Mastaram Stories हवस के गुलाम - Page 14 - SexBaba
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Mastaram Stories हवस के गुलाम

सलीम: पहले बता में तेरा क्या लगता हूँ?

अंजलि: चाअ…च्षा एम्म्म ह्म

अंजलि अपनी सिसकारियों को रोकने के लिए अपने होंठों को अपने मूह मे दबा ने लगती है..

सलीम: नहीं ये तो तुम घर मे सबके सामने वाला रिश्ता है..

अंजलि: क्या… क्या,.. म.. मत मतल.. ब…

सलीम: अभी तू मेरे साथ चुदाई कर रही है तो तेरा मेरा क्या रिश्ता है… तू किस रिश्ते से मेरे साथ चुदाई कर रही है.

अंजलि: जी… जी.. मे..

सलीम: देख अगर तू मेरे साथ सेक्स कर रही है तो में तेरा पति हुआ.. और अगर तू चुदाई कर रही है तो में तेरा यार हुआ.. या फिर तू कोई रंडी हुई.

अंजलि: नहीं. में.. नहीं हूँ…

सलीम: तो में तेरा पति हुआ तेरे जवाब के हिसाब से…?

अंजलि: नहीं.. बिल.. कुल नहीं..

सलीम:अच्छा तब तो में तेरा बाय्फ्रेंड हुआ..

अंजलि: नहिणीईीईईईईईई… आआअहह म्‍म्म्ममम उउउंम्म

अंजलि ऐसा बोलते हुए शरमाने लगती है इसके दो कारण हो सकते है एक तो वो सलीम को अपना बाय्फ्रेंड कहने पर शरमा गई हो दूसरा अभी-अभी नही बोलने के साथ ही अंजलि ने अपनी क़मर उपर तक उठा ली और उसका बदन अकड़ गया और सलीम की स्लो चुदाई में वो झड गयी इस लिए भी शरमा रही हो..

सलीम: अच्छा तू तो बहुत जल्दी झड गयी.. अगर ऐसे पानी छोड़ेगी तो 2 दिन चलने लायक नहीं छोड़ूँगा तुझे..

अंजलि सलीम के ऐसा बोलने से बुरी तरह से शरमाने लगती है.

सलीम: चल अब बता में तेरा बॉय फ्रेंड हूँ या पति.

अंजलि अपनी साँसे दुरुस्त करते हुए

अंजलि: जी... जी सिर्फ़ दोस्त.. और चाचा

सलीम: ठीक है इसका मतलब तू तेरे सभी दोस्तो से चुदवाती है.

अंजलि: प्लीज़ ये बकवास से सवाल बंद करो.. मुझे नहीं देने इन सब के जवाब.
 
सलीम: ठीक है इसका मतलब तू तेरे सभी दोस्तो से चुदवाती है.

अंजलि: प्लीज़ ये बकवास से सवाल बंद करो.. मुझे नहीं देने इन सब के जवाब.

सलीम झटके से अंजलि के बदन पर झुक कर अंजलि का गला दबा देता है. और बोलता है..

सलीम: मेरे सामने उँची आवाज़ की तो तेरी माँ चोद दूँगा. अगर मेरे सवाल तुझे इतने ही बुरे लग रहे है तो सीधा सा जवाब दे और मेरा मूह बंद कर दे.

अंजलि बुरी तरह से डर जाती है. साथ ही अब अंजलि को गुस्सा भी आजाता है.

सलीम:बता तू मेरे साथ सेक्स कर रही है या चुदाई?

अंजलि: तुम मुझे मारना चाहते हो ना लो मार लो मुझे. तुम जो कर रहे हो ना इसे ना तो सेक्स कहते है ना ही चुदाई इसे रेप कहते है

सलीम: बेहन की लोडी मतलब में तेरा रेप कर रहा हूँ. मतलब में एक बलात्कारी हूँ..

अंजलि गुस्से मे बोलती है..

अंजलि: हां तुम एक बलात्कारी हो..

सलीम: अभी रुक में तुझे बता ता हूँ कि बलात्कार किसे कहते है..

सलीम ऐसा बोल कर अंजलि के पैरों को चोडा करके अंजलि के उपर सवार हो जाता है. और जो ताबड तोड़ धक्के अंजलि की चूत में मारने लगता है. अंजलि का पूरा बेड हिल रहा था… चुउउ चुउउन चुउउ की जबरदस्त आवाज़ हो रही थी.. यहाँ तक कि अंजलि का सॉफ्ट सा गद्दा जब अंजलि की चूत में सलीम लंड पेलता तो अंजलि उस गद्दे में नीचे की और दब जाती तो फिर स्पॅंज की तरह उछल कर उपर आती.

