hotaks444
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आंटी थोड़ा शर्मिंदा होते हुए बोलीं, वह तो बस में झटके काफी लग रहे थे इसलिए।। । । । वरना मैं कभी किसी के साथ ऐसी हरकतें नहीं की। उनकी बात सुनकर मैंने मन ही मन में आंटी की शालीनता की दाद दी और फिर आंटी से पानी का आदि पूछा, लेकिन आंटी ने कहा नहीं पानी नहीं बस तुम मुझे अच्छे-अच्छे ब्रा दिखा दो। फिर आंटी ने बाहर देखा और बोलीं कब तक दुकान बंद रखे हो तुम? मैंने कहा आंटी आप बेफिक्र हो जाएं जब तक आप दुकान में हैं दुकान नहीं खुलेगी। वैसे 4 बजे तक खोलता हूँ फिर से तसल्ली से चेक करें। यह कह कर मैंने एक स्टेचू बताया जिस पर लाल रंग की पट्टी लगी हुई थी, मैंने कहा आंटी कोई ऐसी नाइटी आदि भी लेंगे आप या बस ब्रा ही लेने हैं। आंटी ने पहले नाइटी देखी और फिर मेरी सलवार को देखा जहां लंड सिर उठाए खड़ा था और बोलीं नहीं ऐसी नाइट तो नहीं लेकिन यह जो अरबी शैली की है यह मुझे पसंद आ रही है। मैंने कहा आंटी यह तो बहुत अच्छी है, मुनब्बर अंकल के होश उड़ जाएंगे। आंटी हंसी और कहा चल शैतान ... फिर बोलीं ले तो लूं, लेकिन मेरा शरीर थोड़ा वजनी है यह अच्छी नहीं लगेगी मेरे शरीर पर। मैंने कहा अरे आंटी ऐसे कैसे आपको आपके आकार के अनुसार दिखाऊंगा, अच्छी लगेगी आप पर। यह कह कर वापस काउन्टर पर आ गया, आंटी की नजरें तो मैंने देख ही ली थीं जो मेरे लंड को देख रही थीं जो सुबह से ही सलमा आंटी के इंतजार में खड़ा था, मगर आज मुझे लंड खड़ा होने से कोई हिचक नहीं थी क्योंकि मैं जानता था कि जो मज़ा सलमा आंटी ने बस में मेरे लंड से लिया था ( :heart: )वह मज़ा वह कभी भूली नहीं होंगी और मौका मिलने पर फिर भी मज़ा ज़रूर लेंगी और आज भी उनकी प्यासी नज़रें मेरी सलवार मे मेरे लंड का उभार देख रही थीं। मुझे आंटी के आकार का तो पता ही था, मैंने 38 आकार के ब्रा निकाल कर आंटी के सामने रखे और आंटी को कहा पसंद कर लें इसमें से फिर आपको ट्राई भी करवाता हूँ। आंटी ने उनमें से एक ब्रा उठाया और बोलीं कहां है तुम्हारा ट्राई रूम ?? मैंने आंटी को कहा आंटी दुकान में आपके और मेरे अलावा कोई नहीं यहाँ तो ट्राई रूम में मुंह दूसरी तरफ करता हूँ ब्रा चेक कर लें। आंटी ने मेरी ओर देखा और बोलीं आप अधिक चालाक नहीं बन रहे ??? मैं जोर से हंसा और बोला बस आंटी आप हैं ही इतनी सुंदर आपके साथ चालाकियाँ करने का मन करता है। यह कह कर मैंने आंटी को ट्राई रूम दिखाया, आंटी ट्राई रूम मे गईं और मैंने काउन्टर में आकर ट्राई रूम का कैमरा ऑन कर लिया। जैसे ही कंप्यूटर स्क्रीन पर ट्राई रूम दृश्य आया ... मेरे होश उड़ गये
