hotaks444
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ब्रा वाली दुकान
हैलो दोस्तो .. आज मैं आपको अपनी एक छोटी सी कहानी सुनाने जा रहा हूं जिसमें मैंने अलग अलग लड़कियों और आन्टियो की चुदाई की। लंबी भूमिका बांधने की बजाय सीधे मुद्दे की बात पर आते हैं। तो दोस्तो मेरा नाम सलमान है। अधिक पढ़ा लिखा तो नहीं मगर किसी लड़की की चूत को कैसे चोदना है यह मैं अच्छी तरह जानता हूँ। मेरी शिक्षा मात्र दसवी पास है। और मेरी उम्र 24 साल है। , 5 फीट 7 इंच लंबा है, अधिक शिक्षा न होने की वजह से कोई काम तो मिला नहीं घर में सबसे बड़ा होने के कारण घर की सारी जिम्मेदारी मुझ पर आ गई थी। 20 साल की उम्र में मैंने काम शुरू किया। अरे मैं आपको यह बताना तो भूल ही गया कि मेरा संबंध पाकिस्तान से है। कीर्ति नगर में एक छोटा सा घर है जो पिताजी ने अच्छे समय में अपने जीवन में ही बना लिया था जो अब हमारी एकमात्र संपत्ति था। 20 साल की उम्र में जब पिताजी इस दुनिया से चले गए तो मेरी माँ ने मुझे कोई काम धंधा देखने के लिए कहा क्योंकि घर का खर्च भी चलाना था और सबसे बड़ा होने के नाते यह काम मुझी को करना था। मुझसे छोटा एक भाई और 3 बहनें थीं जिनकी उम्र अभी बहुत कम थी।
ब्रा खरीदने में क्यों झिझकती हैं महिलाएं! जानिए कारण, महिलाओं को कपडे खरीदने में भी काफी दिक्कत होती हैं ख़ास कर अपने इनरवियर खरीदने में।
यह बात सभी को मालुम हैं की दुनिया की लगभग हर महिला या लड़की ब्रा पहनती हैं। मगर भारत और पाकिस्तान में ब्रा खरीदना किसी टास्क से कम नहीं है।
विदेशो में ब्रा खरीदने के लिए अलग दुकाने होती हैं मगर भारत में कई बार बीच बाज़ार या सड़क के किनारे महिलाओं के अन्त्रवस्त्र बिकते है जहा से ब्रा खरीदने में लडकिया कतराती है। इसके अलावा ज़्यादातर दुकानों में पुरुष इसे बेचते है। महिलाए पुरुषों से ब्रा खरीदना पसंद नहीं करती है।
bra-buying-3-756x1024.jpg[/attachment]
काम ढूंढने हेतु में मैं सदर बाजार चला गया जहां थोड़ी सी संघर्ष के बाद मुझे एक व्यक्ति ने एक दुकान का पता बताया जिन्हें एक सेल्स मेन की जरूरत थी जो न केवल ग्राहक से बात कर सके बल्कि हिसाब का भी पक्का हो। मैं उन साहब की बताई हुई दुकान पर पहुंच गया। दोपहर 12 बजे का समय था अब बाजार में ज्यादा हलचल नहीं थी। दुकान में प्रवेश हो गया तो सामने एक दाढ़ी वाले बुजुर्ग वहाँ पर मौजूद थे और उनके सामने कुछ महिलाओं खड़ी थीं, मुझे दुकान पर आता देखकर उन बुजुर्ग ने एक कपड़ा आगे कर दिया जो वह पर्दे के लिए इस्तेमाल करते थे, अब मैं बुजुर्ग को तो देख सकता था मगर महिलाओं और मेरे बीच अब एक पर्दा आ चुका था और मैं मन ही मन सोचने लगा कि आखिर ऐसी भी क्या बात है कि उन्हें पर्दे की जरूरत पड़ गई जबकि वह महिलाएँ पहले से ही बुर्का पहने हुए थीं। खैर मैं दुकान की समीक्षा करने लगा। यह सौंदर्य प्रसाधन और आरटीनिशल ज्वैलरी की दुकान थी। कुछ देर बाद पर्दा हटा और वह महिला वहां से निकल गईं। अब बुजुर्ग मेरी ओर आकर्षित हुए और बोले बोलो बेटा क्या चाहिए ???
मैं बुजुर्ग को देखा और कहा सर मुझे जॉब चाहिए। मैंने सुना है कि आपको एक सेल्स मेन की जरूरत है। यह सुनकर बुजुर्ग ने कहा, हां हां मैंने मुनब्बर को कहा था कि कोई अच्छे घराने का बच्चा हो तो बता मुझे सेल्स मेन की बहुत जरूरत है। क्या लगते हो मुनब्बर के तुम ???