सलीम की ऐसी भयंकर् चुदाई भी अंजलि को 1-2 मिनिट का दर्द देकर फिरसे असीम आनंद की ओर ले जाती है.

अंजलि: आआआः आअहह आहह ओह्ह्ह ओह्ह्ह म्‍म्म्मम एम्म्म एमेम न्नाअ चकाह हचहा..

सलीम बिना रुके बस ह्म ह्म्‍म्मह म्म्म की आवाज़ के साथ अंजलि को चोदे जा रहा था.

अंजलि सलीम का जोश देख कर शॉक हो जाती है. अंजलि मन ही मन सोच में पड़ जाती है कि इस उमर में भी सलीम का लंड लोहे की तरह कड़क है, उपर से पिछले 40-45 मिनिट से मेरी चुदाई कर रहा है लेकिन अभी तक झडा नहीं. कमाल का स्टॅमिना है बुड्ढे का.

अंजलि: सिसकारियाँ लेते हुए एक बार फिर से अपनी कमर उपर उठाने लगती है लेकिन सलीम अपनी रफ़्तार धीरे नहीं करता.. और सलीम के ज़ोर के आगे अंजलि की एक नहीं चलती. सलीम के धक्के अंजलि की गान्ड फिर से बेड पर नीचे और अंजलि झड़ने लगती है.. अंजलि के पैर काँपने लगते है ऐसे झड़ते हुए. अंजलि किसी लाश की तरह बिस्तर पर पड़ी थी और उसकी चूत सलीम के हर धक्के के साथ पानी बहा रही थी.

अंजलि के झड़ते ही सलीम एक बार फिर से धीरे हो जाता है.

सलीम: (अपनी साँस दुरुस्त करते हुए) देखा.. देखा (अंजलि का जबड़ा अपने हाथ से पकड़ते हुए) इसे कहते है रेप. मज़ा आया..

अंजलि आँख बंद कर के अपने ऑर्गॅज़म के नशे मे गुम थी. जब सलीम अंजलि से पूछता है कि उसे चुदाई मे मज़ा आया कि नही तो अंजलि के मूह से निकलता है..

अंजलि: ह्म बहुत..

अंजलि ये भूल जाती है कि वो किसे क्या जवाब दे रही है.. तभी अंजलि को एहसास होता है कि उसने क्या बोला. और आँखे बंद किए ही शरमा जाती है. आख़िर जो भी हो.. उसने बोला तो सच ही था.. अंजलि को मज़ा तो बहुत आया..
 
अंजलि ये भूल जाती है कि वो किसे क्या जवाब दे रही है.. तभी अंजलि को एहसास होता है कि उसने क्या बोला. और आँखे बंद किए ही शरमा जाती है. आख़िर जो भी हो.. उसने बोला तो सच ही था.. अंजलि को मज़ा तो बहुत आया..

सलीम: देख रंडी में कोई रेपिस्ट नहीं हूँ समझी. इसलिए मुझे कोई ऐसा रिश्ता बता जिसमे में तेरे साथ चुदाई कर सकूँ जब मेरी मर्ज़ी हो..

अंजलि सलीम की ओर बिना देखे बंद आँखे किए सलीम के बारे मे सोचने लगती है. काश ये मेरा पति होता. लेकिन मेरे पति तो देव है. इसे में बाय्फ्रेंड भी नहीं बना सकती. ना तो ये कोई यंग है ना ही कोई हॅंडसम है. दोस्त बनकर इसे रहना नही है और में कोई रंडी नहीं हूँ इसे क्या बोलूं अब..

सलीम: जल्दी बोलना मुझे तुझे और चोदना है..

अंजलि झुंझला कर सलीम से बोलती है..

अंजलि:सोचने तो दो.

सलीम: अब इसमे क्या सोचना. तूने मेरे साथ चुदाई क्या सोच कर की.

अंजलि: यही कि तुम मुझसे प्यार करते हो.

सलीम: वो तो में करता हूँ. क्यूँ तुम नहीं करती.

अंजलि शरमाते हुए दूसरी तरफ देखने लग जाती है और बोलती है.
अंजलि: अगर नहीं करती तो ये सब नहीं करती.

सलीम अंजलि की बात सुनकर उसका चेहरा अपनी ओर घुमाता है और पूछता है..

सलीम: क्या तू मुझसे प्यार करती है?

अंजलि कोई जवाब नहीं देती बिल्कुल खामोश रहती है.

सलीम: बोल ना रांड़ क्या तू मुझसे प्यार करती है.