आअह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह क्या अहसास था, आंटी का चेहरा छिपे हुए कैमरे से ही था और इस बात से बेखबर कि अंदर कैमरा लगा हुआ है आंटी ब्रा उतार कर नंगे मम्मे मे दूसरे ब्रा को पलट कर देख रही थीं। 40 साल की उम्र में भी आंटी के 38 साइज़ के मम्मे काफी तने हुए थे और उन पर बड़े बड़े निपल्स .... उफ़ एफ एफ एफ ...... मेरा हाथ सीधा अपने लंड पर चला गया था। फिर आंटी ने वह ब्रा पहना और सामने लगे शीशे में उसकी फिटिंग देखने लगीं। मैं यह सारा दृश्य देख रहा था। और मेरा लंड आंटी के तने हुए मम्मों को सलामी दे रहा था। मैंने नोट किया कि यह ब्रा थोड़ा लुढ़का हुआ लग रहा था इतने में आंटी की आवाज़ भी आ गई कि बेटा यह थोड़ा ढीला है। इससे थोड़ा छोटा आकार दिखा। मैं तुरंत ट्राई रूम के पास पहुंच गया और कहा आंटी यह बिल्कुल ठीक है आप के आकार के अनुसार है बस आप उसकी स्ट्रिप सेटिंग,कर लें तो फिट हो जाएगा आगे। आंटी ने कहा कि तुम पहले लाए थे वे ठीक थे, यह सही नहीं लग रहा मुझे। मैंने बाहर खड़े होकर ही कहा आंटी जो पहले लाया था वे लोकल थे उनमे ब्रा फिट करने की स्ट्रिप नहीं होती ये इपोर्टेड ब्रा है इसको अपने आप फिट कर सकते हैं। आंटी ने कहा मुझे तो पता नहीं लग रहा कैसे करना है।
मैंने आंटी को कहा तो दरवाजा खोलो में सेट कर देता हूँ। आंटी ने कहा रुको में उतारकर तुम्हें देती हूँ। मैंने कहा नहीं आंटी उतारकर नहीं, आप पहने रखें, मैं ऐसे ही फिट कर दूंगा। चिंता मत करो अंदर नहीं आता पर। यह सुनकर अंदर कुछ देर सन्नाटा रहा और फिर आंटी ने हल्का सा दरवाजा खोल दिया। दरवाजा इतना खुला था कि मैं में अंदर प्रवेश नहीं कर सकता था। मैंने आंटी को कहा आंटी थोड़ा तो खोलिए दरवाजा ताकि मैं फिटिंग तो कर सकूँ। अब आंटी ने मुंह दूसरी तरफ कर लिया और कमर मेरी ओर करके थोड़ा सा दरवाजा और खोला। आंटी की पूरी कमर मेरे सामने नंगी थी, कंधे से लेकर नीचे सलवार तक आंटी की गोरी गोरी कमर देखकर दिल किया कि अब अपनी जीब निकालकर उसकी कमर को चाटना शुरू कर दूं, लेकिन मैंने अपने ऊपर नियंत्रण रखा और आंटी को कहा आंटी आगे ढीली है न? आंटी ने कहा हां। उनकी आवाज कांप रही थी। मैंने कहा आंटी अपना सीना मेरी ओर करो मैं देखूं तो सही कि कितना ढीला है। आंटी ने एक अनिच्छासे मुंह मेरी ओर किया तो मैंने बिना समय बर्बाद किए अपने दोनों हाथ उनके बड़े बड़े मम्मों पर रख दिए,( :heart: ) मैं जानता था कि ऐसा मेरे लिए खतरनाक हो सकता है, लेकिन जो औरत खुद मेरा लंड पकड़ कर अपने चूतड़ों में फंसाकर अपनी चूत का पानी निकलवा ले भला उससे डरने की क्या जरूरत थी। मैंने जैसे ही आंटी के बूब्स पर हाथ रखा उनके मुंह से एक सिसकी निकली और उन्होंने मेरे हाथों पर हाथ रखकर उन्हें हटाना चाहा और बोली नहीं करो सलमान ऐसे। मैंने कहा आंटी मैं देख रहा हूँ कितना ढीला है। यह कह कर मैंने धीरे से आंटी के बूब्स को दबा दिया। वाह क्या मम्मे थे, दिल किया कि अब ब्रा उतारूँ और अपना लंड इन नरम नरम मम्मों में डाल चुदाई शुरू कर दूं। फिर मैंने आंटी को कहा आंटी अब अपना मुंह दूसरी तरफ कर लें। मैंने आंटी के बूब्स से हाथ हटा लिए थे, आंटी ने मुँह दूसरी ओर किया तो मैंने आंटी के ब्रा स्ट्रिप कंधों से थोड़ी टाइट कर दी जिससे ब्रा ने आंटी के बूब्स को आराम देना शुरू कर दिया। मैंने पीछे खड़े खड़े ही आंटी के पास होकर हाथ आगे किया और उनके मम्मे पकड़ कर धीरे से दबाए और कहा आंटी अब ठीक है फिटिंग ??? आंटी ने काँपती हुई आवाज कहा अब सही है।
