सारे परिवार के सामने हुआ सपना - SexBaba
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सारे परिवार के सामने हुआ सपना

desiaks

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Aug 28, 2015
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दोस्तों, आज मैं हेमराज Antarvasna Sex Stories आप आप सभी को अपने घर की इनसेस्ट कहानी, कामुक स्टोरी डॉट कॉम पर सुनाने जा रहा हूँ। मेरा घर हिमाचल प्रदेश के जंगल में पड़ता है। ये जगह जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क के पास है। यही हमारी पुस्तैनी जमीन है। इसलिए हम लोगों को यहाँ इस जंगल में रहना पड़ा। हमारे इलाके में हमारे घर को छोड़ कर सिर्फ १ घर और है जहाँ एक परिवार रहता है। और कोई इस जंगल में नही रहता है।

सामने वाले घर में गुप्ता जी और उनके घर के लोग रहते है। गुप्ता जी, उनका जवान लड़का रोहित, और गुप्ता जी की बीबी सपना आंटी रहती थी। और हमारे घर में मेरी माँ, बहन, पापा और मम्मी थी। दोस्तों इस जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क में गुप्ता जी के परिवार को छोड़ कर कोई नही रहता था इसलिए हम लोगो की आपस में बहुत दोस्ती हो गई। मेरे पापा और गुप्ता जी हर शाम को बगीचे में बैठकर शराब पीते थे। पापा और गुप्ता जी दोनों इस नेशनल पार्क में काम करते थे और फारेस्ट रेंजर के पद पर काम कर रहे थे। धीरे धीरे मेरे पापा ने गुप्ता जी की औरत सपना आंटी को पटा लिया और उन्होंने मेरी माँ को पटा लिया। फिर गुप्ता अंकल ने एक दिन मेरी माँ को चोद लिया और पापा ने गुप्ता की औरत सपना आंटी को चोद लिया।

एक दिन पापा और गुप्ता जी साथ में बैठकर शाराब पी रहे थे।

"यार मनोहर [मेरे पापा का नाम] ..इस जंगल में वैसे भी कोई रहता नही है। किसी तरह की बदनामी का कोई डर नही है। ऐसा करते है एक दिन तुम अपने बेटे के साथ और मिलकर मेरी बीबी को चोदो खाओ। उसके बाद मैं और मेरा बेटा रोहित भी सपना की चूत मारेंगे। फिर हम तेरे साथ भी ऐसा करेंगे। बोल क्या बोलते हो???" गुप्ता अंकल बोले

"वाह भाई गुप्ता...क्या मस्त आइडिया दिया है..मिल बाटकर चूत मारना..सही है दोस्त" पापा बोले। उसके बाद संडे वाली दिन गुप्ता अंकल ने हमारे पुरे घर को पार्टी पर बुलाया। उनके पास २१ मुर्गे थे। अंकल ने ४ मुर्गे हलाल किये। हम सबके लिए लज्जतदार चिकन बनाया। गुप्ता अंकल के घर पर मैं, मेरे पापा, मम्मी और मेरी बहन संध्या गयी। दोस्तों आप लोगो को बताना चाहूँगा की हमारा और गुप्ता जी का परिवार सेक्स को खुल्लम खुल्ला करके में बहुत विश्वास रखता था। मैं भी अक्सर अपनी २० साल की बहन संध्या को चोदा करता था। मैं मेरी जावन बहन संध्या गुप्ता अंकल के बेटे रोहित से भी फँसी हुई थी और कई बार हमारे घर में ही रोहित से चुदवा लिया करती थी। मेरे पापा और मम्मी को ये बात मालूम थी।

दूसरी तरफ गुप्ता जी को ये पता था की उनकी बीबी सपना मेरे बाप से खूब चुदवाती रहती है, और इस तरफ मेरे पापा को भली भांति पता था की मेरी माँ गुप्ता ने कई बार चुदवा चुकी है। धीरे धीरे हमारा परिवार खुले सेक्स की वकालत करने लगा। उसके बाद गुप्ता अंकल ने उनकी बीबी को सबके सामने चोदने वाला ऑफर दे दिया। उस रविवार की शाम को गुप्ता अंकल ने अपने ४ मुर्गे हलाल किये हम सबके लिए लजीज खाना पकाया। उसके बाद हम सब सपना आंटी को चोदने की प्लानिंग करने लगे।