अंजलि को सलीम का ये सवाल बचकाना लगता है तो वो झुंझला कर बोलती है

अंजलि: और नहीं तो क्या.. प्यार करती हूँ तभी तो तुम्हारे साथ ऐसे हूँ..

सलीम मुस्कुराता हुआ अपना चेहरा उपर की ओर उठा लेता है

अंजलि: अब मुस्कुरा क्यूँ रहे हो..

सलीम: जब तू मुझसे प्यार करती है और में भी तुहसे प्यार करता हू तो अपन दोनो बाय्फ्रेंड गर्लफ्रेंड हुए ना..

अंजलि सलीम की बात सुन कर फिर से शरमा जाती है और वो दूसरी तरफ ईीइसस्स्शह बोलते हुए मूह कर लेती है.

सलीम: लेकिन मुझे सिर्फ़ तेरा बाय्फ्रेंड नहीं बन ना.

अंजलि: क्या मतलब?
 
सलीम: मुझे सिर्फ़ तेरा बॉय फ्रेंड नहीं बन ना मुझे तेरा मालिक बन ना है. मुझे तुझ पर पूरा अधिकार चाहिए. तेरे उस नामर्द पति से भी ज़्यादा. और में तुझे भी वो हक़ खुद पर देना चाहता हूँ तेरा गुलाम बन कर..

अंजलि सलीम के मूह से ये बात सुनकर फिर से चोंक जाती है.. वो सलीम का मतलब समझ भी नहीं पाती कि सलीम क्या बोलना चाहता है.

अंजलि: सॉफ सॉफ बोलो ना आख़िर चाहते क्या हो.

सलीम: में सिर्फ़ इतना चाहता हूँ कि तू सिर्फ़ मेरी बन कर रहे, जैसा में कहूँ तू सिर्फ़ वैसा करे. जैसे में चाहू तू वैसे रहे. मेरी सारी ज़रूरते तू पूरी करे. तुझे कोई तकलीफ़ हो तो तू मुझे सब से पहले बताए. मेरे अलावा तू तेरे बदन को किसी और को हाथ तक नहीं लगाने दे. तू पूरी तरह से मेरी हो जाए में तेरा मालिक और तू मेरी गुलाम.
तू मेरी हवस और में तेरा गुलाम..

अंजलि हंसते हुए सलीम के एक गाल पर प्यार से हाथ फेरते हुए बोलती है..

अंजलि: अच्छा मेरे “हवस के गुलाम” लेकिन ये तो इंपॉसिबल है.. तुम तो मेरे सिर्फ़ बाय्फ्रेंड बने हो वो भी आज ही.. लेकिन जो मेरे पति है जिनसे मेरी शादी हुई है उन्हे में कैसे रोक सकती हूँ.

सलीम: क्या कहा तूने “हवस का गुलाम” हहेहहे कोई बात नहीं बोल ले. आज के बाद तुझे खुद हवस होगी और में तेरी हवस मिटाने वाला गुलाम. जिस दिन मुझे हवस चढ़ेगी उस दिन तू मेरी गुलाम..

अंजलि और सलीम दोनो सलीम की बात पर साथ हँसने लगते है..

सलीम: और रही बात तेरे पति की उसका उपाय भी में कर दूँगा लेकिन तू तैयार है ना मेरी गुलाम बन ने के लिए..

अंजलि सोचती है कि सलीम बस ऐसे ही बड बड़ा रहा है.. ऐसा वैसा कुछ होना नहीं है.. तो वो बेफ़िक़र होकर बोल देती है..

अंजलि: हां में तैयार हूँ: आज के बाद आप मेरे मालिक और में आपकी गुलाम.

सलीम: सोचले में तुझे अपनी बात से बदलने नहीं दूँगा.

अंजलि: पक्का.. नहीं बदलूँगी.

सलीम: तो फिर रुक सलीम अंजलि की चूत मे लंड डाले ही बेड के नीचे की तरफ अपना हाथ करता है तो उसे अपना पाजामा मिल जाता है. सलीम अपना पाजामा अंजलि के सामने लाकर उसमे से फोन निकालता है..

अंजलि सलीम के हाथ में फोन देख कर डर जाती है और डर कर बेड पर पड़ी चादर को पकड़ कर अपने शरीर पर खींच लेती है. अंजलि अपने बदन को चादर में छिपा लेती है.

अंजलि: ये क्या बदतमीज़ी है.. ये तुमने फोन क्यूँ निकाला है..?

