hotaks444
New member
- Joined
- Nov 15, 2016
- Messages
- 54,521
वो मुझ से जुड़ गई और उसकी ज़बान मेरे होंठ खोल रही थी धीरे-धीरे और फिर अंदर घुस गई तो मैं उसकी ज़बान की गर्मी से पागल हो उठी और उससे लिपट गई।
शालू ने मुझे बिस्तर पर लिटा दिया और मेरे दोनों दूध दबाते हुए मेरे होंठ चूसने लगी। ऊफ़ उसकी ज़बान इतनी चिकनी, गर्म और इतनी लम्बी थी कि मेरे पूरे मुँह में मचल रही थी और मेरे गले तक जा रही थी।हम दोनों के चेहरे पूरे लाल हो रहे थे और थूक से भीग चुके थे। मुझे बहुत मज़ा आ रहा था,
मैं भी उसका साथ दे रही थी और उसका प्यारा सा गुलाबी चेहरा हाथों में लेकर उसके होंठ और ज़बान चूसरही थी, सिसकार रही थी-
आह अह शालू अह अह हां अह !
आइना मेरी जान !
ऊफ़ शालू !
कितनी मज़ेदार ज़बान है तेरी !
इतनी लम्बी !
ऊफ़ !
सच्ची कपिल को मज़ा आ गया होगा !
आअह धीरे आइना !
अह आअह सच्ची आइना !
बहुत मज़ा आया था क्या बताऊँ तुझे !
आह धीरे से मेरे होंठ !
आह आइना !
उठो न प्लीज अब
!हम दोनों उठे तो फिर से मुझे लिपटा कर मेरे होंठ चूसने लगी और मेरे कुरते की ज़िप खोली और मेरी ब्रा का हुक खोल दिया और मेरे मुँह में सिसकी-
उतारो न आइना प्लीज !
और मेरे हाथ ऊपर करके मेरा कुरता अलग कर दिया।
आअह शालू !
ये आह !
तो मेरे होंठ चूम कर सिसकी- कुछ न बोलो आइना !
सच्ची बहुत मज़ा आ रहा है !
मैं उसके सामने टॉपलेस बैठी थी, शर्म से मेरी बुरी हालत थी। मैंने अपने दोनों हाथों से अपने भरे-भरे दूध छुपा लिये और देखा तो शालू ने भी अपना कुरता और ब्रा अलग अपने बद्न से हटा दिए थे और मैं उसे देखती रह गई-
उफ़ ! कितने प्यारे दूध हैं शालू के !
खूब बड़े बड़े बिल्कुल गुलाबी रंग, तनी हुई लम्बे चुचूक ! जिनके आस पास लाल रंग का गोल घेरा !उसने मुझे अपनी तरफ़ देखते हुए पाया तो मेरी आँखें चूम लीं,
मेरे दोनों हाथ मेरे दूधों पर से हटाये और अपने दूधों पर रख लिर और होंठ चबा कर सिसकी-
ऊई मां आह आह !और फिर उसने मेरे दूध पकड़े तो मेरी जान निकल गई- आऐ आ आऐ र अह्ह अह आअह ऊओह ऊऊम आआअह नहीं शा…लू !और मैंने भी उसके दूध ज़ोर से दबाये तो शालू भी मुझसे लिपट कर सिसक उठी-
आईए ऊउइ उ अह अह अह धीरे आह आइना !
धीरे आह मेरे दूधु !
