hotaks444
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फिर हम डिनर करके सो जाते हैं और मैं सुबह सोकर उठती हूँ तो मोम किचेन में नाश्ता बना रही होती हैं। मैं फ्रेश होकर नाश्ता करती हूँ।
मोम बोलती हैं- मैं नहाने जा रही हूँ…”
मैं भी अपने रूम में नहाने चली जाती हूँ। फिर मैं नहाकर कपड़े पहनकर बाहर जाकर बालकोनी में चली जाती हूँ और सिगरेट जलाती हूँ और कश लेने लगती हूँ। मेरी बालकोनी के सामने 7वें फ्लोर पर एक अपार्टमेंट है, वहाँ खड़े लोग मुझे घूर रहे होते हैं।
तभी मोम आती हैं- “बेटा तैयार हो जा 10:30 बज चुका है…”
मैं- “हाँ मोम, होती हूँ…”
मोम कपड़े लेकर मेरे रूम में आ जाती हैं। पहले वो मुझे 3 इंच हील वाली सैंडल पहनाती हैं, फिर पेटीकोट और फिर ब्लाउज़। ब्लाउज़ इतना छोटा होता है की मेरी आधी चूचियां भी उसमें सही से नहीं आतीं, फिर साड़ी लपेटती हैं टाइट से। मैं मिरर मैं खुद को देखती हूँ, लुक्स स्टनिंग। मोम भी अपनी साड़ी ऐसे ही बांधती हैं। और तभी मोम के मोबाइल पर अकरम की काल आती है।
अकरम- “हेलो…”
मोम- “हेलो…”
अकरम- “जान तैयार हो गई? और वो लड़की आई की नहीं?”
मोम- “आ गई, हम दोनों तैयार हो रहे हैं…”
अकरम- “सुनो, ड्रेस सेक्सी स्टाइल में पहनना, उनको इंडियन औरतें बहुत पसंद हैं, इसलिए कुछ अच्छा सा मेकप कर लेना…”
मोम- “ओके… पर वो बुर्क़े क्यों भेजे हैं?”
अकरम- “उसे अपनी ड्रेस के ऊपर ढंग से पहन लेना, सिर्फ आँखें दिखनी चाहिए। 12:00 बजे मैं लेने आऊँगा और फिर उनकी प्रेस कान्फ्रेंस में तुम दोनों को छोड़ आऊँगा, ताकी कोई तुम लोगों को पहचाने नहीं…”
मोम- “ओके, हम तैयार हो जाएंगे…”
और फिर मोम मेरा मेकप करने लगती हैं, रेड लिपिस्टिक, काजल, आई सैडो, ब्लशर और फिर खुद का भी मेकप करती हैं। और खुद ब्लू कान्टैक्ट लेन्स लगमैंती हैं, शी लुक्स टू हाट। फिर पता नहीं क्या सोचती हैं और मेरी कमर में साड़ी में हाथ डालकर मेरी साड़ी 2½-3” इंच नीचे कर देती हैं और अपनी भी। जिससे हमारी चूत से दो इंच ऊपर से हमारा पूरा हिस्सा विजिबल हो जाता है। फिर वो मुझे बुर्क़ा देती हैं की इसे पहन लो। हम बुर्क़ा पहनते हैं, और चेहरे पर स्कार्फ भी बाँध लेते हैं। हमारी सिर्फ आँखें दिख रही होती हैं। फिर वो चूड़ियां लाती हैं, मुझे पहनाती हैं, और खुद भी पहनती हैं। हम पूरी तरह तैयार हो जाते हैं।
मैं- “मोम, आप तो हाट मुश्लिम लेडी लग रही हो…”
मोम- “मुझसे ज्यादा तो तू हाट लग रही है बेटी…”