(अंजलि बुरी तरह से डर जाती है)

सलीम: ये अरे ये तो इस लिए ताकि कल को तू तेरी बात से ना पलट जाए इसके कॅमरा में तुझे ये बोलना है कि तू आज से मेरी गुलाम है. में जैसा कहूँगा तू वैसा ही करेगी अगर तू वैसा करने में सफल नहीं हो पाई तो में मन मर्ज़ी तुझे कोई भी सज़ा दे सकने का हक़दार रहूँगा.

अंजलि: नहीं… कॅमरा नहीं…

सलीम: तो तू क्या घंटे का प्यार करती है. और घंटे का तुझ पर भरोसा करूँ. बड़े बुजुर्ग सही बोल गये है कि औरत जात का साला कभी भरोसा नहीं करना चाहिए. आज तो तू मेरे साथ मज़े मार रही है कल को तेरे पति को पता लग गया तो तू बोल देगी मेने तेरा रेप किया है और वो साला चूतिया तुझे चोदना भले ही ना जाने लेकिन भोषड़ी का बंदूक की गोली ग़रीबों की गान्ड मे अच्छे से ठोकना जानता है. मेरी तो वो एक बार थोक ही चुका है. बहनचोड़ इस बार तो फाड़ ही देगा ना..
अंजलि को सलीम की बात सुनकर हँसी आजाती है और वो धीरे से हंस देती है…

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जहाँ एक ओर अंजलि सलीम की पलंग तोड़ चुदाई चल रही थी वही दूसरी ओर पार्टी मे क्या चल रहा है चलो वो भी देख लेते है.
अदिति और पायल बाबू का लंड चूस रही थी. चूस क्या रही थी जंगली बिल्ली की तरह लड़ रही थी. पायल बाबू का सुपाडा मूह में ले रखी थी तो अदिति बाबू की गोटी...

पायल छोटी ज़रूर थी मगर जिद्दी थी. वो घर में भी ज़िद करके अपने पापा मम्मी से कुछ ना कुछ रोज मँगवाती रहती थी. बस अदिति को लंड के लिए ज़ोर ज़बरदस्ती करते देख पायल ने थोड़ा सा ज़ोर लगा कर अदिति को साइड में कर दिया और फिर बाबू का लंड मूह मे ले लिया और लगी चूसने.

अदिति गिरते ही पायल से लड़ने वाली थी कि पूजा ने अदिति का हाथ पकड़ कर रोक लिया और उसे आँख मार दी. अदिति कुछ समझी नहीं लेकिन पूजा की आँख मारने का मतलब सॉफ था कि कुछ ना कुछ शरारत तो वो ज़रूर करेगी.

अदिति पायल को अच्छे से जानती थी. उसके घर परिवार, यार दोस्त सब अदिति की नज़रों में थे तो वो जानती थी कि पायल कितनी शरीफ है. उसकी शराफ़त के चक्कर में उसके पापा कयि बार उसकी गान्ड मार लेते थे(मेरा मतलब पिटाई से है )

अदिति पूजा के कहने पर उठ जाती है. और पायल को बाबू के साथ फ्री छोड़ देती है. अदिति अपना कॅमरा निकाल कर पायल का वीडियो बनाना वाली होती है कि पूजा मना कर देती है.

अदिति: बनाने दे ना. इसकी शराफ़त इसके घरवालो को भी तो पता चले.

पूजा: (धीरे-धीरे अदिति के कान में बोलती है)

पहली बात तो ये कि तेरा मोबाइल खच्छर है जिसमे वीडियो ठीक से नही बनेगी. ये ले मेरा मोबाइल ले और इसमे बना. दूसरी बात तू कितना छोटा सोचती है.

अदिति: तुझे क्या मालूम इस के चक्कर में में कितनी बार मरी हूँ.

पूजा: तभी तो तू कितनी बार मरी और ये बस एक बार अपने घर वालो से डाँट खाएगी. ज़्यादा से ज़्यादा क्या होगा इसके घर वाले इसे घर से बाहर नहीं निकलने देंगे और फिर इसकी शादी करदेंगे.

अदिति: मतलब?

पूजा:मतलब ये कि जब तू सौ बार मरी इसकी वजह से तो तू इस एक बार में क्यूँ मार रही है. मज़ा तो तब है जब तू इस से मूल के साथ ब्याज भी ले.

आडिट: वो कैसे?

पूजा: तुझे तेरा बदला लेना है ना?
 
अदिति: हां (पूजा की तरफ उम्मीद की नज़र से देखती है)

पूजा: ऐसे मत देख मुझे ठरक चढ़ जाती है..

अदिति: हंसते हुए शट अप हाँ.. चल बता ना .. कैसे.

