्हे फिर से हमारी सेवा करने के लिए तैय्यर रहना है…….समझी मेरी यौन गुलाम ! “
“जी मॅम …….समझ गयी.” नेहा के मूह से डरी सहमी आवाज़ निकली.
“चलो…….फिर शुरू हो जाओ…….तुम्हारा टाइम शुरू होता है अब………”मैने उसके आगे खाने का समान रखते हुए कहा.
नेहा ने अपना खाना जल्दी ही ख़तम कर लिया था-इसके बाद उसने मेरी तरफ देखा और बोली-“ मॅम, क्या मैं वॉश रूम यूज़ कर सकती हूँ ? “
मुझे उसका इस तरह से बात करना काफ़ी सुखद लग रहा था-शायद किसी ने भी आज से पहले कभी इस तरह से रिक्वेस्ट नही की थी-इसके साथ ही मुझे अपनी पॉवेर का भी अहसास हो रहा था.मैने उससे कहा-“ ठीक है…वॉश रूम चली जाओ.लेकिन 11.30 बजने मे सिर्फ़ 10 मिनिट्स ही बाकी हैं-इसका ख़याल रहे…”
“जी मॅम…..मैं 11.30 को आपकी सेवा मे हाज़िर हो जाउन्गी.”
नेहा ने कहा और वॉश रूम मे घुस गयी और दरवाज़ा अंदर से बंद कर लिया.
उसके अंदर जाने के बाद सलोनी की तरफ मैने देखा और पूछा- “अब बता क्या प्लान है तेरा ? “
सलोनी बोली-“ यार कुछ मज़ा नही आ रहा…….बोरियत हो रही है……..”
मैने हैरानी से उसकी तरफ देखा-“ क्यूँ भाई…….क्या लौंडिया मज़ेदार नही है……….”
“यार, लौंडिया तो पटाखा है……..लेकिन वो हमारी हर बात को चुपचाप रहकर मानती जा रही है………कोई प्रोटेस्ट नही..कोई विरोध नही….कोई ना-नुकुर नही……..सब कुछ गुडी गुडी चल रहा है……..” सलोनी बोली तो मुझे भी उसकी बात मे कुछ दम लगा.
मैं कुछ देर तक सोचती रही फिर बोली-“ ठीक है,बोरियत दूर करने का एक आइडिया है मेरे पास……..”
“वो क्या है…………बोल…बोल………” सलोनी जो बिस्तर पर लेटी थी, एकदम उठकर बैठ गयी.
“हम लोग अभी नेहा को बाहर हॉस्टिल की सैर कराने ले चलते हैं…….इस समय वैसे भी कम लोग होंगे क्यूंकी रात के 11.30 होने वाले ही हैं…….” मैने कहना शुरू किया तो सलोनी ने मुझे बीच मे ही रोक दिया- “ लेकिन हॉस्टिल वॉर्डन राहुल का क्या करेंगे ? वो बदमाश तो वैसे ही हमेशा इस ताक मे रहता है कि कभी कोई लड़की कुछ भी ग़लत करती हुई पकड़ी जाए और वो उसे सेक्शप्लोइट कर सके.”
“राहुल तो छुट्टी लेकर अपने घर गया हुआ है दस दिन के लिए और उसका असिस्टेंट प्रकाश आजकल उसका काम देख रहा है..वो तो बहुत लो-प्रोफाइल का वर्कर है उसे हम किसी तरह सेट कर लेंगे-वैसे उसे यहाँ के रूल्स का भी कुछ खास पता नही है-वो तो हाउस्कीपिंग डिपार्टमेंट मैं है ना ! “ मैने सलोनी से कहा तो वो बोली- “ ठीक है..जैसे यूँ कहो…….हमे तो बस मज़ा चाहिए………कैसे भी मिले.”
नेहा वॉश रूम से बाहर निकल आई थी-10 मिनिट बाद बाहर निकालने की वज़ह से शायद उसे फिर से शरम लगने का अहसास हुआ और उसने दुबारा से अपने एक हाथ से योनि प्रदेश और दूसरे हाथ से अपने सीने के उभारों को छिपाने का प्रयास किया लेकिन सलोनी ने कड़क आवाज़ मे उसे ऑर्डर दिया- “ हाथ उपर उठाकर खड़ी रहो ! तुम्हारा पूरा बदन हमे हर समय अवेलबल रहना चाहिए.” नेहा ने अपने हाथ उपर उठा लिए और सलोनी उसके बदन पर जगह जगह अपने हाथ फिराने लगी.
मुझे लग रहा था कि सलोनी कुछ शरारत के मूड मे थी-इसलिए मैं कमरे मे एक कुर्सी पर रिलॅक्स करने लगी और सलोनी द्वारा की जा रही नेहा के साथ छेड़छाड़ का मज़ा लेने लगी.
सलोनी ने अपनी उंगली नेहा के होंठों पर फिराते हुए उससे पूछा-“ इन्हे क्या कहते हैं……..”
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