hotaks444
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सोनू का घर हमारे घर से थोड़ी सी दूरी पर नीचे की तरफ को था सोनू कोई 26-
27 साल की उमर की थी उसके दो बच्चे थे कोई साढ़े 4 फुट की लंबाई वाली सोनू
बेहद गोरी थी और फिगर तो बहुत ही अच्छा था बेहद ही तराशि गयी मूरत की
तरह चूचिया 34 डी के साइज़ की होंगी और चुतड तो बुआ से भी मोटे मोटे थे
उसके मैने पक्का सोच लिया कि कुछ भी करके सोनू भाभी की चूत तो मारनी ही है
मैं घर आया और चाची को समान पकड़ाया और छत पर चला गया बुआ छत
पर ही बैठी थी आज थोड़ी ठंडी हवा चल रही थी तो वातावरण भी अच्छा ही था मैं
भी बुआ के पास जाकर बैठ गया और उनसे बाते करने लगा नीचे चाची तो रसोई
मे बिज़ी थी और मेरा लॉडा पेंट मे उछल कूद मचा रहा था तो मैं उठा और
सीढ़ियो वाले गेट की कुण्डी लगाई और बुआ को बोला बुआ आज मेरा लंड कुछ ज़्यादा
ही मचल रहा है इसको ज़रा शांत करो ना तो वो बोली ये कोई टाइम है क्या तो मैने
कहा बुआ मैं देर नही लगाउन्गा बस 5 मिनट मे ही कर लूँगा तो बुआ बोली ठीक
है आजा तेरी प्यास तो बुझाउन्गि ही पर तू देर ना लगाना कही बबिता शक ना कर ले
तो मैने कहा बुआ अब आओ तो सही कुछ ही देर मे हम कमरे मे आ गये मैने
अपनी ज़िप खोली और लंड को बाहर निकाल लिया और बुआ की सलवार और कच्ची को उनके
घुटनो तक सरका दिया और उनकी एक टाँग को जंगले मे रखा और अपने लंड पर
थोड़ा थूक लगा कर उसको एक दम से चिकना कर लिया और बुआ की चूत से सटा दिया
बुआ ने मस्ती से अपनी आँखो को बंद कर लिया मैने उनकी कमर मे अपना हाथ
डाला और लंड को आगे करते हुए धक्का लगाया लंड उनकी चूत की पंखुड़ियो को
अलग अलग करता हुआ चूत मे समाता चला गया बुआ के मुँह से आह निकली बुआ
बोली फटा फट काम सॅल्टा दो और उन्होने अपने चुतड़ों को थोड़ा सा मेरी ओर कर दिया
तो मैं अब उनको चोदने लगा बुआ भी अपनी गान्ड को हिलाते हुए मेरे लंड का मज़ा
लेने लगी बुआ आहा आहह आ करते हुए चूत मरवाने लगी थी मेरा लंड
पूरी ताक़त से उनकी चूत के छेद को फैलाते हुए पूरे मज़े से बुआ की चूत मार
रहा था मैने अपने हाथ उनके सूट मे घुसाए और ब्रा के उपर से ही उनके कोमल
उभारों को दबाने लगा बुआ और भी ज़्यादा उत्तेजित हो गयी आख़िर क्यो ना हो जब
चूत मे गर्म लंड पड़ा हो तो कोई भी औरत मज़ा तो पूरा लेगी ही ना दना दन
चूत पर धक्को की बोछार हो रही थी कुछ देर बाद बुआ ने अपने पैर जंगले से
हटाया और वही खड़े खड़े ही दोनो पैरो पर झुक गयी तो मैने फिर से लंड को
अंदर सरका दिया और बुआ की चूत का भोग लगा ने लगा बुआ बार बार बोल रही थी कि
जल्दी कर जल्दी कर पर अब चुदाई मे टाइम तो लगता ही है हालाँकि मैं अपनी तरफ से
पूरी कोशिश कर रहा था कि जल्दी से झाड़ जाउ मैं उनको चोद ही रहा था कि उनके
बदन मे एक झूर झूरी आई और बुआ पस्त हो गयी तो मैने भी अपनी कोशिश और
तेज कर दी और 3-4 मिनट बाद एक ज़ोर का झटका लगाया और अपने वीर्य से उनकी
चूत को धोने लगा मैं बुरी तरह से हाँफने लगा बुआ ने मुझे अलग हटाया और
अपनी सलवार को उपर चढ़ाते हुए नाडा बाँधने लगी मैने भी फिर पेंट को
चेंज किया और बाहर पड़ी चारपाई पर आकर लेट गया
कुछ देर बाद बुआ भी अपने हुलिए को ठीक कर के आ गयी और मेरे पास ही आके
बैठ गयी मैने कहा मैं अभी आया मैने सीढ़ियो के गेट को खोला और रसोई
मे चला गया
चाची जान खाना बनाने मे ही लगी थी मैने फ्रिज खोला और पानी को बॉटल ली
और वापिस छत पर आ गया बुआ बोली कि तू भाभी को फोन करके पूछ ले कि वो
कब आएँगी मुझे यहाँ आए कई दिन हो गये है फिर मुझे भी तो अपने घर जाना