फिर 11:50 बजे कालबेल बजती है। मोम दरवाजा खोलती हैं। ड्राइवर गेट पर खड़ा होता है, जो हमें लेने आया होता है। हम लोग दरवाजा लाक करके बाहर निकल जाते हैं। बाहर हमारे कुछ पड़ोसी होते हैं, पर हमें कोई पहचान नहीं पाता। बाहर एक आडी कार होती है, हम उसमें बैठ जाते हैं। जहां अकरम पहले से होता है। वो हमारी आँखों को देखता ही रह जाता है।
अकरम- “आज तो बिजली गिर जाएगी उन शेखों पर…”
हम दोनों अंदर ही अंदर मुश्कुराते हैं, हमारी गाड़ी एक सेवेन स्टार होटेल में रुकती है।
अकरम उतरता है और हमें भी उतरने को कहता है। फिर हम होटेल के अंदर जाते हैं। वहां एक प्रेस कान्फ्रेंसे चल रही होती है, जो थोड़ी देर बाद खतम हो जाती है। अकरम हमें उस शेख से मिलवाता है। वो 4 शेखों का ग्रुप होता है, वो एक-एक करके हमसे हाथ मिलाते हैं, और वेलकम बोलकर हमें बैठने को बोलते हैं। थोड़ी देर बाद जब वो फ्री होते हैं तो हमारे पास आकर बैठ जाते हैं, और पूछते हैं- “खाना खा लिया?”
हम ना में सिर हिलाते हैं।
वो एक बंदे को बुलाते हैं, और कहते हैं- “ये हमारी रिलेटिव हैं, इन्हें हमारे रूम में ले जाओ और इनकी खातिरदारी करो…”
वो बंदा हमें एक सूट में ले जाता है, वहाँ 42” इंच का एल॰ई॰डी॰ टीवी लगा होता है। मैं उसे ओन करती हूँ तो उसपर उनकी कान्फ्रेंस की सी॰डी॰ चल रही होती है। वो लोग बहुत अमीर थे। तभी दरवाजा खुलता है और वो अंदर आते हैं। उनके नाम काफी लंबे होते हैं, पर मैं शार्ट में बताती हूँ।
पहला- अल फैजन
दूसरा- हैदर
तीसरा- फहीम
चौथा- कबीर
पांचवां- अल अयाज।
वो हमसे हमारा नाम पूछते हैं।
मैं- “आई एम मोनिका…”
मोम- “आंड आई एम राखी…”
फैजन कहता है- “हमारे घर में आपका तहे दिल से स्वागत करते हैं…” उनमें से 3 अरबी ड्रेस में होते हैं, दो सूट में।
अयाज कहता है- “अब तुम लोग बुर्क़ा उतार दो…” और पूछता है- “कुछ पीना चाहोगी?”
मोम मेरी तरफ देखती हैं, और मैं बोलती हूँ- “आप जो चाहे मंगा लें…”
तब अयाज काल करके रेड वाइन और चिकन मंगाता है। वो सभी हट्टे-कट्टे होते है, 5’10” से 6’2” उंचाई तक।
तभी दरवाजा नाक होता है और हमारी ड्रिंक्स आ जाती है। मैं, मेरी मोम और जो दो बंदे सूट में होते है, मैं उनकी ड्रिंक बनाती हूँ। अभी तक मैंने और मेरी मोम ने हिजाब ही खोला होता है। हम दो-दो पेग पीते हैं। तभी हैदर और फहीम मुझे अपने पास बुलाते हैं तो मैं उठकर उन दोनों के बीच बैठ जाती हूँ।
हैदर अपने होंठों मेरे होंठों पर रखता है और किस करता है- “सस्स्स्स्शह वाट आ पैसिनेट किसिंग… सच बहुत मजा आता है।
फहीम का हाथ मेरी कमर पर आ जाता है।
तभी फैजन और कबीर बाहर चले जाते हैं, और अयाज मोम का बुर्क़ा उतार देता है, फिर साड़ी और पेटीकोट। ऐसा ही मेरे साथ भी होता है। अयाज मोम को गोद में उठाकर लाता है और बेड पर पटक देता है, और फिर तीनों हमें चूमने चाटने लगते हैं।