पूजा अदिति के कान मे कुछ बोलती है. जिसे सुनकर अदिति का मूह बड़ा सा खुल जाता है और वो पूजा की तरफ देख कर मना करती है. पूजा अदिति की तरफ मोटी-मोटी आँख निकालती है.

अदिति: नहीं यार.. वो(कुछ बोलने ही वाली थी कि पूजा)

पूजा: जब तेरी इतनी गान्ड फट ती है तो तू क्यूँ बदला लेने के ख्वाब देखती है.

अदिति इस बार कुछ नहीं बोलती.

पूजा: ठीक है अगर तू मेरा साथ नहीं देना चाहती तो फिर तुझे जो सही लगे वो कर.

पूजा इतना बोल कर वहाँ से निकलने वाली ही थी कि अदिति पूजा का हाथ पकड़ कर रोकती लेती है.

अदिति: ठीक है में तैयार हूँ लेकिन वद कर कुछ ग़लत नहीं होगा.

पूजा: पक्का वादा.

अदिति पायल का लंड चूस्ते हुए वीडियो बनाने लगती है. और तो और वो उस वीडियो मे ना तो बाबू का चेहरा आ रहा था और ना ही साक्षी का.

बस पायल बाबू का लंड चूस रही थी वीडियो मे उसके मासूम से चेहरे पर सॉफ-सॉफ हवस देखी जा सकती थी. वैसे भी पायल बड़े नादान तरीके से जीभ निकाल कर कभी चाट रही थी तो कभी बाबू के लंड को घप से मूह में ले कर चूस रही रही थी.

थोड़ा सा वीडियो मतलब यही कोई 5-7 मिनिट का पूजा अदिति को फिर से कान में 4 ड्रिंक लाने को बोलती है और अदिति के हाथ में एक छोटा सा डिब्बा देती है जिस पर कोई नाम नहीं लिखा था. उस डीब्बे मे से 2-2 टॅबलेट डाल कर 2 स्पेशल ड्रिंक लाने को अदिति को बोल देती है.

अदिति पूछती है

अदिति: ये टॅबलेट?

पूजा: नींद की है.

अदिति: किसके लिए?

पूजा: इन दोनो बहनो के लिए वरना ये दोनो कबाब मे हड्डी बन जाएँगी. (आरती और कामया की तरफ इशारा करते हुए)

अदिति: ओह्ह्ह्ह अभी लेकर आई.

अदिति चार ड्रिंक बनाती है जिनमे केवल सॉफ्ट ड्रिंक थी. अब वहाँ पर दारू की कोई भी बॉटल नहीं थी. अदिति कुछ सोच कर 2-2 टॅबलेट 2 ड्रिंक में डाल देती है. और बाकी 2 ड्रिंक समझदार बनते हुए अपनी ओर कर लेती है. फिर वो उस दवा के डिब्बे को दम लगा कर बंद कर देती है.

अभी कोई 2 कदम ही चली थी कि अदिति मन में सोचती है.. ये नींद की टॅबलेट मेरे बहुत काम आएँगी.मम्मी और भैया को रात को सुलाने के काम आएँगी. और हल्की सी शैतानी हँसी हँसती है. वो वापस काउंटर की ओर मूड कर ट्रे को काउंटर पर रख कर दवा का डिब्बा खोलने लगती है.

अभी जितना गान्ड का ज़ोर लगा कर डब्बा बंद किया था अब उतना ही ज़ोर खोलने मे लगा ना पड़ रहा था उपर से उसे किसी और के आने की चिंता भी थी. सो वो जल्द बाजी करने लगी और इसी जल्द बाजी मेंडिब्बा एक दम से खुल जाता है. अदिति को हलका सा झटका लगता है और 8-10 गोलिया डिब्बे से उछल जाती है. और ट्रे और ट्रे की आस पास बिखर जाती है.. अदिति 5-6 टॅब्लेट्स को उठा कर अपनी जेब में रखने लगती है. और ट्रे में गिरी हुई टॅबलेट उठा ने लगती है कि पूजा वहाँ आजाती है. पूजा आहिस्ते से अदिति के लेफ्ट कंधे पर हाथ रखती है कि अदिति की साँस एक दम से उपर चढ़ जाती है. और वो एक दम से पलट कर देखती है.
 
अदिति: तूमम्म्म. ओह थॅंक्स गॉड में तो डर गयी थी.

पूजा: कोई इतना टाइम लगाता है क्या ड्रिंक्स लाने मे?

अदिति: अरे यार ये डिब्बा खुल ही नहीं रहा था.

पूजा: इसका मतलब अभी तक टॅबलेट नहीं डाली.

