hotaks444
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"सब तुम्हारी वजह से है. कल सुबह से ही, मेरे मन मे बस तुम्हारी ही बातें गूँज़ रही हैं, देयर ईज़ आ डिज़ाइर लाइक जो किसी और चीज़ से कंप्लीट ही नही हो सकता सिवाय तुम्हारे. जब तुम्हारे साथ होती हूँ तो लगता है बस मुझे अब और कुछ नही चाहिए. और रही कमीनी की बात तो थोड़ी बहुत टीवी तो मैं भी देखती हूँ. और शाइ होने का मतलब ये तो नही मुझे इन सब चीज़ों के बारे मे पता नही है. मुझे बस कभी इन वर्ड्स को उसे करने की ज़रूरत नही पड़ी."
अरुण ध्यान से उसकी बात सुनते हुए जगह जगह किस कर रहा था.
"और एक बात बताओ, अभी तो तुम बड़ा पवित्र बन रहे हो कि आइ डोंट नीड एनिवन एल्स. और कल रात को जब वो तुम पर डोरे डाल रही थी तब तो कुछ नही कहा तुमने?"
"दी मैं सिर्फ़ आपकी वजह से एग्ज़ाइटेड था, अगर आपको ध्यान हो तो. आपसे ही प्यार करने के चक्कर मे मेरा वो उस हालत मे था."
"क्या वो, तुम्हारा लंड." स्नेहा बोली, तो अरुण का मूह खुला का खुला रह गया.
"फक! व्हाट डिड शी से?"
"रिलॅक्स, मैं जानती हूँ." फिर उसे किस करने लगी.
"तो आपने उसके बारे मे क्या सोचा है?" उसने पूछा.
"मैं क्या सोचूँगी उसके बारे मे?" स्नेहा बोली.
"दी, कमऑन, मैं समझ जाता हूँ जब आपके इस सेक्सी सिर मे कुछ चल रहा होता है. और मुझे पक्का पता है कि आप मुझे इस खिचड़ी से ज़रूर निकाल लोगि.
स्नेहा ने कुछ बोला नही बस हंस कर उसे आँख मार दी.
"दट'स माइ दी." वो उसे किस करने लगा.
फिर कुछ देर किस करने के बाद वो उठा और उसके सिर को चूम कर कपड़े पहनने लगा. तो स्नेहा पलटकर एक आह के साथ आँखें बंद करके सोने लगी. अरुण ने एक बार उसके सोते हुए चेहरे पर नज़र डाली फिर बाथरूम मे जाकर नहाने लगा.
तब तक आरोही नीचे आ गयी, वो फ्रिज से बॉटल निकालकर पानी पीने लगी, फिर बॉटल लिए लिए स्नेहा के रूम तक आई और अंदर झाँकने लगी. स्नेहा शांति से सो रही थी, लेकिन थी वो पूरी नंगी.
ये देखकर आरोही के दिल मे जलन की एक लहर दौड़ गयी. एक तो इतना टाइम हो गया था अरुण को उस पर ध्यान दिए. अपने जज्बातो से लड़ते हुए उसने धीरे से दरवाजा बंद किया और शवर की आवाज़ सुनके बाथरूम का दरवाजा खोल ही रही थी कि उसे पीछे से किसी के खांसने की आवाज़ सुनाई पड़ी. उसने तुरंत ही पीछे मूड के देखा तो सुप्रिया थी, जो अपने रूम की ओर जा रही थी. सुप्रिया की खांसने की आवाज़ सुन के आरोही बिना कुछ कहे अपने रूम मे चली गयी.
कुछ देर बाद सुप्रिया उसके रूम मे नॉक कर रही थी. दरवाजा खुला था तो वो नॉक करके सीधे जाके आरोही के पास बेड पर बैठ गयी.
"एवेरितिंग ओके?" उसने पूछा.
आरोही ने एक हल्की सी स्माइल दी.
"हूँ."
सुप्रिया उसकी इस हरकत की वजह समझ गयी.