"मनोहर!! मेरी बीबी तो है की रंडी!!..इसलिए आज मैं चाहता हूँ की तुम और मेरे रोहित के सामने सपना को चोदो और हाँ अपने बेटे हेमराज से भी सपना को चुदवा देगा। उसके बाद तो दोस्तों असली खेल शुर हो गया। सब लोगो ने अपने कपड़े निकाल दिए। उस पार्टी में कुल ७ लोग थे। मैं, पापा, मेरी मम्मी, मेरी बहन संध्या, गुप्ता जी, उनकी बीबी सपना आंटी, और उनका लड़का रोहित। हम सबने अपने अपने कपड़े निकाल दिए। सब लोग एन्जॉय करने लगे और ताली बजाने लगे। गुप्ता अंकल ने सपना आंटी को चोदने का पहला ऑफर मेरे पापा को दिया। सपना आंटी की चुदाई उनके ही घर में हाल में होने वाली थी। बेडरूम का बेड हाल में लगा दिया गया था जिसपर सपना आंटी की चूत में कई लोग लंड देने वाले थे।

पापा बिस्तर पर आ गये और सपना आंटी को अपने पास खीच लिया। सपना आंटी ने अपने सारे कपड़े निकाल दिए थे, अपनी ब्रा और पेंटी भी निकाल दी थी और इस समय वो पूरी तरह नंगी थी। मेरे पापा [मनोहर] ने उनको अपनी बाँहों में भर लिया और किस करने लगे। मैं, मेरी मम्मी, बहन संध्या, गुप्ता जी और उनका लड़का रोहित ताली बजाने लगे। मेरे पापा ने सपना आंटी को निचे बिस्तर पर कर दिया और खुद उनके उपर आ गये और आंटी के मस्त मस्त दूध पीने लगे। सपना आंटी पापा ने पहले चुपके चुपके चुदवाती थी। पर आज ये सेक्स पार्टी बिलकुल खुल्लम खुल्ला हो रही थी। क्यूंकी इस जंगल में कोई नही रहता था इसलिए शर्म करने की कोई जरूरत नही थी।

मेरे पापा सपना आंटी के उपर लद गये और उनके दूध पीने लगे। बहुत आधिक चुदने से सपना आंटी की छातियाँ कुछ ढीली होकर लटक गयी थी, पर फिर भी वो काफी बड़ी थी और ३४" की थी। इसलिए उनको आराम से चोदा खाया जा सकता था। पापा ने बिलकुल नंगी सपना आंटी को अपनी बाहों में भर लिया और उनके दूध पीने लगे। कुछ देर में काम की इक्षा से आंटी के दूध तन गये और फूलकर ३६" के हो गये। मेरे पापा मस्ती से उनके दूध पीने लगे। फिर पापा ने सपना आंटी के क्लीवेज में अपना लंड रख दिया और जोर जोर से रगड़ने लगे।

"उफफ्फ्फ्फ़..मनोहर जी!!.आज मुझे कसके मेरे पति और लड़के के सामने ही चोद डालिए। आज आप बिलकुल मत शर्म करिए!!" सपना आंटी बोली। मेरी माँ और बहन संध्या भी पूरी तरफ से नंगी थी। रोहित मेरी बहन को ताड़ रहा था, जब बाकी लोग सपना आंटी को देख रहे थे। मेरे पापा सपना आंटी के दोनों दूध को आपस में कसकर पकड़े हुए थे और बीच में उनका लौड़ा स्तनों को चोद रहा था। मैं तो ये देख कर बहुत खुश हुआ और जोर जोर से शी.शी..करके सिटी बजाने लगा। कुच देर बाद पापा ने सपना आंटी की चूत में लंड डाल दिया और उनको चोदने लगे। गुप्ता अंकल आज पहली बार अपनी बीबी को मेरे पापा से चुदते हुए देख रहे थे और मजा उठा रहे थे। सपना आंटी का लड़का भी अपनी माँ को मेरे बाप से चुदते हुए देख रहा था और अपना लंड पकड़कर इधर उधर हिला रहा था।