अदिति: (मुस्कुराते हुए)डाल दी

तभी पीछे से आवाज़ आती है क्या डाल दी??? ये कोई और नहीं कामया थी जो पूजा और अदिति को साथ देख कर उनके पास चली आई.

अदिति: कुछ नहीं.. वो कुछ भी तो नहीं. (जल्दी से वो टॅबलेट का डिब्बा अपनी जीन्स के पीछे वाले पॉकेट में डाल लेती है)

पूजा: पागल ऐसे क्यूँ घबरा रही है. वो कामया क्या है ना ये यहाँ ड्रिंक्स लेने आई थी. लेकिन इसे ना अकेले पीने में ज़ोर पड़ रहा था तो इसने अपने चारों के लिए बना ली.

कामया: चार? कॉन चाऱ?

पूजा: कों चार क्या? तुम, में , ये बेवकूफ़ और आरती

कामया : और वो दोनो (पायल और साक्षी की तरफ इशारा करते हुए)

पूजा: (शैतानी हँसी हंसते हुए) देख नहीं रही वो अभी कुछ और पीने में बिज़ी है.

तभी बीच में अदिति

अदिति: वो दोनो नहीं तीनो पीने मे बिज़ी है.

पूजा और कामया पलट कर देखते है कि
पायल नीचे बाबू का लंड चूस रही थी और साक्षी उपर गर्दन कर सिसकियाँ ले रही थी और बाबू साक्षी की गोरी सुडोल चूंचियाँ पीने में व्यस्त था.

अदिति की बात सुनकर और मोका या वारदात देख कर तीनो हँसने लगती है. इसी बीच पूजा थोड़ी सी चालाकी दिखाते हुए चारो ग्लासो मे 1-1 टॅबलेट जो ट्रे में थी उन्हे ग्लास में डाल देती है. मज़े की बात ये है कि बेवकूफ़ कामया ने ट्रे पर ध्यान ही नहीं दिया.

अदिति ट्रे उठा कर पूजा और कामया की तरफ कर देती है कामया एक ग्लास जो राइट साइड उपर की तरफ था उसे उठा लेती है. ये वही ग्लास था जिस मे अदिति ने 2 टॅबलेट मिलाई थी. और उसके जस्ट नीचे वाला ग्लास पूजा उठा लेती है.

आडिट ये देख कर खुश हो जाती है कि कामया ने नींद की गोली वाला ग्लास ले लिया अब अदिति आरती की तरफ जाने लगती है कि कामया अदिति को रोक लेती है और दूसरा वाला ग्लास जिसमे अदिति ने 2 टॅबलेट डाली थी वही उपर वाला उसे उठा कर बोलती है कि…

कामया: आरती को मे दे आती हूँ. पागल पता नहीं कब्से ये सब करने लगी है.

अदिति स्माइल के साथ कामया को वो ग्लास दे देती है.

आडिट अपनी कामयाबी पर इतनी खुश थी कि 2 घूँट में अपना ग्लास खाली कर देती है. अदिति की खुशी देख कर पूजा अदिति को अपना ग्लास भी दे देती है और बोलती है.

पूजा: ये जाम मेरी तरफ से तेरा बदला और हमारी दोस्ती के नाम.

अदिति लेने से मना करती है लेकिन पूजा खुद अपने हाथ से अदिति की ना नुकुर को नज़रअंदाज़ करे हुए अदिति को पिला देती है.
 
अदिति लेने से मना करती है लेकिन पूजा खुद अपने हाथ से अदिति की ना नुकुर को नज़रअंदाज़ करे हुए अदिति को पिला देती है.

अब एक नज़र उस सीन पर डालते है जब अदिति ने डिब्बा खोला था. दरअसल उस वक़्त एक गोली टिप खा कर जो ग्लास पूजा के हाथ मे था उस ग्लास में गिर गयी थी. लेकिन पूजा और अदिति दोनो इस बात से अंजान थी. उपर से पूजा ने एक गोली और डाल दी थी जिसके डर से पूजा वो ग्लास पीने से कतरा रही थी और चालाकी दिखाते हुए पूजा ने वो ग्लास अदिति को पिला दिया.

अभी थोड़ी ही देर हुई थी कि. अब साक्षी बाबू को खुद से दूर कर देती है और पायल को बाबू के लंड से हटा देती है. पायल नशे में चूर थी. साक्षी पायल के गालों को दोनो तरफ से पकड़ कर पायल के गुलाबी होंठों पर अपने होंठ रख देती है. साक्षी सेक्स के नशे में इस कदर खो गयी थी कि वो पायल को किस करते हुए पायल के कपड़े उतार ने लगी.