तभी अयाज उठता है, अपना बैग खोलता है और कुछ हाथ में लेकर बेड पर आता है। फिर हम दोनों को खड़ा कर देता है, वो हमारी कमर में एक चैन बांधता है, जिसमें एक छोटा सा हीरा लगा होता है। सच बहुत प्यारा सा था, उसका ये गिफ्ट। फिर अयाज मुझे बेड पर लिटाता है और मेरे ब्लाउज़ की सारी डोरियां खोलकर उसे उतार फेंकता है। फिर वो एक आइस क्यूब उठाता है और मेरे माथे और चूचियों पर रगड़ते हुए मेरी नाभि पर छोड़ देता है। जब वो आइस पिघलती होती है तो मेरे लोवर पोर्षन में थिरकन सी होने लगती है। फिर वो नीचे हाथ करके मेरी पैंटी की भी डोरी खोलकर उसे फेंक देता है।
मैं महसूस करती हूँ की मेरे निप्पल्स बहुत ज्यादा टाइट हो रहे हैं, और फिर वो अपनी उंगलियों से मेरे निप्पल्स को पिंच करते हैं तो मैं दर्द से तड़प उठती हूँ- …आअह्ह्ह…”
मेरी नजर मोम की तरफ जाती है, तो मोम बारी-बारी दोनों का लण्ड चूस रही होती हैं।
और तभी अयाज एक उंगली मेरी चूत में डालकर उंगलीबाजी करने लगता है, और बीच-बीच में ‘जी-स्पाट’ को भी छूता है। कुछ ही मिनट में मैं अपना पानी छोड़ देती हूँ, जिसे वो रुमाल से साफ करता है और फिर अपना लण्ड निकालकर मुझे चूसने को कहता है। मैं देखते ही सहम जाती हूँ, उनके लण्ड का टाप बहुत ही ज्यादा मोटा और पत्थर जैसा होता है। मैं ऊपर से ही उनके लण्ड को चाटती हूँ, तो वो एकदम टाइट हो जाता है। फिर वो मेरे पैर फैलाता है और मेरी चूत से अपना लण्ड रगड़ता है, मुझे टीज करता है। मैं ऊपर की ओर अपनी गाण्ड उठाती हूँ, तो वो समझ जाता है की ये सही समय है, और मैं पूरी तरह से तैयार हूँ। फिर एक झटके से अपना लण्ड मेरी चूत में डाल देता है।
मैं ना चाहकर भी चीख पड़ती हूँ- “ओह्ह्ह… माँऽऽ मार डालाऽऽ…”
वो रुक जाता है। मैं थोड़ा ऊपर होकर देखती हूँ तो सिर्फ सुपाड़ा ही अंदर गया होता है। मैं उन्हें हटाने की कोशिश करती हूँ तो वो अपने दोनों हाथों से कसकर मेरे हाथ पकड़कर बेड पर टिका देता है। मैं कसकर बेडशीट को पकड़ लेती हूँ, तभी अचानक फिर से एक जोरदार झटका लगता है और मैं दर्द से बिलबिला जाती हूँ, मेरी आँखों से आँसू निकल आते हैं।
मोम और हैदर रुक कर हमें देखने लगते हैं।
तभी अयाज एक और झटका लगाकर रुक जाता है, तो उसका पूरा लण्ड मेरी चूत के अंदर चला जाता है। कुछ सेकेंड बाद सुपाड़े को छोड़कर पूरा लण्ड फिर से बाहर निकालता है और एक ही झटके में फिर अंदर डाल देता है।