मैंने कहा कुछ नहीं अंकल, मैं तो विभिन्न दुकानों पर जा जाकर नौकरी का पूछ रहा था तो कुछ पीछे एक दुकानदार ने ही मुझे आपके बारे में बताया कि आपको जरूरत है तो इधर आ गया। इस पर उन्होंने कहा कि बेटा ऐसे तो मैं किसी को नहीं रख सकता, मुझे तो विश्वास वाला लड़का चाहिए। इन बुजुर्ग नाम इकबाल था। मैंने कहा सर आप बेफिक्र रहें मुझसे आपको कभी कोई शिकायत नहीं होगी, मुझे जॉब की बहुत सख्त जरूरत है, मैंने इकबाल साहब को घरका पता और घर की स्थिति सब कुछ बता दिया। इस पर इकबाल साहब के स्वर में पहले से अधिक मिठास और प्यार आ गया, लेकिन वह अभी हिचक रहे थे, तो उन्होंने कहा बेटा महिलाओं और लड़कियों से बात करनी पड़े तो कर लोगे ??? मैंने उन्हें बताया जी अंकल मेरे स्कूल में लड़कियां भी थीं और आपको मेरी वजह से कभी कोई परेशानी नहीं होगी।
फिर उन्होंने मुझे कहा अच्छा चलो तुम अब जाओ, मैं थोड़ा सोच लूं, कल सुबह 10 बजे आ जाना तुम मगर किसी बड़े को लेकर आना अच्छा है इसी बाजार में कोई परिचित हो तो उसे ले आना। मैं अंकल से हाथ मिलाया और उनका शुक्रिया अदा करते हुए तुरंत घर चला गया। घर जाकर मैंने अम्मी से इस बारे में बात की तो उन्होंने काफी सोचने के बाद अबू के एक अच्छे दोस्त का पता मुझे बताया कि उनसे जाकर मिलना शायद वह कोई मदद कर सकें इस संबंध में। उसी समय अबू के दोस्त से मिलने चला गया, कुछ देर बाद उनके घर पहुंचा तो किस्मत से वह घर पर ही मिल गये, वह अपनी पत्नी और 2 बेटियों के साथ कहीं घूमने के लिए जा रहे थे, लेकिन मेरे आने की वजह से वे अपना कार्यक्रम थोड़ी देर के लिए निलंबित कर दिया था। मैं अपना परिचय तो जाते ही करवा चुका था जिसकी वजह से मुझे अंकल और आंटी ने बड़े प्यार से अपने घर में बिठाया और उनकी एक बेटी जिसकी उम्र मुश्किल से 15 साल होगी मेरे लिए मीठे पानी की एक सुराही और एक सिरप ले आए। में गटा गट 2 गिलास चढ़ा गया था क्योंकि सुबह से फिर फिर कर मुझे काफी प्यास लगी हुई थी।

हैलो दोस्तो .. आज मैं आपको अपनी एक छोटी सी कहानी सुनाने जा रहा हूं जिसमें मैंने अलग अलग लड़कियों और आन्टियो की चुदाई की। लंबी भूमिका बांधने की बजाय सीधे मुद्दे की बात पर आते हैं। तो दोस्तो मेरा नाम सलमान है। अधिक पढ़ा लिखा तो नहीं मगर किसी लड़की की चूत को कैसे चोदना है यह मैं अच्छी तरह जानता हूँ। मेरी शिक्षा मात्र दसवी पास है। और मेरी उम्र 24 साल है। , 5 फीट 7 इंच लंबा है, अधिक शिक्षा न होने की वजह से कोई काम तो मिला नहीं घर में सबसे बड़ा होने के कारण घर की सारी जिम्मेदारी मुझ पर आ गई थी। 20 साल की उम्र में मैंने काम शुरू किया। अरे मैं आपको यह बताना तो भूल ही गया कि मेरा संबंध पाकिस्तान से है। कीर्ति नगर में एक छोटा सा घर है जो पिताजी ने अच्छे समय में अपने जीवन में ही बना लिया था जो अब हमारी एकमात्र संपत्ति था। 20 साल की उम्र में जब पिताजी इस दुनिया से चले गए तो मेरी माँ ने मुझे कोई काम धंधा देखने के लिए कहा क्योंकि घर का खर्च भी चलाना था और सबसे बड़ा होने के नाते यह काम मुझी को करना था। मुझसे छोटा एक भाई और 3 बहनें थीं जिनकी उम्र अभी बहुत कम थी।



ब्रा खरीदने में क्यों झिझकती हैं महिलाएं! जानिए कारण, महिलाओं को कपडे खरीदने में भी काफी दिक्कत होती हैं ख़ास कर अपने इनरवियर खरीदने में।
यह बात सभी को मालुम हैं की दुनिया की लगभग हर महिला या लड़की ब्रा पहनती हैं। मगर भारत और पाकिस्तान में ब्रा खरीदना किसी टास्क से कम नहीं है।