पायल को इतना भी होश नहीं था कि क्या करे.

तभी पूजा आरती और कामया के पास जा कर.

पूजा: डार्लिंग यहाँ खड़ी-खड़ी यूँ ही बोर होती रहोगी या फिर थोड़ा बहुत फन भी करोगी.

दोनो बहने पूजा की ओर ? क्वेस्चन मार्क की नज़र से देखती है.

पूजा: अरे यार… (सर पर हाथ लगाते हुए) बेवकूफो उन दोनो की मदद करनी है चलो.

पूजा कामया और आरती का हाथ पकड़ कर साक्षी और पायल की ओर जाने लगती है तब तक अदिति भी उन तीनो के साथ हो जाती है पूजा पायल के कपड़े उतारने लगती है जब कि आरती और कामया दोनो डरते डरते साक्षी के कपड़े उतारने लगती है.

साक्षी आरती के मासूम चेहरे को देख कर आरती को अपने करीब खींचती है और आरती के गुलाबी होंठ एक बार में अपने होंठों के बीच क़ैद करके चूसने लगती है.

कामया साक्षी को ऐसा करता देख एक बार तो हक्की बक्की रह जाती है लेकिन अगले ही पल मुस्कुराते हुए वो साक्षी के बचे खुचे कपड़े भी उसके बदन से अलग कर ने लगती है.

लड़कियाँ अभी आपस में ही लगी थी कि बाबू अदिति को पीछे से पकड़ लेता है.

अदिति बाबू के इस अचानक हमले से बोखला जाती है और उसके मूह से एक आ निकल जाती है (हल्के से नहीं ज़ोर से)
अदिति: आउच
 
पूजा और बाकी लड़कियाँ अदिति की आह सुन कर अदिति की ओर देखती है और जब अदिति को बाबू की बाहों में देखती है तो सभी एक दूसरे की ओर देख कर मुस्कुरा पड़ती है.

डीजे पर जहाँ एक ओर गाने बज रहे थे वहीं दूसरी और पायल,साक्षी और पूजा, आरती, कोमल एक दूसरे के कपड़े उतारने में लग गयी थी.

और बाबू जिसे साक्षी और पायल ने बहुत पहले ही गरम कर दिया था वो अब अदिति को बाहों में क़ैद करके अदिति के कपड़े उतारने में जुट गया.

अदिति बाबू की बाहों में छूटने के लिए मचल रही थी लेकिन बाबू तो बाबू नशे मे भी ऐसे पकड़ रखा था कि क्या बताऊं. अदिति की हर कोशिश नाकाम हो गई तो अदिति ने पूजा ऑर बाकी लड़कियों से मदद माँगने के लिए पीछे मूडी बस यही ग़लती हो गई. अदिति ने पीछे मूड कर देखा तो सभी लड़किया एक दूसरे के कपड़े उतारने मे लगी थी.. जिनमे से पायल और साक्षी तो कब की नंगी खड़ी थी. और कामया पेंटी और ब्रा में थी. पूजा ब्रा और पेंट में खड़ी थी. आरती और कामया पूजा की पेंट उतार रही थी.

तभी बाबू ने साक्षी को पीछे से पकड़ उसकी टॉप उपर की ओर खींच ने लगा . अदिति इतना सब कुछ देख चुकी थी कि उसे यही समझ नहीं आ रहा था उपर से बाबू ने उसका टॉप उसके गले तक कर दिया.. अदिति ने चुप चाप हाथ उपर कर लिए . बाबू टॉप उतार लिया बस इतनी ही देर में जब बाबू के हाथ टॉप के साथ बिज़ी हो गये अदिति बाबू की पकड़ से छूट कर लड़कियों की ओर भाग गयी.

जैसे ही वो लड़कियों की ओर पहुँची. पूजा ने पासा पलटा और अदिति को पकड़ कर बाकी लड़कियों के सामने करके हड़काया.

पूजा: कमीनियों तुम लोगों को ये नहीं दिख रही जिसने ठीक से जवानी के मज़े भी नहीं लिए. मेने तो इतना घोटा है कि तुम लोगो जैसे 4 निकल जाए. इसके उतारो ना कपड़े.

बस फिर क्या था पूजा की बात सुनते ही पायल साक्षी आरती और कामया ने मिलकर अदिति को भी भरी सभा में नंगा कर दिया.

जब अदिति भाग कर लड़कियों की ओर गयी तो बाबू अपना लंड हाथ में लिए अदिति का टॉप ज़ोर से सूंघ रहा था. उसमे अदिति के पसीने और उसके पर्फ्यूम की मिली जुली खुश्बू थी. उस खुश्बू ने बाबू को और भी पागल कर दिया.