"ओय!..मनोहर!! ऐसे धीरे धीरे क्या मेरी बीबी को चोद रहा है???बहनचोद..दम नही क्या क्या तेरे लौड़े में??" गुप्ता अंकल मेरे पापा से बोले। उसके बाद तो पापा ने सपना आंटी की पलंगतोड़ ठुकाई कर दी। सपना आंटी की चूत पूरी तरह से फटी हुई थी। पापा का सिलबट्टे जैसा लंड उनकी चूत की जान निकाल निकालकर पर उनको ठोंक रहा था। सपना आंटी किसी चमगादड़ की तरह अपने दोनों हाथ पैर फैलाए हुए थी और मेरे पापा से चुद रही थी। वो आह आह उई उई आह आह आहा आहा आ की आवाजे निकाल रही थी। सपना आंटी का मुँह खुला हुआ था और वो बार बार अपने होठ चबा रही थी। उनको देखकर ये पता चल रहा था की उनको काफी आनंद प्राप्त हो रहा है। फिर पापा सपना आंटी को अपनी बीबी की तरह गाल पर किस करने लगे और पट पट करके उनको चोदने लगे।

दोस्तों, आज मुझे पता चला की मेरे पापा बहुत शानदार चुदैया है। मेरे पापा मेरी बहन संध्या को भी बीच बीच में पेलते रहते थे। मेरी माँ को भी चोदते थे और सपना आंटी को तो हर वीकेंड में लेते थे। इस वजह से पापा का मोटा लौड़ा किसी धारदार चाक़ू की तरह से तेज हो गया था। आज ६ लोगो के सामने वो गुप्ता अंकल की औरत को पेल रहे थे। सपना आंटी का लड़का रोहित भी मेरे पापा की शानदार ठुकाई देखकर उनका दीवाना हो गया था।

"चाचा!!.. भई वाह..क्या मस्त ठुकाई कर रहे हो तुम मेरी माँ की..इसकी चूत में बहुत गर्मी है...आज मेरी माँ को इतना चोद डालो की सारी गर्मी निकल जाए" सपना आंटी का लड़का रोहित बोला। पापा पक पक सपना छिनाल को पेलते रहे। वो किसी रंडी की तरह आ आ आह आह की आवाज लगाने लगी और कराहने लगी। फिर पापा ने कुछ देर बाद अपना माल सपना आंटी के भोसड़े में ही छोड़ दिया। दोनों हांफ गये। दोनों के पसीने छूट गये।

पापा चोद कर हटे।

"भाई गुप्ता जी!! तेरी औरत भले ३२ की है पर १६ साल की लौंडिया का मजा देती है...कसम से इसको चोदकर मूड फ्रेश हो गया!!" पापा बोले।

"हेमराज बेटा!! आओ अब तुम अपनी सपना आंटी को चोद खा लो!!" गुप्ता अंकल बोले। मैं तो पहले से ही नंगा था। अब मैं सपना आंटी के पास आ गया। आंटी अभी अभी मेरे पापा से चुदी हुई थी। वो खुमारी अभी उतरी नही थी। मैं सपना आंटी के उपर लेट गया और उनके दूध पीने लगे। उफ्फ्फ.क्या मस्त मस्त छातियाँ थी उनकी। मैंने बड़ी देर तक उसके दूध पिये, फिर उसके मुँह में अपना लंड डाल दिया। आंटी मजे से मेरा लंड चूसने लगी। मेरी मम्मी सपना आंटी का मनोबल बढ़ाने लगी।

"कामोन सपना चूस लो मेरे बेटे हेमराज का लंड!!" मेरी मम्मी बोली। उसके बाद तो सपना आंटी किसी छिनाल की तरह मेरा लंड चूसने लगी। वो जल्दी जल्दी अपने सुंदर होठ मेरे लंड पर दौडाने लगी और गले के आखिर तक लंड लेने लगी। मुझे तो जैसे जन्नत का मजा मिल रहा था। मैं सपना आंटी के चेहरे को अपने हाथों से सहला रहा था। दोस्तों, मुझे इतनी उतेज्जना हो गयी की मैंने २ ४ थप्पड़ तान तानकर सपना आंटी के मुँह पर रसीद कर दिया। "चूस रंडी!!..चूस!!" मैंने कहा। उसके बाद तो आंटी से ३५ मिनट तक मेरा लंड चूसा। इसी बीच मेरा माल छूट गया और सब का सब माल आंटी के मुँह पर छूट गया। सब लोग ताली बजाने लगे।

"ओय ओय ओय!!! माल मुँह पर छूट गया...ओय ओय ओय!!" सब लोग एक साथ बोले। आंटी ने अपने पेटीकोट से अपना चेहरा साफ़ किया। जादातर मेरा माल तो वो पी गयी गयी। कुछ देर में मेरा लौड़ा टन्न हो गया था। मैंने इस बार सपना आंटी को घोड़ी बना दिया। सब लोग खुश हो गये।