"यू नो, मुझे भी ये अच्छा नही लग रहा कि अरुण को उस रिया के साथ टाइम स्पेंड करना पड़ेगा वो भी ऐज आ बाय्फ्रेंड."
"दी वो बात नही है. मैं वैसे भी इस प्राब्लम का सल्यूशन ढूंड रही हूँ. मैं बस.." आरोही ये कहकर बीच मे ही रुक गयी.
सुप्रिया ने उसका हाथ पकड़कर उसके चेहरे को देखने लगी, उसे गुलाबी होत, खूबसूरत आँखें और वो सेक्सी जीभ देखकर उसके मन मे कुछ कुछ होने लगा.
"मैं बस..वो स्नेहा दी और अरुण को देखकर थोड़ा...जेलस फील कर रही हूँ..यू नो..ना.." वो दोबारा बीच मे रुक गयी.
"मैं समझ सकती हूँ, तुम क्या कह रही हो. मेरे साथ भी ये होता है, जब तुम और सोनिया उसके साथ होती हो जबकि मैं तुम दोनो को भी उतना ही प्यार करती हूँ. तुम्हे क्या लगता है, मुझे जलन नही होती होगी? स्वीटी, इट्स नॅचुरल, जलन होना लाज़मी है, इंपॉर्टेंट ये है कि हम उस जलन की वजह से अपने रिलेशन्स खराब ना करे एस्पेशली इन फॅमिली. और उसका एक ही तरीका है, हम सबको शेयर करना सीखना होगा."
आरोह उसकी बात पर कुछ देर सोचती रही पूर सिर हिला कर उसकी बात का समर्थन करने लगी. "उपर से मुझे टेन्षन हो रही है कि वो हम सबको खुश रखने के चक्कर मे बीमार ना पड़ जाए. उपर से उसके पास हम चारो के लिए बराबर टाइम भी नही होगा. रात मे तो सोनिया ही होती है उसके पास, जिसका मतलब है हम तीनो को सिर्फ़ उसका दिन का टाइम मिलेगा. और अब उस चुड़ैल रिया को भी उसमे से अपना हिस्सा चाहिए. ये ठीक नही है!" आरोही बच्चे की तरह शिकायत करते हुए बोली.
सुप्रिया ने उसके पैर पर हाथ रख कर मजाकिया तौर पर कह दिया,"तो फिर हम लोगो को उसे सीन से हटाने का कुछ इंतज़ाम करना पड़ेगा. और रही टाइम की बात तो आइ प्रॉमिस मैं ज़रूरत से ज़्यादा टाइम नही लूँगी उसका, लेकिन तुम लोगो को भी चीटिंग नही करनी है."
आरोही खुश होते हुए अपनी बड़ी बहेन की ओर देखने लगी और सोचने लगी कि उसकी बहेन कितनी सुंदर है. सादगी और सुंदरता की मूरत. वो कभी कभी ही मेकप लगाती थी, और अगर सच बोला जाए तो उसे मेकप की ज़रूरत भी नही थी. सुप्रिया उन कुछ लड़कियों मे से एक थी जो अपनी पूरी जिंदगी मेकप के बिना गुज़ार दे फिर भी बाकियों से 10 गुना ज़्यादा सुंदर लगेंगी.
"तुम्हे पता, हमारे अरुण को, जब मैं वाषरूम मे कपड़े धो रही होती हूँ, तब अटॅक करना ज़्यादा पसंद है." सुप्रिया हंसते हुए बोली.
"वहाँ क्यू?" आरोही ने पूछा.
तो सुप्रिया ने कंधे उचका दिए. "आइ डॉन'ट नो. उसने बस ये कहा कि जब मैं घर के काम कर रही होती हूँ, तब वो मुझे देखकर एग्ज़ाइट हो जाता है."
"रियली?" आरोही हंसते हुए बोली.
तो सुप्रिया हँसने लगी. "और जब मैं एप्रन पहनती हूँ तो ज़्यादा ही सेक्सी लगती हूँ, उसको. और पता है, बोला कि, वो मुझे एप्रन मे बिना कपड़ो के इमॅजिन करता है."