जब सभी नंगी हो गईं और पूजा की ओर बढ़ी तो पूजा ने सभी को रोका और बोला..

पूजा: रूको कमीनियों अगर में भी नंगी हो गई तो हम मज़े कैसे लेंगे.

साक्षी ने पूजा की ओर गंभीरता से देखा .

पूजा: अरे वो बुड्ढ़ा उपर भाभी के पास गया हुआ है. काफ़ी टाइम हो गया या तो वो अकेला नहीं तो फिर भाभी के साथ कभी भी आ सकता है. तो में उसे देखने जाती हूँ. अगर नंगी गयी और उसने या भाभी ने देख लिया ना तो अपनी पानी छोड़ती चूत को बिना लंड के घर ले जाना और उंगली वाली उंगली और मूली वाली मूली ठुसना. मेरा क्या है मेरे तो कयि यार है किसी को भी बुला कर ठुका लूँगी.
 
साक्षी ने पूजा की ओर गंभीरता से देखा .

पूजा: अरे वो बुड्ढ़ा उपर भाभी के पास गया हुआ है. काफ़ी टाइम हो गया या तो वो अकेला नहीं तो फिर भाभी के साथ कभी भी आ सकता है. तो में उसे देखने जाती हूँ. अगर नंगी गयी और उसने या भाभी ने देख लिया ना तो अपनी पानी छोड़ती चूत को बिना लंड के घर ले जाना और उंगली वाली उंगली और मूली वाली मूली ठुसना. मेरा क्या है मेरे तो कयि यार है किसी को भी बुला कर ठुका लूँगी.

आरती और कामया पूजा की इस बात पर धीरे-धीरे हँसने लगती है. और साक्षी और पायल दोनो सीरीयस होकर ठीक है जाओ बोलकर बाबू की ओर जाने लगती है कि..

पूजा: साक्षी अदिति तुम दोनो ज़रा यहाँ आओ.

पायल: और मे?

पूजा: तू बाबू के पास जा वरना वो हमारे पास आजाएगा.

एक बार फिरसे सभी लड़कियाँ हँसने लगी और अब तो बाबू का लंड चूसने के बाद पायल भी थोड़ा बहुत ओपन हो गयी थी. तो पायल बाबू की ओर जाने लगी..

पूजा: साक्षी और अदिति तुम दोनो पायल को कैसे भी करके बाबू के लोड्‍े की सवारी करवा दो तब तक में उन दोनो के देख के आती हूँ कि वो लोग कब तक आएँगे.

अदिति और साक्षी दोनो हां मे मुन्डी हिला कर आरती और कामया को लेके बाबू के पास चल देती है. तभी कामया बोल पड़ती है..

(इस वक़्त सभी लड़कियाँ कुछ पूरी तरह से नंगी तो कुछ सेमी न्यूड थी)

कामया: सुनो साक्षी… क्यूँ ना बाबू को तुम लोग आरती के रूम मे ले चलो. वो रूम यहाँ नीचे ही है और फिर भाभी अगर आ भी गयी तो हम मे से यहाँ पर कोई नहीं होगा.

आरती: हाँ हां ये बिल्कुल ठीक रहेगा.

अदिति बिना कपड़ो के खुद को अनकंफर्टबल फील कर रही थी.आख़िर हो भी क्यूँ ना बाबू ने तो सिर्फ़ उसका टॉप उतारा था लेकिन यहाँ पर लड़कियों ने तो पूरे कपड़े ही उतार लिए थे.

साक्षी भी आरती और कामया से सहमत हो जाती है और बाबू के पास चली जाती है. जहाँ बाबू पायल के कच्चे टिकोरे (अरे यार ये कोमल रानी जी की जो छुटकी ननद है ना गुड्डी उसका नशा उतरता ही नहीं) पायल के छोटे छोटे संतरों जैसी जवान हुई चुचियों का रस पान कर रहा था और पायल लंबी लंबी साँस ले रही थी.

तभी वहाँ पर साक्षी जाती है और पायल को बाबू से थोड़ा सा दूर करती है और बाबू से बोलती है.

साक्षी: जिनमे से दूध नहीं निकलता उन्हे चूसने से क्या फ़ायदा बाबू.

बाबू: तो आप दे दीजिए ना दूध.

साक्षी: में क्यूँ दूं? इसी का पीना दूध लेकिन दूध निकालने के लिए मेहनत करनी पड़ती है समझे. और अगर सच मे वो मेहनत करना चाहते हो तो हमारे पीछे-पीछे चले आओ.
 
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