है तो मैने नाना के घर फोन मिलाया तो मम्मी ने कहा कि वो 3-4 दिन बाद
आएँगी
27 साल की उमर की थी उसके दो बच्चे थे कोई साढ़े 4 फुट की लंबाई वाली सोनू
बेहद गोरी थी और फिगर तो बहुत ही अच्छा था बेहद ही तराशि गयी मूरत की
तरह चूचिया 34 डी के साइज़ की होंगी और चुतड तो बुआ से भी मोटे मोटे थे
उसके मैने पक्का सोच लिया कि कुछ भी करके सोनू भाभी की चूत तो मारनी ही है
मैं घर आया और चाची को समान पकड़ाया और छत पर चला गया बुआ छत
पर ही बैठी थी आज थोड़ी ठंडी हवा चल रही थी तो वातावरण भी अच्छा ही था मैं
भी बुआ के पास जाकर बैठ गया और उनसे बाते करने लगा नीचे चाची तो रसोई
मे बिज़ी थी और मेरा लॉडा पेंट मे उछल कूद मचा रहा था तो मैं उठा और
सीढ़ियो वाले गेट की कुण्डी लगाई और बुआ को बोला बुआ आज मेरा लंड कुछ ज़्यादा
ही मचल रहा है इसको ज़रा शांत करो ना तो वो बोली ये कोई टाइम है क्या तो मैने
कहा बुआ मैं देर नही लगाउन्गा बस 5 मिनट मे ही कर लूँगा तो बुआ बोली ठीक
है आजा तेरी प्यास तो बुझाउन्गि ही पर तू देर ना लगाना कही बबिता शक ना कर ले
तो मैने कहा बुआ अब आओ तो सही कुछ ही देर मे हम कमरे मे आ गये मैने
अपनी ज़िप खोली और लंड को बाहर निकाल लिया और बुआ की सलवार और कच्ची को उनके
घुटनो तक सरका दिया और उनकी एक टाँग को जंगले मे रखा और अपने लंड पर
थोड़ा थूक लगा कर उसको एक दम से चिकना कर लिया और बुआ की चूत से सटा दिया
बुआ ने मस्ती से अपनी आँखो को बंद कर लिया मैने उनकी कमर मे अपना हाथ
डाला और लंड को आगे करते हुए धक्का लगाया लंड उनकी चूत की पंखुड़ियो को
अलग अलग करता हुआ चूत मे समाता चला गया बुआ के मुँह से आह निकली बुआ
बोली फटा फट काम सॅल्टा दो और उन्होने अपने चुतड़ों को थोड़ा सा मेरी ओर कर दिया
तो मैं अब उनको चोदने लगा बुआ भी अपनी गान्ड को हिलाते हुए मेरे लंड का मज़ा
लेने लगी बुआ आहा आहह आ करते हुए चूत मरवाने लगी थी मेरा लंड
पूरी ताक़त से उनकी चूत के छेद को फैलाते हुए पूरे मज़े से बुआ की चूत मार
रहा था मैने अपने हाथ उनके सूट मे घुसाए और ब्रा के उपर से ही उनके कोमल
उभारों को दबाने लगा बुआ और भी ज़्यादा उत्तेजित हो गयी आख़िर क्यो ना हो जब
चूत मे गर्म लंड पड़ा हो तो कोई भी औरत मज़ा तो पूरा लेगी ही ना दना दन
चूत पर धक्को की बोछार हो रही थी कुछ देर बाद बुआ ने अपने पैर जंगले से
हटाया और वही खड़े खड़े ही दोनो पैरो पर झुक गयी तो मैने फिर से लंड को
अंदर सरका दिया और बुआ की चूत का भोग लगा ने लगा बुआ बार बार बोल रही थी कि
जल्दी कर जल्दी कर पर अब चुदाई मे टाइम तो लगता ही है हालाँकि मैं अपनी तरफ से
पूरी कोशिश कर रहा था कि जल्दी से झाड़ जाउ मैं उनको चोद ही रहा था कि उनके
बदन मे एक झूर झूरी आई और बुआ पस्त हो गयी तो मैने भी अपनी कोशिश और
तेज कर दी और 3-4 मिनट बाद एक ज़ोर का झटका लगाया और अपने वीर्य से उनकी
चूत को धोने लगा मैं बुरी तरह से हाँफने लगा बुआ ने मुझे अलग हटाया और
अपनी सलवार को उपर चढ़ाते हुए नाडा बाँधने लगी मैने भी फिर पेंट को
चेंज किया और बाहर पड़ी चारपाई पर आकर लेट गया
कुछ देर बाद बुआ भी अपने हुलिए को ठीक कर के आ गयी और मेरे पास ही आके
बैठ गयी मैने कहा मैं अभी आया मैने सीढ़ियो के गेट को खोला और रसोई
मे चला गया
चाची जान खाना बनाने मे ही लगी थी मैने फ्रिज खोला और पानी को बॉटल ली
और वापिस छत पर आ गया बुआ बोली कि तू भाभी को फोन करके पूछ ले कि वो
कब आएँगी मुझे यहाँ आए कई दिन हो गये है फिर मुझे भी तो अपने घर जाना
है तो मैने नाना के घर फोन मिलाया तो मम्मी ने कहा कि वो 3-4 दिन बाद
आएँगी