आरोही की एक दम से हँसी छूट गयी और वो बेड पर गिर के हँसने लगी. फिर कुछ देर बाद वो उठ कर सुप्रिया के कंधे पर सिर रख के उसे पकड़ने लगी. "ये सही मे बस अरुण ही सोच सकता है."
सुप्रिया मुस्कुरा उठी. "क्यू? तुम्हे नही लगता कि मैं सिर्फ़ एप्रन पहनने पर सेक्सी लगूंगी?"
आरोही उसकी ओर देखकर सिर हिलाने लगी. "नही दी, आप सच मे बहुत सेक्सी लगोगी. और अगर अरुण को लगती हो तो पक्का मुझे भी लगोगी, आफ्टर ऑल वी आर ट्विन्स, रिमेंबर?"
फिर उसने सुप्रिया को चौंकाते हुए एक दम से उसके सिर को पकड़कर अपनी तरफ खीच लिया और हल्के से उसके होठ मूह मे लेकर चबाने लगी. सुप्रिया ने चौंकने की वजह से पहले तो आनाकानी की लेकिन फिर उसे हाथ खुद ही आरोही के सिर पर जाकर उसे अपनी ओर खिचने लगी.
किस करते करते सुप्रिया बेड पर गिर पड़ी तो उसने वैसे ही आरोही को अपने उपर खीच लिया. आरोही के हाथ नीचे बढ़ते हुए उसके कान से लेकर गले तक लकीर खिचने लगे. आरोही उसके होठों से उसकी गर्दन तक पहुचि और उसे किस करने लगी. सुप्रिया जल्दी से अपना टॉप उतारने लगी और फिर दूसरे ही पल आरोही को किस करने लगी. उसकी जल्दबाज़ी देखकर आरोही हल्के से हँस दी. आरोही के होठ उसकी गर्दन पर पहुचे फिर नीचे बढ़ते हुए उसके दूधों पर उसकी गर्म सासें टकराने लगी. उनको 2 पल ढंग से नज़रो मे उतारने के बाद वो उसकी गोलाई के चारो ओर जीभ से चाटने लगी फिर दूसरे दूध के साथ भी यही किया. इतनी देर तक उसने निपल को छुआ भी नही तो सुप्रिया के निपल उत्सुकता मे और खड़े होते गये, फिर आरोही से भी कंट्रोल नही हुआ तो अंगूर जैसे खड़े उसे निपल को मूह मे लेकर चूसने लगी.
अरुण ध्यान से उसकी बात सुनते हुए जगह जगह किस कर रहा था.
"और एक बात बताओ, अभी तो तुम बड़ा पवित्र बन रहे हो कि आइ डोंट नीड एनिवन एल्स. और कल रात को जब वो तुम पर डोरे डाल रही थी तब तो कुछ नही कहा तुमने?"
"दी मैं सिर्फ़ आपकी वजह से एग्ज़ाइटेड था, अगर आपको ध्यान हो तो. आपसे ही प्यार करने के चक्कर मे मेरा वो उस हालत मे था."
"क्या वो, तुम्हारा लंड." स्नेहा बोली, तो अरुण का मूह खुला का खुला रह गया.
"फक! व्हाट डिड शी से?"
"रिलॅक्स, मैं जानती हूँ." फिर उसे किस करने लगी.
"तो आपने उसके बारे मे क्या सोचा है?" उसने पूछा.
"मैं क्या सोचूँगी उसके बारे मे?" स्नेहा बोली.
"दी, कमऑन, मैं समझ जाता हूँ जब आपके इस सेक्सी सिर मे कुछ चल रहा होता है. और मुझे पक्का पता है कि आप मुझे इस खिचड़ी से ज़रूर निकाल लोगि.
स्नेहा ने कुछ बोला नही बस हंस कर उसे आँख मार दी.
"दट'स माइ दी." वो उसे किस करने लगा.
फिर कुछ देर किस करने के बाद वो उठा और उसके सिर को चूम कर कपड़े पहनने लगा. तो स्नेहा पलटकर एक आह के साथ आँखें बंद करके सोने लगी. अरुण ने एक बार उसके सोते हुए चेहरे पर नज़र डाली फिर बाथरूम मे जाकर नहाने लगा.
