hotaks444
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ऐसा सीन देख के मेरी हालत तो खराब हो चुकी थी, पर मैं ललिता को आँखों में नहीं देख सकता था... मैने टेढ़ी नज़र से देखा ललिता को, उसकी हालत भी खराब लग रही थी... उसका चेहरा पूरा पसीने से भीग चुका था, और उसने अपने हाथ अपने शॉर्ट्स की पॉकेट में डाल रखे थे..... इससे ज़्यादा नोट नहीं कर पाया मैं और फिर वापस अंदर देखने लगा..
"भाई... आइ कन्नोट स्टॅंड अनीमोर प्लीज़.. मैं जाउ" ललिता ने इनोसेंट्ली कहा
"क्यूँ.. रुक अभी, मैन चीज़ तो सुननी है, आंड मैं कंट्रोल करके खड़ा हूँ ना, तू भी कंट्रोल कर.." मैने हल्की सी हँसी के साथ ललिता का मज़ा लेते हुए कहा.. हम फिर अंदर देखने लगे..
"अरे मेरी रंडियों... अभी हमारा लंड कौन खड़ा करेगा, हमारा तो माल ही निकल गया..." विजय अपना मुरझाया हुआ लंड हाथ में लेके बोलने लगा सामने बैठी औरतों से
"हम करेंगे जी.. और कौन करेगा... अभी रुकिये..." ये कहके शन्नो अंशु और पूजा तीनो बेड पे अपनी दोनो घुटनो के बल खड़े हो गये और एक दूसरे को चूमने लगे.. तीनो जान एक दूसरे के होंठों को चूमने लगे, कोई किसी के चुचे मसलता , तो कोई किसी के निपल्स के साथ खेलता.. लेकिन तीनो ने अपनी अपनी उंगलियाँ भी एक दूसरे की चूत में डाल रखी थी और एक दूसरे को चोदे जा रहे थे... जहाँ तीनो की गति तेज़ होती जा रही थी वहीं वो एक दूसरे को आँखों में आँखें डाले देखते जा रहे थे
"उउउम्म्म्म आहहाहहा.. मेरी रंडी मा, मदरजात मासी अहहाहाः.... तुम्हारी मा के भोस्डे में गधे का लंड डालूं बेन्चोद अहहहहा... अभी देखो... " ये कहके पूजा ने शन्नो और अंशु को बेड पे धक्का देके सुला दिया और उनकी चूत में दोनो हाथों की तीन तीन उंगलियाँ घुस्सा दी और उन्हे तेज़ी से चोदने लगी
"अहहहहहा उहन्न अहहहहा.... अब बोलो भैन की लोड़ियों अहहहहहा.... और बोलो भडवि माँ आआहाहा... मेरी रांड़ मासी उहहुहह अहहहहहा.....एयहहा आयआःहाहा आहाहहा.. और चोद बेटी अहहहहहा अहहहः यआःा फक मी डॉटर अहहहहहा.... फक मी स्लट अहहहहहहा फास्टर फास्टर आहाहा यआःाहहहा.... कम ऑन अहहहहहा और चोद ना साली दम नहीं है क्या अहहहहहा.. हाँ मेरी रांड़ मौसी ये ले अहहहहहहा..." अंशु शन्नो और पूजा पागल से बन गये थे और अब अंशु ने 4 उंगलियाँ उन दोनो की चूत में डाल दी थी.... चूत का भोसड़ा बन चुका था देखा जाए तो... पूजा सामने बैठे विजय और अपने बाप को देखे जा रही थी, बदले में वो भी अब खड़े हो चुके थे अपने तने हुए लंड के साथ... आगे आके बेड पे वो लोग भी सेट हो गये, और अपने मर्दों का इशारा समझ के पूजा ने अपने हाथ दोनो की चूत से बाहर निकाला और उन दोनो का पानी अपने मर्दों के मूह में दे दिया... पूजा का हाथ निकलने से अंशु और शन्नो को थोड़ी राहत मिली, पर ज़्यादा देर तक नहीं.. विजय और पूजा के बाप ने अपने गधे जैसे लंड को उनकी चूत पे सेट किया और धददड़ चोदने लगे.... अंशु विजय से चुदवा रही थी और शन्नो पूजा के बाप से.. पूजा अब दोनो मर्दों का साथ दे रही थी... कभी किसी के होंठ चूमती, तो कभी किसी के निपल्स मूह में लेती...