"फक हर हार्ड हेमराज!! फक माई वाइफ हार्ड [मेरी बीबी को कसके चोदो हेमराज]" गुप्ता अंकल बोले

"मेरी माँ की चूत का चबूतरा बना दे भाई!!...फाड़ डालो इस छिनाल की आवारा चूत को!!" सपना आंटी का बेटा रोहित बोला।

' यस बेटा!!..दिखा दो की तुम असली मर्द हो!..दे दो इस रंडी की गर्म चूत में अपना लोहे जैसा लंड!!" दूसरी तरफ से मेरी मम्मी बोली

उसके बाद दोस्तों, मेरा मनोबल बहुत ऊँचा हो गया। सपना आंटी को मैंने उसके दोनों हाथ और घुटनों पर घोड़ी बना दिया था। पीछे से उनकी गर्म दहकती बुर में मैंने अपना लोफे जैसा लंड डाल दिया था। उसके बाद किसी आवारा कुत्ते की तरह मैं बैठकर पीछे से सपना आंटी के भोसड़े में लंड की सप्लाई करने लगा। सारे लोग जो वहां मौजूद थे ताली पीटने लगे। आंटी की चूत मैं पीछे से ले रहा था जो बहुत कसी लग रही थी। मैंने आंटी के खुले बाल अपने हाथ में लपेट लिए और दूसरा मेरा हाथ उसके गोरे चिकने कुल्हे पर था। उसके बाद मैंने आंटी के बाल पकड़कर वो शानदार ठुकाई की पट पट और चट चट की धव्नि ही वहां सुनाई दे रही थी। मेरी बहन इतनी जोरदार ठुकाई देखकर आउट ऑफ़ कण्ट्रोल हो गयी और सपने सामने अपनी चूत में जल्दी जल्दी खड़े खड़े ही ऊँगली करने लगी।

"चोद डालो!!...प्लीस कोई मुझे सपना आंटी की तरफ चोद डालो!!" मेरी बहन अचानक बोलने लगी। पर किसी ने उसकी बात नही सुनी। क्यूंकि मैं सपना आंटी की सपने सामने शानदार ठुकाई कर रहा था। कुछ देर बाद मैंने अपना लौड़ा उसके भोसड़े से निकाल लिया और उसके पेट और नाभि पर अपना सारा माल गिरा दिया। २ २ मर्दों से चुदकर सपना आंटी का चेहरा बिलकुल लाल हो गया था। जब मैंने आंटी को चोद लिया तो उनके बाल मैंने छोड़ दिए।

"अब मैंने अपनी माँ को चोदूंगा!!" सपना आंटी का सगा बेटा रोहित बोला

"..नही अब मैं इस कुतिया की चूत मारूंगा!" गुप्ता जी बोले। दोनों में बहस हो गयी की कौन पहले सपना आंटी को चोदेगा। उसके बाद टॉस हुआ जिसमे रोहित जीत गया। रोहित कुछ देर अपनी माँ के दूध पीता पीता रहा। फिर उसने सपना आंटी को अपने पेट पर बिठा लिया और मस्ती से चोदने लगा। दोस्तों, वो संडे एक यादगार संडे था जिसमे कुल ४ लोगो ने सपना आंटी की चूत मार ली। उसके बाद एक दिन मेरे पापा ने सबको दावत दी और गुप्ता अंकल, रोहित, मैं और पापा ने मेरी माँ को बारी बारी से चोदा और उनकी बुर फाड़कर रख दी। फिर गुप्ता अंकल और रोहित ने हमारे ही घर में हम सभी लोगो के सामने मेरी बहन संध्या को चोदा और उनकी मुलायम चूत में खूब लंड खिलाया। मेरी बहन संध्या ने अपनी गांड उठा उठाकर खूब चुदवाया और मजे मारे। रोहित से उनकी नर्म नर्म चुच्ची मुँह में भरके खूब चूसी।

उसके बाद तो दोस्तों, हमारा और गुप्ता जी का परिवार हर हफ्ते गैंग बैंग की पार्टी करने लगा। ये कहानी आपको कैसी लगी, अपनी कमैंट्स कामुक स्टोरी डॉट कॉम पर जरुर लिखे
 
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