इस दौरान मेरी सलवार मे मेरालंड जो सुबह से ही खड़ा था उसने आंटी की गाण्ड पर दस्तक देना शुरू कर दिया था। अब पता नहीं आंटी ने ब्रा फिटिंग के बारे में कहा था कि सही है या फिर अपनी गाण्ड पर मेरे लंड को महसूस करके कहा था कि यह ठीक है। मैं आंटी से पूछे बिना ही पीछे से उनके ब्रा हुक खोल कर ब्रा उतार दिया। और कहा आंटी आप यहीं रुकिये मैं और ब्रा लेकर आता हूँ। वह ब्रा मैंने अंदर ट्राई रूम में ही हुक पर लटका दिया और बाहर से एक और सेक्सी नेट वाला ब्रा उठा लाया। आंटी अपने बूब्स पर हाथ रखकर उन्हें छिपाने की कोशिश कर रही थीं मगर उनके बड़े बड़े मम्मे इस तरह छुपा पाना संभव नहीं था। मैंने आंटी के बूब्स पर ब्रा कपस रखे और खुद आंटी को ब्रा पहना कर उनकी हुक बंद किए और फिर से आंटी का चेहरा अपनी ओर किया और उनका सीना देखने लगा। ब्रा तो उनके सीने पर बहुत सुंदर लग रहा था और ऊपर से उनके बड़े बड़े मम्मों में गहरी लाइन जो क्लीवेज़ बना रही थी वो मेरे होश उड़ा रही थी। एक बार फिर से मैं आंटी के पीछे गया और उनके ब्रा स्ट्रिप को अकारण ही टाइट कर दिया हालांकि इस ब्रा की फिटिंग सही थी। ब्रा थोड़ा टाइट करके मैंने फिर अपने दोनों हाथ पीछे से ही उनके मम्मों पर रख दिए और इस दौरान अपने लंड का रुख आंटी की गाण्ड से कर लंड आंटी के चूतड़ों में डाल दिया जिससे आंटी की एक बार फिर सिसकी निकली।
मैंने आंटी की गाण्ड पर अपने लंड का दबाव बढ़ाया और आंटी के मम्मे दबाते हुए बोला आंटी यह ब्रा ठीक लग रहा है ??? आंटी ने सिसकते हुए कहा हां बेटा, मगर थोड़ा अधिक टाइट हो गया है। मैंने कहा कोई बात नहीं आंटी इस तरह आपके मम्मे ऊपर उठे रहेंगे और कमीज से आपके उठे हुए मम्मे नजर आएंगे तो मुनब्बर अंकल का तो तुरंत ही खड़ा हो जाएगा। मैंने जानबूझकर मम्मों शब्द का इस्तेमाल किया था आंटी के सामने ताकि जो थोड़ा बहुत नाटक वह कर रही थीं वह भी खत्म हो जाए। मेरी बात सुनकर आंटी बोलीं, वह तो ठीक है मगर तुम्हारे अंकल के पास इतना समय ही नहीं होता कि मुझे देखकर उनका खड़ा हो ... ..... यह सुनकर मुझे समझ लग गई थी कि उस दिन बस में आंटी को इतनी मस्ती क्यों चढ़ी थी, मुनब्बर अंकल आंटी की चुदाई पूरी तरह नहीं करते थे इसलिए आंटी ने उस दिन सार्वजनिक जगह पर मेरा लंड पकड़ कर अपने चूतड़ों में फंसा लिया था। आंटी की बात सुनकर मैंने कहा चलिए अंकल को छोड़ दो आपने पीछे लग रहा है, मेरा लंड आपके मम्मे देख कर खड़ा हो चुका है। आंटी ने हल्की सी आवाज़ से कहा, हां वह तो महसूस हो ही रहा है मुझे, तुम्हें शर्म नहीं अपनी आंटी को देख कर खड़ा कर लेते हो।