और मेरे होंठों पर होंठ रखे तो एक साथ हम दोनों की ज़बाने मुँह के अंदर घुस पड़ी।उसकी लम्बी चिकनी और गर्म ज़बान ने मुझे पागल कर दिया और फिर मुझे लिटा कर वो भी मेरे ऊपर लेट गई। हमारे दूध आपस में जैसे ही टकराये तो दोनों की चीखें निकल पड़ी और हम दोनों झूम गईं और मेरी चूत रस से भर गई।मैंने उसे अपने बदन से लिपटा लिया और उसकी चिकनी पीठ और नर्म-नर्म चूतड़ सहलाने लगी।इस पर वो मेरे जिस्म पर मचलने लगी।
मैंने उसका गुलाबी चेहरा उठाया तो उसकी आँखें नहीं खुल पा रही थी, बहुत हसीन लग रही थी शालू !मैं उसके गाल और होंठ चूसने लगी, उसके गोल नर्म नर्म दूध मेरे सांसों से टकराते तो जैसे आग लग जाती।मैंने उसको थोड़ा ऊपर किया तो उसके खूबसूरत चिकने गुलाबी दूध मेरे सामने थे मैं अपने आप को रोक न सकी और उसकी लाल चूची पर ज़बान फेरी तो वो मस्ती में चिल्ला पड़ी-
आईई माँ ! मर जाऊँगी मैं! आह अह ओह ऊओफ़ अह आइना !
आह अह्ह हाँ ! ये ये ये भी किया था अश… अह कपिल ने !
शालू बोली।और मैंने उसका पूरा का पूरा दूध अपने मुँह में ले लिया तो मज़ा आ गया। और शालू ने मेरा चेहरा थाम कर अपने दूधों में घुसा लियाऔर सिर झटक कर मचलने लगी-
आ आ इए आइना ! धीरे प्लीज ऊफ़ ऐई री ! माँ ! धीरे से ! न आअह ! बहुत अच्छा लग रहा है !
आह !
पूरा !
पूरा चूसो न !
ऊफ़ मेरा दूध आह !
आइना सची ऐईए ऐसे नहीं !
न काटो मत प्लीज !
उफ़ तुम तो अह कपिल से अच्छा चूसती हो !
आअह आराम से मेरीजान !
और वो मेरे दूध दबाने लगी- सच्ची कितनी नरम दूध हैं तेरे आइना !मुझे दो न प्लीज आइना !तो मैंने होंठ अलग किये उसके दूध से और देखा तो उसका दूध मेरे चूसने से लाल और थूक से चिकने हो रहे थे।
शालू ने मुझे बिस्तर पर लिटा दिया और मेरे दोनों दूध दबाते हुए मेरे होंठ चूसने लगी। ऊफ़ उसकी ज़बान इतनी चिकनी, गर्म और इतनी लम्बी थी कि मेरे पूरे मुँह में मचल रही थी और मेरे गले तक जा रही थी।हम दोनों के चेहरे पूरे लाल हो रहे थे और थूक से भीग चुके थे। मुझे बहुत मज़ा आ रहा था,
मैं भी उसका साथ दे रही थी और उसका प्यारा सा गुलाबी चेहरा हाथों में लेकर उसके होंठ और ज़बान चूसरही थी, सिसकार रही थी-
आह अह शालू अह अह हां अह !
आइना मेरी जान !
ऊफ़ शालू !
कितनी मज़ेदार ज़बान है तेरी !
इतनी लम्बी !
ऊफ़ !
सच्ची कपिल को मज़ा आ गया होगा !
आअह धीरे आइना !
अह आअह सच्ची आइना !
बहुत मज़ा आया था क्या बताऊँ तुझे !
आह धीरे से मेरे होंठ !
आह आइना !
उठो न प्लीज अब
!हम दोनों उठे तो फिर से मुझे लिपटा कर मेरे होंठ चूसने लगी और मेरे कुरते की ज़िप खोली और मेरी ब्रा का हुक खोल दिया और मेरे मुँह में सिसकी-
उतारो न आइना प्लीज !
और मेरे हाथ ऊपर करके मेरा कुरता अलग कर दिया।
आअह शालू !
ये आह !
तो मेरे होंठ चूम कर सिसकी- कुछ न बोलो आइना !
सच्ची बहुत मज़ा आ रहा है !