इधर दोनो मर्द अपना अपना लंड किसी मशीन की तरह चला रहे थे, वहीं पूजा अब अपनी चूत फेला के अपनी माँ के उपर बैठ गयी और उससे अपनी चूत चटवाने लगी...और अपने एक हाथ की उंगली शन्नो के मूह में डाल दी...
"अहहहहहः चाट ले मेरी चूत मेरी माँ अहहहाहा.... अहाहहाः मासी, मेरी उंगली को लंड समझ ले ना अहहहाहा... अहहहहा और चोदो इन दोनो को साले भडुओ अहहहा......" कहके पूजा रंडीपन्ति पे उतर आई थी
"अहहाहा... और चोद अपनी जीभ से अहहहः.. मेरी मा रंडी साली अहहौमम्म्मम...... और चोद ना मेरे बाप अहहहा.. साले दम नहीं है क्या छक्के साले अहहहा.... अपना मूसल पेल दे इस रांड़ के अंदर अहहहा.. अपनी साली को चोद भडवे अहहहहा..... और मेरे मौसा साले, तू क्या अपनी बेटी ललिता को चोद रहा है क्या साले अहहहहा... रहम मत कर इन आआहा उफफफफफ्फ़ ओमम्म्मममम इन रंडियों पे अहाहाहा.... और चोदो भैनचोद अहहहहः... इनकी माँ चोद डालो, इनकी बेटी चोदो अहहहा...... ज़िंदगी में अब से बस चुदाई ही करनी है अहहहहा... पूरी ज़िंदगी आश कुत्तों आहहहा.. हाआँ मेरी माँ अहहहहा और ज़ोर से चोद ना अपनी बेटी को औआ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह ओउफ़फ्फ़.... मैं जा रही हूँ माआहाः अहहहा....." कहके पूजा झड़ने लगी और जैसे ही वो झड़ी, अंशु के उपर से उठके अपनी चूत शन्नो के मूह पे रख दी और अपना पानी उसे पिला दिया..
"भाई... आइ कन्नोट स्टॅंड अनीमोर प्लीज़.. मैं जाउ" ललिता ने इनोसेंट्ली कहा
"क्यूँ.. रुक अभी, मैन चीज़ तो सुननी है, आंड मैं कंट्रोल करके खड़ा हूँ ना, तू भी कंट्रोल कर.." मैने हल्की सी हँसी के साथ ललिता का मज़ा लेते हुए कहा.. हम फिर अंदर देखने लगे..
"अरे मेरी रंडियों... अभी हमारा लंड कौन खड़ा करेगा, हमारा तो माल ही निकल गया..." विजय अपना मुरझाया हुआ लंड हाथ में लेके बोलने लगा सामने बैठी औरतों से
"हम करेंगे जी.. और कौन करेगा... अभी रुकिये..." ये कहके शन्नो अंशु और पूजा तीनो बेड पे अपनी दोनो घुटनो के बल खड़े हो गये और एक दूसरे को चूमने लगे.. तीनो जान एक दूसरे के होंठों को चूमने लगे, कोई किसी के चुचे मसलता , तो कोई किसी के निपल्स के साथ खेलता.. लेकिन तीनो ने अपनी अपनी उंगलियाँ भी एक दूसरे की चूत में डाल रखी थी और एक दूसरे को चोदे जा रहे थे... जहाँ तीनो की गति तेज़ होती जा रही थी वहीं वो एक दूसरे को आँखों में आँखें डाले देखते जा रहे थे
"उउउम्म्म्म आहहाहहा.. मेरी रंडी मा, मदरजात मासी अहहाहाः.... तुम्हारी मा के भोस्डे में गधे का लंड डालूं बेन्चोद अहहहहा... अभी देखो... " ये कहके पूजा ने शन्नो और अंशु को बेड पे धक्का देके सुला दिया और उनकी चूत में दोनो हाथों की तीन तीन उंगलियाँ घुस्सा दी और उन्हे तेज़ी से चोदने लगी