तब तक आरोही नीचे आ गयी, वो फ्रिज से बॉटल निकालकर पानी पीने लगी, फिर बॉटल लिए लिए स्नेहा के रूम तक आई और अंदर झाँकने लगी. स्नेहा शांति से सो रही थी, लेकिन थी वो पूरी नंगी.
ये देखकर आरोही के दिल मे जलन की एक लहर दौड़ गयी. एक तो इतना टाइम हो गया था अरुण को उस पर ध्यान दिए. अपने जज्बातो से लड़ते हुए उसने धीरे से दरवाजा बंद किया और शवर की आवाज़ सुनके बाथरूम का दरवाजा खोल ही रही थी कि उसे पीछे से किसी के खांसने की आवाज़ सुनाई पड़ी. उसने तुरंत ही पीछे मूड के देखा तो सुप्रिया थी, जो अपने रूम की ओर जा रही थी. सुप्रिया की खांसने की आवाज़ सुन के आरोही बिना कुछ कहे अपने रूम मे चली गयी.
कुछ देर बाद सुप्रिया उसके रूम मे नॉक कर रही थी. दरवाजा खुला था तो वो नॉक करके सीधे जाके आरोही के पास बेड पर बैठ गयी.
"एवेरितिंग ओके?" उसने पूछा.
आरोही ने एक हल्की सी स्माइल दी.
"हूँ."
सुप्रिया उसकी इस हरकत की वजह समझ गयी.
"यू नो, मुझे भी ये अच्छा नही लग रहा कि अरुण को उस रिया के साथ टाइम स्पेंड करना पड़ेगा वो भी ऐज आ बाय्फ्रेंड."
"दी वो बात नही है. मैं वैसे भी इस प्राब्लम का सल्यूशन ढूंड रही हूँ. मैं बस.." आरोही ये कहकर बीच मे ही रुक गयी.
सुप्रिया ने उसका हाथ पकड़कर उसके चेहरे को देखने लगी, उसे गुलाबी होत, खूबसूरत आँखें और वो सेक्सी जीभ देखकर उसके मन मे कुछ कुछ होने लगा.
"मैं बस..वो स्नेहा दी और अरुण को देखकर थोड़ा...जेलस फील कर रही हूँ..यू नो..ना.." वो दोबारा बीच मे रुक गयी.
"मैं समझ सकती हूँ, तुम क्या कह रही हो. मेरे साथ भी ये होता है, जब तुम और सोनिया उसके साथ होती हो जबकि मैं तुम दोनो को भी उतना ही प्यार करती हूँ. तुम्हे क्या लगता है, मुझे जलन नही होती होगी? स्वीटी, इट्स नॅचुरल, जलन होना लाज़मी है, इंपॉर्टेंट ये है कि हम उस जलन की वजह से अपने रिलेशन्स खराब ना करे एस्पेशली इन फॅमिली. और उसका एक ही तरीका है, हम सबको शेयर करना सीखना होगा."
आरोह उसकी बात पर कुछ देर सोचती रही पूर सिर हिला कर उसकी बात का समर्थन करने लगी. "उपर से मुझे टेन्षन हो रही है कि वो हम सबको खुश रखने के चक्कर मे बीमार ना पड़ जाए. उपर से उसके पास हम चारो के लिए बराबर टाइम भी नही होगा. रात मे तो सोनिया ही होती है उसके पास, जिसका मतलब है हम तीनो को सिर्फ़ उसका दिन का टाइम मिलेगा. और अब उस चुड़ैल रिया को भी उसमे से अपना हिस्सा चाहिए. ये ठीक नही है!" आरोही बच्चे की तरह शिकायत करते हुए बोली.
सुप्रिया ने उसके पैर पर हाथ रख कर मजाकिया तौर पर कह दिया,"तो फिर हम लोगो को उसे सीन से हटाने का कुछ इंतज़ाम करना पड़ेगा. और रही टाइम की बात तो आइ प्रॉमिस मैं ज़रूरत से ज़्यादा टाइम नही लूँगी उसका, लेकिन तुम लोगो को भी चीटिंग नही करनी है."