मैं उसके सामने टॉपलेस बैठी थी, शर्म से मेरी बुरी हालत थी। मैंने अपने दोनों हाथों से अपने भरे-भरे दूध छुपा लिये और देखा तो शालू ने भी अपना कुरता और ब्रा अलग अपने बद्न से हटा दिए थे और मैं उसे देखती रह गई-
उफ़ ! कितने प्यारे दूध हैं शालू के !
खूब बड़े बड़े बिल्कुल गुलाबी रंग, तनी हुई लम्बे चुचूक ! जिनके आस पास लाल रंग का गोल घेरा !उसने मुझे अपनी तरफ़ देखते हुए पाया तो मेरी आँखें चूम लीं,
मेरे दोनों हाथ मेरे दूधों पर से हटाये और अपने दूधों पर रख लिर और होंठ चबा कर सिसकी-
ऊई मां आह आह !और फिर उसने मेरे दूध पकड़े तो मेरी जान निकल गई- आऐ आ आऐ र अह्ह अह आअह ऊओह ऊऊम आआअह नहीं शा…लू !और मैंने भी उसके दूध ज़ोर से दबाये तो शालू भी मुझसे लिपट कर सिसक उठी-
आईए ऊउइ उ अह अह अह धीरे आह आइना !
धीरे आह मेरे दूधु !
और मेरे होंठों पर होंठ रखे तो एक साथ हम दोनों की ज़बाने मुँह के अंदर घुस पड़ी।उसकी लम्बी चिकनी और गर्म ज़बान ने मुझे पागल कर दिया और फिर मुझे लिटा कर वो भी मेरे ऊपर लेट गई। हमारे दूध आपस में जैसे ही टकराये तो दोनों की चीखें निकल पड़ी और हम दोनों झूम गईं और मेरी चूत रस से भर गई।मैंने उसे अपने बदन से लिपटा लिया और उसकी चिकनी पीठ और नर्म-नर्म चूतड़ सहलाने लगी।इस पर वो मेरे जिस्म पर मचलने लगी।
मैंने उसका गुलाबी चेहरा उठाया तो उसकी आँखें नहीं खुल पा रही थी, बहुत हसीन लग रही थी शालू !मैं उसके गाल और होंठ चूसने लगी, उसके गोल नर्म नर्म दूध मेरे सांसों से टकराते तो जैसे आग लग जाती।मैंने उसको थोड़ा ऊपर किया तो उसके खूबसूरत चिकने गुलाबी दूध मेरे सामने थे मैं अपने आप को रोक न सकी और उसकी लाल चूची पर ज़बान फेरी तो वो मस्ती में चिल्ला पड़ी-
आईई माँ ! मर जाऊँगी मैं! आह अह ओह ऊओफ़ अह आइना !
आह अह्ह हाँ ! ये ये ये भी किया था अश… अह कपिल ने !
शालू बोली।और मैंने उसका पूरा का पूरा दूध अपने मुँह में ले लिया तो मज़ा आ गया। और शालू ने मेरा चेहरा थाम कर अपने दूधों में घुसा लियाऔर सिर झटक कर मचलने लगी-
आ आ इए आइना ! धीरे प्लीज ऊफ़ ऐई री ! माँ ! धीरे से ! न आअह ! बहुत अच्छा लग रहा है !
आह !
पूरा !
पूरा चूसो न !
ऊफ़ मेरा दूध आह !
आइना सची ऐईए ऐसे नहीं !
न काटो मत प्लीज !
उफ़ तुम तो अह कपिल से अच्छा चूसती हो !
आअह आराम से मेरीजान !
और वो मेरे दूध दबाने लगी- सच्ची कितनी नरम दूध हैं तेरे आइना !मुझे दो न प्लीज आइना !तो मैंने होंठ अलग किये उसके दूध से और देखा तो उसका दूध मेरे चूसने से लाल और थूक से चिकने हो रहे थे।