विदेशो में ब्रा खरीदने के लिए अलग दुकाने होती हैं मगर भारत में कई बार बीच बाज़ार या सड़क के किनारे महिलाओं के अन्त्रवस्त्र बिकते है जहा से ब्रा खरीदने में लडकिया कतराती है। इसके अलावा ज़्यादातर दुकानों में पुरुष इसे बेचते है। महिलाए पुरुषों से ब्रा खरीदना पसंद नहीं करती है।
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काम ढूंढने हेतु में मैं सदर बाजार चला गया जहां थोड़ी सी संघर्ष के बाद मुझे एक व्यक्ति ने एक दुकान का पता बताया जिन्हें एक सेल्स मेन की जरूरत थी जो न केवल ग्राहक से बात कर सके बल्कि हिसाब का भी पक्का हो। मैं उन साहब की बताई हुई दुकान पर पहुंच गया। दोपहर 12 बजे का समय था अब बाजार में ज्यादा हलचल नहीं थी। दुकान में प्रवेश हो गया तो सामने एक दाढ़ी वाले बुजुर्ग वहाँ पर मौजूद थे और उनके सामने कुछ महिलाओं खड़ी थीं, मुझे दुकान पर आता देखकर उन बुजुर्ग ने एक कपड़ा आगे कर दिया जो वह पर्दे के लिए इस्तेमाल करते थे, अब मैं बुजुर्ग को तो देख सकता था मगर महिलाओं और मेरे बीच अब एक पर्दा आ चुका था और मैं मन ही मन सोचने लगा कि आखिर ऐसी भी क्या बात है कि उन्हें पर्दे की जरूरत पड़ गई जबकि वह महिलाएँ पहले से ही बुर्का पहने हुए थीं। खैर मैं दुकान की समीक्षा करने लगा। यह सौंदर्य प्रसाधन और आरटीनिशल ज्वैलरी की दुकान थी। कुछ देर बाद पर्दा हटा और वह महिला वहां से निकल गईं। अब बुजुर्ग मेरी ओर आकर्षित हुए और बोले बोलो बेटा क्या चाहिए ???
मैं बुजुर्ग को देखा और कहा सर मुझे जॉब चाहिए। मैंने सुना है कि आपको एक सेल्स मेन की जरूरत है। यह सुनकर बुजुर्ग ने कहा, हां हां मैंने मुनब्बर को कहा था कि कोई अच्छे घराने का बच्चा हो तो बता मुझे सेल्स मेन की बहुत जरूरत है। क्या लगते हो मुनब्बर के तुम ???
मैंने कहा कुछ नहीं अंकल, मैं तो विभिन्न दुकानों पर जा जाकर नौकरी का पूछ रहा था तो कुछ पीछे एक दुकानदार ने ही मुझे आपके बारे में बताया कि आपको जरूरत है तो इधर आ गया। इस पर उन्होंने कहा कि बेटा ऐसे तो मैं किसी को नहीं रख सकता, मुझे तो विश्वास वाला लड़का चाहिए। इन बुजुर्ग नाम इकबाल था। मैंने कहा सर आप बेफिक्र रहें मुझसे आपको कभी कोई शिकायत नहीं होगी, मुझे जॉब की बहुत सख्त जरूरत है, मैंने इकबाल साहब को घरका पता और घर की स्थिति सब कुछ बता दिया। इस पर इकबाल साहब के स्वर में पहले से अधिक मिठास और प्यार आ गया, लेकिन वह अभी हिचक रहे थे, तो उन्होंने कहा बेटा महिलाओं और लड़कियों से बात करनी पड़े तो कर लोगे ??? मैंने उन्हें बताया जी अंकल मेरे स्कूल में लड़कियां भी थीं और आपको मेरी वजह से कभी कोई परेशानी नहीं होगी।
फिर उन्होंने मुझे कहा अच्छा चलो तुम अब जाओ, मैं थोड़ा सोच लूं, कल सुबह 10 बजे आ जाना तुम मगर किसी बड़े को लेकर आना अच्छा है इसी बाजार में कोई परिचित हो तो उसे ले आना। मैं अंकल से हाथ मिलाया और उनका शुक्रिया अदा करते हुए तुरंत घर चला गया। घर जाकर मैंने अम्मी से इस बारे में बात की तो उन्होंने काफी सोचने के बाद अबू के एक अच्छे दोस्त का पता मुझे बताया कि उनसे जाकर मिलना शायद वह कोई मदद कर सकें इस संबंध में। उसी समय अबू के दोस्त से मिलने चला गया, कुछ देर बाद उनके घर पहुंचा तो किस्मत से वह घर पर ही मिल गये, वह अपनी पत्नी और 2 बेटियों के साथ कहीं घूमने के लिए जा रहे थे, लेकिन मेरे आने की वजह से वे अपना कार्यक्रम थोड़ी देर के लिए निलंबित कर दिया था। मैं अपना परिचय तो जाते ही करवा चुका था जिसकी वजह से मुझे अंकल और आंटी ने बड़े प्यार से अपने घर में बिठाया और उनकी एक बेटी जिसकी उम्र मुश्किल से 15 साल होगी मेरे लिए मीठे पानी की एक सुराही और एक सिरप ले आए। में गटा गट 2 गिलास चढ़ा गया था क्योंकि सुबह से फिर फिर कर मुझे काफी प्यास लगी हुई थी।