मुझे लगता है जैसे उसका लण्ड मेरी चूत को चीर रहा है। मैं दर्द बर्दास्त करते हुए- “आह्ह्ह… आअह्ह्ह… उफफ्फ़… उफफ्फ़…” करती हूँ। ऐसा वो कोई बार करता है, और अब मैं भी नीचे से अपनी गाण्ड उठाकर उसे सपोर्ट करने की कोशिश करती हूँ
अयाज समझ जाता है की मैं तैयार हो गई हूँ और वो लण्ड डाले-डाले मेरी कमर में हाथ डालकर मुझे गोद में उठाकर खड़ा हो जाता है। मैं उसके गले में बाहें डालकर कस के पकड़ लेती हूँ और फिर वो मुझे उछाल-उछालकर लण्ड अंदर-बाहर करता है, 3-4 मिनट बाद वो मुझे फिर से लिटाकर फुल स्पीड में मुझे चोदने लगता है।
मैं- “आऽऽह्ह्ह… उफफ्फ़… उफफ्फ़…” करती रहती हूँ। मैं दो बार झड़ चुकी होती हूँ, और मेरा पानी मेरी जांघों पर बहने लगता है।
तभी अचानक उनकी स्पीड बढ़ जाती है और वो अंदर ही झड़ जाता है, मुझे महसूस होता है की मेरी चूत पूरी भर गई है उसके पानी से। फिर वो अपना लण्ड बाहर निकालता है। बाहर निकालते ही पक्क की आवाज आती है और उसका पानी मेरी जांघों पर बहने लगता है।
हम दोनों वहीं लेट जाते हैं और रिलैक्स होते हैं। एसी में भी मैं पशीने से तरबतर हो जाती हूँ।
उधर मोम बारी-बारी दोनों का लण्ड चूस रही होती हैं। मैं उठकर एक पेग बनाती हूँ, सिगरेट जलाती हूँ और मोम के पास आकर बैठ जाती हूँ। हैदर मोम की चूत सहलाने लगता है। मैं मोम को किस करती हूँ और अपने मुँह से उन्हें रेड वाइन पिलाती हूँ।
तभी फहीम कुछ आइस क्यूब लेकर आता है और मोम की चूत पर रगड़ने लगता है, और फिर वो आइस क्यूब को मोम की चूत में डाल देता है और मोम तिलमिला जाती हैं।
मोम बोलती हैं- मैं नहाने जा रही हूँ…”
मैं भी अपने रूम में नहाने चली जाती हूँ। फिर मैं नहाकर कपड़े पहनकर बाहर जाकर बालकोनी में चली जाती हूँ और सिगरेट जलाती हूँ और कश लेने लगती हूँ। मेरी बालकोनी के सामने 7वें फ्लोर पर एक अपार्टमेंट है, वहाँ खड़े लोग मुझे घूर रहे होते हैं।
तभी मोम आती हैं- “बेटा तैयार हो जा 10:30 बज चुका है…”
मैं- “हाँ मोम, होती हूँ…”
मोम कपड़े लेकर मेरे रूम में आ जाती हैं। पहले वो मुझे 3 इंच हील वाली सैंडल पहनाती हैं, फिर पेटीकोट और फिर ब्लाउज़। ब्लाउज़ इतना छोटा होता है की मेरी आधी चूचियां भी उसमें सही से नहीं आतीं, फिर साड़ी लपेटती हैं टाइट से। मैं मिरर मैं खुद को देखती हूँ, लुक्स स्टनिंग। मोम भी अपनी साड़ी ऐसे ही बांधती हैं। और तभी मोम के मोबाइल पर अकरम की काल आती है।
अकरम- “हेलो…”
मोम- “हेलो…”
अकरम- “जान तैयार हो गई? और वो लड़की आई की नहीं?”
मोम- “आ गई, हम दोनों तैयार हो रहे हैं…”
अकरम- “सुनो, ड्रेस सेक्सी स्टाइल में पहनना, उनको इंडियन औरतें बहुत पसंद हैं, इसलिए कुछ अच्छा सा मेकप कर लेना…”
मोम- “ओके… पर वो बुर्क़े क्यों भेजे हैं?”
