hotaks444
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अखिल..... मेरी सोणिये, मेरी हीरिए... मैनु छड के कित्थे भाग गयी ओये....
काया.... कुछ नही अखिल, बस देल्ही मे अच्छा नही लग रहा था इसलिए यहाँ चली आई...
अखिल.... क्या हुआ काया... कुछ परेशान सी लग रही हो....
काया.... थोड़ी अपसेट हूँ अखिल, क्या तुम मनु भाई के पास मेरा एक संदेश पहुँचा दोगे....
अखिल.... हां बोलो ना क्या....
काया.... उन से कहना, दूसरी ओर भी परिवार के लोग हे हैं, हो सके तो दोबारा सोचना.....
अखिल.... ह्म ! समझ गया, कह दूँगा उसे मैं. पर इस वक़्त मैं भी बहुत परेशान हूँ...
काया.... क्या हुआ अखिल...
अखिल..... मेरी धड़कन कहीं दूर हो गयी मुझ से और वो धड़कना बंद कर चुकी है...
काया.... मतलब...
अखिल.... मतलब तुम दूर कहीं जा कर ऐसे मायूस रहोगी, तो मेरी धड़कनें समझो रुकी हुई हैं...
काया.... अखिल प्लीज़ अभी नही, मुझे कुछ भी अच्छा नही लग रहा है...
अखिल.... मैं कुछ कहूँ...
काया..... हां कहो...
अखिल.... जब कुछ समझ मे नही आए ना तो उसे वक़्त पर छोड़ दो. उन के साथ कभी बुरा नही हो सकता जो अच्छे हों. एग्ज़ॅंपल मे तुम्हारा भाई मनु है. इसलिए चेहरे पर स्माइल लाओ और सब कुछ वक़्त पर छोड़ दो. एक बात मैं अच्छे से जानता हूँ, मनु तुम्हे रुला कर कुछ भी हासिल नही करेगा....
काया.... हां मैं जानती हूँ ये बात. फिर भी पता नही क्यों अजीब सा लग रहा है. रखती हूँ फोन, मैं बाद मे बात करती हूँ....
काया.... कुछ नही अखिल, बस देल्ही मे अच्छा नही लग रहा था इसलिए यहाँ चली आई...
अखिल.... क्या हुआ काया... कुछ परेशान सी लग रही हो....
काया.... थोड़ी अपसेट हूँ अखिल, क्या तुम मनु भाई के पास मेरा एक संदेश पहुँचा दोगे....
अखिल.... हां बोलो ना क्या....
काया.... उन से कहना, दूसरी ओर भी परिवार के लोग हे हैं, हो सके तो दोबारा सोचना.....
अखिल.... ह्म ! समझ गया, कह दूँगा उसे मैं. पर इस वक़्त मैं भी बहुत परेशान हूँ...
काया.... क्या हुआ अखिल...
अखिल..... मेरी धड़कन कहीं दूर हो गयी मुझ से और वो धड़कना बंद कर चुकी है...
काया.... मतलब...
अखिल.... मतलब तुम दूर कहीं जा कर ऐसे मायूस रहोगी, तो मेरी धड़कनें समझो रुकी हुई हैं...
काया.... अखिल प्लीज़ अभी नही, मुझे कुछ भी अच्छा नही लग रहा है...
अखिल.... मैं कुछ कहूँ...
काया..... हां कहो...
अखिल.... जब कुछ समझ मे नही आए ना तो उसे वक़्त पर छोड़ दो. उन के साथ कभी बुरा नही हो सकता जो अच्छे हों. एग्ज़ॅंपल मे तुम्हारा भाई मनु है. इसलिए चेहरे पर स्माइल लाओ और सब कुछ वक़्त पर छोड़ दो. एक बात मैं अच्छे से जानता हूँ, मनु तुम्हे रुला कर कुछ भी हासिल नही करेगा....
काया.... हां मैं जानती हूँ ये बात. फिर भी पता नही क्यों अजीब सा लग रहा है. रखती हूँ फोन, मैं बाद मे बात करती हूँ....