"अहहहहहा उहन्न अहहहहा.... अब बोलो भैन की लोड़ियों अहहहहहा.... और बोलो भडवि माँ आआहाहा... मेरी रांड़ मासी उहहुहह अहहहहहा.....एयहहा आयआःहाहा आहाहहा.. और चोद बेटी अहहहहहा अहहहः यआःा फक मी डॉटर अहहहहहा.... फक मी स्लट अहहहहहहा फास्टर फास्टर आहाहा यआःाहहहा.... कम ऑन अहहहहहा और चोद ना साली दम नहीं है क्या अहहहहहा.. हाँ मेरी रांड़ मौसी ये ले अहहहहहहा..." अंशु शन्नो और पूजा पागल से बन गये थे और अब अंशु ने 4 उंगलियाँ उन दोनो की चूत में डाल दी थी.... चूत का भोसड़ा बन चुका था देखा जाए तो... पूजा सामने बैठे विजय और अपने बाप को देखे जा रही थी, बदले में वो भी अब खड़े हो चुके थे अपने तने हुए लंड के साथ... आगे आके बेड पे वो लोग भी सेट हो गये, और अपने मर्दों का इशारा समझ के पूजा ने अपने हाथ दोनो की चूत से बाहर निकाला और उन दोनो का पानी अपने मर्दों के मूह में दे दिया... पूजा का हाथ निकलने से अंशु और शन्नो को थोड़ी राहत मिली, पर ज़्यादा देर तक नहीं.. विजय और पूजा के बाप ने अपने गधे जैसे लंड को उनकी चूत पे सेट किया और धददड़ चोदने लगे.... अंशु विजय से चुदवा रही थी और शन्नो पूजा के बाप से.. पूजा अब दोनो मर्दों का साथ दे रही थी... कभी किसी के होंठ चूमती, तो कभी किसी के निपल्स मूह में लेती...
इधर दोनो मर्द अपना अपना लंड किसी मशीन की तरह चला रहे थे, वहीं पूजा अब अपनी चूत फेला के अपनी माँ के उपर बैठ गयी और उससे अपनी चूत चटवाने लगी...और अपने एक हाथ की उंगली शन्नो के मूह में डाल दी...
"अहहहहहः चाट ले मेरी चूत मेरी माँ अहहहाहा.... अहाहहाः मासी, मेरी उंगली को लंड समझ ले ना अहहहाहा... अहहहहा और चोदो इन दोनो को साले भडुओ अहहहा......" कहके पूजा रंडीपन्ति पे उतर आई थी
"अहहाहा... और चोद अपनी जीभ से अहहहः.. मेरी मा रंडी साली अहहौमम्म्मम...... और चोद ना मेरे बाप अहहहा.. साले दम नहीं है क्या छक्के साले अहहहा.... अपना मूसल पेल दे इस रांड़ के अंदर अहहहा.. अपनी साली को चोद भडवे अहहहहा..... और मेरे मौसा साले, तू क्या अपनी बेटी ललिता को चोद रहा है क्या साले अहहहहा... रहम मत कर इन आआहा उफफफफफ्फ़ ओमम्म्मममम इन रंडियों पे अहाहाहा.... और चोदो भैनचोद अहहहहः... इनकी माँ चोद डालो, इनकी बेटी चोदो अहहहा...... ज़िंदगी में अब से बस चुदाई ही करनी है अहहहहा... पूरी ज़िंदगी आश कुत्तों आहहहा.. हाआँ मेरी माँ अहहहहा और ज़ोर से चोद ना अपनी बेटी को औआ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह ओउफ़फ्फ़.... मैं जा रही हूँ माआहाः अहहहा....." कहके पूजा झड़ने लगी और जैसे ही वो झड़ी, अंशु के उपर से उठके अपनी चूत शन्नो के मूह पे रख दी और अपना पानी उसे पिला दिया..