आअह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह क्या अहसास था, आंटी का चेहरा छिपे हुए कैमरे से ही था और इस बात से बेखबर कि अंदर कैमरा लगा हुआ है आंटी ब्रा उतार कर नंगे मम्मे मे दूसरे ब्रा को पलट कर देख रही थीं। 40 साल की उम्र में भी आंटी के 38 साइज़ के मम्मे काफी तने हुए थे और उन पर बड़े बड़े निपल्स .... उफ़ एफ एफ एफ ...... मेरा हाथ सीधा अपने लंड पर चला गया था। फिर आंटी ने वह ब्रा पहना और सामने लगे शीशे में उसकी फिटिंग देखने लगीं। मैं यह सारा दृश्य देख रहा था। और मेरा लंड आंटी के तने हुए मम्मों को सलामी दे रहा था। मैंने नोट किया कि यह ब्रा थोड़ा लुढ़का हुआ लग रहा था इतने में आंटी की आवाज़ भी आ गई कि बेटा यह थोड़ा ढीला है। इससे थोड़ा छोटा आकार दिखा। मैं तुरंत ट्राई रूम के पास पहुंच गया और कहा आंटी यह बिल्कुल ठीक है आप के आकार के अनुसार है बस आप उसकी स्ट्रिप सेटिंग,कर लें तो फिट हो जाएगा आगे। आंटी ने कहा कि तुम पहले लाए थे वे ठीक थे, यह सही नहीं लग रहा मुझे। मैंने बाहर खड़े होकर ही कहा आंटी जो पहले लाया था वे लोकल थे उनमे ब्रा फिट करने की स्ट्रिप नहीं होती ये इपोर्टेड ब्रा है इसको अपने आप फिट कर सकते हैं। आंटी ने कहा मुझे तो पता नहीं लग रहा कैसे करना है।
मैंने आंटी को कहा तो दरवाजा खोलो में सेट कर देता हूँ। आंटी ने कहा रुको में उतारकर तुम्हें देती हूँ। मैंने कहा नहीं आंटी उतारकर नहीं, आप पहने रखें, मैं ऐसे ही फिट कर दूंगा। चिंता मत करो अंदर नहीं आता पर। यह सुनकर अंदर कुछ देर सन्नाटा रहा और फिर आंटी ने हल्का सा दरवाजा खोल दिया। दरवाजा इतना खुला था कि मैं में अंदर प्रवेश नहीं कर सकता था। मैंने आंटी को कहा आंटी थोड़ा तो खोलिए दरवाजा ताकि मैं फिटिंग तो कर सकूँ। अब आंटी ने मुंह दूसरी तरफ कर लिया और कमर मेरी ओर करके थोड़ा सा दरवाजा और खोला। आंटी की पूरी कमर मेरे सामने नंगी थी, कंधे से लेकर नीचे सलवार तक आंटी की गोरी गोरी कमर देखकर दिल किया कि अब अपनी जीब निकालकर उसकी कमर को चाटना शुरू कर दूं, लेकिन मैंने अपने ऊपर नियंत्रण रखा और आंटी को कहा आंटी आगे ढीली है न? आंटी ने कहा हां। उनकी आवाज कांप रही थी। मैंने कहा आंटी अपना सीना मेरी ओर करो मैं देखूं तो सही कि कितना ढीला है। आंटी ने एक अनिच्छासे मुंह मेरी ओर किया तो मैंने बिना समय बर्बाद किए अपने दोनों हाथ उनके बड़े बड़े मम्मों पर रख दिए,( :heart: ) मैं जानता था कि ऐसा मेरे लिए खतरनाक हो सकता है, लेकिन जो औरत खुद मेरा लंड पकड़ कर अपने चूतड़ों में फंसाकर अपनी चूत का पानी निकलवा ले भला उससे डरने की क्या जरूरत थी। मैंने जैसे ही आंटी के बूब्स पर हाथ रखा उनके मुंह से एक सिसकी निकली और उन्होंने मेरे हाथों पर हाथ रखकर उन्हें हटाना चाहा और बोली नहीं करो सलमान ऐसे। मैंने कहा आंटी मैं देख रहा हूँ कितना ढीला है। यह कह कर मैंने धीरे से आंटी के बूब्स को दबा दिया। वाह क्या मम्मे थे, दिल किया कि अब ब्रा उतारूँ और अपना लंड इन नरम नरम मम्मों में डाल चुदाई शुरू कर दूं। फिर मैंने आंटी को कहा आंटी अब अपना मुंह दूसरी तरफ कर लें। मैंने आंटी के बूब्स से हाथ हटा लिए थे, आंटी ने मुँह दूसरी ओर किया तो मैंने आंटी के ब्रा स्ट्रिप कंधों से थोड़ी टाइट कर दी जिससे ब्रा ने आंटी के बूब्स को आराम देना शुरू कर दिया। मैंने पीछे खड़े खड़े ही आंटी के पास होकर हाथ आगे किया और उनके मम्मे पकड़ कर धीरे से दबाए और कहा आंटी अब ठीक है फिटिंग ??? आंटी ने काँपती हुई आवाज कहा अब सही है।