अकरम- “उसे अपनी ड्रेस के ऊपर ढंग से पहन लेना, सिर्फ आँखें दिखनी चाहिए। 12:00 बजे मैं लेने आऊँगा और फिर उनकी प्रेस कान्फ्रेंस में तुम दोनों को छोड़ आऊँगा, ताकी कोई तुम लोगों को पहचाने नहीं…”
मोम- “ओके, हम तैयार हो जाएंगे…”
और फिर मोम मेरा मेकप करने लगती हैं, रेड लिपिस्टिक, काजल, आई सैडो, ब्लशर और फिर खुद का भी मेकप करती हैं। और खुद ब्लू कान्टैक्ट लेन्स लगमैंती हैं, शी लुक्स टू हाट। फिर पता नहीं क्या सोचती हैं और मेरी कमर में साड़ी में हाथ डालकर मेरी साड़ी 2½-3” इंच नीचे कर देती हैं और अपनी भी। जिससे हमारी चूत से दो इंच ऊपर से हमारा पूरा हिस्सा विजिबल हो जाता है। फिर वो मुझे बुर्क़ा देती हैं की इसे पहन लो। हम बुर्क़ा पहनते हैं, और चेहरे पर स्कार्फ भी बाँध लेते हैं। हमारी सिर्फ आँखें दिख रही होती हैं। फिर वो चूड़ियां लाती हैं, मुझे पहनाती हैं, और खुद भी पहनती हैं। हम पूरी तरह तैयार हो जाते हैं।
मैं- “मोम, आप तो हाट मुश्लिम लेडी लग रही हो…”
मोम- “मुझसे ज्यादा तो तू हाट लग रही है बेटी…”
फिर 11:50 बजे कालबेल बजती है। मोम दरवाजा खोलती हैं। ड्राइवर गेट पर खड़ा होता है, जो हमें लेने आया होता है। हम लोग दरवाजा लाक करके बाहर निकल जाते हैं। बाहर हमारे कुछ पड़ोसी होते हैं, पर हमें कोई पहचान नहीं पाता। बाहर एक आडी कार होती है, हम उसमें बैठ जाते हैं। जहां अकरम पहले से होता है। वो हमारी आँखों को देखता ही रह जाता है।
अकरम- “आज तो बिजली गिर जाएगी उन शेखों पर…”
हम दोनों अंदर ही अंदर मुश्कुराते हैं, हमारी गाड़ी एक सेवेन स्टार होटेल में रुकती है।
अकरम उतरता है और हमें भी उतरने को कहता है। फिर हम होटेल के अंदर जाते हैं। वहां एक प्रेस कान्फ्रेंसे चल रही होती है, जो थोड़ी देर बाद खतम हो जाती है। अकरम हमें उस शेख से मिलवाता है। वो 4 शेखों का ग्रुप होता है, वो एक-एक करके हमसे हाथ मिलाते हैं, और वेलकम बोलकर हमें बैठने को बोलते हैं। थोड़ी देर बाद जब वो फ्री होते हैं तो हमारे पास आकर बैठ जाते हैं, और पूछते हैं- “खाना खा लिया?”
हम ना में सिर हिलाते हैं।
वो एक बंदे को बुलाते हैं, और कहते हैं- “ये हमारी रिलेटिव हैं, इन्हें हमारे रूम में ले जाओ और इनकी खातिरदारी करो…”
वो बंदा हमें एक सूट में ले जाता है, वहाँ 42” इंच का एल॰ई॰डी॰ टीवी लगा होता है। मैं उसे ओन करती हूँ तो उसपर उनकी कान्फ्रेंस की सी॰डी॰ चल रही होती है। वो लोग बहुत अमीर थे। तभी दरवाजा खुलता है और वो अंदर आते हैं। उनके नाम काफी लंबे होते हैं, पर मैं शार्ट में बताती हूँ।
पहला- अल फैजन
दूसरा- हैदर
तीसरा- फहीम
चौथा- कबीर
पांचवां- अल अयाज।
वो हमसे हमारा नाम पूछते हैं।
मैं- “आई एम मोनिका…”
मोम- “आंड आई एम राखी…”
फैजन कहता है- “हमारे घर में आपका तहे दिल से स्वागत करते हैं…” उनमें से 3 अरबी ड्रेस में होते हैं, दो सूट में।
अयाज कहता है- “अब तुम लोग बुर्क़ा उतार दो…” और पूछता है- “कुछ पीना चाहोगी?”
