Hindi Sex Kahaniya कामलीला
09-11-2018, 11:38 AM,
#17
RE: Hindi Sex Kahaniya कामलीला
उन्हें पता था क्या करना है, उन्होंने खुद दोनो पैरों को अपने हाथ से थाम लिया और अन्दर से ज़ोर लगा कर गाण्ड के छेद को बाहर की तरफ़ उभारा और उसी पल में मैंने लंड को अन्दर दबाया।
पकी उम्र का छेद था, कुछ सैकेंड भी संघर्ष ना कर सका और एकदम से ऐसा फैला कि आधा लंड अन्दर धंस गया।
मैडम के मुंह से शोर की आह निकली और मैंने नीचे हाथ देकर उनके चूतड़ थाम लिये।
पूरा अन्दर सरका कर फिर लंड बाहर निकाला और फिर वापस अन्दर ठेला, इस प्रक्रिया को चार पांच बार करने के बाद मैंने पाया कि रास्ता साफ़ हो गया है तो मैं ज़ोर शोर से धक्के लगाने लगा।
धक्के ऐसे ज़ोरदार थे कि बेड हिलने लगा, लेकिन ज़ाहिर था कि मैं अभी ज्यादा देर चलने वाला नहीं था, तो जल्दी ही लंड ने धार छोड़ दी और मैडम का छेद सफेदे से भर गया।
मैंने अपनी ट्यूब पूरी नहीं खाली की बल्कि पहले कुछ फुहारों के साथ ही मैंने एकदम खुद को रोक लिया और लंड बाहर निकाल कर मैडम के पास ही गिर कर हांफने लगा।
उसी अवस्था में पड़े पड़े आधा घंटा गुज़र गया और फिर मैडम ही उठीं।
उन्होंने तौलिये के एक सिरे से मेरे लंड को अच्छी तरह साफ़ किया और मेरे ऊपर बैठ गईं।
“चलो अब मैं तुम्हारी मालिश करती हूँ।” उन्होंने कहा।
उनके हाथों के निर्देशानुसार मैं औंधा लेट गया और उन्होंने तेल लेकर मेरी पीठ, कंधे, गर्दन और चूतड़ों तक फैला दिया और अपने नर्म हाथों से ऊपर से नीचे तक सहलाने मसलने लगीं।
मुझे इतनी भागदौड़ और मेहनत भरी थकन के बाद एक अलौकिक आनन्द की अनुभुति हुई। इस लज्जत भरी राहत से मेरे हवासों पर नशा सा छाने लगा और तय था कि मैं सो ही जाता, पर मालिश करती मैडम मेरे चूतड़ों पर पहुँच चुकी थीं और उन्हें सख्ती से मसलती मेरे कुँवारे छेद में उंगली कर बैठी थीं।
मैं एकदम चिहुंक उठा।
यह अनुभव मेरे लिये नया था, लेकिन बुरा नहीं लगा और जब वो तेल में डूबी उंगलियाँ बार बार अन्दर बाहर करने लगीं तो मेरे दिमाग में भी फुलझड़ियाँ छूटने लगीं। क्या सच में इतना मज़ा आता है?
मैं सोच में पड़ गया कि अगर उंगली से इतना अच्छा लग रहा है तो लंड से कितना अच्छा लगता होगा।
बहरहाल मैडम ने भी मेरे आनन्द को महसूस कर लिया और हॅंसते हुए अपनि उंगलियाँ बाहर निकाल कर मुझे सीधा कर दिया और मेरे पेट पर अपनी गीली चूत रख कर बैठते हुए अब सामने से मेरे सीने, कंधे और गर्दन की मालिश करने लगीं।
मेरे दिमाग पर चढ़ते नशे की दिशा अब बदल चुकी थी।
मालिश करते करते वह नीचे सरकती गईं और मेरे पैरों पर पहुँच गईं, पप्पू को उन्होंने अनाथ ही छोड़ दिया और जाँघों पर उंगलियाँ और हथेलियाँ चलाने लगीं।
मैं आँखें खोले टुकुर टुकुर उनके बड़े बड़े एरोला वाली चूचियों को लटकते, हिलते, उछलते देखता रहा और पैरों की मालिश कर चुकने के बाद उन्होंने मेरे लंड पर तेल लगा कर उसे जो थोड़ी सी ही मसाज दी कि भाई टनटना गया और ज़ंग की घोषणा करने लगा।
उसकी घोषणा की प्रतिक्रिया में मैडम भी उठीं और घुटने बिस्तर से टिका कर मेरे ऊपर ऐसी बैठीं कि पप्पू गच्च से उनकी चूत में जा समाया और वो एकदम नीचे मेरी झांटों वाले एरिये से चिपक गईं।
तदुपरांत मैंने कुहनियों के बल हाथ खड़े कर लिये और उन्होंने मेरे पंजों पर अपने पंजे टिका दिये और आवाज़ें निकालती ज़ोर ज़ोर से ऐसे उछलने लगीं कि लंड गपागप अंदर बाहर होने लगा।
कुछ धक्कों में मुझे मज़ा आने लगा और मैं भी नीचे से उचक उचक कर लण्ड अंदर डालने लगा।
पर ज़ाहिर है कि बड़ी उम्र की औरत थीं तो बहुत देर तक यूँ लड़कियों की तरह नहीं उछलते रह सकती थीं, जल्दी ही थक कर हांफने लगीं तो मैंने उनकी पीठ पर अपने हाथ ले जाकर उन्हें खुद पे ऐसे झुकाया कि उनकी चूचियाँ मेरे सीने से रगड़ने लगीं, नीचे से अपने कूल्हे उन्होंने खुद से इतने उठा लिये कि धक्के लग सकें और अब मैं नीचे से अपने चूतड़ उठा उठा कर फ़काफ़क उन्हें चोदने लगा।
पर कुछ देर में मैं भी थक गया तो वह ऊपर से हट गईं।
वो बिस्तर की चादर में मुंह धंसा कर औंधी लेट गईं और अपने चूतड़ों को इतना ऊपर उठा दिया कि मैं घुटनों के बल बैठूं तो योनि लंड के समानांतर रहे और मैंने ऐसा ही किया और इस तरह मेरा सामान्य कद काठी का लंड पीछे से मैडम की परिपक्व योनि में रास्ता बनाता आराम से अंदर उतर गया और मैं उनके चूतड़ों को सहलाता हुआ उन्हें चोदने लगा।
यह मेरा मनपसंद आसन था तो मुझे मज़ा आना ही था…
मैं हचक हचक कर मैडम जी को तब तक उसी मुद्रा में चोदता रहा जब तक कि मुझे यह न लगा कि मेर सफ़र अब खत्म होने को है।
इसके बाद मैंने लंड निकाल कर उन्हें नीचे दबाया और चित करके उनकी दोनों टांगों को फैला कर उनके बीच मैडम पर ऐसे लेटा कि लंड तो चूत में फिट हो गया और मैं मैडम के मुँह तक पहुँच गया और तब मैंने अपने होंठ मैडम के होंठों से सटा दिये।
अब हम एक प्रगाढ़ चुम्बन में लग गये, जहाँ हम एक दूसरे के होंठ चूस रहे थे, एक दूसरे के मुंह में ज़ुबान डाल कर किलोल कर रहे थे, तो साथ ही एक दूसरे की जीभ को भी चुभला रहे थे और नीचे सहवास के अंतिम पलों में रफतार कम और झटके ज्यादा के अंदाज़ में लंड गीली-ढीली चूत में फचाफच कर रहा था जिसे मैडम भी नीचे से कूल्हे उठा उठा कर समर्थन दे रही थीं और इसी तरह एक साथ हम दोनों के शरीर में एक ज़ोर का कम्पन पैदा हुआ और हम होंठ छोड़ कर एक दूसरे से ऐसे चिपके के हड्डियाँ तक कड़कड़ा उठीं।उनके नाखूनों ने मेरी पीठ पर निशान तक बना दिये और हम अलग तभी हुए जब हमारा सारा रस निकल गया।
इसके बाद हमें कब, कैसे नींद आ गई, हमें एहसास तक न हुआ।
Reply