आरोही खुश होते हुए अपनी बड़ी बहेन की ओर देखने लगी और सोचने लगी कि उसकी बहेन कितनी सुंदर है. सादगी और सुंदरता की मूरत. वो कभी कभी ही मेकप लगाती थी, और अगर सच बोला जाए तो उसे मेकप की ज़रूरत भी नही थी. सुप्रिया उन कुछ लड़कियों मे से एक थी जो अपनी पूरी जिंदगी मेकप के बिना गुज़ार दे फिर भी बाकियों से 10 गुना ज़्यादा सुंदर लगेंगी.
"तुम्हे पता, हमारे अरुण को, जब मैं वाषरूम मे कपड़े धो रही होती हूँ, तब अटॅक करना ज़्यादा पसंद है." सुप्रिया हंसते हुए बोली.
"वहाँ क्यू?" आरोही ने पूछा.
तो सुप्रिया ने कंधे उचका दिए. "आइ डॉन'ट नो. उसने बस ये कहा कि जब मैं घर के काम कर रही होती हूँ, तब वो मुझे देखकर एग्ज़ाइट हो जाता है."
"रियली?" आरोही हंसते हुए बोली.
तो सुप्रिया हँसने लगी. "और जब मैं एप्रन पहनती हूँ तो ज़्यादा ही सेक्सी लगती हूँ, उसको. और पता है, बोला कि, वो मुझे एप्रन मे बिना कपड़ो के इमॅजिन करता है."
आरोही की एक दम से हँसी छूट गयी और वो बेड पर गिर के हँसने लगी. फिर कुछ देर बाद वो उठ कर सुप्रिया के कंधे पर सिर रख के उसे पकड़ने लगी. "ये सही मे बस अरुण ही सोच सकता है."
सुप्रिया मुस्कुरा उठी. "क्यू? तुम्हे नही लगता कि मैं सिर्फ़ एप्रन पहनने पर सेक्सी लगूंगी?"
आरोही उसकी ओर देखकर सिर हिलाने लगी. "नही दी, आप सच मे बहुत सेक्सी लगोगी. और अगर अरुण को लगती हो तो पक्का मुझे भी लगोगी, आफ्टर ऑल वी आर ट्विन्स, रिमेंबर?"
फिर उसने सुप्रिया को चौंकाते हुए एक दम से उसके सिर को पकड़कर अपनी तरफ खीच लिया और हल्के से उसके होठ मूह मे लेकर चबाने लगी. सुप्रिया ने चौंकने की वजह से पहले तो आनाकानी की लेकिन फिर उसे हाथ खुद ही आरोही के सिर पर जाकर उसे अपनी ओर खिचने लगी.
किस करते करते सुप्रिया बेड पर गिर पड़ी तो उसने वैसे ही आरोही को अपने उपर खीच लिया. आरोही के हाथ नीचे बढ़ते हुए उसके कान से लेकर गले तक लकीर खिचने लगे. आरोही उसके होठों से उसकी गर्दन तक पहुचि और उसे किस करने लगी. सुप्रिया जल्दी से अपना टॉप उतारने लगी और फिर दूसरे ही पल आरोही को किस करने लगी. उसकी जल्दबाज़ी देखकर आरोही हल्के से हँस दी. आरोही के होठ उसकी गर्दन पर पहुचे फिर नीचे बढ़ते हुए उसके दूधों पर उसकी गर्म सासें टकराने लगी. उनको 2 पल ढंग से नज़रो मे उतारने के बाद वो उसकी गोलाई के चारो ओर जीभ से चाटने लगी फिर दूसरे दूध के साथ भी यही किया. इतनी देर तक उसने निपल को छुआ भी नही तो सुप्रिया के निपल उत्सुकता मे और खड़े होते गये, फिर आरोही से भी कंट्रोल नही हुआ तो अंगूर जैसे खड़े उसे निपल को मूह मे लेकर चूसने लगी.