मोम मेरी तरफ देखती हैं, और मैं बोलती हूँ- “आप जो चाहे मंगा लें…”
तब अयाज काल करके रेड वाइन और चिकन मंगाता है। वो सभी हट्टे-कट्टे होते है, 5’10” से 6’2” उंचाई तक।
तभी दरवाजा नाक होता है और हमारी ड्रिंक्स आ जाती है। मैं, मेरी मोम और जो दो बंदे सूट में होते है, मैं उनकी ड्रिंक बनाती हूँ। अभी तक मैंने और मेरी मोम ने हिजाब ही खोला होता है। हम दो-दो पेग पीते हैं। तभी हैदर और फहीम मुझे अपने पास बुलाते हैं तो मैं उठकर उन दोनों के बीच बैठ जाती हूँ।
हैदर अपने होंठों मेरे होंठों पर रखता है और किस करता है- “सस्स्स्स्शह वाट आ पैसिनेट किसिंग… सच बहुत मजा आता है।
फहीम का हाथ मेरी कमर पर आ जाता है।
तभी फैजन और कबीर बाहर चले जाते हैं, और अयाज मोम का बुर्क़ा उतार देता है, फिर साड़ी और पेटीकोट। ऐसा ही मेरे साथ भी होता है। अयाज मोम को गोद में उठाकर लाता है और बेड पर पटक देता है, और फिर तीनों हमें चूमने चाटने लगते हैं।
तभी अयाज उठता है, अपना बैग खोलता है और कुछ हाथ में लेकर बेड पर आता है। फिर हम दोनों को खड़ा कर देता है, वो हमारी कमर में एक चैन बांधता है, जिसमें एक छोटा सा हीरा लगा होता है। सच बहुत प्यारा सा था, उसका ये गिफ्ट। फिर अयाज मुझे बेड पर लिटाता है और मेरे ब्लाउज़ की सारी डोरियां खोलकर उसे उतार फेंकता है। फिर वो एक आइस क्यूब उठाता है और मेरे माथे और चूचियों पर रगड़ते हुए मेरी नाभि पर छोड़ देता है। जब वो आइस पिघलती होती है तो मेरे लोवर पोर्षन में थिरकन सी होने लगती है। फिर वो नीचे हाथ करके मेरी पैंटी की भी डोरी खोलकर उसे फेंक देता है।
मैं महसूस करती हूँ की मेरे निप्पल्स बहुत ज्यादा टाइट हो रहे हैं, और फिर वो अपनी उंगलियों से मेरे निप्पल्स को पिंच करते हैं तो मैं दर्द से तड़प उठती हूँ- …आअह्ह्ह…”
मेरी नजर मोम की तरफ जाती है, तो मोम बारी-बारी दोनों का लण्ड चूस रही होती हैं।
और तभी अयाज एक उंगली मेरी चूत में डालकर उंगलीबाजी करने लगता है, और बीच-बीच में ‘जी-स्पाट’ को भी छूता है। कुछ ही मिनट में मैं अपना पानी छोड़ देती हूँ, जिसे वो रुमाल से साफ करता है और फिर अपना लण्ड निकालकर मुझे चूसने को कहता है। मैं देखते ही सहम जाती हूँ, उनके लण्ड का टाप बहुत ही ज्यादा मोटा और पत्थर जैसा होता है। मैं ऊपर से ही उनके लण्ड को चाटती हूँ, तो वो एकदम टाइट हो जाता है। फिर वो मेरे पैर फैलाता है और मेरी चूत से अपना लण्ड रगड़ता है, मुझे टीज करता है। मैं ऊपर की ओर अपनी गाण्ड उठाती हूँ, तो वो समझ जाता है की ये सही समय है, और मैं पूरी तरह से तैयार हूँ। फिर एक झटके से अपना लण्ड मेरी चूत में डाल देता है।