इस दौरान मेरी सलवार मे मेरालंड जो सुबह से ही खड़ा था उसने आंटी की गाण्ड पर दस्तक देना शुरू कर दिया था। अब पता नहीं आंटी ने ब्रा फिटिंग के बारे में कहा था कि सही है या फिर अपनी गाण्ड पर मेरे लंड को महसूस करके कहा था कि यह ठीक है। मैं आंटी से पूछे बिना ही पीछे से उनके ब्रा हुक खोल कर ब्रा उतार दिया। और कहा आंटी आप यहीं रुकिये मैं और ब्रा लेकर आता हूँ। वह ब्रा मैंने अंदर ट्राई रूम में ही हुक पर लटका दिया और बाहर से एक और सेक्सी नेट वाला ब्रा उठा लाया। आंटी अपने बूब्स पर हाथ रखकर उन्हें छिपाने की कोशिश कर रही थीं मगर उनके बड़े बड़े मम्मे इस तरह छुपा पाना संभव नहीं था। मैंने आंटी के बूब्स पर ब्रा कपस रखे और खुद आंटी को ब्रा पहना कर उनकी हुक बंद किए और फिर से आंटी का चेहरा अपनी ओर किया और उनका सीना देखने लगा। ब्रा तो उनके सीने पर बहुत सुंदर लग रहा था और ऊपर से उनके बड़े बड़े मम्मों में गहरी लाइन जो क्लीवेज़ बना रही थी वो मेरे होश उड़ा रही थी। एक बार फिर से मैं आंटी के पीछे गया और उनके ब्रा स्ट्रिप को अकारण ही टाइट कर दिया हालांकि इस ब्रा की फिटिंग सही थी। ब्रा थोड़ा टाइट करके मैंने फिर अपने दोनों हाथ पीछे से ही उनके मम्मों पर रख दिए और इस दौरान अपने लंड का रुख आंटी की गाण्ड से कर लंड आंटी के चूतड़ों में डाल दिया जिससे आंटी की एक बार फिर सिसकी निकली।
मैंने आंटी की गाण्ड पर अपने लंड का दबाव बढ़ाया और आंटी के मम्मे दबाते हुए बोला आंटी यह ब्रा ठीक लग रहा है ??? आंटी ने सिसकते हुए कहा हां बेटा, मगर थोड़ा अधिक टाइट हो गया है। मैंने कहा कोई बात नहीं आंटी इस तरह आपके मम्मे ऊपर उठे रहेंगे और कमीज से आपके उठे हुए मम्मे नजर आएंगे तो मुनब्बर अंकल का तो तुरंत ही खड़ा हो जाएगा। मैंने जानबूझकर मम्मों शब्द का इस्तेमाल किया था आंटी के सामने ताकि जो थोड़ा बहुत नाटक वह कर रही थीं वह भी खत्म हो जाए। मेरी बात सुनकर आंटी बोलीं, वह तो ठीक है मगर तुम्हारे अंकल के पास इतना समय ही नहीं होता कि मुझे देखकर उनका खड़ा हो ... ..... यह सुनकर मुझे समझ लग गई थी कि उस दिन बस में आंटी को इतनी मस्ती क्यों चढ़ी थी, मुनब्बर अंकल आंटी की चुदाई पूरी तरह नहीं करते थे इसलिए आंटी ने उस दिन सार्वजनिक जगह पर मेरा लंड पकड़ कर अपने चूतड़ों में फंसा लिया था। आंटी की बात सुनकर मैंने कहा चलिए अंकल को छोड़ दो आपने पीछे लग रहा है, मेरा लंड आपके मम्मे देख कर खड़ा हो चुका है। आंटी ने हल्की सी आवाज़ से कहा, हां वह तो महसूस हो ही रहा है मुझे, तुम्हें शर्म नहीं अपनी आंटी को देख कर खड़ा कर लेते हो।