Messages In This Thread
RE: Hindi Sex Kahaniya कामलीला - by sexstories - 09-11-2018, 11:38 AM

Possibly Related Threads…
Thread Author Replies Views Last Post
  Thriller Sex Kahani - मोड़... जिंदगी के sexstories 21 14,022 06-22-2024, 11:12 PM
Last Post: sexstories
  Incest Sex kahani - Masoom Larki sexstories 12 6,730 06-22-2024, 10:40 PM
Last Post: sexstories
Wink Antarvasnasex Ek Aam si Larki sexstories 29 4,634 06-22-2024, 10:33 PM
Last Post: sexstories
  Raj sharma stories चूतो का मेला sexstories 201 3,756,716 02-09-2024, 12:46 PM
Last Post: lovelylover
  Mera Nikah Meri Kajin Ke Saath desiaks 61 577,486 12-09-2023, 01:46 PM
Last Post: aamirhydkhan
Thumbs Up Desi Porn Stories नेहा और उसका शैतान दिमाग desiaks 94 1,343,726 11-29-2023, 07:42 AM
Last Post: Ranu
Star Antarvasna xi - झूठी शादी और सच्ची हवस desiaks 54 1,028,081 11-13-2023, 03:20 PM
Last Post: Harish68
Thumbs Up Hindi Antarvasna - एक कायर भाई desiaks 134 1,805,145 11-12-2023, 02:58 PM
Last Post: Harish68
Star Maa Sex Kahani मॉम की परीक्षा में पास desiaks 133 2,206,302 10-16-2023, 02:05 AM
Last Post: Gandkadeewana
Thumbs Up Maa Sex Story आग्याकारी माँ desiaks 156 3,168,593 10-15-2023, 05:39 PM
Last Post: Gandkadeewana



Users browsing this thread: 30 Guest(s)