मैं ना चाहकर भी चीख पड़ती हूँ- “ओह्ह्ह… माँऽऽ मार डालाऽऽ…”
वो रुक जाता है। मैं थोड़ा ऊपर होकर देखती हूँ तो सिर्फ सुपाड़ा ही अंदर गया होता है। मैं उन्हें हटाने की कोशिश करती हूँ तो वो अपने दोनों हाथों से कसकर मेरे हाथ पकड़कर बेड पर टिका देता है। मैं कसकर बेडशीट को पकड़ लेती हूँ, तभी अचानक फिर से एक जोरदार झटका लगता है और मैं दर्द से बिलबिला जाती हूँ, मेरी आँखों से आँसू निकल आते हैं।
मोम और हैदर रुक कर हमें देखने लगते हैं।
तभी अयाज एक और झटका लगाकर रुक जाता है, तो उसका पूरा लण्ड मेरी चूत के अंदर चला जाता है। कुछ सेकेंड बाद सुपाड़े को छोड़कर पूरा लण्ड फिर से बाहर निकालता है और एक ही झटके में फिर अंदर डाल देता है।
मुझे लगता है जैसे उसका लण्ड मेरी चूत को चीर रहा है। मैं दर्द बर्दास्त करते हुए- “आह्ह्ह… आअह्ह्ह… उफफ्फ़… उफफ्फ़…” करती हूँ। ऐसा वो कोई बार करता है, और अब मैं भी नीचे से अपनी गाण्ड उठाकर उसे सपोर्ट करने की कोशिश करती हूँ
अयाज समझ जाता है की मैं तैयार हो गई हूँ और वो लण्ड डाले-डाले मेरी कमर में हाथ डालकर मुझे गोद में उठाकर खड़ा हो जाता है। मैं उसके गले में बाहें डालकर कस के पकड़ लेती हूँ और फिर वो मुझे उछाल-उछालकर लण्ड अंदर-बाहर करता है, 3-4 मिनट बाद वो मुझे फिर से लिटाकर फुल स्पीड में मुझे चोदने लगता है।
मैं- “आऽऽह्ह्ह… उफफ्फ़… उफफ्फ़…” करती रहती हूँ। मैं दो बार झड़ चुकी होती हूँ, और मेरा पानी मेरी जांघों पर बहने लगता है।
तभी अचानक उनकी स्पीड बढ़ जाती है और वो अंदर ही झड़ जाता है, मुझे महसूस होता है की मेरी चूत पूरी भर गई है उसके पानी से। फिर वो अपना लण्ड बाहर निकालता है। बाहर निकालते ही पक्क की आवाज आती है और उसका पानी मेरी जांघों पर बहने लगता है।
हम दोनों वहीं लेट जाते हैं और रिलैक्स होते हैं। एसी में भी मैं पशीने से तरबतर हो जाती हूँ।
उधर मोम बारी-बारी दोनों का लण्ड चूस रही होती हैं। मैं उठकर एक पेग बनाती हूँ, सिगरेट जलाती हूँ और मोम के पास आकर बैठ जाती हूँ। हैदर मोम की चूत सहलाने लगता है। मैं मोम को किस करती हूँ और अपने मुँह से उन्हें रेड वाइन पिलाती हूँ।
तभी फहीम कुछ आइस क्यूब लेकर आता है और मोम की चूत पर रगड़ने लगता है, और फिर वो आइस क्यूब को मोम की चूत में डाल देता है और मोम तिलमिला जाती हैं।